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पेरिस . क्लब थ्रोअर धर्मबीर ने बुधवार को एशियाई रिकॉर्ड तोड़ते हुए स्वर्ण पदक और प्रणव सूरमा ने रजत पदक जीतकर यहां पैरालिंपिक की पुरुषों की एफ51 स्पर्धा में भारत का दबदबा कायम किया। विश्व चैंपियनशिप में कांस्य पदक विजेता रहे सोनीपत के धरमबीर (35) ने चार प्रयासों में फाउल करने के बाद पांचवें प्रयास में 34.92 मीटर के थ्रो के साथ स्वर्ण पदक पक्का कर लिया। इसके बाद, सूरमा ने अपने पहले प्रयास में 34.59 मीटर का थ्रो किया, लेकिन फरीदाबाद का यह 29 वर्षीय खिलाड़ी, धरमबीर को पीछे नहीं छोड़ सका। सूरमा के रजत पदक जीतने के साथ ही भारत ने इस मुकाबले के पहले दो स्थानों पर कब्जा कर लिया। सूरमा की रीढ़ की हड्डी में 16 वर्ष की उम्र में उस समय चोट लग गई थी, जब उनके सिर पर सीमेंट शीट गिर गई थी। सर्बिया के फिलिप ग्राओवाक ने अपने दूसरे प्रयास में 34.18 मीटर का थ्रो कर कांस्य पदक जीता। -
पेरिस. कपिल परमार ने बृहस्पतिवार को यहां जे1 60 किग्रा पुरुष पैरा जूडो स्पर्धा में ब्राजील के एलिल्टोन डि ओलिवेरा को हराकर कांस्य पदक जीता और भारत को जूडो में पहला पैरालंपिक पदक दिलाया। परमार ने कांस्य पदक के मुकाबले में अपने प्रतिद्वंद्वी पर शुरू से ही दबदबा बनाये रखा और रिकॉर्ड 10-0 से जीत हासिल की। इससे पहले वह सेमीफाइनल में ईरान के एस बनिताबा खोर्रम अबादी से पराजित हो गये । परमार (24 वर्ष) को सेमीफाइनल ए में ईरानी प्रतिद्वंद्वी से 0-10 से हार मिली। पैरा जूडो में जे1 वर्ग में वो खिलाड़ी हिस्सा लेते हैं जो दृष्टिबाधित होते हैं या फिर उनकी कम दृष्टि होती है। परमार ने 2022 एशियाई खेलों में इसी वर्ग में रजत पदक जीता था। उन्होंने क्वार्टरफाइनल में वेनेजुएला के मार्को डेनिस ब्लांको को 10-0 से शिकस्त दी थी। परमार को दोनों मुकाबलों में एक एक पीला कार्ड मिला। वहीं महिलाओं के 48 किग्रा जे2 वर्ग के क्वार्टरफाइनल में भारत की कोकिला को कजाखस्तान की अकमारल नौटबेक से 0-10 से हार का सामना करना पड़ा। फिर रेपेशेज ए के जे2 फाइनल में कोकिला को यूक्रेन की यूलिया इवानित्स्का से 0-10 से हार मिली। इसमें उन्हें तीन जबकि उनकी प्रतिद्वंद्वी को दो पीले कार्ड मिले। जूडो में पीले कार्ड मामूली उल्लघंन के लिए दिये जाते हैं। जे2 वर्ग में आंशिक दृष्टि वाले खिलाड़ी हिस्सा लेते हैं।
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नयी दिल्ली. भारत के बैडमिंटन पुरुष एकल स्वर्ण पदक विजेता नितेश कुमार ने बुधवार को कहा कि पेरिस पैरालंपिक में प्रमोद भगत की अनुपस्थिति ने उन्हें खिताब जीतने की ‘अतिरिक्त जिम्मेदारी' दी। पुरुष एकल एसएलसी वर्ग में स्वर्ण जीतने वाले नितेश, तुलसीमति मुरुगेसन (रजत), सुहास यथिराज (रजत), मनीषा रामदास (कांस्य) और नित्या श्री सिवन (कांस्य) को बुधवार को यहां भारतीय खेल प्राधिकरण (साइ) के मुख्यालय में युवा मामलों और खेल मंत्री मनसुख मांडविया ने उनकी उपलब्धि के लिए सम्मानित किया। नितेश ने कहा कि पैरा खेलों से पहले भगत को 18 महीने के लिए निलंबित किए जाने के बाद उनका मंत्र पैरालंपिक में एक समय में एक मैच पर ध्यान देना था। नितेश ने कहा, ‘‘मैंने