मंगल ग्रह पर दिखे बैंगनी रंग के रहस्यमयी पत्थर, वैज्ञानिक ने किया चौंकाने वाला खुलासा
दुनियाभर के वैज्ञानिक मंगल ग्रह के रहस्यों के बारे में जानने की कोशिश में लगे हुए हैं। समय-समय पर वैज्ञानिक मंगल ग्रह के बारे में नए-नए खुलासे करते रहते हैं। आमतौर मंगल ग्रह लाल रंग का दिखाई देता है। अब इस बीच अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के पर्सिवरेंस रोवर ने मंगल ग्रह पर बैंगनी रंग के पत्थर की खोज की है। दरअसल इन पत्थरों पर बैंगनी रंग की परत है। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि जेजेरो क्रेटर में हर तरफ ये बैंगनी रंग के छोटे और बड़े पत्थर मौजूद हैं।
नासा के वैज्ञानिक अभी यह पता नहीं लगा पाए हैं कि रहस्यमयी बैंगनी पत्थरों का निर्माण कैसे हुआ? या इन पत्थरों पर वैगनी रंग कैसे चढ़ गया। जियोकेमिस्ट एन ओलिला का कहना है कि पर्सिवरेंस रोवर से जो डेटा प्राप्त हुए हैं उससे इन रहस्यमयी रंगों के पत्थरों के बारे में कोई स्पष्ट जनाकारी नहीं मिल पाई है। उन्होंने अमेरिकन जियोफिजिकल यूनियन (एजीयू) में नेशनल जियोग्राफिक को यह जानकारी दी है।
मंगल ग्रह पर बैंगनी पत्थर मिलने से पहले हरे रंग के भी पत्थर मिल चुके हैं। साल 2016 में क्यूरियोसिटी रोवर ने माउंट शार्प के पास हरे रंग के पत्थरों की खोज की थी। अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने मंगल ग्रह पर अलग-अलग रंग के पत्थरों को खोजा है जिनमें कुछ न कुछ विभिन्नता है। एन ओलिला ने बताया है कि पर्ड्यू यूनिवर्सिटी के ब्रैडली गार्सिन्की की टीम इन बैंगनी पर वला पत्थरों पर रिसर्च कर रही है।
मंगल ग्रह पर बैंगनी पत्थरों की तस्वीरें पर्सिवरेंस रोवर के मास्टकैम-z कैमरा और eye कैम ने ली थी। अब इन तस्वीरों के माध्यम ब्रैडली गार्सिन्की की टीम रहस्यमयी पत्थरों की जांच करेगी। ब्रैडली का कहना है कि उन्होंने पहले कभी ऐसे पत्थरों को नहीं देखा है और ना ही पर्सिवरेंस रोवर ने ऐसे पत्थरो की जांच की थी। हम इन्हें देखकर हैरान हैं।
तो वहीं जियोकेमिस्ट एन ओलिला की टीम पत्थरों के ऊपर की परत को पिघलाकर पत्थर और बैंगनी परत की जांच करेगी। टीम पत्थरों को पर्सिवरेंस सुपरकैम के माध्यम से लेजर शूट कर पिघलाएगी। शुरुआती जांच के बाद वैज्ञानिकों ने बताया है कि पत्थरों पर चढ़े बैंगनी परत मुलायम हैं और रासायनिक तौर पर अलग हैं। पत्थर की अंदरुनी परत दूसरी तरह की है। वैज्ञानिकों का कहना है कि, हो सकता है कि हाइड्रोजन और मैग्नीशियम के मिश्रण से यह परत बन गई हो।
वैज्ञानिक यह जांच कर रहे हैं कि लाल ग्रह पर बैंगनी रंग के परत वाले पत्थर कहां से आए। इन पत्थरों पर बैंगनी रंग कैसे चढ़ा? वैज्ञानिकों के मन में यह भी सवाल उठ रहा है कि कहीं ये कोई सुक्ष्मजीव तो नहीं है। इस जीव ने सूर्य की तीव्र रेडिएशन से बचाने के लिए अपने ऊपर कोटिंग चढ़ा ली हो। अब जांच के बाद ही इन रहस्यमयी पत्थरों के बारे में पता लग पाएगा।
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