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- कोलंबो। श्रीलंका की एक जेल में बंद दो ईरानी लोगों ने कथित तौर पर सेनिटाइजर पीकर आत्महत्या कर ली। इस संबंध में कोलंबो रिमांड जेल के प्रवक्ता चंदना एकनायके ने गुरुवार को बताया कि दोनों ईरानी लोगों को मादक पदार्थ तस्करी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। उन्होंने कहा कि सेनिटाइजर पीने वाले 12 कैदियों को जेल अस्पताल में भर्ती कराया गया जिनमें से 10 का इलाज चल रहा है और दो ईरानी कैदियों की मौत हो गई। ये सभी लोग मादक पदार्थ तस्करी के मामले में रिमांड पर थे। file photo
- लंदन,।ब्रिटेन के राजकुमार विलियम ने धरती की समस्याओं को दूर करने के प्रयास करने की जगह अंतरिक्ष में सैर-सपाटा करने के लिए धन खर्च करने पर दुनिया के सबसे धनी लोगों की निंदा की है। विलियम ने बीबीसी के साथ बातचीत में यह टिप्पणी तब की जब बुधवार को पूर्व स्टार ट्रेक अभिनेता विलियम शैटनर अमेजन के संस्थापक जेफ बेजोस द्वारा निर्मित रॉकेट से अंतरिक्ष की उड़ान भरने वाले सबसे अधिक आयु के व्यक्ति बन गए। बीबीसी ने राजकुमार विलियम की टिप्पणियां गुरुवार को प्रसारित कीं। ब्रिटिश राजगद्दी के दावेदारों में दूसरे नंबर पर आने वाले विलियम ने कहा, ‘‘हमें विश्व के महानतम मस्तिष्क वाले व्यक्तियों और ऐसे लोगों की जरूरत है जो इस ग्रह की समस्याओं को दूर करने के लिए काम करें, न कि जाने और रहने के लिए कोई दूसरी जगह तलाशें।
- कोपेनहेगन (डेनमार्क)। नॉर्वे के एक छोटे शहर में एक व्यक्ति ने कथित तौर पर दुकानदारों पर तीर-कमान से हमला कर दिया, जिसमें पांच लोगों की मौत हो गई। अधिकारियों ने बताया कि हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया है। कांग्सबर्ग के एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि अधिकारियों और हमलावर का आमना-सामना हुआ। हालांकि उन्होंने इस बारे में अधिक जानकारी नहीं दी। हमले में दो लोग घायल हुए हैं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है। घायलों में एक पुलिसकर्मी भी है जिसकी ड्यूटी खत्म हो चुकी थी और वह उन दुकानों में से एक के अंदर था जिन पर हमला हुआ। पुलिस प्रमुख ऑयविंग आस ने कहा, ‘‘पुलिस ने हमलावर को गिरफ्तार कर लिया है। हमें जो सूचना मिली है, उसके मुताबिक इस हमले में केवल एक ही व्यक्ति शामिल था।'' देश की कार्यवाहक प्रधानमंत्री इरना सोलबर्ग ने इसे भयावह हमला बताया और कहा कि इस हमले के पीछे के इरादे का अनुमान लगाना जल्दबाजी होगी।
- वाशिंगटन। फेसबुक ने बुधवार को कहा कि कंपनी अपनी साइट से हानिकारक सामग्री हटाने के प्रयास के तहत उत्पीड़न के खिलाफ अपनी नीतियों में विस्तार करेगी।फेसबुक का यह बयान ऐसे समय में आया है, जब कंपनी के पूर्व डेटा वैज्ञानिक फ्रांसेस हौगेन ने कांग्रेस के समक्ष पिछले सप्ताह बयान दिया था कि कंपनी ने अपनी साइट पर हानिकारक सामग्री का प्रसार रोकने की अपनी जिम्मेदारी को पूरा करने की दिशा में पर्याप्त कदम नहीं उठाए हैं और वह अकसर अपने लाभ को अपने उपभोक्ताओं के हितों से अधिक महत्व देती है।फेसबुक की उत्पीड़न के खिलाफ नई एवं विस्तारित नीति के तहत उन सामग्रियों पर रोक लगेगी, जिनके जरिए सेलिब्रिटी और निर्वाचित अधिकारियों समेत सार्वजनिक हस्तियों को लोगों की नजरों में नीचा दिखाने की कोशिश की जाती है। यह बदलाव दुनिया भर में सरकार से असंतुष्ट लोगों, पत्रकारों और मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को उत्पीड़न से सुरक्षा प्रदान करेगा। कई देशों में पत्रकारों और कार्यकर्ताओं को चुप कराने के लिए सोशल मीडिया के माध्यम से उन्हें परेशान किया जाता है। कैलिफोर्निया के मेनलो पार्क से संचालित कंपनी ने घोषणा की कि वह उन सभी सामग्रियों पर प्रतिबंध लगाएगी, जिनके जरिए कुछ लोग मिलकर किसी व्यक्ति को परेशान करने की कोशिश करते हैं। फेसबुक के वैश्विक सुरक्षा प्रमुख एंटिगोन डेविस ने एक ब्लॉग पोस्ट में लिखा, ‘‘हम अपने मंच पर धौंस जमाने और उत्पीड़न की अनुमति नहीं देते हैं, लेकिन जब ऐसा होता है, तो हम कार्रवाई करते हैं।’’
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न्यूयॉर्क। अमेरिका के कैलिफोर्निया राज्य में एक विमान दुर्घटना में भारतीय मूल के हृदय रोग विशेषज्ञ समेत दो लोगों की मौत हो गई और दुर्घटना के कारण पास के मकानों में आग लग गई जिससे काफी क्षति हुई। मीडिया में आई खबरों में यह जानकारी दी गई। अरिजोना के युमा रीजनल मेडिकल सेंटर (वाईआरएमसी) के अनुसार, दुर्घटनाग्रस्त हुआ दो इंजन का यह विमान संस्थान में कार्यरत डॉ. सुगाता दास का ही था। सोमवार को हुए हादसे में दास की भी मौत हो गई है। सीबीएस-एनबीसी से संबंद्ध टीवी स्टेशन ने बताया कि अभी इस बात की पुष्टि नहीं हुई है कि हादसे के वक्त दास विमान चला रहे थे या नहीं। वाईआरएमसी के मुख्य चिकित्सा अधिकारी भरत मागू ने एक बयान में कहा, ‘‘स्थानीय हृदय रोग विशेषज्ञ सुगाता दास के विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने की खबर सुनकर हमें गहरा दुख हुआ है। विमान सैंटी (कैलिफोर्निया) के पास दुर्घटनाग्रस्त हुआ।'' मागू ने कहा, ‘‘वह एक बेहतरीन हृदय रोग विशेषज्ञ और परिवार के प्रति समर्पित व्यक्ति थे। इस मुश्किल वक्त में हम उनके परिवार, मित्रों और सहयोगियों के प्रति संवेदना जताते हैं।'' सैंटी में संताना हाई स्कूल के पास हुए हादसे के बाद आग लगने से दो मकान जलकर खाक हो गए और पांच अन्य मकानों एवं कई वाहनों को क्षति पहुंची। हालांकि आग