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- -छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की पहल के सम्मान में दिया गया विष्णु देव रूट नामरायपुर / छत्तीसगढ़ के जशपुर ज़िले के आदिवासी युवाओं के एक दल ने भारतीय पर्वतारोहण के इतिहास में नया अध्याय जोड़ दिया है। इस दल ने हिमाचल प्रदेश की दूहंगन घाटी (मनाली) में स्थित 5,340 मीटर ऊँची जगतसुख पीक पर एक नया आल्पाइन रूट खोला, जिसे छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की पहल के सम्मान में “विष्णु देव रूट” नाम दिया गया है। टीम ने यह चढ़ाई बेस कैंप से केवल 12 घंटे में पूरी की — वह भी आल्पाइन शैली में, जो तकनीकी रूप से अत्यंत कठिन मानी जाती है।यह ऐतिहासिक अभियान सितंबर 2025 में आयोजित हुआ, जिसका आयोजन जशपुर प्रशासन ने पहाड़ी बकरा एडवेंचर के सहयोग से किया। इस अभियान को हीरा ग्रुप सहित अनेक राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय संस्थानों का सहयोग प्राप्त हुआ।यह उपलब्धि इसलिए भी विशेष है क्योंकि इस दल के पाँचों पर्वतारोही पहली बार हिमालय की ऊँचाइयों तक पहुँचे थे। सभी ने “देशदेखा क्लाइम्बिंग एरिया” में प्रशिक्षण प्राप्त किया, जो जशपुर प्रशासन द्वारा विकसित भारत का पहला प्राकृतिक एडवेंचर खेलों के लिए समर्पित प्रशिक्षण क्षेत्र है। विश्वस्तरीय मानकों को सुनिश्चित करने के लिए प्रशासन ने भारतीय और अंतरराष्ट्रीय विशेषज्ञों को जोड़ा, जिनमें बिलासपुर के पर्वतारोही एवं मार्गदर्शक स्वप्निल राचेलवार, न्यूयॉर्क (USA) के रॉक क्लाइम्बिंग कोच डेव गेट्स, और रनर्स XP के निदेशक सागर दुबे शामिल रहे। इन तीनों ने मिलकर तकनीकी, शारीरिक और मानसिक दृष्टि से युवाओं को तैयार करने के लिए विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम बनाया। दो महीनों की कठोर तैयारी और बारह दिनों के अभ्यास पर्वतारोहण के बाद टीम ने यह चुनौतीपूर्ण चढ़ाई पूरी की।अभियान प्रमुख स्वप्निल राचेलवार ने बताया कि जगतसुख पीक का यह मार्ग नए पर्वतारोहियों के लिए अत्यंत कठिन और तकनीकी था। मौसम चुनौतीपूर्ण था, दृश्यता सीमित थी और ग्लेशियरों में छिपी दरारें बार-बार बाधा बन रही थीं। इसके बावजूद टीम ने बिना फिक्स रोप या सपोर्ट स्टाफ के यह चढ़ाई पूरी की — यही असली आल्पाइन शैली है। यह अभियान व्यावसायिक पर्वतारोहण से अलग था, जहाँ पहले से तय मार्ग और सहायक दल पर निर्भरता होती है; इस दल ने पूरी तरह आत्मनिर्भर रहते हुए नई मिसाल कायम की।अभियान को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सराहना मिली। स्पेन के प्रसिद्ध पर्वतारोही टोती वेल्स, जो इस अभियान की तकनीकी कोर टीम का हिस्सा थे और स्पेन के पूर्व वर्ल्ड कप कोच रह चुके हैं, ने कहा कि “इन युवाओं ने, जिन्होंने जीवन में कभी बर्फ नहीं देखी थी, हिमालय में नया मार्ग खोला है। यह साबित करता है कि सही प्रशिक्षण और अवसर मिलने पर ये पर्वतारोही विश्वस्तर पर प्रतिस्पर्धा कर सकते हैं।”“विष्णु देव रूट” के अलावा दल ने दूहंगन घाटी में सात नई क्लाइम्बिंग रूट्स भी खोले। इनमें सबसे उल्लेखनीय उपलब्धि रही एक अनक्लाइम्ब्ड (पहले कभी न चढ़ी गई) 5,350 मीटर ऊँची चोटी की सफल चढ़ाई, जिसे टीम ने ‘छुपा रुस्तम पीक’ नाम दिया। इस पर चढ़ाई के मार्ग को ‘कुर्कुमा (Curcuma)’ नाम दिया गया — जो हल्दी का वैज्ञानिक नाम है और भारतीय परंपरा में सहनशक्ति और उपचार का प्रतीक माना जाता है।यह अभियान इस बात का प्रमाण है कि यदि सही दिशा, अवसर और संसाधन मिलें तो भारत के सुदूर ग्रामीण और आदिवासी इलाकों से भी विश्वस्तरीय पर्वतारोही तैयार हो सकते हैं। बिना किसी हिमालयी अनुभव के इन युवाओं ने आल्पाइन शैली में जो उपलब्धि हासिल की है, उसने भारतीय साहसिक खेलों को नई दिशा दी है। इस पहल ने तीन बातों को सिद्ध किया — आदिवासी युवाओं में प्राकृतिक शक्ति, सहनशीलता और पर्यावरण से जुड़ी सहज समझ उन्हें एडवेंचर खेलों के लिए विशेष रूप से उपयुक्त बनाती है; “देशदेखा क्लाइम्बिंग सेक्टर” जैसे स्थानीय प्रशिक्षण केंद्र पेशेवर पर्वतारोही तैयार करने की क्षमता रखते हैं; और हिमालय की अनदेखी चोटियाँ भारत में सतत एडवेंचर पर्यटन की नई संभावनाएँ खोल सकती हैं।अभियान का नेतृत्व स्वप्निल राचेलवार ने किया, उनके साथ राहुल ओगरा और हर्ष ठाकुर सह-नेता रहे। जशपुर के पर्वतारोही दल में रवि सिंह, तेजल भगत, रुसनाथ भगत, सचिन कुजुर और प्रतीक नायक शामिल थे। अभियान को प्रशासनिक सहयोग डॉ. रवि मित्तल (IAS), रोहित व्यास (IAS), शशि कुमार (IFS) और अभिषेक कुमार (IAS) से मिला। तकनीकी सहायता डेव गेट्स, अर्नेस्ट वेंटुरिनी, मार्टा पेड्रो (स्पेन), केल्सी (USA) और ओयविंड वाई. बो (नॉर्वे) ने दी। पूरे अभियान का डॉक्यूमेंटेशन और फोटोग्राफी ईशान गुप्ता की कॉफी मीडिया टीम ने किया।प्रमुख सहयोगी और प्रायोजक संस्थानों में पेट्ज़ल, एलाइड सेफ्टी इक्विपमेंट, रेड पांडा आउटडोर्स, रेक्की आउटडोर्स, अडवेनम एडवेंचर्स, जय जंगल प्राइवेट लिमिटेड, आदि कैलाश होलिस्टिक सेंटर, गोल्डन बोल्डर, क्रैग डेवलपमेंट इनिशिएटिव और मिस्टिक हिमालयन ट्रेल शामिल रहे।यह अभियान केवल एक पर्वतारोहण उपलब्धि नहीं, बल्कि उस सोच का प्रतीक है कि भारत के गाँवों और आदिवासी क्षेत्रों से भी अंतरराष्ट्रीय स्तर की सफलता प्राप्त की जा सकती है। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने कहा कि “भारत का भविष्य गाँवों से निकलकर दुनिया की ऊँचाइयों तक पहुँच सकता है।”इस उल्लेखनीय उपलब्धि के साथ अब जशपुर को एक सतत एडवेंचर एवं इको-टूरिज़्म केंद्र के रूप में विकसित करने की दिशा में कार्य तेज़ी से आगे बढ़ रहा है।