एक बार में एक मैच पर ध्यान देने के बारे में सोचा, दुनिया के नंबर एक, शीर्ष वरीय के रूप में वहां जाना, मेरे लिए खिताब जीतना एक जिम्मेदारी थी, विशेषकर तब जब प्रमोद पैरालंपिक में भाग लेने में असमर्थ थे।'' उन्होंने कहा, ‘‘भारत के लिए जीतना मेरे लिए एक अतिरिक्त जिम्मेदारी थी। फाइनल में प्रवेश करते हुए मुझे पता था कि यह हम दोनों के लिए मानसिक रूप से कठिन होगा। मुझे उनसे बेहतर होने और अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने का विश्वास था।'' खेल मंत्री मांडविया ने देश के लिए अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने के लिए भारतीय दल की सराहना की और उम्मीद जताई कि खिलाड़ी बाकी बची प्रतियोगिताओं में और पदक जीतेंगे। उन्होंने कहा, ‘‘हम भारत का उत्साह बढ़ाएंगे और आने वाले दिनों में हमारे खिलाड़ी 11 और पदकों के लिए चुनौती पेश करेंगे। मेरा मानना है कि जिस तरह से हमारे खिलाड़ी पैरालंपिक में प्रदर्शन कर रहे हैं, उससे उनका भविष्य उज्ज्वल है।'' मांडविया ने कहा, ‘‘भारत के पास पैरालंपिक में अब भी 11 और पदक जीतने का मौका है।''
तोक्यो में रजत पदक जीतने के बाद पेरिस में भी उप विजेता रहे सुहास ने जल्द ही संन्यास लेने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा, ‘‘रजत पदक जीतना अपने आप में एक चुनौती है। हर खिलाड़ी स्वर्ण पदक जीतना चाहता है और जब वे नहीं जीत पाते तो निराशा होती है।'' सुहास ने अपने संन्यास के बारे में कहा, ‘‘जीवन एक यात्रा है और मैं इस पल को जीना चाहता हूं, खेल में अपने भविष्य के बारे में अभी ज्यादा नहीं सोचना चाहता।'' तुलसीमति ने कहा, ‘‘मैं रजत पदक से खुश हूं। मुझे लगता है कि मुझे अपने पदक का रंग बदलने के लिए और मेहनत करनी होगी।'' मुख्य कोच गौरव खन्ना ने उम्मीद जताई कि अगले पैरालंपिक में भारत के पदकों की संख्या में सुधार होगा।
उन्होंने कहा, ‘‘हमारा लक्ष्य आठ से 10 पदक जीतना था लेकिन हमें पांच से ही संतोष करना पड़ा। हमें उम्मीद है कि हम 2028 में अपने लक्ष्य को हासिल कर लेंगे।'' -
पेरिस. विश्व चैम्पियन सचिन सरजेराव खिलाड़ी ने पेरिस पैरालम्पिक में पुरूषों की शॉटपुट एफ46 स्पर्धा में एशियाई रिकॉर्ड 16 . 32 मीटर के थ्रो के साथ रजत पदक जीता जिससे बुधवार को यहां भारत का ट्रैक एवं फील्ड स्पर्धा में पदक हासिल करने का सिलसिला जारी रहा। 34 वर्ष के खिलाड़ी ने दूसरे प्रयास में सर्वश्रेष्ठ थ्रो फेंका और मई में जापान में विश्व पैरा एथलेटिक्स चैम्पियनशिप में स्वर्ण पदक जीतने वाले 16.30 मीटर के अपने ही एशियाई रिकॉर्ड को बेहतर किया । सचिन खिलाड़ी का यह व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ प्रयास हालांकि उन्हें पहला स्थान दिलाने के लिए काफी नहीं था और कनाडा के ग्रेग स्टीवर्ट ने 16.38 मीटर के प्रयास से तोक्यो पैरालम्पिक में जीता स्वर्ण बरकरार रखा । क्रोएशिया के लुका बाकोविच ने 16.27 मीटर से कांस्य पदक जीता । खिलाड़ी का रजत पेरिस पैरालम्पिक में एथलेटिक्स में भारत का 11वां पदक है जिससे देश के कुल पदकों की संख्या 21 पहुंच गयी जिसमें तीन स्वर्ण पदक शामिल हैं। एफ46 श्रेणी में वे खिलाड़ी होते हैं जिनकी भुजाओं में कमजोरी