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- दुर्ग /कलेक्टर श्री पुष्पेंद्र कुमार मीणा ने दुर्घटना में मृतक के परिजन को 4 लाख रूपये की आर्थिक सहायता अनुदान राशि स्वीकृत की है। प्राप्त जानकारी के अनुसार ग्राम झीट तहसील पाटन जिला दुर्ग निवासी कु. बबली को विगत 12 जुलाई 2018 को रात्रि में सोते वक्त सर्प के काटने से बेहोश होने पर परिजनों द्वारा उपचार हेतु सामुदायिक शासकीय अस्पताल पहुंचाया गया, जहां जांच के बाद उसे मृत घोषित कर दिया गया था। कलेक्टर द्वारा शासन के राजस्व एवं आपदा प्रबंधन के प्रावधानों के अनुरूप मृतिका स्व. बबली की माता रामकली विश्वकर्मा को 4 लाख रूपये की आर्थिक सहायता अनुदान राशि स्वीकृत की गई है।
- -हेल्प डेस्क से नागरिकों को मिलेगी जानकारीभिलाई नगर/ नगर पालिक निगम, भिलाई के मुख्य कार्यालय सुपेला में नागरिकों की सुविधा के लिए हेल्प डेस्क की स्थापना किया जाना है, जिसके माध्यम से निगम में आने वाले नागरिकों को अपने कार्य के लिए विभाग में भटकना नहीं पड़ेगा। महापौर नीरज पाल एवं आयुक्त रोहित व्यास के मार्गदर्शन में स्थापित किये जा रहे हेल्प डेस्क में मिलने वाले नागरिक सुविधाओं के संबंध में निगम के विभिन्न विभागो का सभागार में अपर आयुक्त अशोक द्विवेदी एवं प्रोग्रामर सुश्री दिप्ती साहू की उपस्थिति में प्रेजेंटेशन प्रस्तुत किया गया। भिलाई के नागरिकगण एवं हितग्राही अपने कार्य के लिए निगम मुख्यालय सुपेला में आना होता है और कौन से कार्य किस विभाग से पूर्ण होगा की जानकारी नहीं होने से परेशान होते है इस स्थिति से बचने के लिए महापौर एवं आयुक्त के निर्देश पर हेल्प डेस्क की स्थापना हो रहा है जहाॅ नागरिकों को एक ही स्थान पर सभी विभागों की जानकारी प्राप्त हो सकेगी।
- बालोद । कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा ने राष्ट्रीय खेल जू जित्सू में पदक प्राप्त करने वाले जिले के स्कूली विद्यार्थियों को बधाई एवं शुभकामनाएं दी है। कलेक्टर श्री शर्मा ने आज संयुक्त जिला कार्यालय स्थित अपने कक्ष में राष्ट्रीय खेल जू जित्सू में पदक प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों से भेंट कर खेल के संबंध में जानकारी प्राप्त की। इस दौरान उन्होंने विजेता विद्यार्थियों की उज्ज्वल भविष्य की कामना करते हुए कठिन परिश्रम एवं निरंतर साधना से जीवन में उपलब्धि हासिल करने को कहा। मौके पर उपस्थित विद्यार्थियों के कोच श्री सुरेश सांडिलय ने बताया कि 27 एवं 28 मार्च को मध्यप्रदेश के देवास में राष्ट्रीय खेल का आयोजन हुआ था, जिसमंे जिले की विद्यार्थी कुमारी गीता देशमुख ने सिल्वर, कुमारी याना सांडिल्य एवं कुमारी खिलेश्वरी ने ब्रांस मेडल सहित जिले के कुल 03 बच्चांे ने पदक प्राप्त किया। उन्होंने बताया कि गीता देशमुख स्वामी आत्मनंद उत्कृष्ट विद्यालय आमापरा बालोद में 8वीं की छात्रा है। वहीं याना देशमुख संस्कार शाला में कक्षा 11 वीं और खिलेश्वरी साहू शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बाघमारा में 9वीं की छात्रा है। उन्होंने बताया कि उनका अगला लक्ष्य 2026 में आयोजित एशिया कप में शामिल होकर पदक प्राप्त करना है। इस दौरान डिप्टी कलेक्टर सुश्री प्राची ठाकुर भी उपस्थित थीं।
- बालोद । विधानसभा आम निर्वाचन 2023 की तैयारियों के संबंध में आवश्यक बैठक कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री कुलदीप शर्मा की अध्यक्षता मंे गुरूवार 27 जुलाई को सुबह 10.30 बजे जिला पंचायत के सभाकक्ष में आयोजित की गई है। बैठक में सभी संबंधितों को निर्धारित, तिथि, स्थान में उपस्थित होने के निर्देश दिए गए हैं।
- -28 जुलाई को तांदुला जलाशय आदमाबाद में किया जाएगा मॉक एक्सरसाइजबालोद । राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण एवं राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के द्वारा जिले में बाढ़ बचाव के विषय पर आपदा प्रबंधन प्रशिक्षण कार्यक्रम 27 एवं 28 जुलाई को संयुक्त जिला कार्यालय सभाकक्ष में आयोजित किया जाएगा। इस संबंध मंे मॉक एक्सरसाइज का आयोजन 28 जुलाई को प्रातः 11 बजे से तांदुला जलाशय आदमाबाद में किया जाएगा। इसके साथ ही 27 जुलाई को संयुक्त जिला कार्यालय के सभाकक्ष में प्रातः 11 बजे बाढ़ बचाव के विषय पर परिचर्चा का भी आयोजन किया गया है। file photo
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-जिला स्तरीय कंट्रोल रूम का दूरभाष नंबर है- 07749-223950
बालोद । छत्तीसगढ़ शासन राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग मंत्रालय महानदी भवन अटल नगर नया रायपुर के तहत आगामी मानसून 2023 में हेतु दिये गये निर्देशानुसार संयुक्त जिला कार्यालय बालोद के रिसेप्शन कक्ष में आगामी आदेश पर्यन्त जिला स्तरीय कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है। जिला स्तरीय कंट्रोल रूम का फोन नम्बर 07749-223950 है। प्राकृतिक आपदा से बचाव एवं राहत व्यवस्था के संबंध में किसी भी प्रकार की जानकारी देने या प्राप्त करने हेतु जिला स्तरीय कंट्रोल रूम के दूरभाष क्रमांक पर संपर्क की जा सकती है। कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा ने डिप्टी कलेक्टर एवं प्रभारी अधिकारी भू-अभिलेख शाखा श्रीमती प्रतिमा ठाकरे झा को दैवीय विपत्ति एवं प्राकृतिक आपदा के संबंध में नोडल अधिकारी नियुक्त किया है। नोडल अधिकारी श्रीमती प्रतिमा ठाकरे झा का मोबाईल नम्बर 8770911099 है। इसी तरह जल संसाधन उप संभाग क्रमंाक-01 आदमाबाद बालोद के अनुविभागीय अधिकारी श्री के.के.वर्मा को नियंत्रण कक्ष प्रभारी अधिकारी नियुक्त किया गया है। श्री के.के.वर्मा का मोबाईल नम्बर 9300492281 है।कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा के निर्देशानुसार नियंत्रण कक्ष के 24 घंटे सुव्यवस्थित संचालन हेतु कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई है। इसके अंतर्गत नियंत्रण कक्ष में 01 अगस्त से 31 अगस्त तक के लिए श्री देवेन्द्र कुमार रावटे सहायक ग्रेड-03, श्री जीवराखन कुमार देशमुख भृत्य का प्रातः 06 बजे से दोपहर 02 बजे तक, श्री विजय साहू और श्री रविशंकर कचलाम भृत्य का दोपहर 02 बजे से रात्रि 10 बजे तक, श्री आनंद कुमार वर्मा सहायक ग्रेड-03 और श्री मनोज कुमार बर्मन भृत्य का रात्रि 10 बजे से प्रातः 06 बजे तक ड्यूटी लगाई गई है। इसी प्रकार नियंत्रण कक्ष में 01 सितंबर से 30 सितंबर तक के लिए श्री टिकेश्वर बक्शी सहायक ग्रेड-03, श्री शैलेष कुमार ताम्रकार भृत्य का प्रातः 06 बजे से दोपहर 02 बजे तक, श्री बृजेश कुमार यादव सहायक ग्रेड-03 और श्री सत्यप्रकाश ठाकुर भृत्य का दोपहर 02 बजे से रात्रि 10 बजे तक, श्री सुखदेव ठाकुर सहायक ग्रेड-03 और श्री रोमन सिंह भृत्य का रात्रि 10 बजे से प्रातः 06 बजे तक ड्यूटी लगाई गई है।