- -बस्तर में महिलाओं को मिली रेडी-टू-ईट पोषण आहार निर्माण की जिम्मेदारीरायपुर/ राज्य शासन द्वारा महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण को बढ़ावा देने पहल कर उन्हें रेडी-टू-ईट निर्माण का दायित्व सौंपा गया है। जो महिलाओं के साथ ही ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई दिशा प्रदान करेगी। गुरुवार को उप मुख्यमंत्री एवं बस्तर जिले के प्रभारी मंत्री श्री विजय शर्मा ने तुरेनार स्थित ग्रामीण औद्योगिक पार्क परिसर में प्रगति महिला स्व सहायता समूह द्वारा संचालित रेडी-टू-ईट इकाई का फीता काटकर विधिवत उद्घाटन किया। यहां उत्पादित पौष्टिक भोजन 409 आंगनबाड़ी केंद्रों तक पहुंचेगा, जहां प्रति माह 70 से 75 टन की खपत होगी। इससे बच्चों के पोषण के साथ-साथ महिला स्व सहायता समूहों को रोजगार और आर्थिक स्वावलंबन मिलेगा। इकाई की मशीनरी की कुल लागत लगभग 55 लाख रुपये है, जिसमें 35 प्रतिशत अनुदान प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उन्नयन योजना के तहत उद्योग विभाग से प्राप्त हुआ। शेष राशि जीवन ज्योति क्लस्टर संगठन के माध्यम से बैंक लोन से जुटाई गई है। इकाई की उत्पादन क्षमता प्रति घंटे 5 क्विंटल है।उप मुख्यमंत्री श्री शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में वर्तमान शासन ने बच्चों एवं महिलाओं के सुपोषण को मद्देनजर रखते हुए फिर से महिला शक्ति के हाथों पोषण आहार तैयार करने की जिम्मेदारी उन्हें सौंपी है। छत्तीसगढ़ सरकार महिला स्व सहायता समूहों को तकनीकी, वित्तीय और बाजार सहायता देकर रेडी-टू-ईट उद्योग से जोड़ रही है। यह बस्तर की महिलाओं को आर्थिक सक्षमता और सशक्तता को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगा।इस उद्घाटन समारोह में पूर्व विधायक डाॅ. सुभाऊ कश्यप, जिला पंचायत सीईओ श्री प्रतीक जैन, महिला एवं बाल विकास विभाग के जिला कार्यक्रम अधिकारी श्री मनोज सिन्हा, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के जिला कार्यक्रम प्रबंधक श्री राजकुमार देवांगन सहित जनप्रतिनिधि, अधिकारी और स्व सहायता समूह की महिलाएं उपस्थित रहे।
- -बस्तर की महिलाओं को सशक्त बनाएगा ग्रोथ सेंटर, स्थानीय उत्पादों से बनेगी नई पहचान - उपमुख्यमंत्री श्री शर्मारायपुर, / छत्तीसगढ़ के उप मुख्यमंत्री एवं बस्तर जिले के प्रभारी मंत्री श्री विजय शर्मा ने गुरुवार को बस्तर जिले के ग्राम तुरेनार में स्थित ग्रामीण औद्योगिक केंद्र में संचालित ग्रोथ सेंटर का निरीक्षण किया। यहां महिला स्व-सहायता समूहों द्वारा किए जा रहे उत्पादों के प्रसंस्करण का जायजा लेते हुए उन्होंने कहा कि मूल्यवर्धन हमारा मूल उद्देश्य है। बस्तर के स्थानीय उत्पादों को बाजार में बेहतर कीमत दिलाकर हम ग्रामीण महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाएंगे, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी और महिलाओं के लिए रोजगार के नए द्वार खुलेंगे।प्रभारी मंत्री श्री शर्मा ने ग्रोथ सेंटर में चल रही गतिविधियों का बारीकी से निरीक्षण किया। इस दौरान अधिकारियों ने उन्हें बताया कि वर्तमान में केंद्र में हल्दी, मिर्च और धनिया का प्रसंस्करण हो रहा है जल्द ही तीखुर का प्रसंस्करण भी शुरू किया जाएगा। इसके अतिरिक्त बस्तर की विशिष्ट पहचान बेलमेटल के भी उत्पाद तैयार किए जाएंगे।इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री श्री शर्मा ने महिला समूह की दीदीयों से चर्चा भी की। जहां महिला समूह की सदस्यों ने उन्हें मसालों की खरीदी, प्रसंस्करण तथा बिक्री प्रक्रिया की विस्तारपूर्वक जानकारी दी और उपमुख्यमंत्री श्री शर्मा ने सभी के उत्कृष्ट कार्य और मेहनत के लिए सभी की सराहना भी की। उन्होंने कहा कि बस्तर में प्रचुरता से उपलब्ध स्थानीय उत्पादों के प्रसंस्करण पर कार्य करें, जिससे आय में वृद्धि के साथ स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी गति प्राप्त होगी।भविष्य की योजनाओं को गति देते हुए उन्होंने केंद्र में इमली प्रसंस्करण इकाई को जल्द स्थापित करने के निर्देश दिए। उन्होंने स्व-सहायता समूहों को इमली का बीज, तीखुर की उपलब्धता सुनिश्चित करते हुए इनके उत्पादक क्षेत्रों की मैपिंग कर महिला समूहों के माध्यम से संग्रहण करवाकर प्रसंस्करण एवं पैकेजिंग कराने को कहा। जिससे मूल्यवर्धन हो और महिलाओं को उनकी उपज का उचित मूल्य प्राप्त हो सके।उन्होंने महिला समूहों के लिए कोल्ड स्टोरेज बनाने और महुआ से लड्डू, कुकीज़, काजू एवं रागी प्रीमिक्स तथा अन्य स्थानीय उत्पादित उत्पादों का प्रसंस्करण कराकर मूल्यवर्धन कराने को कहा ताकि ग्रामीण महिलाओं को घर बैठे रोजगार प्राप्त हो और बस्तर की महिलाएं आर्थिक रूप से सशक्त हो सकें।इस मौके पर पूर्व विधायक श्री सुभाऊ कश्यप, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री प्रतीक जैन सहित, जनपद सीईओ श्री अमित भाटिया, जनप्रतिनिधि, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन जिला कार्यक प्रबंधक, पी डब्ल्यू सी टीम एवं अन्य कर्मचारी और महिला स्व-सहायता समूह की सदस्य मौजूद रहीं।
- रायपुर। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन, क्षेत्रीय कार्यालय, रायपुर द्वारा गुरुवार को भवन्स आर के सारडा विद्या मंदिर, सड्डू में पेास्टर बनाओ प्रतियोगिता का आयोजन किया गया । कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के नई दिल्ली मुख्यालय के निदेशानुसार कार्यालय में मनाए जा रहे ‘सतर्कता जागरुकता सप्ताह’ (Vigilance Awareness Week) के अंतर्गत यह आयोजन किया गया जिसमें विद्यालय के छात्रों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। इस कार्यक्रम में भविष्य निधि कार्यालय की ओर से श्री आकाश अग्रवाल, सहायक भविष्य निधि आयुक्त, एंव विद्यालय के प्राचार्य श्री दलजिंदर सिंग एंव श्रीमती पुष्पा राजावत उपस्थित थी। श्री आकाश अग्रवाल ने कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए जानकारी दी कि इस वर्ष सतर्कता जागरूकता सप्ताह की थीम ‘सतर्कता: हमारी साझा जिम्मेदारी’ है तथा इसके संबंध में विस्तृत जानकारी उपस्थित छात्रो को प्रदान की।इस प्रतियोगिता में 25 छात्रों ने भाग लिया जिसमें विजेता छात्रों को कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के क्षेत्रीय कार्यालय द्वारा पुरस्कृत किया गया साथ ही प्रतियोगिता में भाग लेने वाले सभी प्रतिभागियों को प्रोत्साहन पुरस्कार भी प्रदान किए गए। सतर्कता जागरूकता सप्ताह हर साल अक्टूबर के अंतिम सप्ताह में मनाया जाता है, जिसका मुख्य उद्देश्य देश में पारदर्शिता को बढ़ावा देना और हर नागरिक को भ्रष्टाचार मुक्त समाज के निर्माण में अपनी साझा जिम्मेदारी निभाने के लिए प्रेरित करना है।