अन्य मकानों तक फैलती, उससे पहले ही दमकलकर्मियों ने आग पर काबू पा लिया। हादसे में मारा गया अन्य व्यक्ति एक यूपीएस कर्मी था जो घटना के वक्त जमीन पर काम कर रहा था। यूपीएस ने यह पुष्टि की है कि विमान हादसे में उसके एक कर्मी की मौत हो गई। एबीसी से संबद्ध केएक्सटीवी ने यूपीएस के बयान के हवाले से बताया, ‘‘हम अपने एक कर्मी की मृत्यु की खबर से दुखी हैं और उनके परिवार एवं मित्रों के प्रति अपनी संवेदना प्रकट करते हैं। हादसे के शिकार हुए अन्य व्यक्तियों के परिवार एवं मित्रों के प्रति भी हम संवेदना जताते हैं।'' खबर के अनुसार, दोपहर करीब साढ़े 12 बजे अधिकारियों को ग्रीनकैसल स्ट्रीट के पास के क्षेत्र में विमान हादसे की सूचना मिली। संघीय विमानन प्रशासन (एफएए) के अनुसार यह विमान दो इंजन वाला सेसना सी 340 था जो दोपहर करीब सवा 12 बजे दुर्घटनाग्रस्त हुआ। एफएए के अनुसार, ‘‘विमान में कितने लोग सवार थे, इस बारे में अभी ज्ञात नहीं है।'' सेसना सी 340 विमान आमतौर पर व्यवसाय के लिए उपयोग किया जाता है। विमान में छह यात्रियों के बैठने की क्षमता है, जिसमें दो सीटें आगे और दो पीछे होती हैं। संस्थान की वेबसाइट के अनुसार, बंगाली परिवार में जन्मे दास पुणे में पले-बढ़े। वह ‘‘पावर ऑफ लव फाउंडेशन'' के निदेशक भी थे। यह एक अमेरिकी गैर-लाभकारी संगठन है जो विदेशों में एड्स और एचआईवी से संक्रमित या प्रभावित महिलाओं और बच्चों की मदद करता है। वेबसाइट पर बताया गया है कि दास के दो बेटे हैं और वे सैन डिएगो में रहते थे। वह दो इंजन वाले सेसना 340 के मालिक थे और एक प्रशिक्षित पायलट थे, जिन्होंने अपने घर और युमा के बीच उड़ान भरी थी। - काठमांडू ।नेपाल के मुगु जिले के गमगाधी जा रही एक यात्री बस मंगलवार को सड़क से फिसल कर 300 मीटर नीचे नदी में जा गिरी। दुर्घटना में कम से कम 32 लोगों की मौत हुई है और कई अन्य लोग घायल हुए हैं। ‘माई रिपब्लिका' वेबसाइट की खबर के अनुसार, नेपालगंज से गमगाधी की ओर आ रही बस पिना झयारी नदी में गिर गयी। दुर्घटना छायानाथ रारा नगर निगम क्षेत्र में हुई। खबर के अनुसार, ‘‘ताजा सूचना के अनुसार दुर्घटना में 32 लोगों की मौत हुई है। घायलों की संख्या भी बढ़ रही है।'' बस में सवार यात्रियों में से ज्यादातर लोग दुर्गा पूजा के अवसर पर विभिन्न जगहों से अपने घर लौट रहे थे। सुरखेत से नेपाली सेना का हेलीकॉप्टर राहत कार्य के लिए रवाना कर दिया गया है।नेपालगंज हवाई अड्डे के सुरक्षा गार्ड संतोष शाह ने बताया कि गंभीर रूप से घायल 10 लोगों को, जिनके सिर में चोट आयी है, उन्हें कोल्हापुर मेडिकल कॉलेज ले जाया गया है जबकि पांच अन्य को नेपालगंज के नर्सिंग होम में भर्ती कराया गया है।'' मुगु काठमांडू से 650 किलोमीटर उत्तर-पश्चिम में स्थित रारा झील के लिए प्रसिद्ध है।
- पेरिस। दक्षिण पश्चिमी फ्रांस में मंगलवार सुबह एक ट्रेन की चपेट में आने से तीन लोगों की मौत हो गई जबकि एक अन्य गंभीर रूप से जख्मी हो गया। स्थानीय मेयर ने बताया कि माना जाता है कि पीड़ित प्रवासी हैं जो पटरियों पर आराम कर रहे थे।राष्ट्रीय रेलवे कंपनी एसएनसीएफ ने बताया कि ट्रेन उस लाइन पर थी जो स्पेन से लगती फ्रांस की सीमा के शहर हेंदाये को बोर्डेक्स नगर से जोड़ती है। उसने कहा कि ट्रेन ने सुबह करीब साढ़े पांच बजे पटरियों पर मौजूद चार लोगों को टक्कर मार दी। सिबोर के मेयर एनेको एल्डाना-डौआटो ने कहा कि माना जाता है कि पीड़ित प्रवासी हैं जो रेल की पटरियों पर सो रहे थे या लेटे हुए थे। उन्होंने कहा कि सीमा के पास उस क्षेत्र में प्रवासियों का आना असामान्य नहीं है।
- बागुओ । फिलीपीन के उत्तरी किनारों पर चक्रवात के कारण बारिश के बाद अचानक आई बाढ़ और भूस्खलन की वजह से 11 लोगों की मौत हो गई और सात व्यक्ति लापता हो गए। अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी। बाढ़ और बारिश से पेड़ उखड़ गए हैं तथा बिजली आपूर्ति बंद हो गई है। इसके अलावा कई शहरों से 6,500 से ज्यादा लोगों को बचाकर निकाला गया है। सरकारी मौसम विभाग के अनुसार, उष्ण कटिबंधीय चक्रवात ‘कोमपासू' को दक्षिण चीन सागर के ऊपर देखा गया और वह चीन के हेनान द्वीप तथा वियतनाम की ओर बढ़ रहा है। आपदा प्रबंधन अधिकारियों ने कहा कि बेंगुएट प्रान्त में भूस्खलन से छह ग्रामीणों की जान चली गई और तीन अन्य लापता हैं। उन्होंने कहा कि बंदरगाह पर जांच कर रहा एक सुरक्षाकर्मी तेज लहरों के बहाव में बह गया। पलवान प्रान्त में बाढ़ से चार लोगों की मृत्यु हो गई तथा चार अन्य लापता हो गए।
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यावने (इजराइल)। इजराइली पुरातत्वविदों ने सोमवार को बताया कि उन्होंने शराब बनाने के एक बड़े प्राचीन परिसर का पता लगाया है जहां करीब 1,500 साल पहले शराब बनायी जाती थी। उन्होंने बताया कि मध्य यावने शहर में इस परिसर में शराब बनाने के गोदामों को पता चला है। शराब का भंडार करने के लिए मिट्टी के बर्तन बनाने वाली भट्टियों और हजारों टुकड़े तथा सुराहियां भी मिली हैं। इजराइल के पुरावशेष प्राधिकरण ने बताया कि यह खोज दिखाती है कि यावने बाइजेंटाइन साम्राज्य के दौरान शराब बनाने का बड़ा केंद्र हुआ करता था। शोधकर्ताओं का अनुमान है कि इस परिसर में एक साल में करीब 20 लाख लीटर शराब का उत्पादन होता होगा। खुदाई के अभियान से जुड़े जॉन सेलिगमन ने कहा कि इस इलाके में बनी शराब को ‘‘गाजा'' शराब के नाम से जाना जाता था और इसका पूरे क्षेत्र में निर्यात किया जाता है। उन्होंने कहा, ‘‘यह मशहूर शराब थी, सफेद रंग की शराब और इसे मिस्र, तुर्की, यूनान और संभवत: दक्षिण इटली समेत भूमध्यसागर के आसपास के कई देशों में भेजा जाता था।'' प्राधिकरण ने बताया कि तेल अवीव के दक्षिण में स्थित शहर यावने के विकास के तौर पर चल रही खुदाई के दौरान पिछले दो वर्षों में इस परिसर का पता चला।
