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- नागपुर। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की महिला शाखा राष्ट्रीय सेविका समिति की पूर्व संचालिका प्रमिला ताई मेढ़े का बृहस्पतिवार सुबह नागपुर में निधन हो गया। वह 97 साल की थीं। संघ के एक पदाधिकारी ने बताया कि मेढ़े पिछले तीन महीने से अस्वस्थ थीं और बीते 15 दिनों से उनकी हालत बेहद नाजुक बनी हुई थी। राष्ट्रीय सेविका समिति की ओर से जारी बयान के अनुसार, मेढ़े ने नागपुर स्थित देवी अहिल्या मंदिर (जहां वह रहती थीं) में सुबह नौ बजकर पांच मिनट पर अंतिम सांस ली। मेढ़े राष्ट्रीय सेविका समिति की चौथी संचालिका थीं।आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत और राष्ट्रीय सेविका समिति की वर्तमान प्रमुख शांतक्का ने देवी अहिल्या मंदिर पहुंचकर मेढ़े को श्रद्धांजलि अर्पित की। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स' पर एक पोस्ट के माध्यम से मेढ़े को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने लिखा, ‘‘राष्ट्रीय सेविका समिति की पूर्व संचालिका प्रमिला ‘मौसी' मेढ़े जी के निधन का समाचार अत्यंत दुखद है। मैं उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। प्रमिला मौसी जी ने देश में राष्ट्रीय सेविका समिति के कार्य के विस्तार में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की थी। उनका पूरा जीवन राष्ट्रभक्ति और नारी सशक्तिकरण के लिए समर्पित रहा।'' संघ के एक पदाधिकारी ने कहा कि लाखों स्वयंसेवकों ने एक मातृतुल्य महिला को खो दिया है, जिनके साथ वे अपने दिल की हर बात खुलकर साझा कर सकते थे। उन्होंने बताया कि मेढ़े की इच्छा के मुताबिक उनका पार्थिव शरीर शुक्रवार सुबह अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स), नागपुर को दान कर दिया जाएगा।
- नयी दिल्ली. भारतीय उद्योग जगत ने बुधवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की भारतीय वस्तुओं पर 25 प्रतिशत शुल्क और जुर्माना लगाने की घोषणा पर निराशा जतायी। उद्योग मंडल फिक्की ने उम्मीद जताई कि यह एक ‘अस्थायी मामला' है और दोनों देश जल्द ही व्यापार समझौता कर लेंगे। फिक्की के अध्यक्ष हर्षवर्धन अग्रवाल ने कहा, ‘‘हालांकि यह कदम दुर्भाग्यपूर्ण है और इसका हमारे निर्यात पर स्पष्ट प्रभाव पड़ेगा, हमें उम्मीद है कि उच्च शुल्क लगाना एक अल्पकालिक मामला होगा और दोनों पक्षों के बीच एक स्थायी व्यापार समझौता जल्द ही अंतिम रूप ले लेगा।'' उन्होंने कहा, ‘‘दोनों देश मिलकर बहुत कुछ हासिल कर सकते हैं और हमें विश्वास है कि वर्तमान में चल रहे विस्तृत विचार-विमर्श के बाद, जब अंतिम व्यापार समझौते की रूपरेखा सामने आएगी, तो हम दोनों देशों के लिए लाभकारी परिणाम देखेंगे।'' फिक्की अध्यक्ष ने कहा, ‘‘भारत इस वर्ष का शुरुआत से ही अमेरिका के साथ द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर सक्रिय रूप से बातचीत कर रहा है। हमारा मानना है कि अमेरिका की ओर से कुछ विशिष्ट मांगें की गई थीं, जो हमारे राष्ट्रीय हित में नहीं हैं और इसलिए भारत सरकार ने अमेरिका की उन मांगों को स्वीकार नहीं किया है।'' अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर एक अगस्त से 25 प्रतिशत शुल्क लगाने की घोषणा की है। इसके साथ ही उन्होंने रूस से सैन्य खरीद को लेकर शुल्क के ऊपर जुर्माना लगाने की भी घोषणा की है। हालांकि, पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (पीएचडीसीसीआई) के अध्यक्ष हेमंत जैन ने कहा कि भारतीय एमएसएमई पर कुछ समय के लिए प्रभाव तो पड़ सकता है, लेकिन यह एक अवसर भी है। उन्होंने कहा, ‘‘वैश्विक खरीदार चुनिंदा भौगोलिक क्षेत्रों पर अपनी अत्यधिक निर्भरता से उत्पन्न जोखिम कम करने की कोशिश कर रहे हैं, ऐसे में भारत सबसे विश्वसनीय विकल्प के रूप में उभर रहा है।'' जैन ने कहा कि अब समय आ गया है कि भारतीय उद्योग गुणवत्ता, अनुपालन और प्रतिस्पर्धी क्षमता के साथ आगे बढ़ें। आनंद राठी वेल्थ लि. के संयुक्त सीईओ फिरोज अजीज ने कहा, ‘‘ भारतीय वस्तुओं पर 25 प्रतिशत शुल्क लगाने की घोषणा अनुमान से अधिक है। बाजार 15 से 20 प्रतिशत शुल्क की उम्मीद कर रहा था। इस लिहाज से, यह पूरी तरह से अप्रत्याशित नहीं है।'' उन्होंने कहा, ‘‘रूस से हथियारों और ऊर्जा आयात से जुड़े अतिरिक्त जुर्माना अभी साफ नहीं है। इस पर नजर रखने की आवश्यकता है। तकनीकी दृष्टिकोण से, यह कदम निकट भविष्य में निर्यात प्रतिस्पर्धी क्षमता पर असर डाल सकता है। अजीज ने कहा, ‘‘ हालांकि, भारत और अमेरिका के बीच व्यापार और निवेश संबंधों में अभी भी सुधार की गुंजाइश है और यह अभी तक चिंताजनक स्थिति में नहीं है।''
- नयी दिल्ली. केंद्रीय नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बुधवार को लोकसभा को बताया कि ‘प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना' (पीएम-एसजीएमबीवाई) के तहत 2026-27 तक देशभर के एक करोड़ घरों की छतों पर सौर संयंत्र (रूफटॉप सोलर प्लांट) लगाए जाएंगे। जोशी ने कहा कि केंद्र सरकार ने देश में नवीकरणीय ऊर्जा के संवर्धन और विकास के लिए कई पहल की हैं और वह विभिन्न योजनाओं एवं कार्यक्रमों को लागू कर रही है। उन्होंने प्रश्नकाल के दौरान एक प्रश्न के उत्तर में कहा, ‘‘सरकार ने देश के सभी राज्यों और केंद्र-शासित प्रदेशों में 2026-27 तक एक करोड़ घरों में ‘रूफटॉप सोलर प्लांट' लगाने के लिए फरवरी, 2024 में पीएम-एसजीएमबीवाई शुरू की थी।'' मंत्री ने कहा कि सरकार देश के सभी राज्यों और केंद्र-शासित प्रदेशों में प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान (पीएम-कुसुम) योजना भी लागू कर रही है। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत, राज्यों और केंद्र-शासित प्रदेशों की मांग और प्रगति के आधार पर क्षमताएं आवंटित की जाती हैं। जोशी ने कहा कि जुलाई 2019 में ऊर्जा, पर्यावरण और जल परिषद (सीईईडब्ल्यू) द्वारा 'हरित ऊर्जा से रोजगार वृद्धि को बढ़ावा' पर किए गए अध्ययन और अक्टूबर 2019 में टीईआरआई द्वारा इसके लाभ से संबंधित अध्ययन रिपोर्ट के अनुसार, जून 2025 तक नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में लगभग 13 लाख रोजगार के अवसर सृजित होने का अनुमान है। उन्होंने बताया कि नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के सूर्यमित्र, वायुमित्र और जल-ऊर्जा मित्र कौशल विकास कार्यक्रमों के तहत प्रशिक्षित लगभग 31,829 स्थानीय युवाओं और तकनीकी कर्मचारियों को रोजगार मिला। मंत्री ने बताया कि 30 जून तक मध्यप्रदेश में सौर ऊर्जा (5570 मेगावाट), पवन ऊर्जा (3195.15 मेगावाट), जैव ऊर्जा (155.46 मेगावाट) और पनबिजली (2358.71 मेगावाट) जैसे विभिन्न नवीकरणीय ऊर्जा स्रोतों से कुल 11,279.39 मेगावाट बिजली उत्पादन क्षमता स्थापित की जा चुकी है।
- श्रीहरिकोटा. निसार उपग्रह के सफल प्रक्षेपण के बाद इसरो के अध्यक्ष वी नारायणन ने बुधवार को घोषणा की कि नासा के साथ अगला सहयोगी मिशन और ‘ब्लू बर्ड ब्लॉक 2' संचार उपग्रह का प्रक्षेपण चालू वित्त वर्ष के अंत तक इस अंतरिक्ष केंद्र से नियोजित नौ प्रमुख प्रक्षेपणों में शामिल हैं। यहां मिशन नियंत्रण केंद्र में उन्होंने कहा कि ये मिशन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में क्रियान्वित किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘इस वित्त वर्ष के अंत से पहले नौ बड़े प्रक्षेपणों की योजना बनाई गई है। अगला बड़ा प्रक्षेपण एलवीएम3-एम5 मिशन है, जहां एलवीएम3 रॉकेट एक संचार उपग्रह सीएमएस-02 को प्रक्षेपित करेगा।'' इसरो के आगामी महत्वपूर्ण अभियानों में नासा के साथ एक और सहयोग शामिल है। एक्सिओम-4 और आज के जीएसएलवी-एफ16/निसार मिशन के बाद, इस साझेदारी के तहत इसरो का एलवीएम-3 यान अमेरिका के लिए संचार उपग्रह ‘ब्लू बर्ड ब्लॉक2' का प्रक्षेपण करेगा। उन्होंने बिना विस्तार से बताए कहा, ‘‘अगला प्रक्षेपण ‘ब्लू बर्ड ब्लॉक2' उपग्रह का है, जो अमेरिका का एक संचार उपग्रह है। हम अपने एलवीएम-3 यान का उपयोग करके इस उपग्रह का प्रक्षेपण करने जा रहे हैं।'' नारायणन के अनुसार, इसके अलावा इसरो का विश्वसनीय पीएसएलवी-सी61 ‘ओशनसैट-3ए' को प्रक्षेपित करने के लिए तैयार है, जबकि जीएसएलवी-एफ18 ‘जीआईएसएटी-1ए' उपग्रह को प्रक्षेपित करेगा। उन्होंने कहा, ‘‘हम कुछ एसएसएलवी (लघु उपग्रह प्रक्षेपण यान) मिशन भी प्रक्षेपित करने की योजना बना रहे हैं।