- - उन्नत क्रिटिकल केयर और बहु-विषयक टीमवर्क से बचाई गई जानरायपुर। एम्स रायपुर ने क्रिटिकल केयर मेडिसिन के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है, जहां संस्थान ने छत्तीसगढ़ के किसी सरकारी संस्थान में पहली बार वीनो-आर्टेरियल एक्स्ट्रा-कॉरपोरियल मेम्ब्रेन ऑक्सीजनेशन (VA-ECMO) का सफल प्रबंधन किया। एक 35 वर्षीय महिला, जो उच्च जोखिम गर्भावस्था (High-Risk Pregnancy) से गुजर रही थी, प्रसव के तुरंत बाद पेरिपार्टम कार्डियोमायोपैथी यानी जीवन-घातक हृदय विफलता से पीड़ित हो गई। जब सामान्य उपचार असफल रहे, तब एनेस्थीसिया और क्रिटिकल केयर मेडिसिन, सीटीवीएस, ट्रांसफ्यूजन मेडिसिन, नेफ्रोलॉजी, गैस्ट्रो-सर्जरी और नर्सिंग सेवाओं की बहु-विषयक टीम ने उन्हें ईसीएमओ पर रखा और उन्नत किडनी सपोर्ट प्रदान किया।गंभीर जटिलताओं के बावजूद, रोगी की स्थिति धीरे-धीरे सुधरी और 65 दिनों के आईसीयू प्रवास के बाद उन्हें सफलतापूर्वक वेंटिलेटर से हटा दिया गया।ईसीएमओ (ECMO) एक अत्याधुनिक जीवनरक्षक तकनीक है, जिसका उपयोग तब किया जाता है जब हृदय या फेफड़े काम करना बंद कर देते हैं और अन्य सभी उपचार विफल हो जाते हैं। यह मशीन अस्थायी रूप से इन अंगों का कार्य संभालती है, जिससे मरीज को स्वस्थ होने का महत्वपूर्ण अवसर मिलता है।यह केस डॉ. सुभ्रता सिंघा और डॉ. चिन्मय के. पांडा के नेतृत्व में प्रबंधित किया गया, जिनके साथ विशेषज्ञ सलाहकार डॉ. नितिन कश्यप, डॉ. प्रणय मेसरे (CTVS), डॉ. रमेश चंद्राकर (ट्रांसफ्यूजन मेडिसिन), डॉ. विनय राठौर (नेफ्रोलॉजी), डॉ. सौविक पॉल (गैस्ट्रोएंटरोलॉजी) और डॉ. विनिता सिंह (स्त्री एवं प्रसूति रोग) शामिल थे।ले. जनरल अशोक जिंदल (से.नि.), कार्यकारी निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी, एम्स रायपुर ने पूरी टीम को बधाई दी, जिनके प्रयासों से इस गंभीर मरीज का जीवन सफलतापूर्वक बचाया जा सका।यह सफलता सीसीयू टीम की समर्पित मेहनत का परिणाम है — सीनियर रेज़िडेंट्स डॉ. साईनाथ, डॉ. सतीश, डॉ. चेतन, डॉ. गौरव, डॉ. रुपेन्द्र, नर्सिंग इंचार्ज श्री महेश तथा स्टाफ जिबिन, जसीम, सृष्टि, इतिश्री, गोविंद, विनोद, खूमेंद्र, अजू, परफ्यूज़निस्ट्स श्री विनोद खांडे, श्री राजकुमार, श्री अजीत, और समर्पित स्वास्थ्य सहायकों के योगदान से यह उपलब्धि संभव हुई।
- महासमुंद / जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, महासमुंद के तत्वधान में जिला न्यायालय तथा तालुका स्थित न्यायालय के न्यायाधीशों के द्वारा स्कूल काॅलेज, छात्रावास तथा पंचायतों में जाकर शिविर के माध्मय से छात्राओं एवं नागरिकों को अलग अलग कानून के विषयों पर अधारित सरल कानूनी शिक्षा के माध्यम से जानकारी दी जा रही है। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, महासमुंद के सचिव की श्रीमती आफरीन बानो ने अपने विज्ञप्ति में बताया कि प्रथम जिला एवं सत्र न्यायाधीश सुश्री संघपुष्पा भतपहरी द्वारा बीटीआई रोड स्थित अनुसूचित जाति जनजाति बालक प्री मैट्रिक छात्रावास में छात्रों को विभिन्न विषयों से संबंधित जैसे टोनही प्रताड़ना अधिनियम, यातायात अधिनियम, बालकों का देखरेख एवं संरक्षण अधिनियम, पाक्सों एक्ट (यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण अधिनियम) तथा मोबाईल एवं साइबर से सर्तकता की जानकारी के साथ-साथ छात्राओं द्वारा उत्सुकता से पूछे गए प्रश्नों पर जानकारी दी गई। इसके अलावा महिलाओं एवं बच्चों के अधिकारों से संबंधित कानूनों की जानकारी दी गई। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा दिए गए वाले सलाह एवं सहायता के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि संविधान के अनुच्छेद 39 में सभी के लिए न्याय सुनिश्चित किया गया है। गरीबों तथा समाज के कमजोर वर्गो के लिए निःशुल्क कानूनी सहायता की व्यवस्था की गई है।
- रायपुर । छत्तीसगढ़ स्टेट पॉवर ट्रांसमिशन कंपनी के प्रबंध निदेशक श्री राजेश कुमार शुक्ला ने कार्यपालक निदेशक (उपकेंद्र) कार्यालय के नए भवन का फीता काटकर शुभारंभ किया। बिलासपुर स्थित यह कार्यालय 2018 से वितरण कंपनी के कैंपस में संचालित था, अब नए भवन में कामकाज संपादित किया जाएगा।प्रबंध निदेशक श्री शुक्ला ने नए भवन में प्रवेश पर सभी अधिकारी-कर्मचारियों को शुभकामनाएं दीं और पूरी दक्षता व उत्साह के साथ कार्य करने के लिए प्रेरित किया। कार्यपालक निदेशक (उपकेंद्र) बिलासपुर श्रीमती कल्पना घाटे ने अतिथियों का स्वागत किया। श्रीमती घाटे ने बताया कि इस कार्यालय के अधीन बिलासपुर से लेकर सरगुजा तक के पारेषण कंपनी के 49 उपकेंद्र आते हैं। इनमें 400 केवी से लेकर 220 व 132 केवी के अतिउच्चदाब उपकेंद्र शामिल हैं। इस अवसर पर कार्यपालक निदेशकगण सर्वश्री केएस मनोठिया, वीके दीक्षित, श्री एके अंबस्ट (वितरण), मुख्य अभियंता श्री अब्राहम वर्गीस, अतिरिक्त मुख्य अभियंता श्री आरके तिवारी, श्री एसके दुबे सहित ट्रांसमिशन कंपनी एवं डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी के अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित थे।
- -कन्हैया लाल गुप्ता बने सौर ऊर्जा से आत्मनिर्भर, बिजली बिल में आई कमीरायपुर,। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी द्वारा आरंभ की गई प्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना अब सुदूर ग्रामीण अंचलों में भी उजाला और समृद्धि की नई किरण बनकर पहुँच रही है। सुकमा जिले के तोंगपाल निवासी श्री कन्हैया लाल गुप्ता का घर अब सौर ऊर्जा से जगमगा रहा है।श्री गुप्ता ने अपने घर की छत पर 3 किलोवाट की सौर ऊर्जा प्रणाली स्थापित की है। इस सोलर यूनिट के लगने से उनके मासिक बिजली बिल में भारी कमी आई है। पहले उन्हें हर महीने लगभग 1600 रूपए से 1700 रूपए तक का बिल भरना पड़ता था, जो अब घटकर मात्र 400 रूपए से 500 रूपए रह गया है। यह सोलर इंस्टॉलेशन छत्तीसगढ़ इनोवेशन कंपनी के माध्यम से किया गया। श्री गुप्ता ने बताया कि उन्हें इस योजना की जानकारी समाचार पत्रों से मिली। जानकारी प्राप्त करने के बाद उन्होंने स्थानीय विद्युत कार्यालय से संपर्क कर आवेदन किया। योजना के अंतर्गत उन्हें बैंक से ऋण की सुविधा और सरकार की ओर से 78,000 रूपए की सब्सिडी प्राप्त हुई, जिससे सोलर यूनिट स्थापित करने में बड़ी मदद मिली। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी एवं मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा यह योजना आम जनता के लिए आर्थिक रूप से अत्यंत लाभकारी है और ऊर्जा आत्मनिर्भरता की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।सब्सिडी का आकर्षक प्रावधान: तीन स्तरों पर लाभप्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना के तहत नागरिकों को केंद्र और राज्य सरकार दोनों की ओर से आकर्षक सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जा रहा है। एक किलोवाट क्षमता वाले सोलर प्लांट पर केंद्र सरकार की ओर से 30,000 रूपए और राज्य सरकार की ओर से 15,000 रूपए, इस प्रकार कुल 45,000 रूपए की सब्सिडी दी जा रही है। दो किलोवाट सोलर यूनिट लगाने पर लाभ बढ़कर 90,000 रूपए तक पहुंच जाता है, जिसमें 60,000 रूपए केंद्र और 30,000 रूपए राज्य का योगदान शामिल है। वहीं तीन किलोवाट क्षमता के सोलर संयंत्र पर केंद्र सरकार 78,000 रूपए और राज्य सरकार 30,000 रूपए कुल मिलाकर 1,08,000 रूपए की सहायता प्रदान कर रही है।