- स्टाकहोम। तीन अमेरिकी अर्थशास्त्रियों को अनपेक्षित प्रयोगों, या तथाकथित ‘‘प्राकृतिक प्रयोगों'' से निष्कर्ष निकालने पर काम करने के लिए सोमवार को अर्थशास्त्र के 2021 के नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया। नोबोल पुरस्कार से सम्मानित होने वाले अर्थशास्त्रियों में बर्कले स्थित कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय के डेविड कार्ड, मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी के जोशुआ डी. एंग्रिस्ट और स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी के गुइडो इम्बेन्स शामिल हैं। रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेस ने कहा कि तीनों ने ‘‘आर्थिक विज्ञान में अनुभवजन्य कार्य को पूरी तरह से बदल दिया है।'' आर्थिक विज्ञान समिति के अध्यक्ष पीटर फ्रेड्रिक्सन ने कहा, ‘‘समाज के लिए अहम सवालों के संबंध में कार्ड के अध्ययन और एंग्रिस्ट और इम्बेन्स के पद्धतिगत योगदान से पता चला है कि प्राकृतिक प्रयोग ज्ञान का एक समृद्ध स्रोत हैं।'' उन्होंने आगे कहा, ‘‘उनके शोध ने महत्वपूर्ण सवालों के जवाब देने की हमारी क्षमता में काफी सुधार किया है, जो समाज के लिए बहुत फायदेमंद है।'' अन्य नोबेल पुरस्कारों के विपरीत अर्थशास्त्र का नोबेल पुरस्कार अल्फ्रेड नोबेल की वसीयत में स्थापित नहीं किया गया था बल्कि स्वीडिश केंद्रीय बैंक द्वारा 1968 में उनकी स्मृति में इसकी शुरुआत की गई थी, जिसमें पहले विजेता को एक साल बाद चुना गया था। यह प्रत्येक वर्ष घोषित नोबेल का अंतिम पुरस्कार है। पिछले साल का पुरस्कार स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी के दो अर्थशास्त्रियों पॉल आर मिल्ग्रोम और रॉबर्ट बी विल्सन को मिला, जिन्होंने नीलामी को अधिक कुशलता से संचालित करने की मुश्किल समस्या का समाधान प्रस्तुत किया। पिछले हफ्ते, 2021 का नोबेल शांति पुरस्कार फिलीपीन की पत्रकार मारिया रेसा और रूस के दिमित्री मुरातोव को उन देशों में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के लिए उनकी लड़ाई के लिए दिया गया था, जहां पत्रकारों को लगातार हमलों, उत्पीड़न और यहां तक कि हत्या का सामना करना पड़ा है। साहित्य का नोबेल तंजानिया के लेखक, ब्रिटेन में रहने वाले अब्दुलरजाक गुरनाह को दिया गया।
- न्यूयॉर्क । परमाणु हथियारों पर शोध करने वाले जाने माने विद्वान और पुलित्जर से सम्मानित मार्टिन जे शेरविन का 84 साल की उम्र में निधन हो गया है। शेरविन ने जापान पर अमेरिकी परमाणु बम हमले के समर्थन को चुनौती दी थी और उन्होंने भौतिक विज्ञानी जे रॉबर्ट ओपेनहाइमर पर शोध में करीब दो दशक का समय बिताया तथा उनकी जीवनी ‘‘अमेरिकन प्रोमेथियस'' के लिए पुलित्जर पुरस्कार जीता। शेरविन के मित्र और इलिनॉय यूनिवर्सिटी में इतिहास के प्रोफेसर एंड्रयू हार्टमैन के अनुसार शेरविन का निधन बुधवार को वाशिंगटन में उनके घर पर हुआ। वह 84 साल के थे और फेफड़े के कैंसर से जूझ रहे थे। ‘‘अमेरिकन प्रोमेथियस'' के सह लेखक एवं शेरविन के करीबी मित्र काई बर्ड ने उन्हें परमाणु युग का संभवत: सबसे श्रेष्ठ इतिहासकार'' बताया है। बर्ड ने कहा, ‘‘जब हमने अमेरिकन प्रोमेथियस पर काम शुरू किया तो उन्होंने मुझसे कहा कि हमारे पास शोध के लिए काफी कुछ है लेकिन कुछ कमियां हैं। हालांकि जब मैंने सारी सामग्री को देखना शुरू किया तो मुझे कहीं कोई कमी नजर नहीं आयी।'' शेरविन न्यूयॉर्क सिटी के रहने वाले थे। वह नौसेना में जूनियर अधिकारी थे। डार्टमाउथ कॉलेज में स्नातक के समय से ही परमाणु अनुसंधान को लेकर उनमें रूचि थी। उन्हें 2005 में प्रकाशित ‘‘अमेरिकन प्रोमेथियस'' से अधिक पहचान मिली और इस आत्मकथा के कारण वह पुलित्जर से सम्मानित हुए।
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सैन फ्रांसिस्को। कोविड-19 महामारी के कारण 19 महीने के अंतराल के बाद क्रूज जहाजों ने अमेरिका में सैन फ्रांसिस्को की ओर लौटना शुरू कर दिया है। सैन फ्रांसिस्को की मेयर लंदन ब्रीड ने इसकी घोषणा कर बताया कि मैजेस्टिक प्रिंसेस नामक क्रूज जहाज सोमवार को सैन फ्रांसिस्को बंदरगाह के लिए रवाना होगा। यह मार्च 2020 के बाद से सैन फ्रांसिस्को खाड़ी क्षेत्र की ओर जाने वाला पहला क्रूज जहाज होगा। गौरतलब है कि मार्च 2020 में ग्रैंड प्रिंसेज नामक क्रूज जहाज ने पूरी दुनिया का ध्यान अपनी ओर खींच लिया था जब उस पर सवार कुछ लोग कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए थे। इसके बाद कैलिफ़ोर्निया तट से दूर होने के कारण जहाज पर सवार हजारों लोगों को पृथक-वास में रखना पड़ा था। मैजेस्टिक प्रिंसेस नामक क्रूज लॉस एंजिल्स से कैलिफोर्निया तट की एक सप्ताह की यात्रा के लिए रवाना होगा जिसमें सैन फ्रांसिस्को में रात भर का ठहराव शामिल होगा। सैन फ्रांसिस्को के बंदरगाह पर इस वर्ष के शेष तीन महीनों के दौरान 21 क्रूज जहाजों के पहुंचने की उम्मीद है। मैजेस्टिक प्रिंसेस क्रूज पर सवार होने से पहले यात्रियों को अपने संपूर्ण टीकाकरण का प्रमाण-पत्र दिखाना होगा। टीकाकरण कम से कम 14 दिन पहले होना चाहिए। पोत का संचालन करने वाली कॉर्निवल कॉर्प की सहायक कंपनी प्रिंसेस क्रूज के एक बयान के अनुसार, यात्रियों को जहाज में सवार होने से पहले कोविड-19 की निगेटिव रिपोर्ट भी दिखानी होगी, जोकि दो दिन से अधिक पुरानी नहीं होनी चाहिए।
