ब्रेकिंग न्यूज़

छत्तीसगढ़ ई-गवर्नेन्स में मॉडल राज्य बनेगा

  विशेष लेख -आनंद प्रकाश सोलंकी, सहायक संचालक

  छत्तीसगढ़ की नयी सरकार ने सुशासन का संकल्प लिया है। सुशासन यानि लोगों की बेहतरी के लिए प्रशासन में पारदर्शिता, कार्यों का समय सीमा में गुणवत्ता के साथ पूरा होना, अच्छा प्रबंधन, जनभागीदारी, जवाबदेही, कुशलता और कानून का पालन जैसी बातें शामिल हैं। यह किसी भी जनकल्याणकारी राज्य की प्रथम आवश्यकता होती है। नयी सरकार सुशासन की स्थापना के लिए आई.टी. को प्रमुख टूल के रूप में अपनाएगी। इसकी बानगी वित्तीय वर्ष 2024-25 के बजट में देखी जा सकती है।  
 मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की मंशा है कि छत्तीसगढ़ ई-गवर्नेंस की दृष्टि से माडल राज्य बने। उनकी मंशा के अनूरूप योजनाओं की ई-मानीटरिंग के साथ-साथ पारदर्शी प्रशासन और आईटी आधारित कर प्रणाली विकसित की जाएगी। इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए छत्तीसगढ़ सेंटर फॉर स्मार्ट गवर्नेन्स की स्थापना का उल्लेख बजट में किया गया है। बजट में सभी विभागों में आई.टी. के उपयोग को प्रोत्साहित करने के लिए आवश्यक उपकरण एवं आधुनिक सॉफ्टवेयर इत्यादि की व्यवस्था के लिए 266 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
 
प्रदेश के 168 नगरीय निकायों में ई.गवर्नेन्स के तहत बजट एण्ड अकाउंटिंग मॉड्यूल स्थापित किया जायेगा। 47 नगरीय निकायों में प्रॉपर्टी सर्वे किये जाने हेतु GIS आधारित सॉफ्टवेयर निर्माण किया जायेगा। इससे प्रॉपर्टी टैक्स की प्राप्तियों में पारदर्शिता आयेगी। इन कार्यों के लिए 30 करोड़ का प्रावधान किया गया है। विभागवार महत्वपूर्ण अभिलेखों को डिजिटल रूप में तैयार करके छत्तीसगढ़ वेब अभिलेखागार में जन.सामान्य को सुविधा के लिए उपलब्ध कराया जायेगा, इसके लिए बजट में 03 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
 राज्य शासन द्वारा संचालित सभी प्रमुख जनकल्याणकारी योजनाओं की एकजाई मॉनिटरिंग अटल डैशबोर्ड के माध्यम से की जायेगी। इसके लिए 05 करोड़ का प्रावधान किया गया है। शासकीय धन के आय.व्यय की दैनिक निगरानी के लिए एकीकृत वित्तीय प्रबंधन सूचना प्रणाली (IFMIS- 2.0) प्रारंभ की जायेगी। एकीकृत ई.प्रोक्योरमेंट परियोजना के नवीन संस्करण हेतु 15 करोड़ का प्रावधान किया गया है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति.2020 को तत्परता से लागू किया जायेगा। डिजिटल एवं ए.आई. आधारित इको सिस्टम के माध्यम से शिक्षा की व्यवस्था की जायेगी।
 भारत नेट परियोजना के तहत राज्य की 9,804 ग्राम पंचायतों को ऑप्टिकल फाईबर केबल से जोड़ा जा चुका है। इसके रख.रखाव एवं संचालन के लिए 66 करोड़ की पूल निधि के गठन का प्रावधान किया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों में वाई.फाई के माध्यम से हॉट-स्पॉट स्थापित कर प्रदेश भर में इंटरनेट की पहुंच बढ़ायी जायेगी। इस हेतु प्रथम चरण में 1,000 ग्राम पंचायतों में वाई.फाई की सुविधा के लिए पी.एम.वाणी परियोजना अंतर्गत 37 करोड़ का प्रावधान किया गया है। शासन के विभिन्न विभागों द्वारा उपयोग किये जा रहे ई.परिसंपत्ति, मोबाईल एप, एवं वेबसाईट की सायबर सुरक्षा हेतु आवश्यक जांच एवं सर्टिफिकेशन की व्यवस्था की जायेगी।
 