- -प्रधानमंत्री आवास योजना के हितग्राही करेंगे गृह प्रवेशबिलासपुर, /छत्तीसगढ़ स्थापना के रजत जयंती वर्ष के अवसर पर पूरे प्रदेश में प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के तहत गृह प्रवेश कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। इस अवसर पर रायपुर के अटल नगर में आयोजित राज्य स्तरीय मुख्य समारोह में प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी वर्चुअली रूप से 3.5 लाख से अधिक हितग्राहियों का सांकेतिक गृह प्रवेश कराएंगे। इनमें बिलासपुर जिले के लगभग 17 हजार 839 हितग्राही शामिल हैं, जिनके मकानों का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है।राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर जिले की सभी ग्राम पंचायतों में एक साथ सामूहिक गृह प्रवेश कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा। कार्यक्रम के दौरान नवनिर्मित घरों को दीयों, रंगोली और पारंपरिक साज-सज्जा से सजाया जाएगा। लाभार्थियों को खुशियों की चॉबी, आभार पत्र और स्मृति चिन्ह भी प्रदान किए जाएंगे। कलेक्टर श्री संजय अग्रवाल एवं जिला पंचायत सीईओ श्री संदीप कुमार अग्रवाल के मार्गदर्शन में कार्यक्रम को हर्षाेल्लास के साथ मनाने की रूपरेखा तैयार कर ली गई है। प्रत्येक ग्राम पंचायत में आयोजन की सफलता सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी रोजगार सहायकों और आवास मित्रों को सौंपी गई है।
- -बस्तर ओलंपिक के सुव्यवस्थित आयोजन एवं खिलाड़ियों हेतु बेहतर सुविधाएं सुनिश्चित करने के दिए निर्देशदंतेवाड़ा । प्रदेश के मुख्य सचिव श्री विकासशील द्वारा गुरुवार को बस्तर ओलंपिक 2025 के परिप्रेक्ष्य में बस्तर संभाग आयुक्त श्री डोमन सिंह सहित बस्तर सुकमा, दंतेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर, कोंडागांव एवं कांकेर के जिला कलेक्टरों को वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये विस्तृत दिशा निर्देश दिए गए। इस बैठक के एजेंडे में शासन द्वारा निर्धारित समय सारणी अनुसार विकासखण्ड जिला एवं संभाग स्तरीय खेल आयोजन, विभिन्न विभागों को सौंपे गए दायित्व, राज्य शासन द्वारा मार्गदर्षिका अनुसार खेल आयोजन हेतु शासन द्वारा प्राप्त निधियों सहित अन्य मसलें शामिल थे। बैठक में मुख्य सचिव ने कहा कि निर्धारित समय सारणी अनुसार तीनों स्तरों के खेल का प्रारंभ सुनिश्चित किया जाना चाहिए। इसके अलावा सभी स्तरों के खेल आयोजनों में समुचित व्यवस्था एवं खिलाडि़यों हेतु बेहतर सुविधाओं को प्राथमिकता दिया जाना चाहिए। बैठक में कमिश्नर बस्तर ने अंतिम पंजीयन स्थिति की जानकारी देते हुए कहा कि सभी सात जिलों से कुल प्राप्त पंजीयन की संख्या 3 लाख 91 हजार 2 सौ 57 है जो कि एक रिकॉर्ड है उन्होंने बताया कि बस्तर ओलंपिक के प्रारंभिक विकासखण्ड स्तरीय खेल प्रारंभ हो चुके हैं। इसके अलावा जिला एवं संभाग स्तरीय खेल भी निर्धारित समयानुसार प्रारंभ होंगे इसके लिए संभाग के सभी जिलों में पूरी तैयारियां की जा चुकी है।सनद रहे कि बस्तर क्षेत्र के युवाओं को मुख्यधारा से जोड़ने सहित उनके रचनात्मक एवं खेल प्रतिभा को निखारने उन्हें अधिक से अधिक अवसर प्रदान करने बस्तर ओलंपिक 2025 का आयोजन किया जा रहा है। बस्तर ओलंपिक की शुरुआत वर्ष 2024 से की गई है। गृह और खेल एवं युवा कल्याण विभाग के तत्वाधान में वर्ष 2025 हेतु पंजीयन का शुभारंभ 22 सितंबर 2025 से किया गया है। इसके अन्तर्गत एथलेटिक्स तीरंदाजी, बैडमिंटन, फुटबॉल, हॉकी (केवल जिला स्तर), रस्साकसी (कंवल महिला सीनियर वर्ग), वेटलिफ्टिंग (जिला स्तर पर), कराटे, कबड्डी, खो-खो, व्हालीबॉल खेल शामिल किए गए हैं। प्रतियोगिता हेतु आयु वर्ग जूनियर वर्ग (14-17 वर्ष), सीनियर वर्ग (आयु वर्ग नहीं) निर्धारित है। आयोजन के स्तर विकासखंड, जिला एवं संभाग में होगा। इसके लिए तिथियों का निर्धारण पंजीयन हेतु 22 सितंबर 2025 में 20 अक्टूबर 2025 के मध्य किया गया। साथ ही बस्तर ओलंपिक का आयोजन के तहत विकासखण्ड स्तरीय 25 अक्टूबर 2025 से 05 नवंबर 2005 के मध्य होगें, जबकि जिला स्तरीय खेल 05 नवंबर 2025 से 15 नवंबर 2025 के बीच तथा संभाग स्तरीय बस्तर ओलंपिक का आयोजन 24 नवंबर 2025 से 30 नवंबर 20025 के मध्य आयोजित किया जायेगा।
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रायपुर- नगर पालिक निगम रायपुर के संस्कृति विभाग के तत्वावधान में भारत गणराज्य की पूर्व प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गाँधी की पुण्यतिथि दिनांक 31 अक्टूबर 2025 को प्रातः 11 बजे कालीबाड़ी चौक में स्थित उनकी प्रतिमा के समक्ष सादर नमन करने रायपुर नगर पालिक निगम के जोन क्रमांक 4 के सहयोग से पुष्पांजलि कार्यक्रम रखा गया है।
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- समय पर दवाई तथा पौष्टिक आहार लेने के लिए कहा
- जिले में मातृ एवं शिशु मृत्यु दर को रोकने के लिए की गई पहल