- वाशिंगटन। व्हाइट हाउस ने कहा है कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ग्रीन कार्ड जारी करने से जुड़ी प्रणाली में देरी की समस्या को दूर करना चाहते हैं। हजारों प्रतिभाशाली भारतीय प्रौद्योगिकी पेशेवरों को ग्रीन कार्ड देने में अत्यधिक देरी भारतीय-अमेरिकियों और यहां रहने वाले उनके आश्रित बच्चों की चिंता का प्रमुख कारण है। ऐसे लोगों को ग्रीन कार्ड जारी करने की प्रक्रिया में कभी कभी दशकों लग जाते हैं। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने शुक्रवार को अपने दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, “राष्ट्रपति निश्चित तौर पर ग्रीन कार्ड जारी करने की प्रक्रिया में देरी को भी दूर करना चाहते हैं।'' साकी 1 अक्टूबर को लगभग 80,000 अप्रयुक्त रोजगार-आधारित ग्रीन कार्ड की बर्बादी पर एक सवाल का जवाब दे रहीं थी, जिसे आधिकारिक तौर पर कानूनी स्थायी निवास कहा जाता है। यह बर्बादी इसलिए हुई क्योंकि यूएस सिटीजनशिप एंड इमीग्रेशन सर्विसेज (यूएससीआईएस) ग्रीन कार्ड की प्रतीक्षा कर रहे कई लाखों लोगों को इन्हें आवंटित करने में असमर्थ हैं। भारतीय प्रौद्योगिकी पेशेवरों ने बाइडन प्रशासन और अमेरिकी कांग्रेस से उन ग्रीन कार्ड स्लॉट को समाप्त नहीं होने देने के लिए आवश्यक विधायी परिवर्तन करने का आग्रह किया था, इनमें से हजारों के लिए यह इंतजार दशकों का है। इस सप्ताह की शुरुआत में, कांग्रेस सदस्य मैरिएननेट मिलर-मीक्स ने रोजगार वीजा सुरक्षा विधेयक पेश किया, जो यूएससीआईएस को वित्तीय वर्ष 2020 और 2021 में उपयोग के लिए अप्रयुक्त रोजगार-आधारित वीजा को संरक्षित करने की अनुमति देगा। इससे पहले, वित्तीय वर्ष 2020 में, कुल 1,22,000 परिवार-वरीयता वीजा अप्रयुक्त रह गए थे।
- , मारिया रेसा और दिमित्री मुरातोव कोशांति का नोबेल पुरस्कारआस्लो। 2021 का नोबेल शांति पुरस्कार फिलीपींस के समाचार संगठन 'रैपलर' की सीईओ मारिया रेसा और रूसी पत्रकार दिमित्री मुरातोव को दिया गया। उन्हें 'अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का बचाव करने के प्रयासों' के लिए यह पुरस्कार दिया गया है।नोबेल कमेटी ने बताया कि मारिया रेसा और उनके मीडिया संगठन को राष्ट्रपति रोड्रिगो दुतर्ते की सरकार के कामों की आलोचनात्मक रिपोर्टिंग के लिए कई बार निशाना बनाया जा चुका है। वह गलत जानकारियों के खिलाफ वैश्विक लड़ाई का भी एक अहम हिस्सा हैं। कमेटी की ओर से रूसी पत्रकार दिमित्री मुरातोव को बढ़ती चुनौतियों के बीच रूस में बोलने की आजादी को बचाने के उनके योगदान की बात भी कही गई।कमेटी ने पुरस्कार की घोषणा करते हुए कहा, "मारिया रेसा ने साल 2012 में रैपलर नाम की एक न्यूज वेबसाइट की शुरुआत की थी, जो राष्ट्रपति रोड्रिगो दुतर्ते के शासनकाल की विवादास्पद, जानलेवा, एंटी-ड्रग अभियान पर गंभीरता से नजर रखती थी। " रेसा और रैपलर के बारे में कमेटी ने यह भी कहा कि उन्होंने यह भी दर्ज किया कि फेक न्यूज फैलाने, विपक्षियों को परेशान करने और वहां की आम बहसों से छेड़छाड़ करने के लिए कैसे सोशल मीडिया का इस्तेमाल किया जा रहा है।मारिया को एक पत्रकार के तौर पर तीन दशकों का अनुभव है। वह एशिया के लिए सीएनए की प्रमुख खोजी रिपोर्टर और फिलीपीन ब्रॉडकास्टर एबीएस-सीबीएन की समाचार प्रमुख भी रह चुकी हैं।दिमित्री मुरातोव रूसी अखबार नोवाया गजेटा के एडिटर-इन-चीफ हैं. दिमित्री के अखबार को कमेटी ने 'आज के रूस में सच्चा आलोचनात्मक नजरिया रखने वाला अकेला अखबार' बताया। दिमित्री ने साल 1993 में नोवाया गजेटा की स्थापना की थी। उनके बारे में कमेटी कहा, "अखबार की तथ्यपरक पत्रकारिता और पेशेवर निष्ठा ने इसे रूसी समाज के निंदनीय पहलुओं के बारे में जानकारी का एक महत्वपूर्ण स्रोत बना दिया है, जिसके बारे में शायद ही कभी अन्य मीडिया में चर्चा भी होती है। " इस समाचार पर प्रतिक्रिया देते हुए दिमित्री मुरातोव ने कहा, "हम उन लोगों की मदद करने की कोशिश करते रहेंगे, जिन्हें अब (रूस में) विदेशी एजेंट करार दिया जा रहा है, जिन पर हमले हो रहे हैं और जिन्हें देश निकाला दिया जा रहा है। "
- लंदन। इंग्लैंड के स्टार हरफनमौला बेन स्टोक्स की टूटी हुई ऊंगली का दूसरा आपरेशन हुआ है जिससे उनका एशेज श्रृंखला से बाहर रहना तय लग रहा है । भारत के खिलाफ घरेलू श्रृंखला से बाहर रहने के बाद से क्रिकेट से अनिश्चितकाल का ब्रेक लेने वाले स्टोक्स को चार महीने पहले राजस्थान रॉयल्स के लिये आईपीएल खेलते समय बायें हाथ की तर्जनी ऊंगली में चोट लगी थी । टेब्लायड ‘ डेली मिरर' के अनुसार ,‘‘ अप्रैल में स्टोक्स की ऊंगली का पहला आपरेशन करने वाले लीड्स के डॉक्टर डग कैंपबेल ने दूसरा आपरेशन भी किया है ।'' रिपोर्ट में कहा गया कि स्टोक्स की ऊंगली अब तेजी से ठीक होगी और उन्हें दर्द से भी राहत मिलेगी । उनके निकट भविष्य में मैदान पर लौटने की संभावना नहीं है ।एशेज श्रृंखला दिसंबर जनवरी में खेली जायेगी । स्टोक्स ने बुधवार को इंस्टाग्राम पर अपनी पत्नी क्लेयर के साथ फोटो भी डाली है जिसमें उनकी तर्जनी में पट्टी बंधी हुई है ।