कर प्रशासन में मजबूती एवं पारदर्शिता लाने के लिए सभी विभागों में आई.टी. टूल्स की सहायता ली जायेगी। कर प्राप्तियों में सुधार हेतु निगरानी तंत्र को भी मजबूत किया जायेगा। वस्तु एवं सेवाकर के संकलन में सुधार एवं पारदर्शिता के लिए राज्य मुख्यालय में बिजनेस इंटेलिजेंस यूनिट की स्थापना की जायेगी। इसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एवं मशीन लर्निंग का उपयोग करते हुए डाटा ड्रिवन फ्रॉड एनालिसिस सहित राजस्व संवर्धन के अन्य उपाय सुनिश्चित किये जायेंगे। इस हेतु 09 करोड़ 50 लाख का प्रावधान किया गया है। वस्तु एवं सेवा कर संबंधी अपीलीय मामलों के त्वरित निराकरण हेतु अधिकरण की स्थापना के लिए 05 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
 भूमि एवं भवनों का हस्तांतरण तथा अन्य विविध पंजीकृत संव्यवहार हेतु राष्ट्रीय सामान्य दस्तावेज पंजीकरण प्रणाली (NGDRS) सॉफ्टवेयर का उपयोग सभी जिलों में लागू किया जायेगा, इससे धोखाधड़ी एवं बेनामी लेन.देन की प्रवृत्ति पर अंकुश लगेगा। विचाराधीन संपत्तियों का ऑटोवेल्यूवेशन मॉड्यूल के तहत बाजार मूल्य की ऑनलाईन गणना का विकल्प होने से राजस्व प्राप्तियों में वृद्धि होगी, इसके लिए 10 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
 छत्तीसगढ़ सरकार के वर्ष 2024-25 के बजट में रायपुर-भिलाई सहित आसपास के क्षेत्रों को स्टेट कैपिटल रीजन के रूप में विकसित कर यहां विश्वस्तरीय आई.टी. सेक्टर विकसित किया जायेगा। नवा रायपुर, अटल नगर में “लाईवलीहुड सेन्टर ऑफ एक्सीलेंस” एवं दुर्ग जिले में “सेंटर ऑफ एंटरप्रेन्योरशिप” स्थापित किया जायेगा। स्टार्टअप्स को प्रोत्साहित करने के लिए इन्यूबेशन सेंटर की स्थापना तथा बी.पी.ओ. एवं के.पी.ओ. को आकर्षित करने के लिए आई.टी. पार्क की स्थापना की जायेगी। नवा रायपुर में आई.टी. आधारित रोजगार सृजन हेतु ‘प्लग एण्ड प्ले’ मॉडल का विकास किया जायेगा, इससे आर्थिक विकास एवं रोजगार सृजन के नये अवसर विकसित होंगे।
 जल संसाधन के बेहतर प्रबंधन हेतु डिजिटल सूचना प्रणाली विकसित की जायेगी। इसके लिए राज्य जल सूचना केन्द्र की स्थापना हेतु 01 करोड़ 56 लाख का प्रावधान किया गया है। जल जीवन मिशन की मॉनिटरिंग के लिए डैशबोर्ड एवं राज्य पोर्टल के साथ-साथ शिकायत निवारण एवं नये कनेक्शन हेतु ऑनलाईन आवेदन की व्यवस्था शुरू की जायेगी। जल की गुणवत्ता की ऑनलाईन मॉनिटरिंग की जायेगी।
 भू.नक्शों का जियो.रिफ्रेन्सिंग कराया जायेगा तथा प्रत्येक भू.खंड में यू.एल.पिन नंबर देते हुए भू.आधार कार्ड जारी किया जायेगा। नगरीय क्षेत्रों में 1: 500 के स्केल पर भूमि का नवीन सर्वेक्षण प्रारंभ किया जायेगा। इससे शहरी क्षेत्रों में छोटे भू.खण्डों को भू.नक्शे पर दर्ज किया जाना संभव हो सकेगा। भू.अभिलेखों को सिविल न्यायालयों से लिंक किया जायेगा। इससे सिविल न्यायालय द्वारा भूमि संबंधी प्रकरणों में पारित आदेशों के परिपालन में भू.अभिलेख का सुधार कार्य ऑनलाईन प्रक्रिया से संभव हो सकेगा। भूमि व्यपवर्तन की प्रक्रिया को ऑनलाईन एवं सरल किया जायेगा।
 सायबर क्राईम के प्रकरणों की संख्या में वृद्धि को देखते हुए कबीरधाम़, कोरबा, राजनांदगांव एवं रायगढ़ जिले में 04 नवीन सायबर पुलिस थानों की स्थापना के लिए बजट में प्रावधान किया गया है। ई.कोर्ट मिशन प्रोजेक्ट के क्रियान्वयन हेतु हार्डवेयर इंजीनियर एवं डाटा एण्ट्री ऑपरेटर के 596 पदों के सृजन का प्रावधान किया गया है l

Related Post

Leave A Comment

Don’t worry ! Your email address will not be published. Required fields are marked (*).

Chhattisgarh Aaj

Chhattisgarh Aaj News

Today News

Today News Hindi

Latest News India

Today Breaking News Headlines News
the news in hindi
Latest News, Breaking News Today
breaking news in india today live, latest news today, india news, breaking news in india today in english