जिले के स्वास्थ्य केन्द्रों में एंटी-रेबीज वैक्सीन एवं रेबीज इम्युनोग्लोब्युलिन की उपलब्धता
दुर्ग. भारत सरकार के राष्ट्रीय रेबीज संक्रमण कार्यक्रम के अंतर्गत दुर्ग जिले में रेबीज की रोकथाम एवं नियंत्रण का कार्य किया जाता है। सीएमएचओ के अनुसार जिले में एंटी रेबीज वैक्सीन और रेबीज इम्युनोग्लोब्युलिन की दवाएं चंदूलाल चन्द्राकर चिकित्सा महाविद्यालय दुर्ग, जिला चिकित्सालय दुर्ग, सिविल अस्पताल सुपेला, ग्रामीण सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तथा शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र भिलाई, चरौदा एवं दुर्ग शहरी क्षेत्र में उपलब्ध है। ये दवाएं निःशुल्क उपलब्ध करायी जाती है।
रेबीज से बचाव के लिए क्या करें- किसी भी पशु के काटने या खरोंचने पर तुरंत साबुन और बहते पानी से कम से कम 15 मिनट तक घाव धोएं। घाव को धोने के बाद कोई तेल, हल्दी या अन्य पदार्थ न लगाएं। तुरंत निकटतम स्वास्थ्य या अस्पताल जाएं। चिकित्सक द्वारा बताई गई टीका श्रृंखला पूरी करें। अपने पालतू पशुओं को नियमित रूप से रेबीज वैक्सीन लगवाएं।
क्या न करें- घाव को काटें, दबाएं या छेड़ें नहीं। झाड़-फूंक, ताबीज या घरेलू उपचारों पर भरोसा न करें। पशु काटने की घटना को अनदेखा न करें। टीकाकरण को बीच में अधूरा न छोड़ें।
जिले के सभी नागरिकों से अपील की गई है कि पशु काटने की किसी भी घटना की तुरंत सूचना दें और बिना विलंब स्वास्थ्य संस्थान पहुंचकर टीकाकरण करवाएं। रेबीज से बचाव के लिए समय पर उठाया गया छोटा कदम जीवन रक्षक साबित हो सकता है।













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