राजनांदगांव । कलेक्टर श्री जितेन्द्र यादव ने बुधवार को कलेक्टोरेट सभाकक्ष में छुरिया विकासखंड के उप स्वास्थ्य केन्द्र महाराजपुर में ग्राम रामपुर निवासी हाई रिस्क वाली गर्भवती माता श्रीमती हेमकुमारी से फोन से बात कर स्वास्थ्य की जानकारी ली। कलेक्टर ने उन्हें समय पर दवाईयां लेने तथा अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखने के लिए कहा। कलेक्टर ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग की ओर से समय-समय पर उनके तबियत के संबंध में जानकारी ली जाएगी। श्रीमती हेमकुमारी ने बताया कि पहला बच्चा आपरेशन से हुआ था। उन्होंने दूसरा बच्चा जिला अस्पताल या मेडिकल कॉलेज पेंड्री में ही कराने जानकारी दी। जिससे शिशु और माता दोनों स्वास्थ्य रहें। जिले के सभी हाई रिस्क वाली गर्भवती माता को प्रत्येक सप्ताह जिले से फोन कॉल कर स्वास्थ्य की जानकारी ली जा रही है। इसके साथ ही आगामी 15 दिवस में जिनका प्रसव होने वाला है। उनके घर प्रतिदिन मितानिन जाकर स्वास्थ्य की जानकारी ले रही है, ताकि जिले में मातृ एवं शिशु मृत्यु दर को रोका जा सके। उल्लेखनीय है कि जिले में 1315 हाई रिस्क गर्भवती महिलाएं है। हाई रिस्क वाली गर्भवती महिलाओं के स्वास्थ्य की सतत निगरानी के लिए उन्हें फोन कर जानकारी ली जा रही है। सुरक्षित प्रसव के लिए पौष्टिक आहार, दवाईयां, सावधानी एवं अन्य आवश्यक जानकारी प्रदान की जा रही है। - -बीज उत्पादन के लिए महिला कृषकों को जोड़ने पर बल-धान के रकबा में कमी लाने सहित मिलेट्स फसलों और दलहन-तिलहन की खेती को बढ़ावा देने के निर्देश-कृषि उत्पादन आयुक्त ने संभाग स्तरीय खरीफ समीक्षा सहित रबी 2025 तैयारी की समीक्षा कर कार्ययोजना के प्रभावी क्रियान्वयन करने दिए निर्देशदंतेवाड़ा । विकसित बस्तर की परिकल्पना को साकार करने के लिए कृषि क्षेत्र सहित आनुशांगिक सेक्टरों की अहम भूमिका है। यह बस्तर के समग्र विकास की धुरी है। इसे मद्देनजर रखते हुए मक्का एवं मिलेट्स फसलों, दलहन-तिलहन फसल क्षेत्र विस्तार, मसाला फसलों के रकबा विस्तार के लक्ष्य को हासिल करने पर ध्यान केंद्रीत करें। साथ ही बस्तर में जैविक खेती की अपार संभावनाओं को देखते हुए जैविक खेती को ज्यादा प्रोत्साहित करने सहित यहां की अनुकूल वातावरण के मद्देनजर कॉफी एवं ऑयल पाम की खेती को बढ़ावा दिया जाए। वहीं पशुपालन और मत्स्यपालन एवं झींगापालन के लिए व्यापक स्तर पर पहल किया जाए। उक्त निर्देश कृषि उत्पादन आयुक्त शहला निगार ने दंतेवाड़ा में आयोजित संभाग स्तरीय खरीफ समीक्षा सहित रबी 2025 की तैयारी की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को दिए। उन्होंने रबी 2024 की तुलना में रबी 2025 के कार्ययोजना का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित कर क्षेत्राच्छादन में वृद्धि करने पर बल देते हुए नियमित तौर पर समीक्षा किए जाने के निर्देश कलेक्टर्स तथा अन्य अधिकारियों को दिए।कृषि उत्पादन आयुक्त शहला निगार ने बस्तर के किसानों की बीज की मांग को स्थानीय स्तर पर पूर्ति करने के लिए लक्ष्य निर्धारित कर बीज उत्पादन कार्यक्रम से अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति वर्ग के कृषकों सहित महिला कृषकों को प्रोत्साहित करने पर बल देते हुए कहा कि इन वर्गों के किसानों को बीज प्रमाणीकरण पंजीयन शुल्क से छूट प्राप्त है, इसलिए बीज उत्पादन कार्यक्रम से उक्त वर्ग के किसानों को ज्यादा से ज्यादा जोड़ने पहल करें। इन्हें बीज एवं अन्य आदान सामग्री की उपलब्धता सहित प्रशिक्षण से लाभान्वित किया जाए। दंतेवाड़ा जैविक जिला होने के कारण स्थानीय स्तर पर ही बीज उत्पादन कर जिले में ही उपयोग किया जाए। उन्होंने रबी फसल सीजन में भी धान के रकबा में कमी लाने के लिए निर्धारित लक्ष्य को हासिल करने हेतु कार्ययोजना के अनुसार कोदो-कुटकी एवं रागी मिलेट्स सहित दलहन-तिलहन फसलों की खेती को बढ़ावा देने कहा। इस दिशा में मक्का की खेती को विशेष तौर पर प्रोत्साहित किए जाने के निर्देश दिए।जैविक खेती को प्रोत्साहन देने पर बलकृषि उत्पादन आयुक्त ने बस्तर में जैविक खेती की अपार संभावनाओं को रेखांकित करते हुए कहा कि यहां की भूमि की उर्वरता और वातावरण जैविक खेती के लिए काफी अनुकूल है। इसलिए अधिकाधिक किसानों को जैविक खेती करने के लिए प्रोत्साहित करें और उन्हें हरसंभव मदद सुलभ कराया जाए। उन्होंने नेशनल मिशन आन नेचुरल फार्मिंग के लिए भी बस्तर को उपयुक्त निरूपित करते हुए इस दिशा में तैयार कार्ययोजना का कारगर कार्यान्वयन किए जाने के निर्देश दिए। साथ ही कलस्टर के आधार पर सम्पूर्ण चयनित क्षेत्र के मृदा परीक्षण करने सहित मृदा स्वास्थ्य कार्ड प्रदाय किए जाने कहा। कृषि उत्पादन आयुक्त ने पांच वर्ष के भीतर की विभिन्न किस्मों के रकबा विस्तार के लिए भी प्राथमिकता के साथ क्रियान्वयन सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए।बस्तर बनेगा पाम ऑयल हबकृषि उत्पादन आयुक्त ने नेशनल मिशन आन एडिबले ऑयल की कार्ययोजना को व्यापक स्तर पर क्रियान्वयन करने पर बल देते हुए कहा कि बस्तर के उच्चहन भूमि तथा अनुकूल जलवायु ऑयल पाम की खेती के लिए काफी मुनासिब है। किसान ऑयल पाम की खेती के साथ इंटर क्रॉपिंग भी कर सकते हैं। साथ ही साग-सब्जी की खेती को भी प्रोत्साहित किया जा सकता है। अतएव भविष्य में खाद्य तेल की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए बस्तर में ऑयल पाम की खेती को प्रोत्साहन दिया जाए। इस दिशा में कलस्टर बनाकर किसानों का चयन करने सहित उन्हें हरेक सहायता सुलभ कराया जाए। उन्होंने कहा कि बस्तर में ऑयल पाम के पर्याप्त उत्पादन के पश्चात पाम ऑयल तैयार करने के लिए प्रसंस्करण केन्द्र की स्थापना भी प्रस्तावित है।दलहन की खेती को बढ़ावा देने पर बलकृषि उत्पादन आयुक्त ने रबी सीजन में दलहन की खेती को बढ़ावा देने पर जोर देते हुए कहा कि पीएम आशा योजनांतर्गत उड़द, अरहर एवं मसूर का उपार्जन समर्थन मूल्य पर किया जा रहा है। इसे मद्देनजर रखते हुए पीएम आशा योजना का व्यापक प्रचार-प्रसार कर इन दलहन फसलों की खेती एवं भरपूर उत्पादन के लिए किसानों को प्रोत्साहित करें। उन्होंने किसानों को इन दलहनों के साथ ही चना, मूंग का बीज और अन्य आदान सहायता प्रदान किए जाने के निर्देश दिए। साथ ही सरसों एवं सूरजमुखी जैसे तिलहन फसलों के रकबा विस्तार को प्राथमिकता देने के निर्देश दिए। कृषि उत्पादन आयुक्त ने दंतेवाड़ा जिले में प्रधानमंत्री धन-धान्य योजना क्रियान्वयन हेतु कार्ययोजना की तैयारी की जानकारी ली और अन्य जिलों को भी उक्त योजना के मार्गदर्शिका के अनुसार कार्यान्वयन कर खेती-किसानी के माध्यम से आर्थिक विकास में नए आयाम स्थापित करने पर बल दिया।