- भुवनेश्वर. भारतीय रेलवे ने सात अगस्त से पुरी-राउरकेला-पुरी वंदे भारत एक्सप्रेस में डिब्बों की संख्या आठ से बढ़ाकर 16 करने का निर्णय लिया है। अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी। अधिकारियों ने बताया कि पुरी-राउरकेला-पुरी वंदे भारत एक्सप्रेस में अब 12 एसी चेयर कार, दो एक्जीक्यूटिव चेयर कार और दो क्रू चेयर कार कोच होंगे। उन्होंने कहा कि यात्रियों से ट्रेन को मिली जबरदस्त प्रतिक्रिया को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। पुरी-राउरकेला वंदे भारत एक्सप्रेस एक सेमी-हाई-स्पीड ट्रेन है, जो पुरी को राउरकेला से जोड़ती है और 7.5 घंटे में 505 किलोमीटर की दूरी तय करती है। यह ट्रेन मंगलवार को छोड़कर सप्ताह में छह दिन चलती है और पुरी से राउरकेला के लिए सुबह पांच बजे, राउरकेला से पुरी के लिए अपराह्न 2.10 बजे प्रस्थान करती है। पुरी-राउरकेला वंदे भारत एक्सप्रेस नौ स्टेशन पर रुकती है।
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ऑपरेशन सिंदूर दूसरी लीड शाह रास
नयी दिल्ली. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बुधवार को राज्यसभा में कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि उसने कश्मीर का कुछ हिस्सा पाकिस्तान को दे दिया और भाजपा सरकार पीओेके (पाकिस्तान के कब्जे वाला कश्मीर) को वापस लाएगी। इसके साथ ही उन्होंने दावा किया कि कोई हिंदू कभी आतंकवादी नहीं हो सकता। उन्होंने 2008 के मुंबई आतंकवादी हमले के बाद ‘‘भगवा आतंकवाद'' विमर्श बनाने के लिए भी कांग्रेस पर निशाना साधा। शाह ने यह भी कहा कि कांग्रेस को आतंकवाद के बारे में भाजपा से सवाल करने का कोई अधिकार नहीं है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस तुष्टीकरण की राजनीति करती रही है और सत्ता में रहते हुए उसने इस समस्या से निपटने के लिए कभी कोई ठोस नीति नहीं अपनाई। शाह ‘ऑपरेशन सिंदूर' पर उच्च सदन में हुई विशेष चर्चा का जवाब दे रहे थे।
गृह मंत्री ने चीन से संबंधित विदेश नीति को लेकर सवाल उठाने के लिए भी कांग्रेस पर हमला बोला और कहा कि विपक्षी दल का चीन प्रेम 1960 के दशक से चला आ रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस की प्राथमिकता देश की सुरक्षा नहीं है। उसका मकसद केवल वोट बैंक और तुष्टीकरण की राजनीति है... आतंकवाद ने भारत में जड़ें जमाईं, फैला और बढ़ा... इसका एकमात्र कारण कांग्रेस की तुष्टीकरण की राजनीति और कमजोर नीतियां हैं।'' शाह ने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर' किसी के कहने पर नहीं रोका गया था, बल्कि जब पाकिस्तान घुटने टेकने पर मजबूर हो गया तो उसके ‘डीजीएमओ' ने फोन करके कहा, ‘‘बहुत हो गया...।'' उन्होंने कहा कि ऐसा पहली बार हुआ कि लोगों को धर्म के आधार पर मारा गया और यह उनके लिए बेहद दुखद है।
गृह मंत्री ने कहा, ‘‘मैं इस सदन के माध्यम से आतंकवादियों से कहना चाहता हूँ... जम्मू-कश्मीर आतंकवाद से मुक्त होगा। यह मोदी जी का संकल्प है।'' शाह ने कहा कि जम्मू कश्मीर के पहलगाम में 26 निर्दोष लोगों की जान लेने वाले तीन आतंकवादी ‘ऑपरेशन महादेव' के तहत मुठभेड़ में मारे जा चुके हैं और इस हमले में उनकी संलिप्तता वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित कर ली गई है। इसी के साथ शाह ने कांग्रेस पर आरोप लगाया कि वह अपने वोट बैंक और तुष्टीकरण की नीति के कारण पाकिस्तान एवं आतंकवादियों को बचाने का प्रयास कर रही है। शाह ने कहा, ‘‘मैं सदन के माध्यम से, ‘ऑपेरशन महादेव' की जानकारी पूरे देश को देना चाहता हूं। ‘ऑपेरशन महादेव' में सुलेमान, अफगान और जिब्रान नाम के तीन आतंकवादी - सेना, सीआरपीएफ और जम्मू-कश्मीर पुलिस के संयुक्त अभियान में मारे गए।'' गृह मंत्री के अनुसार, गत 22 अप्रैल को दिन में एक बजे पहलगाम की बैसरन घाटी में हमला हुआ था और वह शाम 5.30 बजे श्रीनगर पहुंच गए थे तथा 23 अप्रैल को एक सुरक्षा बैठक की गई और इसकी पुख्ता व्यवस्था की गई कि नृशंस हत्या करने वाले हत्यारे देश छोड़कर भागने न पाएं। उन्होंने बताया कि पूरी छानबीन एवं वैज्ञानिक तरीकों से यह पुष्टि की गई कि इन तीनों आतंकवादियों ने ही 22 अप्रैल को पहलगाम की बैसरन घाटी में 26 निर्दोष लोगों की जान ली थी। शाह ने कांग्रेस नेता और पूर्व गृह मंत्री पी चिदंबरम के दो दिन पहले के एक बयान का हवाला देते हुए कहा कि कांग्रेस नेता ने उनके इस्तीफे की मांग की और प्रश्न किया कि सरकार के पास क्या सबूत हैं कि पहलगाम हमले को अंजाम देने वाले पाकिस्तानी आतंकवादी थे। गृह मंत्री ने कहा कि वह इस सदन के माध्यम से चिदंबरम से पूछना चाहते हैं कि वह किसे बचाना चाहते थे, पाकिस्तान को, लश्कर-ए-तैयबा को या आतंकवादियों को। उन्होंने कहा, ‘‘देखिए महादेव क्या करता है? जिस दिन यह प्रश्न पूछा, उसी दिन तीनों आतंकवादी ढेर हो गए।'' उन्होंने कहा कि चिदंबरम ने कांग्रेस की मानसिकता को पूरी दुनिया के सामने उजागर कर दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस अपने वोट बैंक को बचाने के लिए पाकिस्तान और लश्कर-ए-तैयबा का बचाव करने से भी नहीं डरती है। शाह ने कांग्रेस के एक अन्य नेता पृथ्वीराज चव्हाण के एक बयान का उल्लेख किया कि नरेन्द्र मोदी सरकार को ऑपरेशन का धार्मिक नाम रखने के अलावा कुछ नहीं आता। गृह मंत्री ने कहा कि कांग्रेस को यह नहीं मालूम है कि शिवाजी महाराज ने मुगलों के खिलाफ जो लड़ाई लड़ी थी, उनकी सेना का युद्धघोष ‘‘हर हर महादेव'' ही था। उन्होंने कहा, ‘‘हमारी सेनाओं की विभिन्न डिवीजन के युद्ध घोष देवी देवताओं के नाम पर हैं, जिसे भाजपा ने नहीं रखा।'' गृह मंत्री ने कहा कि विपक्ष पूछ रहा है कि आतंकवादी आज ही क्यों मारे गए? शाह ने जवाबी प्रश्न किया ‘‘आप आतंकवादियों को कितना जिंदा रखना चाहते हैं?'' वह जब अपना जवाब शुरू करने जा रहे थे, तभी कांग्रेस सहित विपक्षी सदस्यों ने यह कहते हुए सदन से बहिर्गमन किया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा चर्चा का जवाब नहीं दिया जाना सदन का अपमान है। इस पर उपसभापति हरिवंश ने कहा कि सदन की कार्य मंत्रणा समिति में पहले ही सूचित कर दिया गया था कि चर्चा का जवाब प्रधानमंत्री नहीं, गृह मंत्री देंगे। चर्चा का जवाब देते हुए शाह ने कहा कि भारत ने पाकिस्तान में आतंकवादी ठिकानों पर हमला किया था, किंतु उन्होंने भारत के रिहायशी इलाकों, सैन्य प्रतिष्ठानों पर ड्रोन से हमला किया। उन्होंने कहा कि सीमा के पास उनकी गोलीबारी से भारत के कुछ नागरिकों की जान गई। शाह ने कहा कि उन्होंने एक गुरुद्वारा और एक मंदिर तोड़ा, पर हमने कुछ नहीं कहा। फिर भारत ने तय किया कि वह जो हमला करेगा, वह पाकिस्तान की सैन्य क्षमता को क्षीण करने के लिए होगा और इसीलिए उनके आठ एयर बेस और रडार तंत्र सहित कई सैन्य ठिकानों पर हमले किए गए। गृह मंत्री शाह ने कहा कि लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी पूछते थे कि पहलगाम आतंकवादी हमले में शामिल आतंकवादी मारे गए या नहीं? शाह ने कहा कि न केवल इस हमले में बल्कि पूर्ववर्ती संप्रग सरकार के शासन काल में जो आतंकवादी हमले हुए उनमें शामिल कई आतंकवादी भी ऑपरेशन सिंदूर में मारे गए। उन्होंने कहा कि इस हमले में 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए। -