है, मांसपेशियों की शक्ति क्षीण है या भुजाओं में निष्क्रिय गति की सीमा क्षीण है । ऐसे एथलीट खड़े होकर प्रतिस्पर्धा करते हैं। रजत पदक जीतने के बाद खिलाड़ी ने कहा, ‘‘मैं स्वर्ण पदक जीतना चाहता था लेकिन ऐसा नहीं हुआ। यह मेरा सर्वश्रेष्ठ प्रयास था लेकिन मैं संतुष्ट नहीं हूं। मुझे लगता है कि मैं बेहतर कर सकता था। आज मेरा दिन नहीं था। '' उन्होंने कहा, ‘‘कड़ी प्रतिस्पर्धा थी और ग्रेग स्टेवार्ट शानदार खिलाड़ी हैं। मैंने अपनी तकनीक में छोटी सी गलती की। मैं कड़ी मेहनत करूंगा और मुझे उम्मीद है कि अगली बार उसे हराऊंगा। '' इसमें हिस्सा ले रहे अन्य भारतीयों में मोहम्मद यासेर (14.21 मीटर) और रोहित कुमार (14.10 मीटर) क्रमश: आठवें और नौवें स्थान पर रहे। मैकेनिकल इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल कर चुके खिलाड़ी ने पिछले साल चीन में एशियाई पैरा खेलों में स्वर्ण पदक जीता था। महाराष्ट्र के सांगली जिले के करगानी गांव के एक किसान परिवार से ताल्लुक रखने वाले खिलाड़ह को स्कूल के दिनों में एक दुर्घटना का सामना करना पड़ा। चोट के कारण उनकी कोहनी की त्वचा में ‘गैंग्रीन' हो गया। कई सर्जरी के बाद भी उनका हाथ कभी ठीक नहीं हो पाया। बचपन में ही उनकी मां का भी देहांत हो गया था।
इन सभी बाधाओं के बावजूद उन्होंने इंजीनियर बनने के लिए पढ़ाई के दौरान भाला फेंकना शुरू कर दिया। प्रतियोगिता के दौरान कंधे में चोट लगने के कारण उन्होंने शॉटपुट खेलने के लिए बाध्य होना पड़ा। खिलाड़ी को 2015 में पैरा खेलों से परिचित कराया गया और बाद में उनकी मुलाकात कोच सत्यनारायण से हुई जिन्होंने उनके खेल को बेहतर बनाने में उनका साथ दिया। उन्होंने यूपीएससी और महाराष्ट्र लोक सेवा परीक्षा की तैयारी में छात्रों की सहायता की और विभिन्न संस्थानों में ‘विजिटिंग फैकल्टी' के तौर पर भी काम किया। इससे पहले भारत का ट्रैक एवं फील्ड दल का एक पैरालंपिक में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन तोक्यो में रहा था जिसमें एक स्वर्ण, पांच रजत और दो कांस्य पदक शामिल थे। स्टार भाला फेंक एथलीट सुमित अंतिल के स्वर्ण सहित भारत के ट्रैक एवं फील्ड में अब 11 पदक हो गये हैं जो देश के कुल पदकों के आधे से भी ज्यादा हैं। - पेरिस. प्रतिस्पर्धा के दौरान कुछ भी नया न करने के नीरज चोपड़ा के संदेश ने सुमित अंतिल के लिए अद्भुत तरीके से काम किया, जिन्होंने यहां पैरालंपिक खेलों में नये रिकॉर्ड के साथ अपने स्वर्ण पदक का बचाव किया। उन्होंने पैरालम्पिक खेलों में 70 . 59 मीटर का नया रिकॉर्ड भी बनाया। वह पैरालंपिक खेलों में शीर्ष पदक का बचाव करने वाले पहले भारतीय पुरुष खिलाड़ी बन गये। महिला वर्ग में हालांकि निशानेबाज अवनि लेखरा ने इस कारनामे को किया है। हरियाणा के सोनीपत के 26 साल के इन विश्व रिकॉर्डधारी भाला फेंक खिलाड़ी ने 2015 में मोटरसाईकिल दुर्घटना में अपना एक पैर गंवा दिया था। उन्होंने तीन साल पहले तोक्यो पैरालंपिक में 68.55 मीटर के पैरालंपिक रिकॉर्ड के साथ स्वर्ण पदक जीता था। उनका विश्व रिकॉर्ड 73.29 मीटर का है। अंतिल ने कहा कि वह और नीरज महीने में कम से कम एक बार एक-दूसरे से बातचीत करते हैं। दोनों