कृषि उत्पादन आयुक्त ने रबी 2025 के कार्ययोजना के अनुसार किसानों की मांग के अनुरूप बीज-खाद और फसल ऋण की उपलब्धता सुनिश्चित करने अधिकारियों को निर्देशित किया कि बीज-खाद का लक्ष्य के अनुरूप भंडारण एवं वितरण किया जाए। खाद-बीज के गुण नियंत्रण के लिए नियमित तौर पर निरीक्षण करने सहित जांच एवं कार्यवाही अनिवार्य रूप से किया जाए। उन्होंने अधिकारियों को खाद-बीज और फसल ऋण सुलभता की नियमित तौर पर समीक्षा करने सहित किसान क्रेडिट कार्ड में अद्यतन प्रगति लाए जाने के निर्देश दिए। रबी सीजन हेतु किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड प्रदाय करने के लिए हरेक ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी को 20 से 25 का लक्ष्य आबंटित किये जाने कहा। साथ ही पशुपालन, कुक्कुटपालन, सूकरपालन, बकरापालन सहित मत्स्यपालन और उद्यानिकी फसलों की खेती इत्यादि आनुषांगिक सेक्टरों के लिए भी किसान क्रेडिट कार्ड प्रदाय पर ध्यान केंद्रित करने के निर्देश दिए। बैठक में बस्तर संभाग के अंतर्गत किसानों को लघु सिंचाई साधन की उपलब्धता हेतु प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना, किसान समृद्धि योजना, एग्रीस्टेक अन्तर्गत समय सीमा में पंजीयन की कार्ययोजना, सौर सुजला योजना के क्रियान्वयन तथा सिंचाई पम्पों के विद्युतीकरण की भी समीक्षा की गई।इस दौरान कमिश्नर बस्तर श्री डोमन सिंह ने बस्तर संभाग में कृषि विकास को सर्वोच्च प्राथमिकता देकर कृषि एवं आनुशांगिक सेक्टरों में संचालित विभिन्न हितग्राहीमूलक योजनाओं से हरेक पात्र व्यक्ति को सेचुरेशन करने पर बल देते हुए इस दिशा में सभी अधिकारियों को बेहतर प्रदर्शन करने के निर्देश दिए। उन्होंने विशेष तौर पर नियद नेल्लानार योजना क्षेत्रों में योजनाओं के कारगर कार्यान्वयन हेतु फोकस करने कहा। बैठक में कांकेर, बस्तर, कोण्डागांव, दंतेवाड़ा, सुकमा, बीजापुर एवं नारायणपुर के कलेक्टर ने अपने जिले में कृषि तथा संबंधित विभागों के योजनाओं के क्रियान्वयन प्रगति, रबी फसल कार्यक्रम कार्ययोजना के क्रियान्वयन तैयारी सहित नवाचारों के बारे में विस्तारपूर्वक अवगत कराया।बैठक में संचालक कृषि श्री राहुल देव, संचालक पशुपालन श्री चन्द्रकांत वर्मा, प्रबन्ध संचालक छत्तीसगढ़ बीज विकास निगम श्री अजय अग्रवाल, संचालक मत्स्यपालन श्री नारायण सिंह नाग सहित सभी जिले के सीईओ जिला पंचायत और कृषि, उद्यानिकी, पशुपालन, मत्स्यपालन, जल संसाधन, सहकारिता विभागों के अधिकारियों सहित विद्युत वितरण कम्पनी, क्रेडा, मार्कफेड, जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक के अधिकारी और इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय तथा उद्यानिकी महाविद्यालय के वैज्ञानिक उपस्थित थे।
- रायपुर ।, राज्यपाल श्री रमेन डेका और राज्य की प्रथम महिला श्रीमती रानी डेका काकोटी ने आज महाकालीबाड़ी विश्वनाथ मंदिर पंडरी रायपुर में माता जगतधात्री की पूजा-अर्चना कर आर्शीवाद लिया और प्रदेश के सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना की । इस अवसर पर मंदिर समिति के अध्यक्ष श्री दिप्तेश चटर्जी एवं अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।
- रायपुर। छत्तीसगढ़ शासन, जल संसाधन विभाग द्वारा दो सिंचाई योजनाओं के कार्यों के लिए 11 करोड़ 41 लाख 15 हजार रुपये स्वीकृत किये हैं। स्वीकृत कार्यों में कबीरधाम जिले के विकासखण्ड-बोड़ला की सकरी नदी पर ग्राम रेंगाखार पंचायत के आश्रित ग्राम में तटबंध निर्माण कार्य के लिए 4 करोड़ 8 लाख 64 हजार रुपये स्वीकृत किये गये हैं। इसी तरह बलौदा बाजार-भाटापारा जिले के विकासखण्ड-सिमगा की देवरीडीह जलाशय का जीर्णोद्धार सी.सी. लाईनिंग कार्य के लिए 7 करोड़ 32 लाख 51 हजार रुपये स्वीकृत किये गये हैं।
- रायपुर। महाराष्ट्र मंडल के संत ज्ञानेश्वर विद्यालय के बच्चों ने मंगलवार, 28 अक्टूबर को असेंबली में छठ पर्व मनाया। इस मौके पर बच्चों को छठ का महत्व और इतिहास के बारे में जानकारी दी गई। इस दौरान कुछ बच्चियां पारंपरिक वेशभूषा में सुपा लेकर पहुंची थीं। इस दौरान बच्चों ने सूर्य को अर्घ्य भी दिया।ब्लू हाउस असेंबली इंचार्ज स्नेहा महाजन के नेतृत्व में बच्चों ने छठ पूजा का महत्व बताया। इसमें कंडक्शन हिमानी साहू, प्रतिज्ञा- कनिका सिंह बारले, विचार - रोहिल साहू, नृत्य- आस्था चतुर्वेदी ने छठी मैय्या के गीत पर नृत्य किया। शिक्षिका प्रीति तिवारी ने बच्चों को बताया कि छठ पूजा का इतिहास कई प्राचीन मान्यताओं से जुड़ा है, जिनमें रामायण और महाभारत काल की कथाएं भी शामिल हैं।प्रीति के अनुसार मान्यताओं के अनुसार, भगवान राम और माता सीता ने सूर्य देव के सम्मान में व्रत रखा था, जबकि महाभारत काल में द्रौपदी और कर्ण ने भी सूर्य देव की पूजा की थी। इसके अतिरिक्त, मार्कण्डेय पुराण में एक कथा है, जिसमें राजा प्रियवद को संतान प्राप्ति के लिए देवी षष्ठी (छठी मैया) की पूजा करने का उल्लेख है।
- 0- छत्तीसगढ़ रिंग फाइट एसोसिएशन दो नवंबर से शुरू करेगा चयन प्रकिया0- पश्चिम बंगाल में 12 से 14 दिसंबर को होने वाले नेशनल चैंपियनशिप की चल रही तैयारीरायपुर। पश्चिम बंगाल में 12 से 14 दिसंबर को होने वाले 9वें नेशनल रिंग फाइट चैंपियनशिप में भाग लेने के लिए छत्तीसगढ़ के युवा खिलाड़ियों के लिए यह अंतिम अवसर है। छत्तीसगढ़ रिंग फाइट एसोसिएशन की ओर से एक नवंबर, शनिवार और दो नवंबर रविवार को संत ज्ञानेश्वर स्कूल में ट्रेनिंग दी जाएगी। इसके बाद नेशनल स्पर्धा के लिए खिलाड़ियों का चयन किया जाएगा। प्रदेश के इच्छुक युवा खिलाड़ियों के लिए स्पर्धा में भाग लेने के यह अंतिम अवसर है।छत्तीसगढ़ रिंग फाइट एसोसिएशन की उपाध्यक्ष गीता श्याम दलाल ने बताया कि अभी हुए एक सप्ताह के ट्रेनिंग कैंप में 14 लड़के और पांच लड़कियां शामिल हुई थीं। दो नवंबर के बाद चयन की प्रक्रिया पूरी की जाएगी। चयनित खिलाड़ियों को स्पर्धा में रवानगी के पहले तक हर शनिवार और रविवार को ट्रेनिंग दी जाएगी। खिलाड़ियों को एसोसिएशन के सचिव और कोच ओपी कटारिया, संत ज्ञानेश्वर स्कूल की खेल शिक्षिका ज्योति साहू ट्रेनिंग दे रहीं हैं।बताते चलें कि पश्चिम बंगाल में होने वाले 9वें नेशनल रिंग फाइट चैंपियनशिप में भाग लेने के लिए छत्तीसगढ़ रिंग फाइट एसोसिएशन तैयारी में जुट गई है। एसोसिएशन और महाराष्ट्र मंडल रायपुर के संयुक्त तत्वावधान में संत ज्ञानेश्वर स्कूल में कैंप लगाया गया था।