उल्लेखनीय है कि कलेक्टर श्री कुलदीप शर्मा द्वारा गत् दिनों जिले के राजस्व एवं संबंधित विभाग के अधिकारियों की बैठक लेकर वर्षा ऋतु के दौरान किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति निर्मित होने पर प्रभावित व्यक्तियों के मदद एवं बचाव हेतु तत्काल उपाय सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हंै। श्री शर्मा ने राजस्व एवं संबंधित विभाग के अधिकारियों को पूरे समय मुस्तैद रहकर बाढ़-आपदा एवं इस दौरान दैवीय विपत्ति एवं प्राकृतिक आपदा से संबंधित किसी प्रकार की स्थिति उत्पन्न होने पर तत्काल राहत एवं बचाव के उपाय सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। कलेक्टर श्री शर्मा के निर्देशानुसार राजस्व, पुलिस एवं अन्य संबंधित विभागों के द्वारा पूरे समय क्रियाशील होकर इस दौरान उत्पन्न किसी भी स्थिति से निपटने पुख्ता उपाय सुनिश्चित किए गए है। इसके साथ ही संबंधित विभाग के अधिकारियों के द्वारा 24 घण्टे स्थिति पर नजर रखी जा रही है। file photo - बालोद । जिले में स्थित जवाहर नवोदय विद्यालय बालोद के एनईपी एनिवर्सरी के अवसर पर छात्र-छात्राओं के द्वारा विभिन्न गतिविधियों को आयोजन किया जा रहा है। इस अवसर पर प्राचार्य श्रीमती साधना अनुपम दलेला ने विद्यार्थियों को नवोदय विद्यालय के महत्ता एवं गौरवशाली इतिहास के संबंध में विस्तारपूर्वक जानकारी दी। उन्होंने विद्यार्थियों को कठिन परिश्रम एवं निरंतर साधना से अपने लक्ष्य की प्राप्ति कर अपने माता-पिता, विद्यालय के साथ-साथ स्वयं एवं परिवार का नाम रोशन करने को कहा। इस अवसर पर शिक्षकों एवं विद्यार्थियों के द्वारा विभिन्न विषयों पर प्रेरणास्पद जानकारी दी गई।
- -आवेदन पत्रों के आधार पर हितग्राहियों का चयन किया जाएगाबालोद । जिला अंत्यावसायी सहकारी विकास समिति मर्यादित बालोद के द्वारा राष्ट्रीय निगम योजना के अंतर्गत हितग्राहियों के चयन हेतु शुक्रवार 28 जुलाई को संयुक्त जिला कार्यालय सभाकक्ष में दोपहर 12 बजे बैठक का आयोजन किया गया है। इस दौरान राष्ट्रीय निगम योजना में वर्ष 2023-24 के लिए प्राप्त आवेदन पत्रों के आधार पर हितग्राहियों का चयन किया जाएगा।
- -नए मतदाताओं के नाम जोड़ने के साथ-साथ गलत प्रविष्टि आदि का किया जाएगा सुधारबालोद । मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी छत्तीसगढ़ के निर्देशानुसार फोटोयुक्त निर्वाचक नामावली का द्वितीय चरण के अंतर्गत 02 से 31 अगस्त तक विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। इस दौरान मतदाता सूची में मतदाताओं का नाम दर्ज नहीं होने पर नाम दर्ज कराने हेतु संबंधित मतदाताओं के द्वारा आवेदन प्रस्तुत किया जा सकता है। इसके साथ ही मतदाता का नाम, स्थान, पता की गलत प्रविष्टि होने पर सुधार भी कराया जा सकता है। इसके अलावा विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण के दौरान मृत अथवा स्थानांतरित मतदाताओं का नाम हटाने, नवीन फोटो युक्त परिचय पत्र प्राप्त करने हेतु भी आवेदन प्रस्तुत किया जा सकता है। इस दौरान आधार नंबर को मतदाता परिचय पत्र के साथ जोड़ने तथा दिव्यांग मतदाताओं को दिव्यांग मतदाताओं के रूप में स्वयं को चिन्हित कराने की कार्रवाई भी की जाएगी। विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम के दौरान आवेदकों को नवीन मतदाता बनने के लिए फॉर्म 06, आधार से मतदाता पहचान पत्र जोड़ने के लिए फॉर्म 06बी, मृत या स्थानांतरित मतदाताओं के नाम हटाने के लिए फॉर्म 07 तथा संशोधन, स्थानांतरण एवं प्रतिस्थापन मतदाता पहचान पत्र प्राप्त करने के लिए फॉर्म 08 को भरकर प्रस्तुत करना होगा। इन सभी कार्यों के लिए 12, 13 तथा 19, 20 अगस्त को मतदान केंद्रों में विशेष शिविर का आयोजन किया जाएगा। file photo
- -महानदी के किनारे, ब्लाक प्लांटेशन और सड़कों के दोनों ओर प्लांटेशन. कुल 2 लाख 80 हजार पौधे लगाये जा रहे, इनमें 73 प्रतिशत पौधों को लगाने का काम पूरारायपुर /पर्यावरण को सहेजने की बड़ी ड्राइव रायपुर जिले में हो रही है। इसमें दो लाख 80 हजार पौधे लगाये जा रहे हैं। इनमें से 73 प्रतिशत पौधे लगाये जा चुके हैं। इस बार फोकस सड़कों के साथ नदियों को लेकर भी है। नदियों को लेकर फोकस करना कई मायने में महत्वपूर्ण है। इससे न केवल प्लांटेशन का उद्देश्य पूरा होता है अपितु नदी किनारे पौधे लगाये जाने से मिट्टी का कटाव रूकता है। नदी का जलस्तर साल भर बनाये रखने के लिए भी यह अच्छा होता है क्योंकि पौधे सबसे ज्यादा पानी अवशोषित कर रखते हैं। इस तरह से यह प्लांटेशन की ड्राइव महानदी के लिए भी संजीवनी है। फिलहाल 66 हजार पौधे नदी तट पर लगाए जा रहे हैं। नदियों के किनारे फलदार पौधों का रोपण किया जा रहा है, ताकि इससे स्थानीय लोगों को आय भी हो सके। महानदी के तट को मजबूत बनाने और इसे सदा नीरा बनाये रखने में भी इस व्यापक प्लांटेशन ड्राइव से मदद मिलेगी।नदी तट पर फलदार और औषधीय पौधे- नदी तटों को मजबूत करने के लिए ऐसे पौधों का चयन किया गया है जिनकी जड़ें मजबूत होती हैं। पीपल जैसे पेड़ जो सर्वाधिक आक्सीजन देते हैं और नदी के इकालाजी को बनाये रखते हैं। वे भी रोपे गये हैं। औषधीय पेड़ों की भी डिमांड होती है और आयुर्वेद ग्रामों में जहाँ इनकी जागरूकता अधिक है ऐसे पौधों का काफी लाभ होता है। साथ ही परपंरागत स्थानीय पौधे भी लगाए जा रहे हैं स्थानीय प्रजातियों को सरक्षण भी मिलेगा। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने प्रदेश की जीवनदायी नदियों के संवर्धन और उन्हें संजीवनी प्रदान करने बड़े पैमाने पर इनके तटों पर प्लांटेशन के निर्देश दिये हैं। ऐसे ही निर्देश नदियों के सहयोगी नालों पर दिये गये हैं जिनमें प्लांटेशन नरवा योजना के अंतर्गत किया जा रहा है।सड़कों के दोनों ओर पौधे- वो शहर सबसे ज्यादा खूबसूरत होते हैं जिनकी सड़कों के दोनों ओर हरेभरे पेड़ होते हैं और जिनकी लताएं इन पेड़ों पर लगने वाले फूलों से महकती हैं और हजारों पक्षी इन पर बसेरा करते हैं। जिले के सड़कों पर पौधरोपण के लिए 14 किमी 700 मीटर का पैच चुना गया है। इसमें 14 हजार 690 पौधे अब तक रोपित किए गए हैं। सबसे ज्यादा कदंब और बादाम के पेड़ चुने गये हैं। कदंब बहुत तेजी से बढ़ने वाला पौधा है इसलिए सबसे ज्यादा जोर इस पर ही दिया गया। सड़कों के दोनों ओर पेड़ लगे होने से वायु प्रदूषण और धूल की रोकथाम के लिए भी यह पेड़ बहुत कारगर होंगे। कदंब और बादाम दोनों के पत्ते काफी चौड़े होते हैं। इसकी वजह से प्रदूषण की रोकथाम में इनकी कारगर भूमिका होती है। इसके अलावा गुलमोहर जैसे सदाबहार पौधे भी लगाये गये हैं जिनकी खूबसूरती बेमिसाल होती है। इन पौधों को सुरक्षित रखने के लिए वन विभाग द्वारा चैनलिंक फैंसिग की जा रही है।