खिलाड़ी खेल में सुधार करने के बारे में चर्चा करते है। उन्होंने कहा, ‘‘मैंने पेरिस खेलों से पहले नीरज भाई से व्यक्तिगत रूप से बात नहीं की थी। मुझे किसी (अंतिल के एथलीट मैनेजर) के माध्यम से नीरज भाई का संदेश मिला। उन्होंने कहा कि (पेरिस में) बहुत अच्छा माहौल है और वहां अच्छा माहौल है लेकिन कुछ नया करने की कोशिश मत करना।'' अंतिल ने मंगलवार को एक वर्चुअल मीडिया बातचीत के दौरान कहा, ‘‘मैंने उनकी सलाह मान ली और पेरिस पैरालंपिक में मेरे लिए वास्तव में एक अच्छा अनुभव था।'' उन्होंने कहा, ‘‘मैं और नीरज भाई एक-दूसरे के संपर्क में रहते हैं, पंद्रह दिन या महीने में एक बार उनसे बातचीत होती रहती है। जब भी हम एक-दूसरे से बात करते हैं, तो यह हमारे खेल के बारे में होता है, जैसे हमें अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते रहना चाहिए और देश का नाम रोशन करना चाहिए।'' अंतिल से जब पूछा गया कि नीरज ने उन्हें इस तरह की सलाह क्यों दी तो उन्होंने कहा, ‘‘इतने बड़े स्तर पर खिलाड़ी घबराहट महसूस कर सकते हैं और तकनीकों पर ध्यान केंद्रित रखना मुश्किल होता है। उसके (नीरज) मन में कुछ तो चल रहा होगा और वह नहीं चाहता कि मैं उन चीजों को झेलूं।'' उन्होंने कहा, ‘‘कभी-कभी ऐसा होता है कि आपने अभ्यास के दौरान जिस तकनीक पर काम किया है, वह (प्रतियोगिता के दौरान) सामने नहीं आती है। भाला फेंक एक ऐसी प्रतियोगिता है जिसमें तकनीक बहुत महत्वपूर्ण है।'' अंतिल 2021 में इंडियन ग्रां प्री में सामान्य खिलाड़ियों के साथ प्रतिस्पर्धा कर चुके हैं जिसमें नीरज ने भी हिस्सा लिया था। उन्होंने उस स्पर्धा में 66.43 मीटर के साथ सातवां स्थान हासिल किया था जबकि नीरज ने 88.07 मीटर के साथ राष्ट्रीय रिकॉर्ड कायम किया था। अंतिल ने कहा, ‘‘हां, मैं वहां (2021 में पटियाला) यह जानने के लिए गया था कि पैरा एथलीटों और सक्षम एथलीटों के बीच क्या अंतर है, पैरा एथलीट बेहतर प्रदर्शन क्यों नहीं कर पा रहे हैं। वहां मैंने 66.43 मीटर का पैरा विश्व रिकॉर्ड बनाया था।'' उन्होंने कहा, ‘‘उस समय और अब के प्रदर्शन में बहुत अंतर है। उस समय, मैंने कभी-कभार 66 मीटर का थ्रो किया था, लेकिन अब मैं लगातार 69 मीटर, 70 मीटर और 71 मीटर का थ्रो कर रहा हूं। मैं अगले एक-दो साल में 75 मीटर से आगे निकलने की कोशिश कर रहा हूं।'' अंतिल का लक्ष्य 2028 लॉस एंजिलिस पैरालंपिक में स्वर्ण पदक की हैट्रिक पूरा करना है। विश्व पैरा एथलेटिक्स चैम्पियनशिप के 2023 और 2024 के चैम्पियन ने कहा, ‘‘ एक बार शीर्ष पर पहुंचना आसान है लेकिन शीर्ष पर बने रहना बहुत कठिन है। लेकिन मैं अगले साल भारत में होने वाली विश्व पैरा एथलेटिक्स चैंपियनशिप जैसी शीर्ष प्रतियोगिताओं पर ध्यान केंद्रित कर रहा हूं। अभी मेरा ध्यान उसी पर है।'' उन्होंने कहा, ‘‘आम तौर पर हमारे खेल में खिलाड़ी 31-32 साल की उम्र में चरम पर पहुंचते हैं। मैंने तोक्यो और पेरिस में लगातार स्वर्ण पदक जीते हैं और मेरा प्रयास लॉस एंजिलिस में हैट्रिक बनाने का होगा।'' उन्होंने कहा, ‘‘ मेरा लक्ष्य भविष्य में 80 मीटर की दूरी को छूना है। मैं उस दूरी को पार करने का अनुभव लेना चाहता हूं।'' एफ64 वर्ग में वे खिलाड़ी होते हैं जिनके पैरों में विकार होता है । वे या तो कृत्रिम पैर के साथ खेलते हैं या उनके पैरों की लंबाई में फर्क होता है ।