- वाशिंगटन। विश्व की करीब आधी के आबादी के पास मधुमेह, उच्च रक्तचाप, एचआईवी और तपेदिक(टीबी) जैसे कई रोगों की पहचान के लिए मूलभूत जांच की सुविधाएं नहीं हैं। द लॉंसेट कमीशन ऑन डायग्नोस्टिक्स के नेतृत्व वाले एक विश्लेषण में यह दावा किया गया है। कमीशन 16 देशों के करीब 25 विशेषज्ञों को एक मंच पर लेकर आया है, जिन्होंने इस बात का जिक्र किया कि सटीक, उच्च गुणवत्ता और वहनीय जांच के अभाव में कई लोगों का अत्यधिक उपचार, कम उपचार या बिल्कुल ही उपचार नहीं होगा। कमीशन ने नैदानिकी अंतराल को पाटने, पहुंच बढ़ाने और उच्च आय वाले देशों के अलावा अन्य देशों में नैदानिकी का विकास करने की अपील की है। नैदानिकी अहम जांचों का एक समूह है जो मरीज के स्वास्थ्य को समझने के लिए आवश्यक है।रिपोर्ट के लेखकों ने यह जिक्र किया है कि कोविड-19 महामारी का एक तत्काल सबक समय पर और सटीक जांच का महत्व है। उन्होंने कहा कि उच्च आय वाले देशों में निजी क्षेत्र के अतिरिक्त मौजूदा सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रयोगशलाओं का उपयोग जांच की सुविधा तेजी से बढ़ाने में महत्वपूर्ण रहा है। हालांकि, इस बुनियादी ढांचे के अभाव का सामना कर रहे निम्न और मध्यम आय वाले कई देश जांच की पूर्ण क्षमता प्राप्त करने तक नहीं पहुंच पाए हैं। ब्रिटेन के ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के प्राध्यापक व कमीशन प्रमुख केनीथ फ्लेमिंग ने कहा, ‘‘दुनिया के ज्यादातर देशों में अहम जांच की सुविधा नहीं रहने की स्थिति में ही मरीज का इलाज किया जाता है। यह आंख मूंद कर इलाज करने जैसा है। यह न सिर्फ मरीजों के लिए नुकसानदेह साबित हो सकता है बल्कि मेडिकल संसाधनों की भी बर्बादी है। '' विश्लेषण में कई हैरान कर देने वाली चुनौतियों का जिक्र किया गया है और रिपोर्ट में इनसे निपटने के लिए सुझाव दिये गये हैं। उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी ने जांच को राजनीतिक एवं वैश्विक स्वास्थ्य एजेंडा के शीर्ष पर ला दिया और यह सभी रोगों के लिए जांच सुनिश्चित करने का एक अहम मोड़ हो सकता है।
- कराची ।पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत के पहाड़ी इलाके में बृहस्पतिवार तड़के आए 5.9 तीव्रता के भूकंप में कई माकन ढह गए, जिससे कम से कम 22 लोगों की मौत हो गई और 300 से अधिक लोग घायल हो गए। ‘जियो न्यूज' की खबर के अनुसार, आपदा प्रबंधन अधिकारियों का कहना है कि मृतक संख्या अभी और बढ़ सकती है। भूकंप विज्ञान केन्द्र के अनुसार, भूकंप का केन्द्र हरनाई में 15 किलोमीटर की गहराई पर था। भूकंप से हुए नुकसान का अभी तक आकलन नहीं लगाया जा सका है। भूकंप के झटके बलूचिस्तान के क्वेटा, सिबी, हरनाई, पिशिन, किला सैफुल्ला, चमन, जियारत और झोब में महसूस किए गए। इससे सबसे अधिक लोग उत्तर-पूर्वी जिले हरनाई में हताहत हुए हैं। अमेरिकी भूगर्भीय सर्वेक्षण के अनुसार, भूकंप की तीव्रता 5.9 मापी गई है और इसका केन्द्र उथली गहराई पर ही था। ऐसे में इससे अधिक नुकसान होने की आशंका है। हरनाई के उपायुक्त सुहैल अनवर हाशमी के बताया कि भूकंप संबंधी घटनाओं में 22 लोगों की मौत हुई है, जिनमें से छह बच्चे हैं। प्रांतीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (पीडीएमए) ने कहा कि मृतकों में कई महिलाएं और बच्चे शामिल हैं।समाचार पत्र ‘डॉन' की खबर के अनुसार, सोशल मीडिया पर आई तस्वीरों में क्वेटा में भूकंप के बाद लोग सड़कों पर नजर आ रहे हैं। भूकंप के बाद कई इलाकों में झटके महसूस किए जा रहे हैं। शुरुआती झटके तड़के तीन बजकर 20 मिनट पर महसूस किए गए थे, जिससे घबराए लोग घरों से बाहर निकल आए। हाशमी के अनुसार, कई लोगों को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हरनाई में कई इमारतें क्षतिग्रस्त हुई हैं। कई लोग मलबे में भी दब गए। 100 से अधिक मिट्टी के मकान भी ढह गए, जिससे हजारों लोग बेघर हो गए हैं। इलाके में बिजली आपूर्ति भी निलंबित है। बलूचिस्तान के मुख्यमंत्री जाम कमाल खान आल्यानी ने कहा कि वहां मदद मुहैया कराई जा रही है और लोगों को निकालने के प्रयास भी जारी हैं। उन्होंने ट्वीट किया कि रक्त की व्यवस्था की गई है, एम्बुलेंस मौजूद हैं, हेलीकॉप्टर सहित अन्य आपात सेवाओं और अन्य आवश्यक चीजों का इंतजाम किया गया है। सेना ने एक बयान में कहा कि सैनिक हरनाई के भूकंप प्रभावित इलाके में पहुंच गए हैं और तलाश एवं बचाव कार्य में जुटे हैं। बयान में कहा गया कि खाद्य पदार्थ एवं अन्य आवश्यक समान भूकंप प्रभावित लोगों के लिए भेजा गया है। सेना के चिकित्सक तथा अन्य स्वास्थ्य कर्मी आवश्यक दवाइयों के साथ मौके पर पहुंचे हैं और नगर प्रशासन की मदद कर रहे हैं। प्रांतीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (पीडीएमए) के महानिदेशक नसीर अहमद नासिर ने ‘जियो न्यूज' को बताया कि पहाड़ी इलाकों में भूस्खलन भी हुए हैं। गृह मंत्री मीर जियाउल्ला लांगोवे ने बताया कि पांच से छह जिलों में ‘‘व्यापक स्तर'' पर नुकसान हुआ है और उसका अब भी आकलन किया जा रहा है। पाकिस्तान, भारतीय और यूरेशियन ‘टेक्टोनिक प्लेटों' के बीच है और सिंधु-त्सांगपो सिवनी क्षेत्र पर स्थित है, जो ‘हिमालय फ्रंट' से लगभग 200 किलोमीटर उत्तर में है, जो इस क्षेत्र को भूकंप के लिए अतिसंवेदनशील बनाता है। गौरतलब है कि आठ अक्टूबर 2005 को आए भीषण भूकंप में 74,000 से अधिक लोग मारे गए थे।