भोपाल। मध्यप्रदेश में भारी बारिश के बाद सेना और अन्य अधिकारियों ने राज्य के विभिन्न जिलों से 27 स्कूली बच्चों सहित करीब 2,900 लोगों को बचाया। अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी। राज्य में जारी भारी बारिश के बीच कई जिलों में बाढ़ की स्थिति पैदा हो गई जबकि शिवपुरी जिले में हालात इस कदर बिगड़ चुके हैं कि राहत और बचाव के लिए सेना बुलानी पड़ी है। गुना जिले में भी बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई है, जहां एक पुल ढह गया। अधिकारियों ने बताया कि गुना के कई गांवों के लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने को कहा गया है।
भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने अगले 24 घंटों में प्रदेश के कई जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। आईएमडी ने भोपाल, विदिशा, नर्मदापुरम, रायसेन, सीहोर, अशोकनगर, गुना और शिवपुरी समेत कई जिलों में अगले 24 घंटे में आठ से नौ इंच तक बारिश होने का अनुमान जताया। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने होमगार्ड मुख्यालय में अधिकारियों के साथ बैठक कर मौजूदा स्थिति की जानकारी ली और बारिश से बुरी तरह प्रभावित जिलों के कलेक्टर व अन्य अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जान-माल की सुरक्षा सर्वोपरि है और जलमग्न क्षेत्रों से लोगों को सुरक्षित निकालना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्षा प्रभावित क्षेत्रों में जिला एवं पुलिस प्रशासन, होमगार्ड, आपदा प्रबंधन दल सब मिलजुल कर पूरी सजगता और सतर्कता से कार्य करें, राहत एवं बचाव दल पूरी तैयारी से रहें और जरूरतमंदों तक तत्काल सभी प्रकार की मदद पहुंचाई जाए।एक आधिकारिक बयान में मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘भारी वर्षा के कारण प्रदेश के कुछ जिलों में गांव और घरों में पानी भर जाने जैसी परिस्थितियों के कारण अब तक 2900 से अधिक लोगों को सुरक्षित निकाला गया है।'' उन्होंने कहा कि प्रदेश में जहां-जहां भारी बारिश होने की सूचना और लोगों के बाढ़ के पानी में फंसे होने की जानकारी मिली है, वहां पूरी क्षमता से बचाव अभियान चलाए जा रहे हैं। इस दौरान मुख्यमंत्री ने आपदा नियंत्रण कक्ष से जिलों में जारी राहत एवं बचाव कार्यों का अवलोकन किया और आपदा बचाव दल में तैनात अधिकारियों से बात की। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि वे बाढ़ प्रभावितों को सुरक्षित निकालकर उनका जीवन बचाने में मदद करने वाले लोगों की सूची तैयार कर लें। उन्होंने कहा कि सरकार ऐसे साहसी, परोपकारी और मददगार लोगों को आगामी 15 अगस्त और अन्य अवसरों पर भी सम्मानित करेगी और इन्हें पुरस्कार भी दिए जाएंगे। यादव ने कहा कि सभी जिलों को हरसंभव मदद पहुंचाई जाएगी और बचाव व राहत कार्य में किसी प्रकार की कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
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श्रीहरिकोटा (आंध्र प्रदेश) .भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) और अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के बीच साझेदारी के तहत बुधवार को जीएसएलवी रॉकेट से ‘निसार' उपग्रह को कक्षा में स्थापित किया गया। ‘निसार' पृथ्वी अवलोकन उपग्रह को दोनों अंतरिक्ष एजेंसियों द्वारा संयुक्त रूप से विकसित किया गया है।
इसरो के जीएसएलवी एफ-16 ने लगभग 19 मिनट की उड़ान के बाद और लगभग 745 किलोमीटर की दूरी पर निसार (नासा-इसरो सिंथेटिक एपर्चर रडार) उपग्रह को सूर्य तुल्यकालिक ध्रुवीय कक्षा (एसएसपीओ) में स्थापित कर दिया। इसरो ने कहा, ‘‘जीएसएलवी ने निसार को निर्धारित कक्षा में सफलतापूर्वक स्थापित कर दिया।''
बुधवार की यह उपलब्धि 18 मई को पीएसएलवी-सी61/ईओएस-09 मिशन की असफलता के बाद आई है, जिसमें इसरो का पीएसएलवी त्रुटि के चलते पृथ्वी अवलोकन उपग्रह को वांछित कक्षा में पहुंचाने में विफल रहा था। इसी प्रकार के उपग्रहों - रिसोर्ससैट और रीसैट श्रृंखला, जो परिचालनात्मक रूप से भारत पर केंद्रित थे, को सफलतापूर्वक प्रक्षेपित करने के बाद, इसरो निसार मिशन के माध्यम से पृथ्वी ग्रह के अध्ययन की यात्रा पर निकल पड़ा है। जीएसएलवी-एस16 रॉकेट की लंबाई 51.7 मीटर है। जीएसएलवी एफ-16 रॉकेट ने 27.30 घंटे की उलटी गिनती के बाद 2,393 किलोग्राम वजनी उपग्रह को लेकर उड़ान भरी। चेन्नई से लगभग 135 किलोमीटर पूर्व में स्थित अंतरिक्ष केंद्र सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र के दूसरे प्रक्षेपण स्थल से प्रक्षेपण यान ने उड़ान भरी। रॉकेट से अलग होने के बाद, वैज्ञानिक उपग्रह को संचालित करने का काम शुरू करेंगे, जिसमें उसे स्थापित करने और मिशन के उद्देश्यों को पूरा करने में ‘‘कई दिन'' लगेंगे। निसार उपग्रह को वैश्विक स्तर पर माइक्रोवेव इमेजिंग के उद्देश्य से विकसित किया गया है और इसमें नासा द्वारा उपलब्ध कराया गया एल-बैंड रडार तथा इसरो द्वारा डिजाइन किया गया एस-बैंड रडार है, जो पूर्णतया पोलरिमेट्रिक और इंटरफेरोमेट्रिक डेटा प्राप्त करने की क्षमता रखता है। मिशन का उद्देश्य अमेरिका और भारत के वैज्ञानिक समुदायों के साझा हित के क्षेत्रों में भूमि और हिमनद की गतिविधियों, भूमि पारिस्थितिकी तंत्र और महासागरीय क्षेत्रों का अध्ययन करना है। -
अहमदाबाद. प्रधानमंत्री जनजातीय आदिवासी न्याय महाअभियान (पीएम जनमन) के कार्यान्वयन में गुजरात जुलाई 2025 तक देश में शीर्ष प्रदर्शन करने वाला राज्य बनकर उभरा है। मंगलवार को जारी एक आधिकारिक विज्ञप्ति में यह जानकारी दी गई। केंद्र सरकार द्वारा शुरू किया गया यह मिशन विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों की लंबित आवश्यकताओं को पूरा कर और आवश्यक सेवाओं तक उनकी पहुंच सुनिश्चित कर उनके समग्र विकास पर केंद्रित है। प्रधानमंत्री-जनमन योजना के कार्यान्वयन के लिए राज्यवार रैंकिंग हर महीने घोषित की जाती है।
विज्ञप्ति के मुताबिक, गुजरात ने जुलाई के लिए शीर्ष स्थान हासिल किया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 15 नवंबर, 2023 को इस योजना की शुरुआत की थी। देश में हर साल 15 नवंबर को ‘जनजातीय गौरव दिवस' के रूप में मनाया जाता है। यह मिशन 18 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में रहने वाले विशेष रूप से कमजोर 75 जनजातीय समूहों के समग्र सामाजिक-आर्थिक विकास को सुनिश्चित करने के लिए विकसित किया गया है। इस योजना का उद्देश्य स्वास्थ्य सेवा, शिक्षा, आवास, स्वच्छ पेयजल, बिजली, बुनियादी ढांचा, आजीविका सहायता और संपर्क जैसी बुनियादी सुविधाओं तक समय पर पहुंच प्रदान करना है। गुजरात में कथोड़ी, कोटवालिया, पधार, सिद्दी और कोलघा जैसे पांच विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह रहते हैं। -