- नयी दिल्ली. विश्व कौशल प्रतियोगिता में 60 सदस्यीय भारतीय टीम हिस्सा लेगी। यह फ्रांस के लियोन में 10 से 15 सितंबर को होगा। आधिकारिक बयान के अनुसार, प्रतिभागी फ्रांस के लियोन में 70 से अधिक देशों के सर्वश्रेष्ठ प्रतिभागियों के साथ 61 श्रेणियों में प्रतिस्पर्धा करेंगे। बयान के अनुसार, कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय ने विश्व कौशल प्रतियोगिता के लिए टीम इंडिया के अपने अबतक के सबसे बड़े दल के लिए समारोह का आयोजन किया। इसमें 60 प्रतिभागी हिस्सा ले रहे हैं। विज्ञप्ति में कहा गया है कि इस वैश्विक आयोजन में भारत की भागीदारी देश को कुशल प्रतिभाओं के लिए एक वैश्विक केंद्र बनाने के सरकार के लक्ष्य के साथ जुड़ी हुई है। यूरोएक्सपो लियोन में 10-15 सितंबर को होने वाली प्रतियोगिता में 1,400 से अधिक प्रतियोगी और 1,300 से अधिक विशेषज्ञ भाग लेंगे। द्विवार्षिक विश्व कौशल प्रतियोगिता में 2.5 लाख से अधिक प्रतिभागियों के शामिल होने की उम्मीद है। भारत सरकार के कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय के राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) जयंत चौधरी ने समारोह के दौरान युवा भारतीय दल को सफलता के लिए शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा, ‘‘पिछले संस्करण 2022 में, हम 11वें स्थान पर रहे थे। हमारी टीम काफी प्रतिभाशाली है और हम अपना सबसे बड़ा दल भेज रहे हैं। इसलिए मुझे उम्मीद है कि इस बार हम शीर्ष 10 में होंगे। देश की नजर में, आप पहले से ही विजेता हैं और विभिन्न वैश्विक उद्योग आपकी प्रतिभा की तलाश करेंगे।'' कार्यक्रम के दौरान संवाददाताओं से अलग से बातचीत करते हुए मंत्री ने कहा, ‘‘हमें पूरी उम्मीद है कि हमारा दल बहुत अच्छा प्रदर्शन करेगा। वे भारत के लिए पदक जीतेंगे।'' सामान्य रूप से अंतरराष्ट्रीय कौशल आयोजनों के ओलिंपिक खेल माने जाने वाले इस आयोजन में भारत से 52 कौशल श्रेणियों में प्रतिस्पर्धा करने के लिए 60 प्रतियोगियों को भेजा जा रहा है। इस प्रतियोगिता में 70 से अधिक देश अपने प्रतिभागियों को भेज रहे हैं।
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नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (ICC) ने मंगलवार को घोषणा की कि तीसरा वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) फाइनल अगले साल 11 से 15 जून के बीच ऐतिहासिक लॉर्ड्स मैदान में खेला जाएगा। अगर जरूरत पड़ी, तो 16 जून को रिजर्व डे के रूप में रखा गया है।
ICC के सीईओ ज्यॉफ एलार्डाइस ने एक बयान में कहा, “ICC वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल जल्दी ही क्रिकेट कैलेंडर के सबसे प्रमुख आयोजनों में से एक बन गया है और हमें 2025 के संस्करण के लिए तारीखों की घोषणा करते हुए खुशी हो रही है।”लॉर्ड्स पहली बार WTC फाइनल की मेजबानी करेगा, जबकि पहले दो फाइनल मैचों का आयोजन साउथैम्पटन (2021) और द ओवल (2023) में हुआ था। भारत ने इन दोनों फाइनल में हिस्सा लिया था, लेकिन पहले मैच में न्यूज़ीलैंड से और पिछले साल ऑस्ट्रेलिया से हार गया था।