‘बस्तर संभाग के 1.15 लाख कृषकों को 600 करोड़ रूपए का अल्पकालीन कृषि ऋण’
-’लैम्पस समितियों से जारी है खाद-बीज का वितरण’
रायपुर। बस्तर संभाग में खरीफ सीजन- 2025 के तहत अब तक एक लाख 14 हजार 929 किसानों को शून्य प्रतिशत ब्याज दर पर 600 करोड़ 74 लाख रुपए का अल्पकालीन कृषि ऋण वितरित किया जा चुका है। यह ऋण जिला सहकारी केंद्रीय बैंक, जगदलपुर द्वारा “सहकार से समृद्धि” योजना के अंतर्गत वितरित किया गया है। बैंक के मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने बताया कि बस्तर संभाग के किसानों को खरीफ के लिए 950 करोड़ का ऋण वितरित किए जाने का लक्ष्य है।
बस्तर संभाग में आदिम जाति सेवा सहकारी समितियों के माध्यम से कृषकों को 58 हजार 159 मैट्रिक टन उर्वरक एवं 33 हजार 62 क्विंटल बीज का वितरण किया गया है। बस्तर जिले में 13,963 मैट्रिक टन, कोंडागांव में 14,679, नारायणपुर में 2,105, कांकेर में 23,884, सुकमा में 1,615 और बीजापुर जिले में 1,913 मैट्रिक टन उर्वरक का वितरण किया गया है। जैविक खेती जिला होने के कारण दंतेवाड़ा में उर्वरक प्रदाय नहीं किया गया। इसी प्रकार बीज वितरण के तहत बस्तर जिले में 7,645 क्विंटल, कोंडागांव में 3,674, नारायणपुर में 1,337, कांकेर में 8,397, दंतेवाड़ा में 2,184, सुकमा में 2,372 और बीजापुर जिले में 7,453 क्विंटल बीज कृषकों को उपलब्ध कराए गए हैं।
अल्पकालीन कृषि ऋण वितरण कार्यक्रम के तहत बस्तर जिले के 24,256 किसानों को 162.53 करोड़, कोंडागांव के 23,301 को 122.63 करोड़, नारायणपुर के 4,351 को 25.66 करोड़, कांकेर के 45,921 को 186.93 करोड़, दंतेवाड़ा के 1,943 को 12.79 करोड़, सुकमा के 7,359 को 41.04 करोड़ तथा बीजापुर जिले के 7,798 किसानों को 49.16 करोड़ रुपए का ऋण दिया गया है।
डीएपी खाद की कमी को देखते हुए नैनो डीएपी, एसएसपी और एनपीके जैसे वैकल्पिक उर्वरकों का पर्याप्त भंडारण भी किया गया है। सुगंधित धान, कोदो-कुटकी, रागी, मक्का, मूंग, उड़द, अरहर, मूंगफली, तिल व उद्यानिकी फसलों के लिए अब तक 30 करोड़ 74 लाख रुपए ऋण दिया गया है। ऋण और आदान सामग्री के वितरण की यह प्रक्रिया लगातार जारी है।
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