- 0- समूचे छत्तीसगढ़ी कार्यक्रम में संत ज्ञानेश्वर विद्यालय की शिक्षिकाओं की प्रस्तुतियां होंगी आकर्षण का केंद्ररायपुर। देवउठनी एकादशी- तुलसी विवाह की व्यस्तताओं के कारण असमंजस में फंसी महिला सभासदों के विशेष आग्रह पर महाराष्ट्र मंडल का छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस समारोह अब मंगलवार, चार नवंबर को होगा। मंडल की उपाध्यक्ष गीता श्याम दलाल के अनुसार बड़ी संख्या में महिलाएं मंडल के राज्योत्सव समारोह में शामिल होने के लिए इच्छुक होने के बावजूद नहीं आ रहीं थीं। आपसी सलाह- मशविरे में बाद तय की गई नई तारीख चार नंबर है। मंडल के लॉन एरिया के खुले रंगमंच पर मंगलवार को शाम छह बजे पूरी तरह छत्तीसगढ़ी में होने वाला यह आयोजन उसी उत्साह व जोश के साथ होगा।गीता दलाल के मुताबिक इस बार छत्तीसगढ़ राज्य की 25वीं वर्षगांठ होने कारण इस बार का यह रजत जयंती समारोह अधिक भव्य और मनोरंजक होगा। महाराष्ट्र मंडल के विभिन्न प्रकल्पों, समितियों और महिला केंद्रों में इसकी तैयारियां शुरू हो चुकी हैं। गीता ने बताया कि संत ज्ञानेश्वर विद्यालय (एसडीवी) की शिक्षिकाओं की दो नृत्य प्रस्तुतियां आकर्षण का केंद्र होंगी।एसडीवी के प्रभारी परितोष डोनगांवकर ने बताया कि चौबे कॉलोनी स्थित मंडल परिसर में भव्य आतिशबाजी के साथ होने वाले छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस समारोह में लगभग सभी प्रकल्पों, समितियों और महिला केंद्रों की सहभागिता होगी। एसडीवी की शिक्षिका प्रीति तिवारी समूचा कार्यक्रम छत्तीसगढ़ी में संचालित करेंगी। कार्यक्रम की शुरुआत राजगीत ‘अरपा पैरी के धार...’ से होगी। कार्यक्रम के समापन पर छत्तीसगढ़ी व्यंजनों का लुत्फ कलाकारों सहित दर्शक भी ले सकेंगे।परितोष के अनुसार एसडीवी की शिक्षिकाओं की दो- दो प्रस्तुतियों के साथ बच्चे भी अपनी स्थानीय बोली छत्तीसगढ़ी में कार्यक्रम प्रस्तुत करते नजर आएंगे। इसी तरह महिला केंद्रों की ओर से कम से कम पांच छत्तीसगढ़ी लोकनृत्य पेश जाएंगे। इनमें चौबे कॉलोनी केंद्र की महिलाएं महाराष्ट्र मंडल भवन और शंकर नगर की महिला सभासद बाल वाचनालय में अपने नृत्य की रिहर्सल शुरू कर चुकी हैं।पर्यावरण समिति के समन्वयक अभय भागवतकर ने जानकारी दी कि उनकी समिति के सभासद अपनी प्रस्तुति को लेकर मंडल के लॉन एरिया में लगातार अभ्यास कर रहे हैं। इस बीच विभिन्न समितियों की ओर से संगीतमय प्रस्तुतियां भी लॉन एरिया में बैठे दर्शकों को देखने- सुनने को मिलेंगी। पूरे कार्यक्रम की बड़ी विशेषता यह है कि इसमें न तो मराठी भाषा में कोई प्रस्तुति होगी और न ही मराठी से मंच का संचालन अथवा चर्चा।
- 0 महाराष्ट्र मंडल के संत ज्ञानेश्वर स्कूल के छात्र ने कुमटी और काटा में हासिल किया चांदीरायपुर। भिलाई के महिला महाविद्यालय में आयोजित आल इंडिया ओपन नेशनल कराते चैम्पियनशिप 2025 में महाराष्ट्र मंडल के संत ज्ञानेश्वर विद्यालय के योगेश कुमार यादव ने कुमटी और काटा में एक-एक सिल्वर मेडल जीता। योगेश की इस उपलब्धि पर महाराष्ट्र मंडल के अध्यक्ष अजय मधुकर काले व कार्यकारिणी और संत ज्ञानेश्वर स्कूल के प्राचार्य मनीष गोवर्धन ने ढेर सारी शुभकामनाएं दी।प्राचार्य मनीष गोवर्धन ने बताया कि "फ़ीनिक्स शितो-रयू कराटे" एसोसिएशन यह टूर्नामेंट भिलाई में आयोजित किया गया था। इसमें देश के कई राज्यों से 350 से अधिक खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया। योगेश ने कांटा इवेंट में अंडर 16 कैटेगिरी में सिल्वर मेडल जीता। इस स्पर्धा में 16 से अधिक खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया था। वहीं अंडर 17 कैटेगिरी में दो फाइट खेला, जिसमें भी सिल्वर मेडल जीता।
- 0- मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री यशवंत कुमार ने जिला निर्वाचन अधिकारियों, एआरओ व ईआरओ की वर्चुअल बैठकर लेकर दिए आवश्यक दिशा-निर्देशबालोद. भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार निर्वाचक नामावलियों का का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का कार्य सफलतापूर्वक संपादित करने प्रशिक्षण का आयोजन निरंतर जारी है। छत्तीसगढ़ राज्य निर्वाचन आयोग के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री यशवंत कुमार ने आज वर्चुअल बैठक लेकर सभी जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारी, एआरओ और ईआरओ को विस्तृत दिशा-निर्देश दिए हैं। उन्होंने निर्वाचक नामावलियों का का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का कार्य सफलतापूर्वक संपन्न कराने आयोग द्वारा जारी किए गए कार्यक्रम की तिथियों की विस्तृत जानकारी देते हुए उक्त कार्य को सफलतापूर्वक संपादित करने हेतु आवश्यक-दिशा निर्देश दिए हैं।वीडियो कान्फ्रेंसिंग के दौरान संयुक्त जिला कार्यालय सभाकक्ष में कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्रीमती दिव्या उमेश मिश्रा, उप जिला निर्वाचन अधिकारी श्री चंद्रकांत कौशिक सहित निर्वाचन कार्य से जुड़े अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे। प्रशिक्षण में बताया गया कि निर्वाचक नामावलियों का का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के कार्य हेतु समय-सीमा निर्धारित की गई है। जिसके अनुसार तैयारी, प्रशिक्षण, मुद्रण हेतु 28 अक्टूबर से 03 नवंबर तक समय-सीमा निर्धारित की गई है। इसी प्रकार 04 नवंबर से 04 दिसंबर तक गणना अवधि, 04 दिसंबर को मतदान केन्द्रों का युक्तियुक्तकरण एवं उनको पुनः व्यवस्थित कराने, 05 दिसंबर से 08 दिसंबर तक नियंत्रण तालिका को अपडेट करना और प्रारूप निर्वाचक नामावली तैयार करना, 09 दिसंबर को प्रारूप निर्वाचक नामावली का प्रकाशन, 09 दिसंबर 2025 से 08 जनवरी 2026 दावा आपत्ति दाखिल करने की अवधि, 09 दिसंबर 2025 से 31 जनवरी 2026 तक सूचना चरण (जारी करना, सुनवाई और सत्यापन), गणना फाॅर्मों पर निर्णय और दावों और आपत्तियों का निपटान ईआरओ द्वारा एक ही साथ किया जाएगा। 03 फरवरी 2026 तक निर्वाचक नामावलियों की परिशुद्धता मानकों की जांच और अंतिम प्रकाशन के लिए आयोग की अनुमति प्राप्त किया जाएगा तथा 07 फरवरी 2026 को निर्वाचक नामावली का अंतिम प्रकाशन किया जाएगा।
