पेटीएम को मिली बड़ी राहत, सरकार ने 50 करोड़ रुपये के निवेश को मंजूरी दी!
नई दिल्ली। चीन से जुड़े निवेश की जांच करने वाली सरकारी समिति से भारत के डिजिटल पेमेंट्स प्लेटफॉर्म पेटीएम को राहत मिली है। समिति ने पेटीएम को उसकी एक महत्वपूर्ण सहायक कंपनी में 50 करोड़ रुपये ($6 मिलियन) के निवेश को मंजूरी दे दी है। हालांकि, इस मंजूरी को अभी वित्त मंत्रालय से भी स्वीकृति मिलनी बाकी है। यह मंजूरी मिलने के बाद पेटीएम पेमेंट सर्विसेज अपने कारोबार को सामान्य रूप से फिर से शुरू कर सकेगी।
गौर करने वाली बात यह है कि पेटीएम पेमेंट सर्विसेज कंपनी के मुख्य कारोबार का एक बड़ा हिस्सा है। यह कंपनी Paytm के कुल मिलाकर वित्तीय वर्ष 2023 के रेवेन्यू का लगभग एक चौथाई है। बता दें कि इसी साल भारतीय रिजर्व बैंक ने नियमों का पालन नहीं करने के कारण Paytm पेमेंट्स बैंक का लाइसेंस रद्द कर दिया था। इसके चलते Paytm के शेयरों में भारी गिरावट आई थी।दरअसल, सरकारी समिति ने पहले इस निवेश को इसलिए मंजूरी नहीं दी थी क्योंकि Paytm में चीन की कंपनी एंट ग्रुप की 9.88% हिस्सेदारी है। 2020 में दोनों देशों के बीच सीमा पर हुए विवाद के बाद से भारत चीनी कंपनियों की जांच में काफी सख्त हो गया है।लगभग दो सालों से Paytm को सरकारी समिति की मंजूरी का इंतजार था। अगर यह मंजूरी नहीं मिलती तो Paytm को अपनी पेमेंट सर्विसेज का कारोबार भी बंद कर देना पड़ता। मार्च 2023 से तो Paytm नए ग्राहक भी नहीं जोड़ पा रहा था। सरकारी अनुमति मिलने के बाद, Paytm भारतीय रिजर्व बैंक से “पेमेंट एग्रीगेटर” लाइसेंस के लिए आवेदन कर सकेगा।
इस समिति में विदेश, गृह, वित्त और उद्योग मंत्रालयों के प्रतिनिधि होते हैं, लेकिन इन मंत्रालयों ने राय देने के लिए भेजे गए ईमेल का जवाब नहीं दिया। वहीं, Paytm के प्रवक्ता ने कहा कि कंपनी बाजार के अटकलों पर टिप्पणी नहीं करती है। प्रवक्ता ने कहा, “हम सेबी नियमों के तहत अपने दायित्वों का पालन करते हुए जानकारी देना जारी रखेंगे, और एक्सचेंजों को सूचित करेंगे जब कोई नई महत्वपूर्ण जानकारी साझा करने योग्य होगी।” फिलहाल यह पता नहीं चल सका है कि आखिर सरकारी समिति ने अपना फैसला क्यों बदला।
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