पीलिया होने पर पिएं गन्ने का जूस, धीरे-धीरे कम होने लगेंगे लक्षण
शरीर में सीरम बिलीरुबीन की मात्रा अधिक हो जाने के कारण पीलिया होता है। इस स्थिति में हमारे शरीर से फिल्टर होकर निकलने वाल बिलीरुबीन लिवर तक नहीं पहुंच पाता है। इसके लक्षण नोटिस होने पर तुरंत उपचार लेने की सलाह दी जाती है। अगर समय रहते उपचार नहीं लिया जाता है, तो इससे सेहत को गंभीर नुकसान हो सकते हैं।
अच्छी बात यह है कि डॉक्टर से उपचार के साथ, डाइट में कुछ फूड्स को शामिल करने से आपको जल्द पीलिया को ठीक करने और इसके लक्षणों को कम करने में मदद मिल सकती है। गर्मियों में पीलिया होने पर गन्ने के जूस का सेवन बहुत लाभकारी साबित हो सकता है। आयुर्वेद में पीलिया के उपचार के लिए गन्ने के जूस का सेवन औषधि के तौर पर करने की सलाह दी जाती है। यह लिवर को मजबूत बनाता है। एंटीऑक्सिडेंट्स से भरपूर होने की वजह से गन्ने का जूस लिवर को संक्रमण से बचाने में मदद करता है। यह आपके लिवर को मजबूत बनाता है और बिलीरुबिन के स्तर को सामान्य करने में मदद करता है।
इसके अलावा, पाचन को दुरुस्त करने में भी गन्ने का जूस बहुत लाभकारी है। पीलिया में हमारा शरीर अधिक प्रोटीन तोड़ता है, इससे प्रोटीन का नुकसान होता है और रक्त में बिलीरुबिन का स्तर बढ़ता है। लेकिन अगर आप गन्ने का रस पीते हैं, तो इससे प्रोटीन के नुकसान की रिकवरी तेजी से होती है।
पीलिया में गन्ने का जूस कैसे पिएं-
रक्त में बिलीरुबिन के स्तर को कंट्रोल करने और पीलिया से जल्द छुटकारा पाने के लिए आपको रोज सुबह खाली पेट गन्ने के जूस का सेवन करना चाहिए। लेकिन आपको ताजा गन्ने का जूस ही पीना चाहिए। आप गन्ने के जूस में नींबू का रस और पुदीना के पत्ते भी शामिल कर सकते हैं। इससे भी सेहत को कई लाभ मिलेंगे। साथ ही, पीलिया के लक्षण जैसे त्वचा और आंखों में पीलापन, बुखार, पेट में दर्द आदि से भी राहत मिलेगी।
यह सही है कि गन्ने के जूस का सेवन पीलिया रोगियों के लिए लाभकारी साबित हो सकता है। लेकिन यह डॉक्टर के उपचार का कोई विकल्प नहीं है, बल्कि उपचार के साथ आपकी स्थिति में सुधार करने में मदद करता है। इसलिए डॉक्टर से उपचार जरूर लें।
Leave A Comment