- लंदन। मुगल काल के भारत के एक अज्ञात शाही खजाने के 17वीं सदी के दुर्लभ रत्नों वाले दो चश्मों को पहली बार नीलामी के लिए पेश किया जाएगा। सोथबीज लंदन ने बृहस्पतिवार को इसकी घोषणा की। अनुमान है कि उनकी कीमत 15 लाख और 25 लाख पाउंड होगी। हीरे लगे चश्मे को ‘हलो ऑफ लाइट' नाम दिया गया है वहीं पन्ना वाले चश्मे को ‘गेट ऑफ पैराडाइज' कहा गया है। दोनों को 22 अक्टूबर से सोथबीज लंदन में प्रदर्शित किया जाएगा तथा 27 अक्टूबर को उन्हें नीलामी के लिए रखा जाएगा। मध्य पूर्व और भारत के लिए सोथबीज के अध्यक्ष एडवर्ड गिब्स ने कहा कि निस्संदेह रत्नों के विशेषज्ञों और इतिहासकारों के लिए ये चमत्कार हैं। उन्होंने कहा कि इन खजानों को सामने लाना और दुनिया को उनके निर्माण के पीछे के रहस्य पर आश्चर्य करने का अवसर प्रदान करना एक वास्तविक रोमांच है। अनोखे चश्मे की कहानी 17वीं शताब्दी के मुगल भारत में शुरू हुयी जब शाही धन, वैज्ञानिक ज्ञान और कलात्मक प्रयास सभी एक साथ अपने चरम पर पहुंच गए थे। एक अज्ञात राजकुमार के कहने पर एक कलाकार ने एक हीरे को यह आकार दिया जिसका वजन 200 कैरेट से अधिक था। वहीं शानदार पन्ने का वजन कम से कम तीन सौ कैरेट था। उन्होंने उत्कृष्ट कौशल के साथ यह रूप दिया गया।
- ह्यूस्टन (अमेरिका)। पश्चिम ह्यूस्टन में एक डाकघर का नाम बदलकर भारतीय-अमेरिकी सिख पुलिस अधिकारी संदीप सिंह धालीवाल के नाम पर रखा गया है, जिनकी 2019 में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।धालीवाल (42) को 27 सितंबर 2019 में उस वक्त गोली मारी गई जब वह ड्यूटी पर थे। वह 2015 में सुर्खियों में आए थे, जब वह पगड़ी पहनने और दाढ़ी रखने का अधिकार पाने वाले टेक्सास के पहले सिख पुलिस अधिकारी बनने थे।उनकी याद में मंगलवार को एक समारोह आयोजित किया गया, जहां अमेरिकी प्रतिनिधि सभा में नाम बदलने का प्रस्ताव लाने वाली महिला सांसद लिज़ी फ्लेचर ने कहा कि 315 एडिक्स हॉवेल रोड स्थित डाकघर का नाम उनके नाम पर रखना उपयुक्त है, क्योंकि उन्होंने समुदाय की सेवा के लिए अपने प्राण न्योछावर कर दिए थे।फ्लेचर ने कहा, ‘‘ धालीवाल के निस्वार्थ सेवा वाले उल्लेखनीय जीवन को यादगार बनाने में एक भूमिका निभाकर, मैं सम्मानित महसूस कर रही हूं। उन्होंने हमारे समुदाय का बेहतरीन प्रतिनिधित्व किया, उन्होंने दूसरों की सेवा के माध्यम से समानता, संबंधों और समुदाय के लिए काम किया। इस इमारत का नाम बदलकर ‘डिप्टी संदीप सिंह धालीवाल पोस्ट ऑफिस’ रखने के वास्ते विधेयक पारित करने के लिए, मुझे द्विदलीय प्रतिनिधिमंडल, हमारे सामुदायिक भागीदारों और सिख समुदाय के लोगों के साथ काम करके खुशी हुई।’’
- अर्लिंगटन। अमेरिका के टेक्सास में एक हाईस्कूल में हुई गोलीबारी में चार लोग घायल हो गए। वहीं, 18 वर्षीय हमलावर घटना के बाद फरार हो गया। अधिकारियों ने बुधवार को बताया कि घटना अर्लिंगटन में टिंबरव्यू हाईस्कूल में हुई, जो डलास फोर्ट वर्थ महानगर क्षेत्र के अंतर्गत आता है। अधिकारियों ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि स्कूल में झगड़ा होने के बाद गोलीबारी हुई। उन्होंने कहा कि पुलिस संदिग्ध हमलावर की तलाश कर रही है जिसकी सकी पहचान टिमोथी जॉर्ज सिंपकिंस के रूप में हुई है।
- स्टाकहोम। रसायन विज्ञान का नोबेल पुरस्कार मैक्स प्लैंक इंस्टीट्यूट के जर्मन वैज्ञानिक बेंजामिन लिस्ट और प्रिंसटन विश्वविद्यालय के वैज्ञानिक डेविड डब्ल्यूसी मैकमिलन को दिये जाने की बुधवार को घोषणा की गई। मैकमिलन का जन्म स्कॉटलैंड में हुआ था। उन्हें ‘‘एसिमेट्रिक ऑर्गेनोकैटलिसिस'' नामक अणुओं के निर्माण के लिए एक नया तरीका विकसित करने में उनके उल्लेखनीय काम के लिए इस सम्मान के लिए चुना गया है। विजेताओं की घोषणा ‘रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज' के महासचिव गोरान हैन्सन ने की।नोबेल समिति ने कहा कि लिस्ट और मैकमिलन ने 2000 में स्वतंत्र रूप से कैटेलिसिस का एक नया तरीका विकसित किया था। नोबेल समिति के एक सदस्य, पर्निला विटुंग-स्टाफशेड ने कहा, ‘‘यह पहले से ही मानव जाति को बहुत लाभान्वित कर रहा है।'' पुरस्कार की घोषणा के बाद लिस्ट ने कहा कि उनके लिए पुरस्कार एक ‘‘बहुत बड़ा आश्चर्य'' है। उन्होंने कहा, ‘‘मुझे इसकी बिल्कुल उम्मीद नहीं थी।'' उन्होंने कहा कि जब स्वीडन से फोन आया तो वह अपने परिवार के साथ एम्स्टर्डम में छुट्टियां मना रहे थे। लिस्ट ने कहा कि उन्हें शुरू में नहीं पता था कि मैकमिलन उसी विषय पर काम कर रहे थे। उन्होंने कहा कि उन्हें लगा कि जब तक यह काम नहीं करता है तब तक उनका यह प्रयास एक खराब विचार हो सकता है। उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगा कि यह कुछ बड़ा हो सकता है।'' संबंधित क्षेत्रों में काम करने वाले कई वैज्ञानिकों के लिए पुरस्कार साझा करना आम बात है। पिछले साल, रसायन विज्ञान पुरस्कार फ्रांस के इमैनुएल चार्पेंटियर और अमेरिका के जेनिफर ए डौडना को एक जीन उपकरण विकसित करने के लिए दिया गया था जिसने डीएनए को बदलने का एक तरीका प्रदान करके विज्ञान में क्रांति ला दी है। इस प्रतिष्ठित पुरस्कार में एक स्वर्ण पदक और एक करोड़ स्वीडिश क्रोनोर (11.4 लाख डॉलर से अधिक) की राशि दी जाती है। पुरस्कारों की स्थापना 1895 में स्वीडिश नागरिक अल्फ्रेड नोबेल ने की थी। नोबेल पुरस्कार समिति ने सोमवार को चिकित्सा के क्षेत्र में अमेरिकी नागरिकों डेविड जूलियस और आर्डम पातापूशियन को नोबेल पुरस्कार दिये जाने की घोषणा की थी। जलवायु परिवर्तन की समझ को बढ़ाने समेत जटिल प्रणालियों पर काम करने के लिए जापान, जर्मनी और इटली के तीन वैज्ञानिकों को इस वर्ष भौतिकी के नोबेल पुरस्कार के लिए मंगलवार को चुना गया था। आने वाले दिनों में साहित्य, शांति और अर्थशास्त्र के क्षेत्रों में नोबेल पुरस्कार विजेताओं के नाम घोषित किये जाएंगे।