इंदौर (मध्यप्रदेश). यातायात नियमों का उल्लंघन रोकने के लिए सख्त कदम उठाते हुए इंदौर के जिला प्रशासन ने बुधवार को आदेश जारी किया कि बिना हेलमेट वाले दोपहिया वाहन चालकों को आगामी एक अगस्त से ईंधन पंप पर पेट्रोल नहीं दिया जाएगा। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। अधिकारियों ने बताया कि उच्चतम न्यायालय की सड़क सुरक्षा समिति के अध्यक्ष और इस अदालत के पूर्व न्यायाधीश अभय मनोहर सप्रे ने मंगलवार को एक बैठक में प्रशासन को निर्देश दिए थे कि वाहन सवारों द्वारा हेलमेट और सीट बेल्ट लगाए जाने के नियम का पालन सुनिश्चित कराने के लिए शहर में सघन अभियान चलाया जाए। जिलाधिकारी आशीष सिंह ने संवाददाताओं को बताया,‘‘इन निर्देशों के मद्देनजर हमने प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया है कि आगामी एक अगस्त से जिले के किसी भी ईंधन पंप पर बिना हेलमेट वाले दोपहिया वाहन चालकों को पेट्रोल नहीं दिया जाएगा।'' उन्होंने बताया कि भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 के तहत जारी प्रतिबंधात्मक आदेश में कहा गया है कि इसके उल्लंघन पर संबंधित पेट्रोल पंप के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इस कानूनी प्रावधान के तहत दोषी को एक वर्ष तक के कारावास या 5,000 रुपये तक के जुर्माने या दोनों सजाओं से दण्डित किया जा सकता है। मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय ने इंदौर में लोगों द्वारा धड़ल्ले से यातायात नियम तोड़े जाने पर हाल ही में गहरी नाराजगी जताई थी और इस प्रवृत्ति पर अंकुश के लिए कठोर कदम उठाए जाने की जरूरत पर जोर दिया था। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी प्रदीप शर्मा ने बताया कि जिले में वर्ष 1950 से लेकर अब तक सभी श्रेणियों की कुल 32 लाख गाड़ियां पंजीकृत हैं जिनमें करीब 16 लाख दोपहिया वाहन शामिल हैं। उन्होंने बताया,‘‘हमारा अनुमान है कि जिले में फिलहाल अलग-अलग श्रेणियों की कुल 21 लाख गाड़ियां चल रही हैं।
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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान) योजना की अगली किस्त 2 अगस्त को जारी की जाएगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वाराणसी में आयोजित एक कार्यक्रम में, यह किस्त जारी करेंगे। वर्ष 2019 में इस योजना के शुभारंभ के बाद से, 19 किस्तों के माध्यम से किसानों के खातों में ₹3.69 लाख करोड़ हस्तांतरित किए जा चुके हैं। वहीं, 20वीं किस्त में 9.7 करोड़ किसानों को ₹20,500 करोड़ हस्तांतरित किए जाएंगे।
अगले महीने 2 अगस्त को होने वाले इस कार्यक्रम की तैयारियों की समीक्षा और अधिकतम किसानों तक इसका लाभ पहुंचाने के लिए बुधवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक आयोजित की गई। इस दौरान, कृषि मंत्री ने अधिकारियों को राष्ट्रीय, राज्य, जिला और ग्राम स्तर पर किसानों को इस कार्यक्रम से जोड़ने का निर्देश दिया। उन्होंने इस कार्यक्रम को एक राष्ट्रव्यापी अभियान के रूप में आयोजित करने का आह्वान किया।कृषि विज्ञान केंद्रों को निर्देश देते हुए, चौहान ने जोर देकर कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में, किसानों को तीन किस्तों में ₹6,000 हस्तांतरित किए जा रहे हैं, प्रत्येक किस्त हर चार महीने में जारी की जाती है। इस प्रक्रिया में कृषि विज्ञान केंद्रों की महत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने शीघ्र तैयारियां करने का आह्वान किया और कहा कि इस कार्यक्रम को उत्सव और मिशन दोनों के रूप में मनाया जाना चाहिए, क्योंकि यह प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण सुनिश्चित करता है और जन जागरूकता अभियान के रूप में कार्य करता है।केंद्रीय मंत्री ने किसानों से 2 अगस्त के कार्यक्रम में सक्रिय रूप से भाग लेने का आग्रह किया और कहा कि यह योजना से लाभ उठाने और कृषि विकास कार्यक्रमों के बारे में जानकारी प्राप्त करने का एक अवसर है।चौहान ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे कृषि सखियों, ड्रोन दीदीयों, बैंक सखियों, पशु सखियों, बीमा सखियों और ग्राम पंचायत सरपंचों जैसे जमीनी कार्यकर्ताओं का उपयोग करके इस आयोजन के बारे में व्यापक जानकारी प्रसारित करें।कृषि मंत्री ने कहा कि इस दौरान खरीफ फसलों के बारे में किसानों के साथ संवाद, जुड़ाव बढ़ाने में बेहद कारगर साबित होगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के मार्गदर्शन में इस कार्यक्रम को अधिकतम किसानों तक पहुंचने के लिए पूर्ण भागीदारी और प्रतिबद्धता के साथ क्रियान्वित किया जाएगा। -
नई दिल्ली। कश्मीर में लगातार हो रही भारी बारिश के चलते अमरनाथ यात्रा को आज बुधवार के लिए स्थगित कर दिया गया है। जम्मू-कश्मीर के सूचना एवं जनसंपर्क विभाग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जानकारी दी कि पहलगाम और बालटाल से यात्रियों की आवाजाही फिलहाल रोक दी गई है। दोनों आधार शिविरों से आज यानी 30 जुलाई को यात्रा शुरू नहीं हो सकी। कश्मीर के संभागीय आयुक्त विजय कुमार बिधूड़ी ने बताया कि मंगलवार रात से हो रही भारी बारिश के कारण मार्ग पर फिसलन और खतरा बढ़ गया है, जिससे श्रद्धालुओं की सुरक्षा को देखते हुए यात्रा स्थगित करनी पड़ी। अब तक अमरनाथ यात्रा के दौरान 3.93 लाख से ज्यादा श्रद्धालु पवित्र गुफा में दर्शन कर चुके हैं।
एक अन्य घोषणा के मुताबिक , 31 जुलाई को जम्मू के भगवती नगर यात्रा शिविर से भी कोई जत्था रवाना नहीं होगा। जम्मू के डिविजनल कमिश्नर रमेश कुमार ने कहा कि मौसम विभाग के अलर्ट और मार्गों की स्थिति को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है। उन्होंने बताया कि श्रद्धालुओं को समय-समय पर स्थिति की जानकारी दी जाएगी, ताकि वे भ्रमित न हों और सुरक्षित रहें। अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा को लेकर प्रशासन पूरी तरह सतर्क है। यात्रा मार्ग पर सेना, बीएसएफ, सीआरपीएफ, एसएसबी और स्थानीय पुलिस की मदद के लिए 180 अतिरिक्त सीएपीएफ कंपनियों की तैनाती की गई है।जम्मू के भगवती नगर यात्री निवास से लेकर गुफा मंदिर तक के पूरे मार्ग और सभी पारगमन शिविरों की सुरक्षा पुख्ता कर दी गई है। अमरनाथ यात्रा के दो प्रमुख मार्ग हैं –पहलगाम मार्ग, जहां से यात्री 46 किलोमीटर की पैदल यात्रा करते हैं और रास्ते में चंदनवाड़ी, शेषनाग और पंचतरणी जैसे पड़ावों से होकर गुफा मंदिर तक पहुंचते हैं। दूसरा बालटाल मार्ग है, जो छोटा लेकिन कठिन रास्ता है, इसमें 14 किलोमीटर पैदल चलकर उसी दिन श्रद्धालु लौट भी सकते हैं। सुरक्षा कारणों से इस साल किसी भी यात्री के लिए हेलीकॉप्टर सेवा उपलब्ध नहीं है। अमरनाथ यात्रा हिन्दू श्रद्धालुओं के लिए सबसे पवित्र तीर्थयात्राओं में से एक मानी जाती है, क्योंकि मान्यता है कि भगवान शिव ने इसी गुफा में माता पार्वती को अमरत्व का रहस्य बताया था।- -
नई दिल्ली। रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने 28 और 29 जुलाई को ओडिशा के समुद्री तट पर डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से प्रलय मिसाइल के लगातार दो सफल उड़ान-परीक्षण किए। उड़ान-परीक्षण डीआरडीओ के वरिष्ठ वैज्ञानिकों, भारतीय वायु सेना और भारतीय सेना के उपयोगकर्ताओं के प्रतिनिधियों के साथ-साथ उद्योग के प्रतिनिधियों ने भी देखा। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सफल उड़ान परीक्षण के लिए डीआरडीओ, सशस्त्र बलों और उद्योग की सराहना की है। उन्होंने कहा कि आधुनिक प्रौद्योगिकियों से लैस मिसाइल से सशस्त्र बलों को खतरों के खिलाफ और तकनीकी बढ़ावा मिलेगा।