ब्लॉक प्लांटेशन भी- ब्लाक प्लांटेशन के माध्यम से एक बड़े एरिया में प्लांटेशन किया जा रहा है ताकि अलग-अलग तरह के पौधे लगाये जा सकें और इनका संवर्धन किया जा सके। एक बड़े क्षेत्र में प्लांटेशन के जाने से इनका रखरखाव आसान हो जाता है। इसके लिए 127 हेक्टेयर क्षेत्र में 1 लाख 40 हजार पौधे रोपित किए जा रहे हैं। जिन पौधों का रोपण किया गया इनमें- नीम, नीलगिरी, ऑवला, खम्हार, बांस, सागौन, औषधीय प्रजाति, कहवा, कटहल, आम, अमरूद, गुलमोहर, पेल्टाफार्म, अमलातास, सिरस, बदाम, कदंब, झारूल, करंज, अमलतास, शीशम और पीपल का किया गया। इनकी लंबाई 3 से 5 फिट है।
- -बिना गारंटर के 1 लाख 60 हजार और गारंटर के साथ 3 लाख रूपये का मिल रहा ऋणरायपुर /पशुपालन विभाग द्वारा पशुपालकों के लिए किसान क्रेडिट कार्ड योजना के माध्यम से बैंक के माध्यम से ऋण दिया जा रहा है। इससे पशुपालक की प्रतिदिन की आवश्यकताओं जैसे-चारा, पानी, बिजली की पूर्ति के लिए सहयोग मिलेगा। जिले में अबतक चलाए गए अभियान से 367 पशुपालकों को किसान क्रेडिट कार्ड बनाकर ऋण की राशि स्वीकृत तय की गई है।पशुधन विकास विभाग जिला रायपुर के संयुक्त संचालक डॉ एस. एल.उईके ने बताया कि पशुपालकों को दिए जाने वाले उक्त ऋण की सीमा बिना गारंटर के 1.60 लाख एवं गारंटर के साथ तीन लाख तक है। इस ऋण की अवधि 1 वर्ष के लिए होती है। पशुपालकों की सुविधा हेतु बैंकों एवं विभागीय अधिकारियों के समन्वय से प्रति सप्ताह के.सी.सी. शिविरों का आयोजन जिले के चारों विकास खंडों में किया जा रहा है, जिसमें पशुपालक आवश्यक दस्तावेज जैसे आवेदक का पहचान पत्र, आधार कार्ड, पैन कार्ड या वोटर आईडी कार्ड एवं दो पासपोर्ट साइज फोटो के साथ अपना किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने हेतु आवेदन कर सकते हैं।श्री उईके ने बताया कि किसान क्रेडिट कार्ड योजना को अभियान के रूप में 1 मई 2023 से 31 मार्च 2024 तक निरंतर चलाया जा रहा है। पशुधन विकास विभाग के अधिकारी विभिन्न बैंको के अधिकारियों के साथ समन्वय कर ग्राम पंचायत, गौठान आदि स्थानों पर शिविर का आयोजन कर के.सी.सी कार्ड बनाने की कार्यवाही निरंतर कर रहे हैं जिससे अधिक से अधिक पशुपालकों को योजना का लाभ मिल सके।
- -शिक्षा प्रोत्साहन से श्रमिकों के बच्चे भी बन सकेंगे कलेक्टर और एसपी : श्री शफी अहमद खान-साढ़े चार साल में 9065 संस्थान और 4.5 लाख से अधिक श्रमिक पंजीकृत-श्रमिकों के बच्चों को शिक्षा प्रोत्साहन राशि का चेक व सायकल वितरित-श्रम कल्याण मण्डल द्वारा श्रमिक सम्मेलन सम्पन्नरायपुर /छत्तीसगढ़ राज्य श्रम कल्याण मण्डल द्वारा आयोजित राजधानी रायपुर के खमतराई स्थित पाटीदार भवन में आयोजित श्रमिक सम्मेेलन को सम्बोधित करते विधायक श्री सत्यनारायण शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार श्रमिकों की उन्नति एवं समृद्धि के लिए श्रमिक सुरक्षा और कल्याण हेतु अनेक जन कल्याणकारी योजनाएं संचालित कर रही है। हम सबका दायित्व है कि श्रमिकों को शासन की इन योजनाओं को ज्यादा से ज्यादा लाभ पहुंचानें में मदद करें। उन्होंने कहा कि श्रम कल्याण मण्डल संगठित मजदूरों और नियोजकों के हित में काम करती है, यदि नियोजक और श्रमिक समन्वय से काम करें तो बड़ी से बड़ी समस्याएं आसानी से हल हो जाएगी। उन्होंने गरीब, मजदूर की पीड़ा को महसूस करने हुए उनके विकास में सहभागी बनने जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों व कर्मचारियों से अपील की।छत्तीसगढ़ राज्य श्रम कल्याण मण्डल के अध्यक्ष श्री शफी अहमद खान ने श्रमिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि भले ही हम श्रमिकों को कलेक्टर-एसपी ना बना पाएं, लेकिन मण्डल द्वारा संचालित शिक्षा प्रोत्साहन सहित अन्य हितकारी योजनाओं के माध्यम से श्रमिकों के बच्चों को कलेक्टर और एसपी जरूर बना सकते हैं। इसके लिए हम सबको श्रमिक कल्याण के लिए काम करने की जरूरत है। श्री खान ने श्रम विभाग के अंतर्गत अलग-अलग विंग में राज्य सरकार द्वारा श्रमिकों के उत्थान के लिए किए जा कार्यों एवं संचालित योजनाओं के बारे में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि पूर्ववती सरकार के समय श्रम कल्याण मण्डल में केवल 3355 संस्थान तथा लगभग दो लाख श्रमिक ही पंजीकृत थे। हमारी सरकार आने के बाद विगत साढ़े चार वर्षों में व्यापक जन जागरूता एवं श्रमिक हितैषी निर्णयों सेे 9065 से अधिक संस्थाओं और 4.5 लाख से अधिक श्रमिकों का पंजीजन किया गया है। उन्हांेने श्रम कल्याण मण्डल में संचालित योजनाओं का लाभ लेने अधिक से अधिक श्रमिकों को मण्डल में पंजीयन करवाने की अपील की। उन्होंने इस मौके विधायक श्री सत्यनारायण के सुझाव पर बिरगांव में श्रमिक अन्न केन्द्र व सिलाई प्रशिक्षण केन्द्र प्रारंभ करने की घोषणा की। कार्यक्रम में अन्य सदस्यों ने भी श्रमिक सम्मेलन को संबोधित किया। कार्यक्रम में श्रमिकों के बच्चों को शिक्षा प्रोत्साहन की राशि का चेक व सायकल वितरित किया गया।इस अवसर पर नगर निगम बिरगांव के महापौर श्री नंदलाल देवांगन, मण्डल के सदस्यगण सर्वश्री मनोज सिंह ठाकुर, मदन तालेड़ा, शारिक खान, नरेश गढ़वाल, सुरेश मसीह, इंटक रायपुर के अध्यक्ष श्री आशीष दुबे, मण्डल के आयुक्त श्री एस.एल. जांगड़े, वरिष्ठ सामाज सेवी श्री के.के. शर्मा, श्री उधोलाल वर्मा, श्री योगेश सोलंकी, गिरिश दुबे सहित बड़ी संख्या में नियोजक और श्रमिक उपस्थित थे।