- 0- पंजीयन हेतु शेष रह गए कृषकों का शत प्रतिशत पंजीयन सुनिश्चित कराने बालोद जिले में नियमित रूप से किया जा रहा है शिविर का आयोजनबालोद. बालोद जिले में समर्थन मूल्य पर धान खरीदी का कार्य सफलतापूर्वक संपन्न कराने एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन कराने हेतु शेष रह गए किसानों का पंजीयन का कार्य निरंतर जारी है। कलेक्टर श्रीमती दिव्या उमेश मिश्रा के निर्देशानुसार जिले के सभी सहकारी समितियों में शिविर का आयोजन कर शेष सभी कृषकों का एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन सुनिश्चित कराया जा रहा है। शिविर में खरीफ विपणन वर्ष 2024-25 एवं 2025-26 के ऐसे किसान जो एकीकृत किसान पोर्टल में पंजीकृत है किंतु एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन हेतु शेष रह गए है, समिति स्तरीय शिविरो में ऐसे सभी कृषकों का एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन किया जा रहा है। इसके साथ ही ऐसे कृषक जो एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीकृत है किंतु उनका व्यक्तिगत जानकारी अप्राप्त है शिविरों में ऐसे सभी कृषकों की जानकारी एग्रीस्टेक पोर्टल में अद्यतन भी किया जा रहा है।कलेक्टर श्रीमती मिश्रा के निर्देशानुसार बालोद जिले में राजस्व, सहकारिता एवं अन्य संबंधित विभागों के अधिकारी-कर्मचारियों द्वारा एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन कराने हेतु शेष रह गए शत प्रतिशत कृषकों का पंजीयन सुनिश्चित कराने हेतु मुस्तैदी से कार्य किया जा रहा है। जिससे कि जिले के सभी कृषकों को वास्तविक रकबे के आधार पर वास्तविक धान की खरीदी सुनिश्चित हो सके। इसके साथ ही जिले का कोई भी पात्र कृषक धान खरीदी योजना का समुचित लाभ लेने से वंचित न रहे। इसके अंतर्गत जिले के सहकारी समितियों में राजस्व एवं सहकारिता विभाग के अधिकारी-कर्मचारियों द्वारा एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन कराने हेतु शेष रह गए कृषकों का कराए जा रहे पंजीयन के कार्य का निरीक्षण कर मौके पर उपस्थित किसानों को एग्रीस्टेक पोर्टल में किसानों के पंजीयन के महत्व एवं उद्देश्यों के संबंध में आवश्यक जानकारी भी दी गई। एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन हेतु किसान संबंधित सहकारी समितियों के अलावा ग्राहक सेवा केन्द्रों में पहुँचकर अपना पंजीयन करा सकते हैं। इसके साथ ही एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीकृत ऐसे किसान जिनका व्यक्तिगत जानकारी अप्राप्त है वे सहकारी समितियों में आयोजित शिविरों में उपस्थित होकर अपना व्यक्तिगत जानकारी अद्यतन करा सकते हैं। इसके अंतर्गत आज एग्रीस्टेक पोर्टल में पंजीयन कराने हेतु शेष रह गए कृषकों ने जिले के सहकारी समितियों में पहुँचकर अपना पंजीयन कराया।
- बालोद. मुख्यमंत्री कौशल विकास योजना अंतर्गत प्रशिक्षण प्रदान करने हेतु जिले के इच्छुक हितग्राहियों से आवेदन आमंत्रित की गई है। जिला परियोजना लाईलवीहुड काॅलेज के सहायक परियोजना अधिकारी ने बताया कि मुख्यमंत्री कौशल विकास योजना अंतर्गत जिले के इच्छुक हितग्राहियों के लिए सिक्यूरिटी गार्ड, सोलर पैनल इंस्टालर (सूर्य मित्र), मोबाईल रिपेयरिंग राजमिस्त्री, फाल्स सिलिंग एवं ड्रायवाल इंस्टालर, कस्टम केयर एक्जीक्यूटिव संकाय के अंतर्गत प्रशिक्षण का आयोजन किया जाएगा। उन्होेंने बताया कि जिले के 10वीं एवं 12वीं उत्तीर्ण इच्छुक हितग्राही जिला परियोजना लाईवलीहुड कॉलेज पाकुरभाट में कार्यालयीन समय में समस्त शैक्षणिक योग्यता, आधार कार्ड, जाति, निवासी प्रमाण पत्र की छायाप्रति एवं 02 पासपोर्ट साइज फोटो के साथ उपस्थित होकर आवेदन जमा कर सकते हैं।
- 0- दावा आपत्ति की अंतिम तिथि 04 नवंबरबालोद. वन अधिकार प्रकोष्ठ में जिला स्तरीय समन्वयक एवं एम.आई.एस. सहायक की नियुक्ति हेतु पात्र-अपात्र सूची जारी की गई है। अपर कलेक्टर ने बताया कि अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पंरपरागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम 2006 एवं नियमों की प्रभावी एवं सूचारू क्रियान्वयन हेतु जिला स्तर पर तथा चिन्हित अनुभाग स्तर पर वन अधिकार प्रकोष्ठ में जिला स्तरीय समन्वयक (समन्वयक वन अधिकार अधिनियम) एवं 02 एम.आई.एस. सहायक (सहायक वन अधिकार अधिनियम) की नियुक्ति की जाएगी। जिसके अंतर्गत प्राप्त आवेदनों के जाँच उपरांत पात्र-अपात्र सूची जारी की गई है। उन्होेंने बताया कि उक्त संबंध में अभ्यर्थी 04 नवंबर 2025 तक दावा आपत्ति हेतु आवेदन प्रस्तुत कर सकते है। इसके साथ ही इस संबंध में अधिक जानकारी जिले के वेबसाईट बालोद डाॅट जीओवी डाॅट इन पर अवलोकन किया जा सकता है।
- बालोद. शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था गुण्डरदेही में प्लेसमेंट कैंप 31 अक्टूबर 2025 को सुबह 10 बजे से आयोजित की गई है। शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था गुण्डरदेही के प्राचार्य ने बताया कि शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था गुण्डरदेही में क्विज स्कोर कंसलटेंसी कंपनी पुणे के द्वारा प्लेसमेंट कैंप का आयोजन किया जा रहा है। जिसके अंतर्गत टाटा मोटर्स पैसेंजर व्हीकल, नेस्ले इंडिया तथा सिटेक्स प्राइवेट लिमिटेड विभिन्न प्रतिष्ठानों में आईटीआई तथा डिप्लोमा उत्तीर्ण छात्रों को नियोजित किए जाएगें। उन्होंने इच्छुक प्रशिक्षणार्थियों को अपने सभी आवश्यक दस्तावेजों तथा 02 पासपोर्ट फोटो के साथ शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था गुण्डरदेही में उपस्थित होने को कहा है।
- दुर्ग. जिला खेल एवं युवा कल्याण विभाग द्वारा 31 अक्टूबर 2025 को सरदार वल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती के अवसर पर यूनिटी मार्च (पद यात्रा) के रूप में मनाया जा रहा है। छत्तीसगढ़ शासन के निर्देशानुसार उक्त अवसर पर जिला मुख्यालय दुर्ग में 31 अक्टूबर को प्रातः 8.00 बजे यूनिटी मार्च (पद यात्रा) कार्यक्रम आयोजित किये जाएंगे। कार्यक्रम सरदार वल्लभ भाई पटेल चौक दुर्ग में सांसद, विधायकगण, अध्यक्ष जिला पंचायत एवं महापौर, जिला प्रशासन, सरदार वल्लभ भाई पटेल जी की छायाचित्र पर मल्यार्पण, शपथ ग्रहण एवं यूनिटी मार्च (पद यात्रा) सरदार वल्लभभाई पटेल चौक से प्रारंभ होकर, गांधी चौक से मुड़ कर उतई ऑटो स्टैण्ड, गौरव पथ, सुराना कॉलेज, शीतला मार्केट होते हुए जेल तिराहा से विवेकानंद सभागार में समापन एवं अतिथियों का उद्बोधन कार्यक्रम किया जाएगा। जिसमें जनप्रतिनिधिगण, जिला प्रशासन, विद्यालय/महाविद्यालय के छात्र, छात्रायें, अध्यापक, खिलाड़ी, एनसीसी कैडेट, स्काउट गाइड, गणमान्य नागरिक, समस्त शासकीय /अशासकीय अधिकारी / कर्मचारी भाग लेंगे। यूनिटी मार्च (पद यात्रा) में सभी की भागीदारी अपेक्षित है।











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