रक्षा मंत्रालय ने मंगलवार को एक बयान जारी कर इसकी जानकारी दी। मिसाइल प्रणाली की अधिकतम और न्यूनतम रेंज क्षमता की पुष्टि करने के लिए उपयोगकर्ता मूल्यांकन परीक्षणों (यूजर इवाल्यूएशन ट्राइल्स) के एक भाग के रूप में उड़ान परीक्षण किए गए थे। मिसाइलों ने इच्छित प्रक्षेपवक्र का सटीक रूप से पालन किया और सभी परीक्षण उद्देश्यों को पूरा करने वाले पिन-पॉइंट सटीकता के साथ सभी जांच लक्ष्यों को प्राप्त किया।सभी उपप्रणालियों ने अपेक्षा अनुरूप कार्य किया, जिन्हें एकीकृत परीक्षण रेंज (आईटीआर) द्वारा तैनात विभिन्न ट्रैकिंग सेंसर द्वारा कैप्चर किए गए परीक्षण डेटा का उपयोग करके सत्यापित किया गया था, जिसमें निर्दिष्ट प्रभाव बिंदु के पास स्थित जहाज पर तैनात उपकरण शामिल थे।आपको बता दें, प्रलय (Pralay) एक स्वदेशी रूप से विकसित ठोस प्रणोदक अर्ध-बैलिस्टिक मिसाइल है, जो उच्च परिशुद्धता सुनिश्चित करने के लिए अत्याधुनिक मार्गदर्शन और नेविगेशन को नियोजित करती है।मिसाइल विभिन्न लक्ष्यों के साथ कई प्रकार के हथियार ले जाने में सक्षम है। इस प्रणाली को अनुसंधान केंद्र इमरत द्वारा अन्य डीआरडीओ प्रयोगशालाओं-रक्षा अनुसंधान और विकास प्रयोगशाला, उन्नत प्रणाली प्रयोगशाला, आयुध अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान, उच्च ऊर्जा सामग्री अनुसंधान प्रयोगशाला, रक्षा धातुकर्म अनुसंधान प्रयोगशाला, टर्मिनल बैलिस्टिक अनुसंधान प्रयोगशाला, अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान (इंजीनियर) और आईटीआर आदि के सहयोग से विकसित किया गया है। इसके उद्योग भागीदार – भारत डायनेमिक्स लिमिटेड और भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड और कई अन्य उद्योग और एमएसएमई हैं।रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ. समीर वी कामत ने टीमों को बधाई देते हुए कहा कि इस चरण-1 उड़ान परीक्षणों के सफल समापन से निकट भविष्य में सशस्त्र बलों में प्रणाली को शामिल करने का मार्ग प्रशस्त होता है। -
नयी दिल्ली. राज्यसभा में शतरंज खिलाड़ी दिव्या देशमुख को फिडे महिला शतरंज विश्व कप 2025 जीतने के लिए मंगलवार को बधाई दी गई। बैठक शुरू होने पर उप सभापति हरिवंश ने दिव्या की उपलब्धि का जिक्र करते हुए कहा कि उन्होंने देश को गौरवान्वित किया है। हरिवंश ने कहा कि दिव्या की यह उपलब्धि उनकी निजी उपलब्धि ही नहीं है बल्कि यह शतरंज के क्षेत्र में एक नया प्रतिमान है। उन्होंने कहा कि दिव्या की कड़ी मेहनत, लगन और निरंतर अभ्यास ने उन्हें इस मुकाम तक पहुंचाया है। उपसभापति ने कहा कि दिव्या की यह जीत नए खिलाड़ियों के लिए प्रेरणा बनेगी और वह अपनी ओर से तथा पूरे सदन की ओर से उन्हें बधाई और आने वाले समय के लिए शुभकामनाएं देते हैं। सदन में मौजूद सदस्यों ने मेजें थपथपा कर दिव्या को बधाई दी।
भारत की किशोर शतरंज खिलाड़ी दिव्या देशमुख ने अपने करियर की सबसे बड़ी सफलता हासिल करते हुए सोमवार को जॉर्जिया के बातुमी में अपनी हमवतन और अनुभवी खिलाड़ी कोनेरू हम्पी को टाईब्रेकर में हराकर फिडे महिला विश्व कप का खिताब जीत लिया। इस जीत से 19 साल की दिव्या ग्रैंडमास्टर भी बन गईं। वह ग्रैंडमास्टर बनने वाली चौथी भारतीय महिला और 88वीं खिलाड़ी हैं। -
जम्मू,दक्षिण कश्मीर हिमालय में 3,880 मीटर की ऊंचाई पर स्थित पवित्र अमरनाथ गुफा मंदिर में दर्शन करने के लिए 1,490 तीर्थयात्रियों का 27वां जत्था मंगलवार को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच यहां भगवती नगर आधार शिविर से रवाना हुआ। प्राधिकारियों ने यह जानकारी दी। घाटी से तीन जुलाई को शुरू हुई 38 दिवसीय तीर्थयात्रा के दौरान अब तक 3.86 लाख से अधिक तीर्थयात्री भगवान शिव के बर्फ से बने शिवलिंग के दर्शन कर चुके हैं। अधिकारियों ने बताया कि 1,262 पुरुषों, 186 महिलाओं और 42 साधुओं एवं साध्वियों समेत तीर्थयात्रियों का 27वां जत्था केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) और पुलिस कर्मियों की सुरक्षा में मंगलवार तड़के तीन बजकर 25 मिनट से तीन बजकर 57 मिनट के बीच 61 वाहनों में सवार होकर भगवती नगर आधार शिविर से कश्मीर स्थित दो आधार शिविरों के लिए रवाना हुआ। उन्होंने बताया कि 16 वाहनों में 327 श्रद्धालुओं को लेकर पहला काफिला गांदरबल जिले के 14 किलोमीटर लंबे लेकिन कठिन बालटाल मार्ग के लिए रवाना हुआ, जबकि 45 वाहनों का दूसरा काफिला 1,163 श्रद्धालुओं के साथ अनंतनाग जिले के 48 किलोमीटर लंबे पारंपरिक पहलगाम मार्ग के लिए निकला। पिछले वर्ष 5.10 लाख से अधिक तीर्थयात्रियों ने गुफा मंदिर में पूजा-अर्चना की थी जहां प्राकृतिक रूप से निर्मित बर्फ का शिवलिंग स्थित है। यह तीर्थयात्रा नौ अगस्त को रक्षाबंधन के साथ समाप्त होगी।
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बालासोर/नयी दिल्ली. भारत ने पारंपरिक युद्ध सामग्री ले जाने में सक्षम नयी विकसित सामरिक मिसाइल ‘प्रलय' का सफलतापूर्वक परीक्षण किया है। रक्षा मंत्रालय ने बताया कि इस मिसाइल का परीक्षण सोमवार और मंगलवार को ओडिशा तट के पास ‘एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप' से किया गया। ‘प्रलय' एक कम दूरी की सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइल है, जिसकी ‘पेलोड' क्षमता 500 से 1,000 किलोग्राम तक है। ‘पेलोड' क्षमता का अर्थ है कि कोई मिसाइल, रॉकेट, ड्रोन या विमान अधिकतम कितने भार का विस्फोटक, उपकरण या सामग्री अपने लक्ष्य तक ले जा सकता है। यह मिसाइल पारंपरिक युद्ध सामग्री ले जाने में सक्षम है और इसकी मारक क्षमता 150 से 500 किलोमीटर है। इसे रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा विकसित किया गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सफल उड़ान परीक्षण के लिए डीआरडीओ, सशस्त्र बलों और उद्योग की सराहना करते हुए कहा कि आधुनिक प्रौद्योगिकियों से लैस मिसाइल से सशस्त्र बलों को खतरों के खिलाफ और तकनीकी बढ़ावा मिलेगा। रक्षा मंत्रालय ने बताया कि मिसाइल प्रणाली की अधिकतम और न्यूनतम रेंज क्षमता की पुष्टि करने के लिए उपयोगकर्ता मूल्यांकन परीक्षणों (‘यूजर इवाल्यूएशन ट्राइल') के एक भाग के रूप में उड़ान परीक्षण किए गए थे। इसने कहा कि मिसाइलें निर्धारित दिशा में सटीक रूप से आगे बढ़ीं और बिल्कुल सटीकता के साथ निर्धारित लक्ष्य पर पहुंचीं। रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘सभी उपप्रणालियों ने अपेक्षा अनुरूप कार्य किया, जिन्हें एकीकृत परीक्षण रेंज (आईटीआर) द्वारा तैनात विभिन्न ‘ट्रैकिंग सेंसर' द्वारा संग्रहित किए गए परीक्षण आंकड़ों का उपयोग करके सत्यापित किया गया था, जिसमें निर्दिष्ट प्रभाव बिंदु के पास स्थित जहाज पर तैनात उपकरण शामिल थे।'' मंत्रालय ने कहा, ‘‘प्रलय एक स्वदेशी रूप से विकसित ठोस प्रणोदक अर्ध-बैलिस्टिक मिसाइल है जो उच्च परिशुद्धता सुनिश्चित करने के लिए अत्याधुनिक मार्गदर्शन और नौवाहन को नियोजित करती है।'' इस प्रणाली को अनुसंधान केंद्र इमरत द्वारा अन्य डीआरडीओ प्रयोगशालाओं - रक्षा अनुसंधान और विकास प्रयोगशाला, उन्नत प्रणाली प्रयोगशाला, आयुध अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान, उच्च ऊर्जा सामग्री अनुसंधान प्रयोगशाला, रक्षा धातुकर्म अनुसंधान प्रयोगशाला, टर्मिनल बैलिस्टिक अनुसंधान प्रयोगशाला, अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान (इंजीनियर) और आईटीआर आदि के सहयोग से विकसित किया गया है। इसके उद्योग भागीदार ‘भारत डायनेमिक्स लिमिटेड' और ‘भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड' और कई अन्य उद्योग और एमएसएमई हैं।
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नयी दिल्ली. संसदीय कार्य मंत्री किरेन रीजीजू ने मंगलवार को लोकसभा में कहा कि 1962 के बाद से ‘‘चीन, अरुणाचल में न तो एक इंच घुसा है और न उसने एक इंच जमीन ली है।'' उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर पर लोकसभा में विशेष चर्चा के दौरान यह बात कही।
समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने चर्चा में भाग लेते हुए भारत के क्षेत्र में चीन के कथित अतिक्रमण का हवाला देते हुए सवाल किया था, ‘‘जिस समय (2014 में) भाजपा केंद्र की सत्ता में आई, उस समय (देश का) क्षेत्रफल क्या था और आज क्या है?'' उन्होंने सवाल किया कि पैंगोंग झील, गलवान घाटी के बारे में सरकार के पास जवाब है या नहीं?