- कैनरी द्वीप। स्पेन के एक द्वीप पर स्थित ज्वालामुखी ने फटने की ताकत मंगलवार को और बढ़ा ली तथा इसमें से गाढ़ा लावा निकलने लगा। ज्वालामुखी में 19 सितंबर से विस्फोट शुरू हुआ था, जिसके बाद उत्तर पश्चिम अफ्रीका तट पर कैनरी द्वीप समूह के ला पालमा द्वीप पर छह हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाना पड़ा। इस वजह से करीब 946 घर पूरी तरह से तबाह हो चुके हैं, जबकि किसान अपनी केले की फसल को बचाने के लिये मशक्कत कर रहे हैं, क्योंकि लावा नष्ट सड़कों और पानी के पाइपों में बह रहा है। कैनरी द्वीप ज्वालामुखी संस्थान, इन्वॉलकैन ने मंगलवार को कहा कि ला पालमा ज्वालामुखी में गतिविधि ‘विस्फोटक' हो गई है और उसमें से ज्वलखण्डाश्म गिर रहे हैं। इनवॉल्कन की गणना के अनुसार, ज्वालामुखी ने कम से कम 250,000 टन सल्फर डाइऑक्साइड और 35 मिलियन क्यूबिक मीटर मैग्मा उत्सर्जित किया है। कैमरों में कैद हुआ है कि ज्वालामुखी से गाढ़ा लावा निकल रहा है। द्वीप के पर्यटन प्रमुख आर कमाचो ने मंगलवार को बताया कि द्वीप सैलानियों के लिए खुला है और उन्होंने पर्यटकों से द्वीप आते रहने का आह्वान किया है। उन्होंने कहा कि ला पालमा सुरक्षित द्वीप है, जहां बच्चे स्कूल जाते हैं और सामान की आपूर्ति की जाती है। उन्होंने कहा कि द्वीप का सिर्फ 10 फीसदी इलाका प्रभावित है और द्वीप के अन्य हिस्सों में जिंदगी सामान्य तरीके से चल रही है।
- दुबई। संयुक्त अरब अमीरात ने ब्रह्मांड की उत्पत्ति के संबंध में आंकड़े एकत्र करने के लिए मंगल और बृहस्पति के बीच एक क्षुद्रग्रह पर अंतरिक्ष यान भेजने की योजना की मंगलवार को घोषणा की। यह तेल के मामले में समृद्ध देश के महत्वाकांक्षी अंतरिक्ष कार्यक्रम की नवीनतम परियोजना है।इस मिशन के सफल हो जाने पर संयुक्त अरब अमीरात यूरोपीय संघ, जापान और अमेरिका के विशिष्ट क्लब में शामिल हो जाएगा जिन्होंने यह उपलब्धि हासिल कर ली है। अंतरिक्ष यान की बैटरी जब तक चार्ज रहेगी, तब तक यान क्षुद्रग्रह की संरचना के संबंध में पृथ्वी पर जानकारी भेजता रहेगा। इस परियोजना के तहत 2028 में प्रक्षेपण और 2033 में लैंडिंग (उतरने) का लक्ष्य है। पांच साल की यात्रा में अंतरिक्ष यान करीब 3.6 अरब किलोमीटर की दूरी तय करेगा।संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) की अंतरिक्ष एजेंसी की अध्यक्ष तथा राज्य मंत्री सारा अल-अमीरी ने कहा कि इस पर अभी विचार किया जा रहा है कि अमीरात कौन सी जानकारी एकत्र करेगा। लेकिन यह मिशन चुनौतीपूर्ण होगा क्योंकि अंतरिक्ष यान सूर्य के पास और उससे दूर दोनों स्थानों की यात्रा करेगा। अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा कि वह इस परियोजना के लिए कोलोरैडो विश्वविद्यालय में वायुमंडलीय विज्ञान और भौतिकी प्रयोगशाला के साथ साझेदारी करेगी। एजेंसी ने इस पर आने वाली लागत के बारे में बताने से इनकार किया। अल-अमीरी ने कहा कि इस बारे में अभी विचार किया जा रहा है कि अंतरिक्ष यान से कौन उपकरण भेजे जाएं। इस परियोजना से पहले संयुक्त अरब अमीरात ने फरवरी में अपने एक अंतरिक्ष यान को मंगल की कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित किया था। वह यान एक कार के आकार का था और उसे तैयार करने और प्रक्षेपण पर करीब 20 करोड़ अमेरिकी डॉलर का खर्च आया। क्षुद्रग्रह मिशन की चुनौतियों को देखते हुए इस पर अधिक लागत आने की संभावना है। अमीरात की योजना 2024 में चंद्रमा पर एक मानव रहित अंतरिक्ष यान भेजने की भी है। उसने 2117 तक मंगल ग्रह पर एक मानव कॉलोनी बनाने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य भी निर्धारित किया है।
- मास्को। अंतरिक्ष में दुनिया की पहली फिल्म की शूटिंग करने के लिए रूसी अभिनेत्री और निर्देशक मंगलवार को अंतरिक्ष के अपने सफर पर रवाना हुए। उनका अंतरिक्ष यान अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन से जुड़ चुका है। क्रेमलिन का कहना है कि इस घटना से अंतरिक्ष के क्षेत्र में देश की प्रतिष्ठा और गौरव बढ़ेगा।अभिनेत्री यूलिया पेरेसील्द और निर्देशक क्लिम शिपेन्को मंगलवार को रूसी सोयुज अंतरिक्ष यान से अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन रवाना हुए। उनके साथ तीन अंतरिक्ष यात्राएं पूरी कर चुके अनुभवी यात्री एंतन शकाप्लेरोव भी गए हैं। उनका यान सोयुज एमएस-19 तय कार्यक्रम के अनुसार कजाखस्तान के बैकोनूर स्थित रूसी अंतरिक्ष यान प्रक्षेपण केन्द्र से दोपहर एक बज कर 55 मिनट (मानक समयानुसार सुबह 8:55 बजे) पर रवाना हुआ और साढ़े तीन घंटे बाद अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन से जुड़ा। स्वचालित डॉकिंग प्रणाली में कुछ दिक्कत आने के बाद शकाप्लेरोव ने अंतरिक्ष यान की कमान संभाली और उसे आसानी से अंतरिक्ष स्टेशन के साथ जोड़ा। यान पर गए तीनों यात्रियों ने बताया कि वे अच्छा महसूस कर रहे हैं और अंतरिक्ष यान की सभी प्रणालियां सही काम कर रही हैं। अभिनेत्री यूलिया और निर्देशक शिपेन्को एक नयी फिल्म ‘चैलेंज' का एक हिस्सा वहां फिल्माएंगे। फिल्म में, डॉक्टर की भूमिका निभा रही यूलिया दिल की बीमारी से जूझ रहे क्रू के एक सदस्य अर्थात अंतरिक्ष यात्री को बचाने के लिए अंतरिक्ष स्टेशन जाती हैं। ये लोग 12 दिन तक अंतरिक्ष स्टेशन पर रहने के बाद दूसरे अंतरिक्ष यात्री के साथ वापस लौटेंगे। क्रेमलिन के प्रवक्ता दमित्रि पेस्कोव ने कहा कि यह मिशन अंतरिक्ष के क्षेत्र में रूस का ताकत दिखाने में मदद करेगा। पेस्कोव ने कहा, ‘‘हम हमेशा से अंतरिक्ष के क्षेत्र में आगे रहे हैं और इस स्थिति को हमेशा बरकरार रखा है।'' उन्होंने