- -करलखा और कोचवाही के गौठान में गौमूत्र से हो रही है, फसलों की संजीवनी ब्रम्हास्त्र तैयाररायपुर, / राज्य सरकार द्वारा ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने और लोगों को स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने के लिए विभिन्न कार्यक्रम चलाये जा रहे हैं। इसके अंतर्गत ग्रामीण कृषि, पशुपालन और उनके उत्पाद तथा अपशिष्ट पदार्थ का उपयोग स्थानीय स्तर पर कृषि एवं उस पर आधारित कार्यों में कर रहे हैं। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की गोधन न्याय योजना के तहत गौठानों में ग्रामीण पशुपालकों से 2 रुपए प्रति किलो गोबर और 4 रुपए प्रति लीटर की दर से गौमूत्र की खरीदी की जा रही है। जैविक खेती के लिए गोबर का उपयोग वर्मी खाद बनाने तथा गौमूत्र का उपयोग कीटनाशक दवाई ब्रह्मास्त्र और वृद्धिवर्धक जीवामृत बनाने में किया जा रहा है। राज्य की स्व-सहायता समूह की महिलाएं इससे लाभान्वित हो रही है।नारायणपुर जिले के ग्राम करलखा और कोचवाही के गौठान में गौमूत्र से ब्रम्हास्त्र और जीवामृत बनाई जा रही है। वर्तमान में जब रसायन युक्त खेती के कई हानिकारक प्रभावों से हमें जूझना पड़ रहा है, तब जैविक खेती को अपनाने की पहल भी शुरू हो रही है। जैविक खेती में मुख्य रूप से गोबर खाद का उपयोग किया जाता है, लेकिन कीट पतंगों से बचाव के लिए कोई विशेष उपाय नहीं होने के कारण अधिकतर किसानों का फसल नुकसान हो जाता है। फसलों की बचाव के लिए छत्तीसगढ़ सरकार का एक महत्वपूर्ण नवाचार गौमूत्र से दवाई फसल की बचाव के लिए संजीवनी साबित हो रही है।जिले के किसानों को जैविक दवाई उपलब्ध कराने हेतु जिला प्रशासन के द्वारा गौठानों में स्व-सहायता समूह के सदस्यों के माध्यम से गौमूत्र से ब्रम्हास्त्र और जीवामृत तैयार किया जा रहा है। गौमूत्र विशेष गुणों से युक्त होता है, जिसका प्रयोग विभिन्न कार्यों में किया जाता है। इसे बनाने के लिए गौमूत्र को पांच प्रकार की पत्तियों जैसे नीम, करंजी, पपीता, सीताफल और अमरुद के साथ उबालकर ठंडा किया जाता है और पैकेजिंग कर विक्रय किया जा रहा है। इसे उपयोग करने के लिए 5 लीटर ब्रह्मास्त्र को 100 लीटर पानी में मिलाकर प्रत्येक पंद्रह दिनों में फसलों में छिड़काव किया जाता है। इसके अतिरिक्त किसानों की मांग अनुसार गौमूत्र वृद्धि वर्धक का उत्पादन भी किया जा रहा है। एक लीटर ब्रह्मास्त्र पचास रुपए में और वृद्धिवर्धक चालीस रुपए में करलखा एवं कोचवाही गौठान तथा सी-मार्ट से खरीदा जा सकता है। करलखा में झांसी की रानी महिला स्व-सहायता समूह और कोचवाही में सरस्वती महिला स्व सहायता समूह द्वारा इन उत्पादों को विक्रय कर 64 हजार 950 रूपए की आय अर्जित की गई है। रसायन मुक्त भोजन और स्वस्थ जीवनशैली के लिए गौमूत्र आधारित खेती वर्तमान की मांग है। गौठान में स्व सहायता समूह की महिलाओं को ब्रम्हास्त्र बनाने के साथ ही स्व-रोजगार मिल रही है, जिससे समूह की महिलाएं आत्मनिर्भर होती जा रही हैं।
- -पशुधन विकास मंत्री श्री चौबे ने किया अवलोकनरायपुर, / प्रदेश के गौठानों में पशु चिकित्सा और रोगों की जांच की सुविधा और सुदृढ़ होगी। मोबाईल मेडिकल यूनिट के माध्यम से गौठानों मे पशु चिकित्सा की सुविधा मिलेगी। इसका जल्द शुभारंभ किया जाएगा। पशुधन विकास मंत्री श्री रविन्द्र चौबे ने आज अपने निवास में मोबाईल पशु चिकित्सा इकाई (मोबाईल वैटेनरी यूनिट) मोबाईल मेडिकल यूनिट का अवलोकन किया। कृषि उत्पादन आयुक्त डॉ. कमलप्रीत सिंह ने भी इस मोबाईल यूनिट के संबंध मे जानकारी ली और आवश्यक निर्देश दिए। पशुधन विकास विभाग द्वारा 1962 टोल-फ्री नंबर की जल्द शुरूआत की जाएगी। जिसमें पशुपालक सुबह 8 से शाम 4 बजे तक पशुओं की बीमारी के संबंध सलाह ले सकेंगे। इस नंबर पर उन्हे पशु चिकित्सक द्वारा सलाह और समीप के पशु चिकित्सालय के संबंध में जानकारी दी जाएगी।मोबाईल मेडिकल यूनिट प्रदेश के विकासखण्ड स्तर पर जल्द उपलब्ध होगी। छोटे विकासखण्ड पर एक और बड़े विकासखण्ड स्तर पर दो मोबाईल मेडिकल यूनिट होंगे। राज्य में मोबाईल मेडिकल यूनिट की संख्या 163 होगी। यह प्रतिदिन दो और महीने में 50 गौठान एवं ग्राम में पहुंचेगी। इसमें एक पशु चिकित्सक और वैटेनरी असिस्टेंट होगा। इस मोबाईल मेडिकल यूनिट के माध्यम से पशुओं की चिकित्सा और पशु रोगों का जांच, टीकाकरण, कृत्रिम गर्भाधान, शल्य चिकित्सा की सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इस मोबाईल मेडिकल यूनिट एक बड़ी एलईडी टीव्ही लगी हुई है, जिसमें पशुधन विकास की योजनाओं की सम्पूर्ण जानकारी दी जाएगी। इस अवसर पर पशुधन विकास विभाग के संचालक श्रीमती चंदन संजय त्रिपाठी, ओएसडी डॉ. मौसम मेहरा, अपर संचालक डॉ. के.के. ध्रुव और डॉ. महावीर सरसीहा उपस्थित थे ।
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बिलासपुर/जिला सैनिक कल्याण कार्यालय में आज कारगिल विजय दिवस मनाया गया। कार्यक्रम में उपस्थित सभी अतिथियों एवं पूर्व सैनिकों द्वारा कारगिल युद्ध के शहीद जवानों के छायाचित्र पर पुष्पांजलि कर एवं दो मिनट का मौन धारण कर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। मुख्य अतिथि एडीएम श्री आर.ए. कुरूवंशी ने शहीद जवानों को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि कारगिल युद्ध में देश की रक्षा के लिए हमारे वीर सपूतों ने अपना प्राण न्यौछावर कर दिया। उनका यह योगदान अविस्मरणीय है। कार्यक्रम में एडीएम श्री कुरूवंशी ने पूर्व सैनिक श्री लखन कुमार दीक्षित को उनके 75वें जन्मदिवस पर शाल भेंट कर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर कर्नल बिसन, ग्रुप कैप्टन श्री निवास, कैप्टन शर्मा एवं विंग कमाण्डर आलोक सहाय, कर्नल डॉ. सुकुल, सुबेदार शिवेन्द्र नारायण पाण्डे एवं पैरा कमाण्डो पुरूषोत्तम कुमार चन्द्रा सहित पूर्व सैनिक एवं उनके परिजन उपस्थित थे। उल्लेखनीय है कि वर्ष 1999 में भारत और पाकिस्तान के सेनाओं के बीच कारगिल युद्ध हुआ था, जिसमें 26 जुलाई 1999 को भारत ने विजय हासिल किया था। कारगिल युद्ध के शहीदों की याद में हर वर्ष 26 जुलाई को कारगिल विजय दिवस मनाया जाता है और उनके शौर्य और बलिदान को याद किया जाता है।
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बिलासपुर/एकीकृत बाल विकास परियोजना सकरी अंतर्गत आंगनबाड़ी केंद्र कोपरा, छतौना 3, खजुरी नवागांव 2, भरारी 1, पथर्रा में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं पोड़ी 1, पाली, पांड 1 केंद्र में सहायिकाओं की नियुक्ति हेतु दावा आपत्ति आमंत्रित किये गये है। दावा आपत्ति के लिए आवेदन 2 अगस्त से 11 अगस्त तक कार्यालय परियोजना अधिकारी एकीकृत बाल विकास परियोजना सकरी में कार्यालयीन समय में जमा किये जा सकते है।
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शासकीय दृष्टि एवं श्रवण बाधितार्थ विद्यालय के छात्रों ने मतदान हेतु किया प्रेरित
मतदान की थीम पर छात्रों ने बनाई आकर्षक राखी