इस पर, अरुणाचल प्रदेश से भाजपा सांसद रीजीजू ने कहा कि उन्होंने (अखिलेश ने) अपने भाषण के दौरान कहा कि ‘‘जिस प्रदेश से मैं आता हूं, वहां कितने अंदर तक चीन घुसकर कब्जा करके बैठा है।'' उन्होंने कहा, ‘‘मैं स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि 10 अक्टूबर 1962 में जब चीन का आक्रमण हुआ, वे (चीनी सैनिक) 10 अक्टूबर को मेरे गांव से होते हुए एक महीने 10 दिन में असम के मिसामारी तक पहुंचे थे। फिर, वहां 21 नवंबर को संघर्ष विराम कर पूरी तरह से वापस चले गए।'' रीजीजू ने कहा फिर 1962 के बाद, चीन, अरुणाचल प्रदेश में न एक इंच घुसा है न उसने एक इंच जमीन ली है। -
पुरी. पुरी के जगन्नाथ मंदिर में मंगलवार को गुप्त कैमरा लेकर पहुंचे एक व्यक्ति को हिरासत में लिया गया। पुलिस ने यह जानकारी दी। पुलिस ने बताया कि उसने गुप्त कैमरे वाला चश्मा पहना हुआ था और 12वीं सदी के इस मंदिर में फोटोग्राफी या वीडियोग्राफी पूरी तरह प्रतिबंधित है। पुरी के पुलिस अधीक्षक (एसपी) पिनाकी मिश्रा ने बताया कि मंदिर के बेहराना द्वार के पास तैनात सुरक्षाकर्मियों को कैमरे की रोशनी चमकने पर संदेह हुआ और करीब से जांच करने पर पता चला कि कैमरा लगे हुए चश्मे के साथ वह परिसर में दाखिल हुआ था। उन्होंने बताया कि वह व्यक्ति इसी क्षेत्र का रहने वाला था और उसे पूछताछ के लिए तुरंत सिंहद्वार थाने ले जाया गया। एसपी के अनुसार, यह पता लगाया जा रहा है कि क्या उसने मंदिर के अंदर कोई तस्वीर खींची या वीडियो बनाया है।
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नयी दिल्ली. लोकसभा ने फिडे महिला विश्व कप का खिताब जीतने वाली शतरंत खिलाड़ी दिव्या देशमुख को मंगलवार को बधाई और भविष्य के मुकाबलों के लिए शुभकामनाएं दीं। सदन ने इस प्रतियोगिता में दूसरे स्थान पर रहीं भारतीय खिलाड़ी कोनेरू हम्पी की भी सराहना की। लोकसभा की कार्यवाही आरंभ होने पर अध्यक्ष ओम बिरला ने दिव्या देशमुख की कामयाबी का उल्लेख किया। उन्होंने कहा, ‘‘वह इस प्रतियोगिता को जीतने वाली पहली भारतीय महिला हैं। वह भारत की चौथी महिला ग्रैंडमास्टर बन गई हैं। हमें खुशी है कि फाइनल में दोनों भारतीय खिलाड़ी थीं। हम दोनों भारतीय खिलाड़ियों का अभिनंदन करते हैं।'' बिरला ने कहा, ‘‘दिव्या देशमुख की इस जीत से सभी भारतीय नागरिकों विशेष रूप से युवाओं को प्रेरणा मिलेगी। भारत की किशोर शतरंज खिलाड़ी दिव्या देशमुख ने अपने कॅरियर की सबसे बड़ी सफलता हासिल करते हुए सोमवार को हमवतन और अपने से कहीं अधिक अनुभवी कोनेरू हम्पी को टाईब्रेकर में हराकर फिडे महिला विश्व कप का खिताब जीता। इस जीत से 19 साल की दिव्या ने ना सिर्फ यह प्रतिष्ठित टूर्नामेंट जीता, साथ ही ग्रैंडमास्टर भी बन गईं जो टूर्नामेंट की शुरुआत में असंभव लग रहा था। वह ग्रैंडमास्टर बनने वाली सिर्फ चौथी भारतीय महिला और कुल 88वीं खिलाड़ी हैं।
- रांची/देवघर। झारखंड के देवघर में मंगलवार को एक बस और एक ट्रक के बीच टक्कर होने से कम से कम छह कांवड़ियों की मौत हो गई और 24 अन्य लोग घायल हो गए। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। अधिकारी ने बताया कि कांवड़ियों को ले जा रही एक बस मोहनपुर थाना क्षेत्र के जमुनिया जंगल के पास सुबह करीब साढ़े पांच बजे गैस सिलेंडर ले जा रहे एक ट्रक से टकरा गई। देवघर के उपायुक्त नमन प्रियेश लाकड़ा ने बताया, ‘‘देवघर के जमुनिया में हुए हादसे में छह श्रद्धालुओं की मौत हो गई और 24 अन्य घायल हो गए। घायलों में से आठ व्यक्तियों को देवघर स्थित एम्स में भर्ती कराया गया है, जबकि शेष का सदर अस्पताल में इलाज कराया जा रहा है।” इससे पहले, दुमका क्षेत्र के पुलिस महानिरीक्षक शैलेंद्र कुमार सिन्हा ने ‘ बताया कि यह दुर्घटना तब हुई, जब कांवड़ियों से भरी बस गैस सिलेंडर ले जा रहे एक ट्रक से टकरा गई थी। उन्होंने बताया कि टक्कर के बाद बस चालक वाहन से नीचे गिर गया, जिससे वाहन के स्टेयरिंग पर कोई भी मौजूद नहीं रहा। इसके बाद बस कुछ देर तक चलती रही और फिर ईंटों के ढेर से टकराकर रुक गई। अधिकारी ने बताया कि इस हादसे में बस पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई।सांसद निशिकांत दुबे ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स' पर एक पोस्ट में दावा किया कि इस दुर्घटना में 18 कांवड़ियों की मौत हुई है। उन्होंने ‘एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘मेरे लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत देवघर में श्रावण मास में कांवड़ यात्रा के दौरान बस और ट्रक के दुर्घटनाग्रस्त होने के कारण 18 श्रद्धालुओं की मौत हो गई है। बाबा बैद्यनाथ जी उनके परिजनों को दुख सहने की शक्ति प्रदान करें।'' हालांकि, दुमका के आईजी ने पुष्टि की कि छह लोगों की मौत हुई है, जबकि दो लोगों की हालत गंभीर बताई जा रही है । एक अन्य अधिकारी ने बताया कि इस हादसे में कम से कम 24 कांवड़िये घायल हो गये हैं और उन्हें दुमका के सरैयाहाट पीएचसी सहित विभिन्न अस्पतालों एवं निकटवर्ती प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में पहुंचाया गया है। उन्होंने बताया कि घायलों में से कई की हालत गंभीर होने के कारण हताहतों की संख्या बढ़ने की आशंका है।अधिकारी ने बताया कि जिला प्रशासन को सूचित कर दिया गया है।झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कांवड़ियों की मौत पर शोक व्यक्त किया और कहा कि जिला प्रशासन बचाव अभियान में लगा हुआ है। उन्होंने ‘एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, “आज सुबह देवघर के मोहनपुर प्रखंड के जमुनिया चौक के पास बस दुर्घटना में श्रद्धालुओं की मौत की अत्यंत दुःखद सूचना मिली है।'' सोरेन ने कहा, ‘‘जिला प्रशासन द्वारा राहत एवं बचाव कार्य के साथ घायलों को चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। बाबा बैद्यनाथ दुर्घटना में मरने वाले श्रद्धालुओं की आत्मा को शांति प्रदान कर शोकाकुल परिवारजनों को दुःख की घड़ी सहन करने की शक्ति दें।'' झारखंड के राज्यपाल संतोष गंगवार ने भी इस हादसे पर दुख व्यक्त किया।उन्होंने ‘एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘देवघर से बासुकीनाथ जा रहे कांवड़ियों की बस के दुर्घटनाग्रस्त हो जाने से कई श्रद्धालुओं के निधन का समाचार अत्यंत दुखद एवं पीड़ादायक है। मैं शोकाकुल परिजनों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं तथा बाबा भोलेनाथ से घायल श्रद्धालुओं के शीघ्र स्वास्थ्य होने की प्रार्थना करता हूं।'' देवघर के अनुमंडल पुलिस अधिकारी रवि कुमार ने बताया कि कांवड़िये बासुकीनाथ मंदिर जा रहे थे।वहीं, यातायात पुलिस उपाधीक्षक लक्ष्मण प्रसाद ने कहा कि दुर्घटना में कम से कम नौ लोगों की मौत हुई है और घायलों को अस्पताल भेजा जा रहा है। देवघर के सिविल सर्जन के अनुसार, इस हादसे में बस चालक सुभाष तुरी, गया की सुमन कुमारी, पीयूष, वैशाली, बेतिया की दुर्गावती देवी और जानकी देवी की मौत हुई है।
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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को लोकसभा में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के लिए भारतीय सेना की तारीफ की। उन्होंने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ ने तय कर दिया कि भारत में आतंकी हमले के लिए उसके आकाओं और पाकिस्तान को भारी कीमत चुकानी होगी।
