शास्त्रों में कहीं-कहीं भगवान के नाम अथवा संतों को भगवान से बड़ा बताया गया, उसका क्या रहस्य है?
जगदगुरु कृपालु भक्तियोग तत्वदर्शन - भाग 264
साधक का प्रश्न ::: भगवान का नाम भगवान से बड़ा क्यों कहा जाता है?
जगदगुरुत्तम श्री कृपालु जी महाराज द्वारा उत्तर ::: भगवान से बड़ा भला कौन होगा? अब एक पर्स है, उसमें एक लाख रुपया रख दिया गया। अब उसकी कीमत जो पर्स की कीमत है वह नहीं रही, एक लाख रुपये की कीमत हो गई। इस प्रकार से जो यह कहा जाता है कि 'राम ते अधिक राम कर दासा', तो उसका मतलब यही है कि वस्तुतः कोई बड़ा नहीं है लेकिन रसिकों की भाषा में अपने मतलब की दृष्टि से कहा जाता है कि यह बड़ा है। अपना काम हल होने के कारण भगवान से उसकी कीमत बढ़ जाती है। इसीलिये कहा जाता है कि भगवान से भगवान का नाम भी बड़ा, लीला भी बड़ी और संत भी बड़ा। लेकिन सिद्धान्त की दृष्टि से नहीं बल्कि काम की दृष्टि से।
०० प्रवचनकर्ता ::: जगदगुरुत्तम श्री कृपालु जी महाराज
०० सन्दर्भ ::: साधन साध्य पत्रिका, मार्च 2016 अंक
०० सर्वाधिकार सुरक्षित ::: राधा गोविन्द समिति, नई दिल्ली के आधीन।
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(1) www.jkpliterature.org.in (website)
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(3) Sanatan Vaidik Dharm - Jagadguru Kripalu Parishat (App)
(4) Kripalu Nidhi (App)
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