बिलासपुर/जिले में मतदाता जागरूकता कार्यक्रम ‘‘स्वीप’’ के तहत समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित शासकीय दृष्टि एवं श्रवण बाधितार्थ विद्यालय तिफरा बिलासपुर में श्रवण बाधित दिव्यांग छात्र-छात्राओं के द्वारा मतदान की थीम पर आधारित आकर्षक राखी बनाकर तथा सांकेतिक भाषा में नारों से मतदाताओं को शत प्रतिशत मतदान हेतु प्रेरित किया। विद्यालय के दृष्टि बाधित दिव्यांग छात्रों ने मतदान का महत्व विषय पर आधारित निबंध प्रतियोगिता में भाग लिया। छात्रों ने लिखा कि देश की उन्नति और खुशहाली के लिए सभी मतदाताओं को वोट अवश्य देना चाहिए। छोड़कर अपने सारे काम, पहले करेंगे हम मतदान। आगामी विधानसभा निर्वाचन को दृष्टिगत रखते हुए जिले में जोरों-शोरों से मतदाता जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे है। बड़ी संख्या में स्कूली एवं विद्यालयीन छात्र-छात्राओं, शिक्षकगण, अधिकारी-कर्मचारी इस कार्यक्रम में भाग ले रहे है। मतदाता जागरूकता रैली का आयोजन कर नागरिकों को अपने मताधिकार का शत् प्रतिशत उपयोग करने हेतु जागरूक किया जा रहा है। -
रायपुर। प्रांतीय अखंड ब्राम्हण समाज संगठन द्वारा सावन उत्सव का आयोजन सुंदर नगर में किया गया। प्रदेश अध्यक्ष भारती किरण शर्मा ने कार्यक्रम के बारे में जानकारी दी। प्रदेश सांस्कृतिक सचिव शजिन्ता शुक्ल द्वारा सावन के ऊपर बहुत ही रोचक सावन तम्बोला खेल खिलाया गया- जिसमें बादल बरस गया.., टिप टिप बरसा पानी.., काली घटा छा गई.. आदि नामों पर विजेता प्रथम हेमलता शुक्ला द्वितीय सरिता शर्मा तृतीय रानी दुबे घोषित किए गए। सावन से संबंधित शब्दों वाले खेल में अत्यधिक आनंद लिए जिसमें, प्रथम रहीं सुनीता बीनु मिश्रा, द्वितीय सुषमा कौशलेंद्र शुक्ला, तृतीय प्रीति शुक्ला।
मनभावन सावन माह में शिवभक्त माता सती को प्रकृति के रूप में समझाने का सन्देश दिया। इसे आल्हादित प्रेम में ओतप्रोत हो कर स्त्रीत्व को प्रकृतिवादी पर्यावरणीय प्रेम का सामूहिक आयोजन कहना ही उचित है। मातृ शक्ति के अप्रतिम प्रेम की अभिव्यक्ति सावन झूले सामूहिक आनंद से हुई। तीसरे खेल 'बारह महीने के मुख्य त्योहारों के नाम' में- प्रथम रीता शर्मा, द्वितीय प्रीति शुक्ला, तथा तृतीय रोशनी शुक्ला रहीं। सावन उत्सव की समाप्ति वंदे मातरम गीत के द्वारा हुईl
- -मतदाता जागरूकता के लिए प्रभावी गतिविधियां संचालित करने के दिए निर्देश-ईसीआई ने नवविवाहित महिलाओं के नाम मतदाता सूची में जोड़ने चलाए जा रहे नवविवाहिता सम्मान कार्यक्रम को सराहारायपुर। आगामी विधानसभा आम निवार्चन के दृष्टिगत भारत निर्वाचन आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों ने छत्तीसगढ़ में संचालित स्वीप कार्यक्रमों की समीक्षा की। छत्तीसगढ़ प्रशासन अकादमी निमोरा में आयोजित दो दिवसीय समीक्षा-सह-प्रशिक्षण कार्यक्रम में आयोग के अधिकारियों ने सभी जिलों में मतदाताओं को जागरूक करने चलाई जा रही गतिविधियों की समीक्षा की और उप जिला निर्वाचन अधिकारी-सह-जिला स्तरीय स्वीप नोडल अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। भारत निर्वाचन आयोग में स्वीप के संचालक श्री संतोष अजमेरा, सचिव श्री संतोष कुमार, स्वीप के वरिष्ठ सलाहकार श्री आर.के. सिंह और सुश्री रजनी उपाध्याय राज्य में स्वीप गतिविधियों की समीक्षा के लिए दो दिनों के प्रवास पर रायपुर आए हुए हैं।भारत निर्वाचन आयोग में स्वीप के संचालक श्री संतोष अजमेरा ने जिला निर्वाचन अधिकारियों और उप जिला निर्वाचन अधिकारियों के प्रशिक्षण के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि निष्पक्ष और पारदर्शी निर्वाचन के लिए आयोग निर्वाचन की हर गतिविधियों को गंभीरता से संचालित करती है। त्रुटिरहित निर्वाचक नामावली से सुचारू मतदान में मदद मिलती है। उन्होंने मतदाता जागरूकता, निर्वाचक पंजीयन और मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए आयोग द्वारा किए जा रहे विभिन्न नवाचारों और स्वीप गतिविधियों की जानकारी दी। उन्होंने छत्तीसगढ़ में नवविवाहित महिलाओं के नाम उनके नए निवास स्थल की मतदाता सूची में जोड़ने के लिए मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा चलाए जा रहे नवविवाहिता सम्मान कार्यक्रम की सराहना की।श्री अजमेरा ने कहा कि स्वीप गतिविधियों के कारण निर्वाचन की प्रक्रिया को और अधिक सहभागी बनाने तथा मतदाताओं का पंजीयन एवं मतदान प्रतिशत बढ़ाने में मदद मिली है। उन्होंने उम्मीद जताई कि अधिकारियों का यह दो दिनों का प्रशिक्षण उपयोगी होगा और यह उन्हें निर्वाचन के दौरान अपनी जिम्मेदारियों के बेहतर निर्वहन के लिए मार्गदर्शन प्रदान करेगा। श्री अजमेरा ने उद्घाटन सत्र के दौरान विधानसभा निर्वाचन हेतु मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा तैयार मास्कोट 'चुनई चिरई' का अनावरण भी किया।
- -31 जुलाई तक चलेगी प्रतियोगिता-08 राजीव युवा मितान क्लब का बनाया गया है एक जोनरायपुर / हरेली तिहार के दिन शुरू हुए छत्तीसगढ़िया ओलंपिक के दूसरे चरण जोन स्तर की शुरूआत 26 जुलाई से हो रही है। इसमें 8 राजीव युवा मितान क्लब को मिलाकर 01 जोन बनाया गया है। जोन स्तर की इस प्रतियोगिता का समापन 31 जुलाई को होगा। पहले चरण में राजीव युवा मितान क्लब स्तर की प्रतियोगिता ग्रामीण एवं नगरीय क्षेत्रों में 17 जुलाई से 22 जुलाई तक आयोजित की गई थी। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की पहल पर पिछले वर्ष छत्तीसगढ़ के पारंपरिक खेलों को प्रोत्साहित करने, खेलों के प्रति जागरूकता फैलाने, खिलाड़ियों को मंच प्रदान करने और खेल भावना का विकास करने के उद्देश्य से शुरू की गई छत्तीसगढ़िया ओलंपिक को अभूतपूर्व लोकप्रियता मिली। ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में लोगों ने इस ओलंपिक में बढ़-चढ़ कर हिस्सा लिया। इस वर्ष चल रही छत्तीसगढ़िया ओलंपिक मंे भाग लेने को लेकर लोगों में भारी उत्साह है।दूसरे चरण में जोन स्तर पर ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में आयोजित छत्तीसगढ़िया ओलंपिक प्रतियोगिता में 08 राजीव युवा मितान क्लब क्षेत्रों का एक जोन बनाया जाएगा। ग्रामीण क्षेत्रों में जोन बनाने का दायित्व पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग को एवं शहरी क्षेत्रों में नगरीय प्रशासन विभाग के द्वारा नामांकित अधिकारी को दिया गया है। मुकाबला नॉक आऊट पद्धति से राजीव युवा मितान क्लब के विजेता प्रतिभागी एवं दलों के मध्य होगा। ग्रामीण क्षेत्रों में विजेता प्रतिभागी एव ंदल आयुवार एवं वर्गवार विकासखंड स्तरीय प्रतियोगिता में एवं शहरी क्षेत्रों में विजेता प्रतिभागी ंदल आयुवार एवं वर्गवार नगरीय क्लस्टर स्तर की प्रतियोगिता में भाग लेंगे।राजीव युवा मितान क्लब स्तर एवं जोन स्तर के समापन के बाद तीसरे चरण विकासखंड एवं नगरीय क्लस्टर स्तर पर आयोजन 7 अगस्त से 21 अगस्त तक, चौथे चरण जिला स्तर पर आयोजन 25 अगस्त से 04 सितंबर तक, पांचवे चरण संभाग स्तर पर आयोजन 10 सितंबर से 20 सितंबर तक और अंतिम में राज्य स्तर खेल प्रतियोगिताएं आयोजित होंगी। जिसका आयोजन 25 सितंबर से 27 सितंबर तक होगा।छत्तीसगढ़ के पारम्परिक खेल प्रतियोगिता दलीय व एकल दो श्रेणी में आयोजित की जा रही है। छत्तीसगढ़िया ओलम्पिक में दलीय श्रेणी में गिल्ली डंडा, पिट्टूल, संखली, लंगड़ी दौड़, कबड्डी, खो-खो, रस्साकसी और बांटी (कंचा) जैसी खेल विधाएं शामिल की गई हैं। वहीं एकल श्रेणी की खेल विधा में बिल्लस, फुगड़ी, गेड़ी दौड़, भंवरा, 100 मीटर दौड़, लम्बी कूद, रस्सी कूद एवं कुश्ती शामिल हैं।