पीएम मोदी ने कहा, “दुनिया ने देखा है कि हमारी कार्रवाई का दायरा कितना बढ़ा है। सिंदूर से लेकर सिंधू तक पाकिस्तान पर कार्रवाई की है। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ ने तय कर दिया कि भारत में आतंकी हमले के लिए उसके आकाओं और पाकिस्तान को भारी कीमत चुकानी होगी। वे ऐसे ही नहीं जा सकते। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ से स्पष्ट होता है कि भारत ने तीन सूत्र तय किए हैं। पहला- अगर भारत पर आतंकी हमला हुआ तो हम अपने तरीके, अपनी शर्तों और अपने समय पर जवाब देकर रहेंगे। दूसरा- कोई भी न्यूक्लियर ब्लैकमेल नहीं चलेगा, और तीसरी बात यह है कि हम आतंकी सरपरस्त सरकार और आतंकी आकाओं को अलग-अलग नहीं देखेंगे।”उन्होंने लोकसभा में विदेश नीति पर विपक्ष की ओर से उठाए गए सवालों का भी जवाब दिया। पीएम मोदी ने कहा, “विदेश नीति को लेकर यहां काफी बातें की गई और दुनिया के समर्थन को लेकर भी बात की गई। मैं आज सदन में स्पष्ट रूप से बताना चाहता हूं कि दुनिया के किसी भी देश ने भारत को अपनी सुरक्षा में कार्रवाई करने से नहीं रोका है। संयुक्त राष्ट्र के 193 देशों में से सिर्फ तीन देशों ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान पाकिस्तान के समर्थन में बयान दिया था। क्वाड हो या ब्रिक्स हो या फिर फ्रांस, रूस या जर्मनी समेत किसी भी देश का नाम ले लीजिए, दुनिया भर से भारत को समर्थन मिला है।”उन्होंने आगे कहा, “हमें दुनिया के देशों का समर्थन मिला, लेकिन यह दुर्भाग्य है कि मेरे देश के वीरों के पराक्रम को कांग्रेस का समर्थन नहीं मिला। 22 अप्रैल के आतंकी हमले के बाद तीन-चार दिन में ही ये उछल रहे थे और कह रहे थे कि कहां गई 56 इंच की छाती। कहां खो गया मोदी और मोदी तो फेल हो गया जैसी बातें कही गई। ये लोग मजा ले रहे थे और उनको लगता था कि बाजी मार ली। वह पहलगाम के निर्दोष लोगों की हत्या में भी अपनी राजनीति तलाशते थे। अपनी स्वार्थी राजनीति के लिए मुझ पर निशाना साध रहे थे, लेकिन उनकी यह बयानबाजी और छिछोरापन देश के सुरक्षा बलों का मनोबल गिरा रहा था। कांग्रेस को न तो भारत के सामर्थ्य पर भरोसा है और न ही भारत की सेनाओं पर भरोसा है। वह लगातार ऑपरेशन सिंदूर पर सवाल उठा रहे हैं। ऐसा करके आप लोग मीडिया में हेडलाइन तो ले सकते हैं, लेकिन देशवासियों के दिलों में जगह नहीं बना सकते।”प्रधानमंत्री मोदी ने विपक्ष पर झूठ और प्रचार को बढ़ाने का आरोप लगाया। पीएम मोदी ने कहा, “10 मई को ऑपरेशन सिंदूर के तहत हो रहे एक्शन को रोकने की घोषणा की। इसको लेकर यहां भाती-भाती की बातें कही गई। ये वही प्रोपेगेंडा है, जो सीमा पार से फैलाया गया है। कुछ लोग सेना द्वारा दिए गए तथ्यों की जगह पाकिस्तान के झूठ और प्रचार को आगे बढ़ाने में जुटे हुए हैं, जबकि भारत का रुख हमेशा स्पष्ट रहा है।” - नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संसद में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा में भाग लेते हुए मंगलवार को लोकसभा के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी को जवाब दिया। उन्होंने लोकसभा में कहा कि दुनिया के किसी भी देश ने भारत को अपनी सुरक्षा में कार्रवाई करने से नहीं रोका था।पीएम मोदी ने कहा कि दुनिया के किसी भी नेता ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ को नहीं रुकवाया। उन्होंने कहा कि 9 मई की रात और 10 मई की सुबह हमने पाकिस्तान की सैन्य शक्ति को तहस-नहस कर दिया था। आज पाकिस्तान भी जान गया है कि भारत का हर जवाब पहले से ज्यादा तगड़ा होता है। उसे ये भी पता है कि भविष्य में नौबत आई तो भारत आगे कुछ भी कर सकता है। इसलिए मैं फिर से लोकतंत्र के इस मंदिर में दोहराना चाहता हूं कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ जारी है। अगर पाकिस्तान ने दुस्साहस की, कल्पना की तो, उसे करारा जवाब दिया जाएगा।उन्होंने कहा कि भारतीय सेना के प्रहार ने पाकिस्तान को घुटने पर आने के लिए मजबूर कर दिया। पाकिस्तान ने डीजीएमओ को फोन कर गुहार लगाई कि बस करो, बहुत मारा। अब ज्यादा मार झेलने की ताकत नहीं है। प्लीज हमला रोक दो। भारत ने पहले ही दिन कह दिया था कि भारत ने अपने लक्ष्य पूरे कर दिए। अगर आप कुछ करोगे तो जवाब देंगे।पीएम मोदी ने कहा कि 9 तारीख की रात को अमेरिका के उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने मुझसे बात करने का प्रयास किया। वह घंटे भर कोशिश कर रहे थे, लेकिन मेरी सेना के साथ बैठक चल रही थी, तो मैं फोन उठा नहीं पाया, लेकिन बाद में मैंने कॉल बैक किया। फिर अमेरिका के उपराष्ट्रपति ने मुझे बताया कि पाकिस्तान बहुत बड़ा हमला करने वाला है। इस पर मैंने कहा, अगर पाकिस्तान का ये इरादा है, तो उसे बहुत महंगा पड़ेगा। अगर पाकिस्तान हमला करेगा तो हम बड़ा हमला कर जवाब देंगे। आगे मैंने कहा था, ‘हम गोली का जवाब गोले से देंगे’।इससे पहले लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर चर्चा के दौरान कहा, “अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने 29 बार कहा कि हमने युद्ध रुकवाया। अगर दम है तो प्रधानमंत्री सदन में यह बोल दें कि वे असत्य बोल रहे हैं। इंदिरा गांधी की 50 प्रतिशत हिम्मत भी हो, तो वे यह कह देंगे। अगर सचमुच में दम है तो पीएम को यहां कह देना चाहिए कि डोनाल्ड ट्रंप झूठ बोल रहा है।”
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नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को सदन में ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता के पीछे की वजह बताई। उन्होंने लोकसभा को बताया कि आतंकवादियों को जवाब देने के लिए भारत पड़ोसी देश में 100 किलोमीटर अंदर गया। वहां जाकर 9 अड्डों और 100 से अधिक आतंकियों को पूरी तरह से ध्वस्त कर दिया। गृह मंत्री ने ‘संघर्ष विराम’ पर उठते सवालों का भी जवाब दिया।
दरअसल, विपक्ष ने सवाल उठाया कि हम अच्छी स्थिति में थे, तो फिर युद्ध क्यों नहीं किया? अमित शाह ने जवाब दिया, “युद्ध के कई परिणाम होते हैं। युद्ध सोच समझकर करना पड़ता है।” गृह मंत्री ने कांग्रेस को 1948 के युद्ध की याद दिलाई। उन्होंने कहा कि उस समय लड़ाई निर्णायक पड़ाव पर थी, लेकिन जवाहर लाल नेहरू ने एकतरफा युद्धविराम किया। इसी युद्धविराम के कारण पीओके अस्तित्व में है। इसके जिम्मेदार जवाहर लाल नेहरू हैं।अमित शाह ने सिंधु जल संधि के फैसले की याद दिलाई, जिसमें 80 प्रतिशत पानी पाकिस्तान को दिया गया था। उन्होंने 1965 में जीते हाजी पीर को वापस लौटाने और 1971 की जीत के बाद शिमला समझौते में पीओके को नहीं मांगने पर कांग्रेस को घेरा।गृह मंत्री ने “ऑपरेशन सिंदूर” की सफलता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारत ने 9 आतंकी ठिकानों को तबाह किया। इन हमलों में कोई आम नागरिक नहीं मारा गया, सिर्फ आतंकवादी इस हमले में मारे गए। बहावलपुर में मरकज शुभानअल्लाह, मुरीदके में मरकज तैयबा, सियालकोट में मेहमूना जोया कैंप और सरजल कैंप, मुजफ्फराबाद में सवाईनाला और सैयदना बिलाल कैंप, कोटली में गुलपुर और अब्बास कैंप के साथ बरनाला कैंप भीमबर को भारतीय सेना ने टारगेट किया।अमित शाह ने कहा कि पाकिस्तान ने खुद गलतियां कीं। भारत ने आतंकियों पर हमला किया, लेकिन पाकिस्तान ने इसे अपने ऊपर हमला माना। आतंकवादियों के जनाजे को पाकिस्तान की सेना ने कंधा दिया, लेकिन वे भूल गए थे कि यह सब पूरी दुनिया देखेगी। पूरी दुनिया में पाकिस्तान खुद को आतंक पीड़ित बताता है, लेकिन ऑपरेशन सिंदूर ने एक्सपोज किया कि वहां ‘स्टेट प्रायोजित आतंकवाद’ है।इस संघर्ष में भारत के नुकसान को लेकर भी अमित शाह ने लोकसभा में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान ने भारतीय सेना के अड्डों पर हमले किए। किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ। एक गुरुद्वारा और एक मंदिर इन हमलों में टूटे। कुछ नागरिक घायल हुए।केंद्रीय गृह मंत्री ने सदन को बताया कि भारत ने पाकिस्तान के 11 एयरबेस को तबाह किया, जिनमें से 8 एयरबेस पर सबसे ज्यादा नुकसान हुआ। - नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को लोकसभा में ऐलान किया कि ‘ऑपरेशन महादेव’ के जरिए तीन आतंकियों को मार गिराया गया। ये सभी जम्मू कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में शामिल थे। उन्होंने बताया कि सुरक्षाबलों ने ऑपरेशन महादेव के जरिए आतंकी सुलेमान, अफगान और जिबरान को ढेर किया।केंद्रीय गृह मंत्री ने बताया कि कैसे आतंकियों को घेर किया ढेरइसके साथ ही गृह मंत्री अमित शाह ने संसद में विपक्ष को ‘ऑपरेशन महादेव’ की पूरी टाइमलाइन बताई। सदन को बताया कि इस ऑपरेशन की शुरुआत कब हुई और कैसे पहलगाम हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों को ढेर किया गया।23 अप्रैल को हुई सुरक्षा मीटिंगगृह मंत्री अमित शाह ने सदन में बताया कि 23 अप्रैल को सुरक्षा मीटिंग हुई। सबसे पहले इसमें निर्णय हुआ कि हत्यारे पाकिस्तान भागने न पाएं। इसकी हमने पुख्ता व्यवस्था की और भागने नहीं दिया। 