लहसुन-प्याज की तरह ये 5 चीजें भी नहीं होती सात्विक
जीव की सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण आवश्यकता है आहार। आहार से निर्माण और विकास की प्रक्रिया पूरी होती है। आप भले ही खाद्य पदार्थों से आहार न लें, लेकिन कहीं न कहीं से आपको उर्जा लेनी ही होगी। बिना उर्जा के जीवन की लंबे समय तक कल्पना नहीं की जा सकती। आइये जाने कि सात्विक भोजन क्या होता है?
किन चीजों को हम सात्विक आहार नहीं कह सकते?
- प्याज, लहसुन
- सरसों का साग, मशरूम
- मांस, मछली, मादक पदार्थ
- डिब्बा बंद खाद्य पदार्थ
- बासी खाना
क्या है सात्विक आहार?
- सभी प्रकार की अनाजें और दाल
- दूध और इससे निर्मित पदार्थ
- सभी प्रकार की सब्जियां
- फल और मेवे
किस प्रकार के स्वभाव के लिए किस तरह का आहार?
अगर आप बहुत ज्यादा भावुक हैं तो गुड और मीठी चीजें खाएं, रोटी खाएं, बासी खाने से बचें। अगर आप बहुत ज्यादा क्रोधी हों तो प्याज, लहसुन और मांस मछली से परहेज करें। अगर आपको तनाव रहता है तो दूध और दूध से बनी चीजों का सेवन करें। मशरूम और कंद न खाएं। अगर आप शरीर से परेशान हैं तो ज्यादा से ज्यादा सब्जियां खाएं, अनाज कम खाएं। अगर आप बुरे विचारों से परेशान हैं तो मांस, मछली, प्याज, लहसुन न खाएं, मसूर की दाल खाने से भी परहेज करें।
सात्विक शब्द सत्व शब्द से बना है। इसका अर्थ होता है, शुद्ध, प्राकृतिक और ऊर्जावान। सात्विक भोजन शरीर को शुद्ध कर मन को शांति प्रदान करता है। इसमें शुद्ध शाकाहारी सब्जियों, फलों, सेंधा नमक, धनिया, काली मिर्च जैसे मसालों का इस्तेमाल होता है। उपवास के दौरान लोग सात्विक खाना खाते हैं। इसके पीछे धार्मिक मान्यताओं के साथ-साथ कुछ वैज्ञानिक कारण भी हैं।
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