30 साल लंबे अध्ययन ने खोजे अखरोट खाने के नए फायदे
सेहत को लेकर हुए 30 साल लंबे शोध में पाया गया है कि जो लोग बचपन से ही नियमित रूप से अखरोट खाते हैं, उनके दिल और सेहत बेहतर होने की ज्यादा संभावना होती है। ऐसे लोगों अपने जीवन के बाद के सालों में शारीरिक तौर पर ज्यादा सक्रिय तो होते ही हैं। उनमें दिल, मोटापा, डाइबिटीज जैसी लाइफस्टाइल संबंधित बीमारियां होने का जोखिम भी बहुत कम हो जाता है।
अखरोट उन सूखे मेवों में से है जिसे सेहत के लिए बहुत फायदेमंद माना जाता है। इसे दिमाग की सेहत के लिए बहुत अच्छा फल माना जाता है साथ ही इसे प्रतिरोधक क्षमता के लिए भी फायदा पहुंचाने वाला मेवा माना जाता है । लंबे समय तक किए गए अध्ययन मे पाया गया है, अखरोट को खुराक में नियमित रूप से शामिल करने से लोगों को सेहतमंद लाइफस्टाइल की आदतें अपनाने में मदद मिलती है। इस अध्ययन नतीजे इस विचार का भी समर्थन करते हैं कि बचपन से लेकर यौवन काल तक अखरोट खाने से बाद में दिल की बीमारी होने का जोखिम कम हो जाता है।
शोधगकर्ताओ ने पाया कि जिन प्रतिभागियों ने जीवन की शुरुआत अखरोट खाए थे उनके जीवन में आगे शारीरिक रूप से ज्यादा सक्रिय रहने की संभावना पाई गई। उनके खुराक की गुणवत्ता ज्यादा अच्छी थी और उनकी दिल की बीमारी के जोखिम की प्रोफाइल ज्यादा अच्छी थी जब 20 साल बाद उनकी सेहत का मूल्यांकन किया गया। शोधकर्ता मुख्य रूप से समय के साथ दिल की बीमारी विकसित होने की संभावनाओं का अध्ययन कर रहे थे.।
अखरोट अकेला ऐसा पेड़ है जिसमें से ओमेगा-3 एल्पा लिनोलेनिक एसिड का स्रोत होता है जिसका दिल, दिमाग और बढ़ती उम्र संबंधी सेहत से गहरा संबंध होता है। अखरोट में प्रोटीन फाइबर, मैग्नीशियम, और बहुत से एंटीऑक्सीडेंट भी मिलते हैं। शोधकर्ताओं का कहना कि अखरोट खाने वाले लोगों की शरीर में खास बॉडी फीनोटाइप होता है जिससे बेहतर खुराक की गुणवत्ता जैसे सकारात्मक फायदे देखने को मिलते हैं, खास तौर से अगर व्यक्ति ने बचपन से ही अखरोट खाए हों तो। इसके अलावा दिल की बीमारी, मोटापा और डायबिटीज जैसी बीमारियों का खतरा भी कम होता है।
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