22 मई को आईबी के पास ह्यूमन इंटेल आई और दाचीगाम क्षेत्र के अंदर आतंकवादियों की उपस्थिति की जानकारी मिली। इस सूचना के पुख्ता करने के लिए मई से 22 जुलाई तक लगातार प्रयास किए। ऊंचाई पर सिग्नल हासिल करने के लिए हमारे अधिकारी आतंकियों के सिग्नल हासिल करने के लिए घूमते रहे।सेंसर के माध्यम से आतंकवादियों के मिलने की हुई पुष्टिआईबी और सीआरपीएफ भी लगातार घूमती रही। 22 जुलाई को हमें सफलता मिली। सेंसर के माध्यम से आतंकवादियों के मिलने की पुष्टि हुई। इसके बाद 4 पैरा जो हमारी सेना का एक हिस्सा है उसके नेतृत्व में सीआरपीएफ के जवान और जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवानों ने एक साथ मिलकर आतंकियों को घेरने का काम किया। इसके बाद 28 जुलाई को ऑपरेशन महादेव के जरिए हमारे निर्दोष लोगों को मारने वाले तीनों आतंकी मौत के घाट उतार दिए गए।इन आतंकियों को पनाह देने वालों और खाना पहुंचाने वालों को पहले ही कर लिया था गिरफ्तारकेंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आगे बताया कि एनआई ने पहले से ही इन 3 आतंकियों को पनाह देने वालों और खाना पहुंचाने वालों को गिरफ्तार कर लिया था। कल (28 जुलाई) जब इन आतंकवादियों के शव श्रीनगर आए, तो इनसे पहचान कराई गई, जिसमें से 4 लोगों ने पहचान लिया कि यही 3 लोग थे, जिन्होंने पहलगाम में आतंकी घटना को अंजाम दिया था। मगर हम लोगों ने इस पर भी भरोसा नहीं किया, कोई जल्दबाजी नहीं की।पहलगाम हमले के घटनास्थल से जो कारतूस मिले, उसका एफएसएल रिपोर्ट पहले ही कराकर रखा था। जब कल आतंकी मारे गए। इनके पास एक अमेरिकन और दो एके-47 राइफलें मिलीं। कारतूस भी मिले। मगर हम इससे भी संतुष्ट नहीं हुए। इन राइफलों को एक विशेष विमान द्वारा कल रात चंडीगढ़ भेजा। मिलान होने पर तय हो गया कि इन्हीं राइफलों से पहलगाम हमले को अंजाम दिया गया था।
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नई दिल्ली। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर राज्यसभा में बोलते हुए रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि पाकिस्तान ही नहीं, भारत की तरफ टेढ़ी निगाह से देखने वाले हर देश को यह समझ लेना चाहिए कि आज भारत की सेनाओं में हर हालात से निपटने की ताकत और कूबत है। हम जानते हैं कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान कौन सा देश क्या कर रहा था। हमने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के माध्यम से पाकिस्तान को शह देने वाली ताकतों को भी संदेश दे दिया है।
पाकिस्तान एक जिद्दी बच्चे की तरह मानता ही नहींउन्होंने कहा कि पाकिस्तान एक जिद्दी बच्चे की तरह मानता ही नहीं है। इसलिए पूरी दुनिया के लिए यह जरूरी है कि पाकिस्तान पर आतंकवाद को लेकर हर तरह का रणनीतिक, कूटनीतिक और आर्थिक दबाव बनाया जाए। पाकिस्तान वही देश है, जहां हाफिज सईद और मसूद अजहर जैसे घोषित आतंकवादी खुलेआम घूमते हैं और जहर उगलते हैं। जहां आतंकियों के जनाजे में पाकिस्तान आर्मी के बड़े अफसर फातिहा पढ़ते नजर आते हैं। अब उसी पाकिस्तान से उम्मीद की जा रही है कि वह आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक समुदाय का नेतृत्व करेगा, यह किसी क्रूर मजाक से कम नहीं है। यह आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक लड़ाई का उपहास है।पाकिस्तान को काउंटर टेररिज्म पैनल का उपाध्यक्ष बनाया जाना ‘बिल्ली से दूध की रखवाली करवाने जैसा’रक्षा मंत्री ने कहा, “सबसे ताजा उदाहरण है, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद द्वारा पाकिस्तान को काउंटर टेररिज्म पैनल का उपाध्यक्ष बनाया जाना। हैरानी की बात यह है कि यह काउंटर-टेररिज्म पैनल 9/11 हमले के बाद गठित किया गया था। हम सब जानते हैं कि 9/11 का हमला किसने किया था। यह भी किसी से छुपा नहीं है कि उस हमले के मास्टरमाइंड को पाकिस्तान ने शरण दी थी। यह तो एक तरह से बिल्ली से दूध की रखवाली करवाने की बात हुई। यह निर्णय न केवल चौंकाने वाला है, बल्कि आतंकवाद के मुद्दे पर यूएन जैसी संस्था की गंभीरता को दर्शाता है। यह कैसे भुलाया जा सकता है कि यह वही पाकिस्तान है, जिसकी जमीन का इस्तेमाल वैश्विक आतंकवादी संगठनों की पनाहगाह के रूप में होता रहा है।आतंकवाद को फंडिंग और शरण देने वाले देशों को भी आज दुनिया के सामने बेनकाब करना जरूरीरक्षा मंत्री ने कहा कि आतंकवाद को फंडिंग और शरण देने वाले देशों को भी आज दुनिया के सामने बेनकाब करना जरूरी है। पाकिस्तान को जो पैसा या आर्थिक सहायता मिलती है, उसका बड़ा हिस्सा आतंकवाद के कारखाने में खर्च किया जाता है। यह बात पूरी दुनिया के सामने आ रही है। पाकिस्तान को फंडिंग का मतलब है, आतंकवाद के इंफ्रास्ट्रक्चर को फंडिंग। मुझे लगता है, अंतरराष्ट्रीय समुदाय को इस विदेशी फंडिंग को बंद करना होगा।पाकिस्तान आतंकवाद की नर्सरी हैपाकिस्तान आतंकवाद की नर्सरी है। उसको खाद-पानी नहीं मिलनी चाहिए। पाकिस्तान हर बार आतंकवाद को सही ठहराने की कोशिश में लगा रहता है। इसलिए जरूरी है कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में, हम सिर्फ आतंकवादियों को ही नहीं, बल्कि उन्हें मदद करने वाले पूरे टेरर इन्फ्रास्ट्रक्चर को भी खत्म करें। इसलिए ही हमारे प्रधानमंत्री ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर आज भी जारी है।पाकिस्तान ने हमेशा आतंकवादियों को पनाह दीरक्षा मंत्री ने कहा कि पाकिस्तान ने हमेशा आतंकवादियों को पनाह दी है, अपनी जमीन पर उन्हें ट्रेनिंग और कई तरह की मदद दी है। पहलगाम तो सिर्फ एक उदाहरण है, पाकिस्तान समर्थित आतंकवादियों के गुनाहों की लिस्ट बहुत लंबी है। हमने हमेशा देखा है कि पाकिस्तान जैसे देश लगातार आतंकवाद को समर्थन देते आए हैं। यह कितना विरोधाभास है कि भारत और पाकिस्तान दोनों एक ही समय आजाद हुए, लेकिन आज भारत को पूरी दुनिया में जहां मदर ऑफ डेमोक्रेसी की पहचान मिली है, वहीं पाकिस्तान फादर ऑफ ग्लोबल टेररिज्म बनकर उभरा है। हमारी सरकार ने आतंकवाद से निपटने के साथ-साथ भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा को मजबूत करने के लिए नई सोच के साथ नई रणनीति अपनाई है।भारत डिफेंस के मामले में बड़ी तेजी से बन रहा है आत्मनिर्भरउन्होंने कहा कि आज जब हम आत्मनिर्भर भारत की बात करते हैं, तो उसके सबसे मजबूत स्तंभों में एक है हमारा रक्षा क्षेत्र। जब कोई राष्ट्र अपने सुरक्षा उपकरण, अपने हथियार, अपने लड़ाकू विमान और मिसाइलें खुद बनाना शुरू कर दे, तो वह न केवल खुद पर विश्वास करना सीखता है, बल्कि दुनिया को भी यह संदेश देता है कि अब हम आत्मनिर्भर हैं, सक्षम हैं और किसी के मोहताज नहीं हैं। भारत आज सिर्फ सीमाओं की रक्षा नहीं कर रहा, बल्कि एक ऐसी व्यवस्था खड़ी कर रहा है, जो हमें सामरिक, आर्थिक और तकनीकी दृष्टि से मजबूत बना रही है। पहले हम रक्षा उपकरणों के लिए पूरी तरह से विदेशों पर निर्भर थे, लेकिन आज मैं गर्व के साथ कह सकता हूं कि भारत डिफेंस के मामले में बड़ी तेजी से आत्मनिर्भर बन रहा है।आज भारत की सेनाओं के पास केवल इंपोर्टेड हथियार नहीं, बल्कि इसी देश में बने मिसाइलें, टैंक, और अन्य सिस्टम्स एवं प्लेटफॉर्म्स भी हैं। हमारी अग्नि, पृथ्वी, ब्रह्मोस जैसी मिसाइलें आज दुश्मन को जवाब देने के लिए तैयार खड़ी हैं और ये सब भारत में बनी हैं। अब हमारे देश में आईएनएस विक्रांत जैसे एयरक्राफ्ट कैरियर बनाने की भी ताकत है। रक्षा मंत्री ने कहा, “मैं इस सदन को और देश की जनता को यह विश्वास दिलाना चाहता हूं कि हमारी सरकार, हमारी सेनाएं और हमारी लोकतांत्रिक संस्थाएं, सब मिलकर देश की एकता, अखंडता और सुरक्षा के लिए हर आवश्यक कदम उठाने को प्रतिबद्ध हैं। करीब सौ देशों को हमारे देश में बने डिफेंस प्रोडक्ट्स एक्सपोर्ट किए जा रहे हैं। हमारा यह लक्ष्य है कि इस साल हमारा डिफेंस एक्सपोर्ट तीस हजार करोड़ रुपए और साल 2029 तक पचास हजार करोड़ रुपए पहुंच जाए। मुझे पूरा विश्वास है, हम यह लक्ष्य अवश्य प्राप्त करेंगे।”


























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