फिलहाल, रोहित शर्मा की कप्तानी वाली भारतीय टीम टॉप स्थान पर है, जबकि मौजूदा चैंपियन ऑस्ट्रेलिया दूसरे स्थान पर है। इस साल के अंत में भारत ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पांच मैचों की सीरीज खेलेगा, जो WTC फाइनल में जगह बनाने की दौड़ में अहम होगी। हालांकि, न्यूज़ीलैंड (तीसरे स्थान पर), इंग्लैंड (चौथे स्थान पर), श्रीलंका (पांचवें स्थान पर), दक्षिण अफ्रीका (छठे स्थान पर) और बांग्लादेश (सातवें स्थान पर) अभी भी अगले साल होने वाले फाइनल में जगह बनाने की दौड़ में हैं। दूसरी ओर, पाकिस्तान को बड़ा झटका लगा है क्योंकि बांग्लादेश ने हाल ही में समाप्त हुई दो मैचों की घरेलू सीरीज में उन्हें 0-2 से हरा दिया। -
नयी दिल्ली. दक्षिण अफ्रीका के दिग्गज क्रिकेटर जोंटी रोड्स ने रविंद्र जडेजा को वर्तमान समय का संपूर्ण ऑलराउंड क्षेत्ररक्षक करार दिया और साथ ही पूर्व भारतीय खिलाड़ी सुरेश रैना की भी जमकर प्रशंसा की। क्रिकेट जगत के सर्वकालिक महान क्षेत्ररक्षकों में से एक रोड्स 1992 से लेकर 2003 तक दक्षिण अफ्रीका की तरफ से खेले थे। वह दक्षिण अफ्रीका की तरफ से वनडे में 100 कैच लेने वाले पहले खिलाड़ी बने थे। संन्यास लेने के बाद रोड्स क्षेत्ररक्षण कोच के रूप में कई आईपीएल टीमों से जुड़े रहे जिनमें मुंबई इंडियंस, पंजाब किंग्स और हाल ही में लखनऊ सुपर जायंट्स शामिल हैं। रोड्स ने कहा, ‘‘मैं सुरेश रैना का बहुत बड़ा प्रशंसक हूं। मैंने उनके खेल के दिनों का आनंद लिया लेकिन अब वह संन्यास ले चुके हैं। वह ऐसे समय में मैदान के किसी भी हिस्से में गोता लगा देते थे जबकि भारतीय मैदान इसके लिए अनुकूल नहीं हुआ करते थे।'' उन्होंने कहा, ‘‘इस मामले में मैं भाग्यशाली था क्योंकि मैंने फुटबॉल, हॉकी और क्रिकेट अच्छे मैदानों पर खेली थी।'' रोड्स को शनिवार को हीरो प्रो कॉरपोरेट लीग क्रिकेट टूर्नामेंट का ब्रांड एंबेसडर नियुक्त किया गया।
उन्होंने जडेजा की भी जमकर प्रशंसा करते हुए कहा, ‘‘जडेजा अलग स्तर का क्षेत्ररक्षक है। वह बहुत अधिक गोता नहीं लगाता लेकिन गेंद पर तेजी से झपटता है। गेंद को विकेट पर मारने की उसकी सटीकता कुछ हद तक रिकी पोंटिंग की तरह है। वह सीमा रेखा पर फील्डिंग करता है और सर्कल के अंदर भी फील्डिंग करता है। वह एक संपूर्ण ऑलराउंड क्षेत्ररक्षक है।'' भारत के पूर्व तेज गेंदबाज चेतन शर्मा को लीग का कमिश्नर नियुक्त किया गया है। - पेरिस । भारत के नितेश कुमार और तुलसीमति मुरूगेसन ने हमवतन सुहास यथिराज और पलक कोहली को पैरालम्पिक खेलों में बैडमिंटन मिश्रित युगल (एसएल 3 . एसयू 5) के ग्रुप चरण के पहले मैच में हराया । नितेश और तुलसीमति ने ग्रुप ए का यह मुकाबला 31 मिनट में 21 . 14, 21 . 17 से जीता । हरियाणा के करनाल के रहने वाले 29 वर्ष के नितेश और तमिलनाडु की तुलसीमति ने हांगझोउ पैरा एशियाई खेलों में मिश्रित टीम में कांस्य पदक जीता था । एसएल 3 खिलाड़ियों के शरीर के एक हिस्से में विकृति होती है जबकि एसयू 5 खिलाड़ियों के शरीर के ऊपरी हिस्से में विकृति होती है ।
