धान की जगह दलहन-तिलहन की खेती पर मिलेंगे 11,000 रुपये प्रति एकड़
रायपुर, प्रदेश सरकार ने किसानों के हित में खरीफ 2025 के लिए कृषक उन्नति योजना के तहत दिशा-निर्देश जारी किए हैं। कृषि में निवेश बढ़ाने और किसानों की लागत में राहत देने के उद्देश्य से यह योजना प्रारंभ की गई है। राज्य सरकार ने फसल विविधीकरण को बढ़ावा देने के लिए दलहन, तिलहन और अन्य वैकल्पिक फसलों के क्षेत्र विस्तार तथा उत्पादन में आत्मनिर्भरता के लक्ष्य के साथ चिन्हित फसलों पर आदान सहायता राशि देने का निर्णय लिया है। योजना का लाभ उन्हीं किसानों को मिलेगा, जिन्होंने एकीकृत किसान पोर्टल में पंजीयन कराया हो। विगत खरीफ मौसम में पोर्टल में पंजीकृत ऐसे किसान, जिन्होंने धान की खेती कर सहकारी समितियों के माध्यम से समर्थन मूल्य पर धान विक्रय किया है, वे इस योजना के पात्र होंगे।
यदि वे इस बार धान के स्थान पर अन्य खरीफ फसलें (जैसे—दलहन, तिलहन आदि) लेते हैं, और पोर्टल पर पंजीयन तथा गिरदावरी में रकबे की पुष्टि हो जाती है, तो उन्हें ₹11,000 प्रति एकड़ की दर से आदान सहायता दी जाएगी। वहीं, यदि किसान दलहन, तिलहन, कोदो, कुटकी, रागी अथवा कपास जैसी फसलें लेते हैं, तो ₹10,000 प्रति एकड़ की दर से आदान सहायता राशि मिलेगी—पंजीयन और गिरदावरी की पुष्टि के आधार पर।
उप संचालक कृषि श्री सतीश अवस्थी ने बताया कि जिले में धान के अतिरिक्त वैकल्पिक फसलों जैसे अरहर, उड़द, कोदो आदि के बीजों का भंडारण जिले के सभी विकासखंड स्तरीय कृषि कार्यालयों में कर लिया गया है।
योजना से संबंधित अधिक जानकारी के लिए किसान क्षेत्रीय ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी या विकासखंड स्तरीय कृषि विभाग कार्यालय से संपर्क कर सकते हैं।
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