माइक्रोसॉफ्ट और सीड्स ने भारत में लू के खतरों का अनुमान लगाने के लिए एआई मॉडल का दूसरा चरण शुरू किया
नयी दिल्ली। प्रौद्योगिकी क्षेत्र की दिग्गज कंपनी माइक्रोसॉफ्ट इंडिया ने सोमवार को सस्टेनेबल एनवायरनमेंट एंड इकोलॉजिकल डेवलपमेंट सोसाइटी (सीईडीएस) के साथ साझेदारी में भारत में लू के खतरों की भविष्यवाणी के लिए एक कृत्रिम मेधा (एआई) मॉडल 'सनी लाइव्स' के अपने दूसरे चरण की शुरुआत की घोषणा की। पिछले साल, देश के आपदा प्रवण तटीय क्षेत्रों में चक्रवात और बाढ़ के लिए इस मॉडल का सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया था। माइक्रोसॉफ्ट इंडिया ने एक विज्ञप्ति में कहा, "दूसरा चरण मुख्य शहरी लू क्षेत्रों में लू के खतरों से जुड़े मॉडल के विकास के साथ शुरू हो गया।" इसमें कहा गया है कि सीड्स 2021 में आपदा की पूर्व चेतावनी के साथ लू के खतरों का सामना कर रहे 1,25,000 लोगों की मदद करेगा। यह कृत्रिम मेधा मॉडल समाधान भारत में आपदा प्रतिरोधी समुदायों के निर्माण के लिए माइक्रोसॉफ्ट के वैश्विक कार्यक्रम 'आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस फॉर ह्यूमैनिटेरियन एक्शन' के तहत विकसित किया गया है। समाधान आपदा प्रभाव की भविष्यवाणी करने के लिए हाई रेजोल्यूशन सैटेलाइट इमेजरी, कृत्रिम मेधा कोडिंग सहित अन्य का इस्तेमाल करता है।
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