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ऑकलैंड। न्यूजीलैंड ने पूव तेज गेंदबाज जैकब ओरम को मौजूदा विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप चक्र में भारत में होने वाली तीन टेस्ट मैच की श्रृंखला से पहले अपना गेंदबाजी कोच नियुक्त किया। न्यूजीलैंड के लिए तीन वनडे और चार टी20 विश्व कप खेल चुके 46 वर्षीय ओरम सात अक्टूबर को जिम्मेदारी संभालेंगे। न्यूजीलैंड की टीम भारत के खिलाफ बेंगलुरु में 16 से 20 अक्टूबर तक श्रृंखला का पहला टेस्ट मैच खेलेगी जिसके बाद पुणे (24 से 28 अक्टूबर) और मुंबई (एक से पांच नवंबर) में टेस्ट खेले जायेंगे। हाल में अमेरिका और वेस्टइंडीज में हुए टी20 विश्व कप के दौरान ओरम न्यूजीलैंड के गेंदबाजी कोच रहे थे। उन्होंने 2022 में घरेलू सरजमीं पर हुए विश्व कप के दौरान न्यूजीलैंड की महिला टीम के लिए यही भूमिका अदा की थी। न्यूजीलैंड क्रिकेट ने एक बयान में कहा, ‘‘पिछले साल बांग्लादेश के टेस्ट दौरे पर, फरवरी में आस्ट्रेलिया के खिलाफ घरेलू टी20 अंतरराष्ट्रीय श्रृंखला के साथ हाल में हुए आईसीसी टी20 विश्व कप में टीम के गेंदबाजी कोच के तौर पर टीम की मदद करने के बाद 229 अंतरराष्ट्रीय मैच खेल चुके ओरम आधिकारिक रूप से न्यूजीलैंड के सहयोगी स्टाफ में शामिल होंगे।
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लीमा। भारत के शाहरूख खान ने 3000 मीटर स्टीपलचेस में राष्ट्रीय अंडर 20 रिकॉर्ड तोड़कर अपनी हीट में छठे स्थान पर रहते हुए विश्व एथलेटिक्स अंडर 20 चैम्पियनशिप के फाइनल के लिये क्वालीफाई कर लिया । अठारह वर्ष के शाहरूख ने आठ मिनट 45 . 12 सेकंड का समय लेकर अपनी हीट में छठा स्थान हासिल किया । फाइनल 31 अगस्त को होगा । दोनों हीट में से शीर्ष आठ खिलाड़ियों ने फाइनल में जगह बनाई है । इससे पहले अंडर 20 राष्ट्रीय रिकॉर्ड राजस्थान के 19 वर्ष के राजेश के नाम था जिन्होंने मई में भुवनेश्वर में फेडरेशन कप राष्ट्रीय सीनियर चैम्पियनशिप में चौथा स्थान हासिल करके आठ मिनट 50 . 12 सेकंड का समय निकाला था । खान का इससे पहले सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत प्रदर्शन आठ मिनट 51 . 75 सेकंड का था जब उन्होंने पिछले साल जून में कोरिया में एशियाई अंडर 20 चैम्पियनशिप में रजत पदक जीता था । भारत के जय कुमार ने पुरूषों की 400 मीटर दौड़ के फाइनल में प्रवेश कर लिया जो अपनी सेमीफाइनल हीट में तीसरे स्थान पर रहे ।
- नयी दिल्ली. भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) ने सोमवार को घरेलू स्तर पर सभी महिला और जूनियर क्रिकेट प्रतियोगिताओं में ‘प्लेयर ऑफ द मैच' (मैच का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी) और ‘प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट' (टूर्नामेंट का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी) पुरस्कार विजेताओं के लिए पुरस्कार राशि की शुरुआत की। सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में बीसीसीआई सचिव जय शाह शाह ने घोषणा की कि पुरुष क्रिकेट में विजय हजारे और सैयद मुश्ताक अली प्रतियोगिता में ‘प्लेयर ऑफ द मैच' के लिए पुरस्कार राशि दी जाएगी। शाह ने ट्वीट किया, ‘‘हम अपने घरेलू क्रिकेट कार्यक्रम के तहत सभी महिला और जूनियर