क्या है रेड, यलो और आरेंज अलर्ट
मौसम विभाग समय - समय पर मौसम के हिसाब से रेड, आरेंज और यलो अलर्ट जारी करता है। यह मौसम विभाग का लोगों को मौसम के बारे में सचेत करने का अपना तरीका है। इसके लिए विभाग कुछ चुनिंदा रंगों का इस्तेमाल करता है, जैसे कि रेड, आरेंज और यलो और ग्रीन अलर्ट। मौसम विभाग के अनुसार अलर्ट जारी करने के लिए रंगों का चुनाव कुछ एजेंसियों के साथ मिलकर किया जाता है।
भीषण गर्मी, सर्द लहर, मानसून या फिर चक्रवाती तूफान आदि की सूचना देने के लिए ही इस प्रकार के रंगों का इस्तेमाल लिया जाता है। जैसे- जैसे मौसम अपने चरम पर पहुंचता है, यानी तेज गर्मी, ठंड या फिर बारिश, वैसे - वैसे अलर्ट का रंग गहरा लाल हो जाता है। किसी चक्रवाती तूफान की भीषणता की सूचना भी इन्हीं रंगों के माध्यम से दी जाती है। जितना भीषण तूफान होगा, उसकी सूचना के लिए उतने ही गहरे लाल रंग का इस्तेमाल किया जाएगा।
आइये जाने इस रंगों के अलर्ट का क्या अर्थ है-
1. ग्रीन अलर्ट- यानी कहीं से कोई खतरा नहीं है।
2. यलो अलर्ट-इस रंग का अर्थ है कि खतरे से सचेत रहे। मौसम विभाग इस रंग का इस्तेमाल लोगों को सचेत करने के लिए करता है।
3. आरेंज अलर्ट- इस रंग का अर्थ है खतरा, तैयार रहें। जैसे- जैसे मौसम और खराब होता जाता है, तो यलो अलर्ट को आरेंज अलर्ट कर दिया जाता है। इसके माध्यम से लोगों को यहां- वहां नहीं जाने और सावधानी बरतने की सलाह दी जाती है।
4. रेड अलर्ट- इस रंग का अर्थ है खतरनाक स्थिति। जब मौसम अपने खतरनाक स्तर तक पहुंच जाता है और भारी नुकसान की आशंका रहती है, तब मौसम विभाग रेड अलर्ट जारी करता है।
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