कहा, ‘‘ऐसे मिशन जो हमारी उपलब्धियों को दिखाने और अंतरिक्ष के क्षेत्र में ज्ञान को बढ़ाने में मदद करते हैं वे सामान्य रूप से देश के लिए अच्छे हैं।'' उड़ान भरने से पहले सोमवार को संवाददाता सम्मेलन में अभिनेत्री यूलिया पेरेसील्द ने यह स्वीकार किया कि प्रशिक्षण के दौरान कड़ा अनुशासन और बेहद कठिन प्रशिक्षण से तालमेल बनाना मुश्किल था। अभिनेत्री ने कहा, ‘‘यह मानसिक, शारीरिक और सभी रूपों में मुश्किल था।'' उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन मुझे लगता है कि एक बार हम लक्ष्य प्राप्त कर लें, तो सब कुछ इतना मुश्किल नहीं लगेगा और हमें यह सब सिर्फ एक मुस्कुराहट के साथ याद रहेगा।'' व्यावसायिक रूप से सफल कई फिल्में बना चुके शिपेन्को (38) ने भी महज चार महीने में अंतरिक्ष यान में उड़ान भरने के उनके प्रशिक्षण को बहुत कठिन बताया। उन्होंने कहा, ‘‘यह सच है कि पहले प्रयास में हम बहुत कुछ नहीं कर सकते, और कई बार तीसरे प्रयास में भी, लेकिन यह सामान्य बात है।'' अंतरिक्ष स्टेशन में फिल्म का एक हिस्सा फिल्माने के बाद शिपेन्को काकी की शूटिंग पृथ्वी पर पूरी करेंगे। उन्होंने बताया कि शकाप्लेरोव के अलावा स्टेशन पर मौजूदा दो अन्य रूसी अंतरिक्ष यात्री ओलेग नोवित्स्की और पोत्र दुब्रोव भी फिल्म का हिस्सा होंगे। इस फिल्म के निर्माण में शामिल रूस के सरकारी टीवी चैनल ‘वन' ने क्रू के प्रशिक्षण और यान के प्रक्षेपण का विस्तार से कवरेज किया है। यान प्रक्षेपित होने के बाद पेरेसील्द की बेटी एना ने टीवी पर प्रसारित एक टिप्पणी में कहा, ‘‘मैं आश्चर्य में हूं। मै अभी तक कल्पना नहीं कर पा रही हूं कि मेरी मां वहां (अंतरिक्ष में) है।'' रूस के सरकारी अंतरिक्ष कॉरपोरेशन रोसकॉसमोस के प्रमुख दमित्रि रोगोजिन इस परियोजना को मूर्त रूप देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। उन्होंने इस संबंध में रूसी मीडिया की आलोचनाओं को खारिज करते हुए इसे अंतरिक्ष के क्षेत्र में देश के लिए गौरव की बात कहा। कुछ लोगों ने टिप्पणी की है कि फिल्म परियोजना से अंतरिक्ष स्टेशन पर मौजूद सदस्यों को दिक्कत होगी और अंतरिक्ष स्टेशन के रूसी हिस्से में शूटिंग मुश्किल भी हो सकती है क्योंकि अमेरिकी हिस्से के मुकाबले यह छोटा है। जुलाई में नया रूसी मॉड्यूल ‘नौका' स्टेशन में जोड़ा गया है लेकिन वह अभी तक पूरी तरह से स्टेशन के साथ नहीं जुड़ा है। अंतरिक्ष स्टेशन पहुंचने के बाद तीनों नये यात्री वहां पहले से मौजूद यूरोपीय अंतरिक्ष एजेंसी के थॉमस पेस्केट, नासा के अंतरिक्ष यात्रियों मार्क वांडे हेई, शान किमबरॉ और मेगन मैकऑर्थर, रोसकॉसमॉस के ओलेग नोवित्स्की और पोत्र दुब्रोव और जापान एरोस्पेस एक्सप्लोरेशन एजेंसी के अकी होशिदे से मिलेंगे। रोसकॉसमॉस के ओलेग नोवित्स्की ‘चैलेंज' में बीमार अंतरिक्ष यात्री की भूमिका निभाएंगे और वह 17 अक्टूबर को पृथ्वी पर लौट रहे सोयुज के कैप्टन भी होंगे।
- स्टाकहोम। इस वर्ष भौतकी के नोबेल पुरस्कार के लिए जापान, जर्मनी और इटली के तीन वैज्ञानिकों को चुना गया है। स्यूकूरो मनाबे (90) और क्लॉस हैसलमैन (89) को ‘पृथ्वी की जलवायु की भौतिक ‘मॉडलिंग', ग्लोबल वॉर्मिंग के पूर्वानुमान की परिवर्तनशीलता और प्रामाणिकता के मापन' क्षेत्र में उनके कार्यों के लिए चुना गया है। पुरस्कार के दूसरे भाग के लिए जॉर्जियो पारिसी (73) को चुना गया है। उन्हें ‘परमाणु से लेकर ग्रहों के मानदंडों तक भौतिक प्रणालियों में विकार और उतार-चढ़ाव की परस्पर क्रिया की खोज' के लिए चुना गया है। निर्णायक मंडल ने कहा कि मनाबे और हैसलमैन ने ‘पृथ्वी की जलवायु और मनुष्य के इस पर प्रभाव के बारे में हमारे ज्ञान की बुनियाद रखी'। मनाबे ने 1960 के दशक की शुरुआत में दर्शाया था कि वातावरण में कार्बन डाईऑक्साइड की मात्रा बढ़ने से वैश्विक तापमान किस तरह बढ़ेगा और इस तरह उन्होंने मौजूदा जलवायु मॉडलों की बुनियाद रखी थी। इसके करीब एक दशक बाद हैसलमैन ने एक मॉडल बनाया जिसमें मौसम और जलवायु को जोड़ा गया। इससे यह समझने में मदद मिली कि मौसम की तेजी से बदलाव वाली प्रकृति के बाद भी जलवायु संबंधी मॉडल किस तरह प्रामाणिक हो सकते हैं। उन्होंने जलवायु पर मनुष्य के प्रभाव के विशेष संकेतों का पता करने के तरीके भी खोजे।पारिसी ने एक गहन भौतिक और गणितीय मॉडल तैयार किया जिससे जटिल प्रणालियों को समझना आसान हुआ।पुरस्कारों की घोषणा के बाद पारिसी ने कहा, ‘‘इस बात की बहुत आवश्यकता है कि हम जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए बहुत कठोर फैसले लें और बहुत तेज रफ्तार से बढ़ें।'' उन्होंने कहा, ‘‘भावी पीढ़ियों के लिए संदेश है कि हमें अब काम करना होगा।''रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज के महासचिव गोरन हैन्सन ने मंगलवार को विजेताओं के नाम घोषित किये।किसी एक विषय के संबंधित क्षेत्रों में काम करने वाले एक से अधिक वैज्ञानिकों को साझा तरीके से पुरस्कार दिया जाना आम बात है। इस प्रतिष्ठित पुरस्कार में एक स्वर्ण पदक और एक करोड़ स्वीडिश क्रोनोर (11.4 लाख डॉलर से अधिक) की राशि दी जाती है। पुरस्कारों की स्थापना 1895 में स्वीडिश नागरिक अल्फ्रेड नोबेल ने की थी। नोबेल पुरस्कार समिति ने सोमवार को चिकित्सा के क्षेत्र में अमेरिकी नागरिकों डेविड जूलियस और आर्डम पातापूशियन को नोबेल पुरस्कार दिये जाने की घोषणा की थी। आने वाले दिनों में रसायन विज्ञान, साहित्य, शांति और अर्थशास्त्र के क्षेत्रों में नोबेल पुरस्कार विजेताओं के नाम घोषित किये जाएंगे।=