- रायपुर /भारत सरकार, राष्ट्रीय आदिवासी छात्र शिक्षा समिति नई दिल्ली द्वारा छत्तीसगढ़ राज्य में एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालयों का संचालन किया जा रहा है। प्रदेश में संचालित एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालयों के लिए शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक कर्मचारियों की भर्ती हेतु ऑनलाईन आवेदन 31 जुलाई तक आमंत्रित किए गए हैं। इन विद्यालयों के लिए ऑनलाईन आवेदन, शैक्षिक योग्यता, शिक्षण अनुभव (जहां भी लागू हो) और अन्य पात्रता मानदंडों सहित विस्तृत जानकारी www.emrs.tribal.gov.in पर उपलब्ध है। इच्छुक एवं पात्र उम्मीदवार 31 जुलाई को रात्रि 11.30 बजे तक निर्धारित प्रपत्र में ऑनलाईन आवेदन कर सकते हैं।
- -अब पंजीकरण की अंतिम तिथि 10 अगस्त तथा फिल्म प्रविष्टि की अंतिम तिथि 12 अगस्तरायपुर /अंतर्विभागीय लीड एजेंसी (सड़क सुरक्षा) छत्तीसगढ़ से प्राप्त जानकारी के अनुसार सड़क सुरक्षा जनजागरूकता में सहभागिता हेतु अनेक फिल्म निर्माताओं तथा गणमान्य नागरिको के अनुरोध पर राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव छत्तीसगढ़ 2023 में पंजीकरण की अंतिम तिथि 25 जुलाई 2023 से बढ़ाकर 10 अगस्त 2023 तथा फिल्म प्रविष्टि की अंतिम तिथि 26 जुलाई 2023 से बढ़ाकर 12 अगस्त 2023 की गई है।उल्लेखनीय है कि इस महत्वपूर्ण आयोजन में अब तक देश के विभिन्न राज्यों में उत्तर प्रदेश गुजरात, मध्यप्रदेश, कर्नाटक, केरल, महाराष्ट्र, बिहार, पंजाब, असम, राजस्थान, पश्चिम बंगाल, आंध्रप्रदेश, हरियाणा, झारखण्ड, दिल्ली, उड़ीसा से कुल 64 तथा छत्तीसगढ़ के विभिन्न क्षेत्रो के 80 प्रतिभागियों के पंजीकरण हुए है। इस संबंध में अधिक जानकारी के लिये मोबाईल नंबर- 90408-34734 अथवा 94791-91791 में संपर्क किया जा सकता है।प्रतिभागियों के लिये दिशा-निर्देशफिल्म एक डॉक्यूमेंट्री, प्रयोगात्मक, कथात्मक, काल्पनिक, गैर कॉल्पनिक या एनीमेशन हो सकती है। मूल फिल्म यथासंभव उच्चतम गणवत्ता (1920X1080 या उससे ऊपर) की सड़क सुरक्षा थीम पर आधारित होनी चाहिए। प्रतिभागियों के लिए सर्वप्रथम https://forms.gle/6fixo79kCbuzbydh8 में पंजीकरण अनिवार्य है। राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव, छत्तीसगढ़ में भाग लेने के लिए कोई प्रवेश शुल्क नहीं है और आयोजक टीम से कोई भी कभी भी किसी भी प्रकार का शुल्क नहीं मांगेगा। प्रतिभागी की न्यूनतम आयु 18 वर्ष या उससे अधिक होनी चाहिए। एक प्रतिभागी के लिए अधिकतम तीन प्रविष्टियों की पात्रता है। फिल्म की कुल अवधि क्रेडिट सहित (फ्रंट और एण्ड) अधिकतम 140 सेकण्ड (2.20 मिनट) हो सकती है।राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव, छत्तीसगढ़ 2023 में दो श्रेणियों में प्रस्तुतियां स्वीकार की जाएगी। इनमें (1) छत्तीसगढ़ी भाषा (छत्तीसगढ़ी, गोडी, धुर्वा, भतरी, दोरली, संबलपुरी, कुड़ख, सदरी, बैगानी, कमारी, औरिया, सरगुजिया, दंतेवाड़ा गोड़ी आदि) और (2) अन्य भारतीय भाषा, सभी प्रविष्टियों के लिए हिंदी में उपशीर्षक अनिवार्य है। प्रस्तुत की जाने वाली लघु फिल्में प्रवेशकत्ताओं की मूल रचना होनी चाहिए एवं किसी भी कॉपीराइट या किसी तीसरे पक्ष के किसी अन्य अधिकार का उल्लंघन नहीं करना चाहिए। प्रतियोगी इस बात से सहमत है कि उन्होंने अपनी लघु फिल्मों में प्रस्तुत संगीत, ध्वनि और या छवियों के संबंघ में सभी आवश्यक अनुमतियां प्राप्त कर ली हैं। किसी भी प्रकार के सामाजिक भेदभाव और अश्लील/वयस्क फिल्म को स्वीकार नहीं किया जाएगा और राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव छत्तीसगढ़ से अयोग्य घोषित कर दिया जायेगा।छत्तीसगढ़ पुलिस एवं अंतर्विभागीय लीड एजेंसी (सड़क सुरक्षा) छत्तीसगढ़ को अधिकार होगा कि महोत्सव के प्रचार उद्देश्यों के लिए प्रविष्टियों (प्रेषित चयनित/नामांकित फिल्में) एवं फिल्म की सामग्री का उपयोग छत्तीसगढ़ पुलिस एवं अंतर्विभागीय लीड एजेंसी (सड़क सुरक्षा) छत्तीसगढ़ द्वारा किया जा सकेगा और प्रत्येक फिल्म की प्रतियों को अपने महोत्सव पुस्तकालय के हिस्से के रूप में रखा जा सकेगा। सभी प्रविष्टियां चाहे पुरस्कृत हों या नहीं, छत्तीसगढ़ पुलिस और संबंधित एजेंसियों द्वारा व्यावसायिक हित के बिना सड़क सुरक्षा जागरूकता के लिये उपयोग की जा सकती है। एक बार चयनित और अंतिम स्क्रीनिंग के लिए प्रस्तुत की गई फिल्मों को महोत्सव समाप्त होने तक किसी भी परिस्थिति मे वापस लेने की अनुमति नहीं दी जाएगी।प्रवेश के साथ फिल्म का एक डिजिटल पोस्टर (सोशल मीडिया क्रिएटिव) संलग्न करना होगा। जमा की गई सामग्री आवेदक को वापस नहीं की जाएगी। फिल्में समय सीमा से पहले जमा की जानी चाहिए और किसी भी परिस्थिति में देर से प्रस्तुति स्वीकार नहीं की जाएगी। राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव, छत्तीसगढ़ किसी भी क्षति, के लिए जिम्मेदार नहीं होगा। गलत/अपर्याप्त/अस्पष्ट/अपूर्ण विवरण वाले प्रवेश प्रपत्रों पर विचार नहीं किया जाएगा। महोत्सव समिति बिना कोई कारण बताए किसी भी फिल्म को स्वीकार या अस्वीकार करने का अधिकार सुरक्षित रखती है। एक बार चयन के लिए प्रस्तुत की गई फिल्म को अंतिम माना जाएगा और प्रस्तुत करने के बाद किसी भी बदलाव पर विचार नहीं किया जाएगा। विजेताओं (प्रथम, द्वितीय और तृतीय) के चयन के लिए जूरी का मूल्यांकन अंतिम होगा। कोई भी प्रतियोगी जूरी के फैसले के खिलाफ अपील नहीं करेगा।मुख्य कार्यक्रम के दिन, प्रत्येक भाग लेने वाली टीम का कम से कम एक सदस्य उपस्थित होना चाहिए। प्रस्तुत की जाने वाली लघु फिल्में निर्माताओं की मूल रचना होनी चाहिए एवं किसी भी कॉपीराइट या किसी तीसरे पक्ष के कियी अन्य अधिकार का उल्लंघन नहीं करना चाहिए। प्रतियोगी इस बात से सहमत है कि उन्होंने आपनी लघु फिल्म में प्रस्तुत संगीत, ध्वनि और या छवियों के संबंध में सभी आवश्यक अनुमतियां प्राप्त कर ली है। लघु फिल्म जमा करने समय प्रतिभागी को सामग्री की मौलिकता के बारे में एक स्व-घोषित पत्र (आयोजन समिति द्वारा प्रदत्त) अनिवार्य रूप से हस्ताक्षरित और संलग्न करना होगा। महोत्सव में प्रवेष करके, प्रतिभागी इस बात से सहमत है कि राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव छत्तीसगढ़ आपके या आपकी लघु फिल्म द्वारा किए गए किसी भी कॉपीराइट उल्लंघन के लिए उत्तरदायी नहीं होगा।राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव, छत्तीसगढ़ वैध समझे जाने वाले किसी भी फिल्म को प्रदर्शित न करने का अधिकार सुरक्षित रखता है। प्रतिभागी लघु फिल्म निर्माताओं पर किसी भी अपराध या उल्लंघन के लिए भारतीय आपराधिक प्रक्रिया संहिता और भारतीय मीडिया कानून के अनुसार मुकदमा चलाने का जोखिम भी हो सकता है। प्रस्तुत की जा रही फिल्म के किसी भी हिस्से में नस्लीय, धार्मिक और क्षेत्रीय भेदभाव को चित्रित नहीं किया जाएगा। काूननी मुद्दे, यदि कोई हों, रायपुर, छत्तीसगढ़ की न्यायिक अदालतों के अधिकार क्षेत्र में आएंगे।किसी भी फिल्म निर्माता, संस्था, संगठन को ‘‘राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव छत्तीसगढ़’’ नाम के उपयोग की अनुमति नहीं है। आयोजन समिति की अनुमति के बिना किसी भी व्यावसायिक, गैर-व्यावसायिक, सांस्कृतिक या व्यक्तिगत उपयोग के लिए ‘‘राष्ट्रीय सड़क सुरक्षा लघु फिल्म महोत्सव छत्तीसगढ़’’ नाम एवं आयोजन के प्रतीक चिन्ह के उपयोग की स्थिति में संबंधित व्यक्ति या संस्था के विरूद्ध सख्त कानूनी कार्यवाही की जाएगी।
- - जिला निर्वाचन अधिकारियों को ई-रोल, वल्नरेबिलिटी मैपिंग, ई.व्ही.एम., आदर्श आचरण संहिता, एमसीएमसी, पेड न्यूज और व्यय अनुवीक्षण का दिया गया प्रशिक्षण-विधानसभा निर्वाचन हेतु मास्कोट 'चुनई चिरई' का किया गया अनावरणरायपुर । छत्तीसगढ़ में आगामी विधानसभा आम निवार्चन के दृष्टिगत मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा सभी जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारियों और उप जिला निर्वाचन अधिकारियों के लिए दो दिवसीय प्रशिक्षण का आयोजन किया गया। छत्तीसगढ़ प्रशासन अकादमी निमोरा में आयोजित प्रशिक्षण के पहले दिन भारत निर्वाचन आयोग के नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर्स ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को ई-रोल, वल्नरेबिलिटी मैपिंग, पोस्टल बैलेट, ई.व्ही.एम. एवं व्ही.व्ही.पैट की कार्यप्रणाली के बारे में बताया। वहीं दूसरे दिन भारत निर्वाचन आयोग के अधिकारियों ने आदर्श आचरण संहिता, सूचना प्रौद्योगिकी एप्लीकेशन्स, मीडिया प्रमाणन और निगरानी समिति (एमसीएमसी), पेड न्यूज, कानून-व्यवस्था, डिस्ट्रिक्ट इलेक्शन मैनेजमेंट प्लान, व्यय अनुवीक्षण और निर्वाचन व्यय लेखा का प्रशिक्षण दिया। प्रशासन अकादमी में जिला स्तरीय स्वीप नोडल अधिकारियों का दो दिवसीय अधिवेशन भी आयोजित किया गया। इसमें भारत निर्वाचन आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों की मौजूदगी में सभी जिलों में संचालित स्वीप गतिविधियों की समीक्षा की गई।मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्रीमती रीना बाबासाहेब कंगाले ने जिला निर्वाचन अधिकारियों के प्रशिक्षण के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि इस दो दिवसीय प्रशिक्षण के दौरान भारत निर्वाचन आयोग के वरिष्ठ अधिकारी और नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर्स आम निर्वाचन से संबंधित विभिन्न प्रक्रियाओं, गतिविधियों और प्रावधानों की जानकारी देंगे। उन्होंने पारदर्शी, निष्पक्ष, त्रुटिरहित, विवादरहित और समावेशी निर्वाचन के लिए प्रशिक्षण का महत्व रेखांकित किया। श्रीमती कंगाले ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को ट्रेनर्स के अनुभव का लाभ उठाते हुए उनसे अधिक से अधिक चर्चा कर निवार्चन से संबंधित अपनी शंकाओं का समाधान करने को कहा।भारत निर्वाचन आयोग में स्वीप के संचालक श्री संतोष अजमेरा ने उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि निष्पक्ष और पारदर्शी निर्वाचन के लिए आयोग निर्वाचन की हर गतिविधियों को गंभीरता से संचालित करती है। त्रुटिरहित निर्वाचक नामावली से सुचारू मतदान में मदद मिलती है। उन्होंने मतदाता जागरूकता, निर्वाचक पंजीयन और मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए आयोग द्वारा किए जा रहे विभिन्न नवाचारों और स्वीप गतिविधियों की जानकारी दी। उन्होंने छत्तीसगढ़ में नवविवाहित महिलाओं के नाम उनके नए निवास स्थल की मतदाता सूची में जोड़ने के लिए मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा चलाए जा रहे नवविवाहिता सम्मान कार्यक्रम की सराहना की।श्री अजमेरा ने उम्मीद जताई कि जिला निर्वाचन अधिकारियों का यह दो दिनों का प्रशिक्षण उपयोगी होगा और यह उन्हें निर्वाचन के दौरान अपनी जिम्मेदारियों के बेहतर निर्वहन के लिए मार्गदर्शन प्रदान करेगा। श्री अजमेरा ने उद्घाटन सत्र के दौरान विधानसभा निर्वाचन हेतु मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय द्वारा तैयार मास्कोट 'चुनई चिरई' का अनावरण किया। प्रशासन अकादमी के संचालक श्री टी.सी. महावर ने भी उद्घाटन सत्र को संबोधित किया। भारत निर्वाचन आयोग के सचिव श्री संतोष कुमार, स्वीप के वरिष्ठ सलाहकार श्री आर.के. सिंह और छत्तीसगढ़ के संयुक्त मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री बिपिन माझी भी शुभारंभ सत्र में शामिल हुए।नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर श्री पुलक भट्टाचार्य ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को त्रुटिरहित निर्वाचक नामावली तैयार करने और मतदान केंद्रों के युक्तियुक्तकरण के लिए इसके विभिन्न पहलुओं की विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि एक मतदान केंद्र स्थल पर चार से ज्यादा पोलिंग बूथ नहीं होना चाहिए। उन्होंने आबादी के अनुरूप मतदाता सूची में शामिल नामों की प्रतिशतता और लिंग अनुपात का ध्यान रखने को कहा। उन्होंने फॉर्म-5 के साथ प्रकाशित निर्वाचक नामावली को मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों को अनिवार्यतः उपलब्ध कराने को कहा। श्री भट्टाचार्य ने आदर्श आचरण संहिता, मीडिया प्रमाणन और निगरानी समिति (एमसीएमसी) तथा पेड न्यूज के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी।नेशनल लेवल मास्टर ट्रेनर श्री प्रवास जैन ने वल्नरेबिलिटी मैपिंग (भेद्यता मानचित्रण) के विभिन्न पहलुओं के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने कहा कि निर्वाचन को समावेशी और सहभागी बनाने तथा मतदाताओं को मतदान के लिए प्रोत्साहित करने वल्नरेबिलिटी मैपिंग जरूरी है। उन्होंने वल्नरेबिलिटी मैपिंग की प्रक्रिया और वल्नरेबिलिटी रोकने के लिए उपलब्ध लीगल फ्रेमवर्क के बारे में बताया। श्री जैन ने वल्नरेबिलिटी रोकने के लिए सेक्टर अधिकारियों की मतदान के पूर्व और मतदान के दिन की भूमिका के बारे में भी जानकारी दी।श्री जैन ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को पोस्टल बैलेट और ईवीएम व वीवीपैट की कार्यप्रणाली के बारे में भी प्रशिक्षण दिया। उन्होंने सर्विस वोटर्स और पोस्टल बैलेट के लिए पात्रता, मतपत्र और मतदान के लिए आवश्यक व्यवस्थाओं के बारे में बताया। श्री जैन ने ईवीएम व वीवीपैट की कार्यप्रणाली समझाते हुए इसकी हैंडलिंग के दौरान बरती जाने वाली सावधानियों को रेखांकित किया। उन्होंने ईवीएम के रैंडमाइजेशन, मॉकपोल और खराब मशीनों को बदलने की प्रक्रिया और नियमों की भी जानकारी दी।भारत निर्वाचन आयोग में सूचना प्रौद्योगिकी के निदेशक श्री अशोक यादव ने निर्वाचन के दौरान उपयोग होने वाले सूचना प्रौद्योगिकी एप्लीकेशन्स और एक्सपेंडिचर (Expenditure) के निदेशक श्री पंकज श्रीवास्तव ने व्यय अनुवीक्षण और निर्वाचन व्यय लेखा की जानकारी दी। बिहार के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री एच.आऱ. श्रीनिवास ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्वाचन के दौरान कानून-व्यवस्था तथा डिस्ट्रिक्ट इलेक्शन मैनेजमेंट प्लान के बारे में प्रशिक्षण दिया।
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,- महापौर नीरज पाल एवं निगम आयुक्त रोहित व्यास ने विकास एवं महत्वपूर्ण योजनाओं की ली समीक्षा
भिलाई नगर/ महापौर नीरज पाल एवं निगम आयुक्त रोहित व्यास ने आज विकास कार्य एवं विभिन्न योजनाओं को लेकर अधिकारियों की समीक्षा बैठक ली। शहर को सुंदर बनाने के लिए डिवाइडर में डिजाइनर पोल लगाए जाएंगे वही पोल में लगे लाइटों को दुरुस्त किया जाएगा। जहां लाइट नहीं है वहां लाइट लगाए जाएंगे इसके अलावा पोल में नंबरिंग किया जाएगा ताकि यह पता चल सके कि कौन से पोल की लाइट खराब है और इस आधार पर लाइट को ठीक किया जा सके। मार्केट क्षेत्र एवं मुख्य सड़कों के लाइट को भी ठीक किया जाएगा। महापौर एवं आयुक्त ने इसके निर्देश अधिकारियों को दिए हैं। अंडर ब्रिज में जलभराव से निजात दिलाने के लिए अधिकारी/कर्मचारी की नियुक्ति की जाएगी। यह अधिकारी अंडर ब्रिज के पानी भरने पर निकासी की व्यवस्था बनाएंगे। शहर के डिवाइडर को भी ठीक किया जाएगा जहां मरम्मत एवं संधारण की आवश्यकता होगी उसे ठीक किया जाएगा साथ ही डिवाइडर को अच्छा लुक देने के लिए पेंटिंग भी की जाएगी, ताकि राहगीरों को डिवाइडर आकर्षक लगे। इसके अलावा महापौर एवं आयुक्त ने वृक्षारोपण कार्य, वेंडिंग जोन, स्वच्छ सर्वेक्षण, सामुदायिक एवं सार्वजनिक शौचालय, चौक चौराहों का सौंदर्यीकरण, मुख्यमंत्री मितान योजना, मुख्यमंत्री स्लम स्वास्थ्य योजना, धनवंतरी जेनेरिक मेडिकल स्टोर योजना, गोधन न्याय योजना, नरवा, गरवा, घुरवा, बाड़ी योजना, आयुष्मान कार्ड, राजीव युवा मितान क्लब, बेरोजगारी भत्ता, स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी स्कूल, स्मार्ट सिटी बस का संचालन, अनाधिकृत विकास का नियमितीकरण, रोड मरम्मत एवं संधारण, वाटर एटीएम, एसी बस स्टॉप, जलभराव क्षेत्रों की समीक्षा, माननीय मुख्यमंत्री जी की घोषणा के कार्य, 14 वे एवं 15 वे वित्त के कार्य आदि की समीक्षा की। - रायपुर। राजधानी रायपुर में कृषि विभाग समर्थित, ग्रांट थॉर्नटन भारत एलएलपी और सोसाएटी फॉर डेव्हलपमेंट अल्टरनेटिव्स द्वारा एचडीएफसी बैंक परिवर्तन कार्यक्रम के तहत ‘छत्तीसगढ़ ग्रामीण आजीविका शिखर सम्मेलन 2023’ का आयोजन किया गया। शिखर सम्मेलन का उद्देश्य ग्रामीण आजीविका को बढ़ावा देने में शामिल प्रमुख हितधारकों के बीच ज्ञान और अनुभव साझा करने के लिए मंच प्रदान करना था, जिसमें किसान उत्पादक संगठन (एफपीओ), सरकारी पहल और पारिस्थितिकी तंत्र विकास पर विशेष जोर दिया गया। साथ ही महिलाओं के लिए आजीविका के विकास और संबंधित एफपीओ की स्थिरता के लिए एक सक्षम वातावरण विकसित करने के लिए एक रणनीति पर विचार-विमर्श करना भी एक प्रमुख उद्देश्य था।वक्ताओं और विशेषज्ञों ने छत्तीसगढ़, आंध्रप्रदेश, केरल, तमिलनाडु, ओडिशा, पंजाब, महाराष्ट्र और तेलंगाना जैसे अन्य राज्यों में एफपीओ पारिस्थितिकी तंत्र में अमूल्य अनुभव को साझा किया। इन सभी हितधारकों को एक साथ आने और प्रासंगिक मुद्दों पर अपने विचार व्यक्त करने और नीतियों के लिए अन्य सुझावों को व्यक्त करने का अवसर प्रदान किया। एचडीएफसी बैंक ने अपनी सीएसआर (परिवर्तन कार्यक्रम) के तहत पूरे भारत में व्यक्तियों की आजीविका में सुधार के लिए कई पहल की है। एचडीएफसी बैंक, विशेष रूप से ऑन-फार्म, ऑफ-फार्म और गैर-फार्म के माध्यम से किसानों, महिलाओं और युवाओं की आजीविका हस्तक्षेप के सुधार करने पर ध्यान केंद्रित करते हैं। एचडीएफसी बैंक सीएसआर (परिवर्तन कार्यक्रम) का उद्देश्य 5 लाख से ज्यादा किसानों की आय बढ़ाना और 2 लाख से अधिक युवाओं, महिलाओं और किसानों के कौशल का विकास करना है। एचडीएफसी बैंक सीएसआर (परिवर्तन कार्यक्रम) ने राज्य में स्थानीय आर्थिक सक्रियता को भी गांवों में व्यक्तिगत और समूह उद्यमों के माध्यम से बढ़ावा दिया है।सम्मेलन में एफपीओ के निदेशकों, सार्वजनिक और निजी हितधारकों और विभाग के अधिकारियों सहित संबंधित पारिस्थितिकी तंत्र हितधारकों ने भाग लिया। इसमें राज्य के भीतर और बाहर के सफल एफपीओ के अनुभव को साझा करना भी शामिल था।सम्मेलन में मुख्यमंत्री के सलाहकार श्री प्रदीप शर्मा, डॉ. कमलप्रीत सिंह, प्रमुख सचिव, कृषि विभाग, श्रीमती शीतल वर्मा, स्पेशल सेक्रेटरी, फाइनेंस, श्रीमती पद्मिनी भोई साहू, एसएमडी, सीजीएसआरएलएम (बिहान), प्रोफेसर वी पद्यानंद, श्री तरुण बैजनाथ और श्री चिराग जैन, पार्टनर, ग्रांट थॉर्नटन भारत, श्री देव कुमार, डायरेक्टर, ग्रांट थॉर्नटन भारत समेत अन्य अधिकारी-कर्मचारी मौजूद रहे।

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