क्रिकेट टूर्नामेंट में प्लेयर ऑफ द मैच और प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट के लिए पुरस्कार राशि की शुरुआत कर रहे हैं।'' उन्होंने कहा, ‘‘इसके अतिरिक्त सीनियर पुरुषों के लिए विजय हजारे और सैयद मुश्ताक अली टूर्नामेंट में प्लेयर ऑफ द मैच के लिए पुरस्कार राशि दी जाएगी। इस पहल का उद्देश्य घरेलू सर्किट में उत्कृष्ट प्रदर्शन को मान्यता देना और पुरस्कृत करना है।'' शाह ने कहा, ‘‘इस प्रयास में अटूट समर्थन के लिए शीर्ष परिषद को हार्दिक धन्यवाद। साथ मिलकर हम अपने क्रिकेटरों के लिए और अधिक बेहतर माहौल तैयार कर रहे हैं। जय हिंद।'' पिछले साल बीसीसीआई ने घरेलू टूर्नामेंटों के लिए पुरस्कार राशि में वृद्धि की थी और रणजी ट्रॉफी विजेता को पांच करोड़ रुपये का नकद पुरस्कार दिया गया था। ईरानी कप के लिए नकद पुरस्कार भी दोगुना कर दिया गया था जिसमें विजेताओं को 25 लाख रुपये के बजाय 50 लाख रुपये दिए गए थे और उपविजेता टीम को 25 लाख रुपये दिए गए थे। दलीप ट्रॉफी में अब चैंपियन को एक करोड़ रुपये और उपविजेता टीम को 50 लाख रुपये मिलते हैं जबकि विजय हजारे ट्रॉफी के विजेताओं को एक करोड़ रुपये और दूसरे स्थान पर रहने वाली टीम को 50 लाख रुपये मिलते हैं।
- दुबई. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने सोमवार को आगामी महिला टी20 विश्व कप के संशोधित कार्यक्रम की घोषणा की जिसके अनुसार भारतीय महिला टीम छह अक्टूबर को यहां चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान से भिड़ेगी। आईसीसी महिला टी20 विश्व कप तीन अक्टूबर से शुरू होगा, पहले इसे बांग्लादेश में कराया जाना था। लेकिन कई खिलाड़ियों के वहां राजनीतिक अशांति के कारण सुरक्षा संबंधित चिंतायें जताने के बाद अब इसे दुबई और शारजाह में आयोजित किया जा रहा है। इन दोनों स्थलों पर कुल 23 मैच खेले जायेंगे। टूर्नामेंट के ग्रुप समान रहेंगे जिसमें ग्रुप ए में गत चैम्पियन आस्ट्रेलिया को भारत, न्यूजीलैंड, पाकिस्तान और श्रीलंका के साथ रखा गया है। ग्रुप बी में दक्षिण अफ्रीका, इंग्लैंड, वेस्टइंडीज, बांग्लादेश और स्कॉटलैंड शामिल हैं।टूर्नामेंट में हर टीम चार ग्रुप मैच खेलेगी। प्रत्येक ग्रुप से दो शीर्ष टीमें 17 और 18 अक्टूबर को सेमीफाइनल में पहुंचेंगी और 20 अक्टूबर को दुबई में फाइनल खेला जायेगा। सेमीफाइनल और फाइनल दोनों के लिए एक ‘रिजर्व डे' रखा गया है। श्रीलंका और स्कॉटलैंड ने इस साल की शुरुआत में अबुधाबी में आयोजित आईसीसी महिला टी20 विश्व कप क्वालीफायर प्रतियोगिता के जरिए टूर्नामेंट के लिए क्वालीफाई किया था। टूर्नामेंट से पहले 28 सितंबर से एक अक्टूबर तक 10 अभ्यास मैच खेले जायेंगे।टूर्नामेंट का कार्यक्रम इस प्रकार है :3 अक्टूबर, गुरुवार, बांग्लादेश बनाम स्कॉटलैंड, शारजाह3 अक्टूबर गुरुवार, पाकिस्तान बनाम श्रीलंका, शारजाह4 अक्टूबर, शुक्रवार, दक्षिण अफ्रीका बनाम वेस्टइंडीज, दुबई4 अक्टूबर, शुक्रवार, भारत बनाम न्यूजीलैंड, दुबई5 अक्टूबर, शनिवार, बांग्लादेश बनाम इंग्लैंड, शारजाह5 अक्टूबर, शनिवार, आस्ट्रेलिया बनाम श्रीलंका, शारजाह6 अक्टूबर, रविवार, भारत बनाम पाकिस्तान, दुबई6 अक्टूबर, रविवार, वेस्टइंडीज बनाम स्कॉटलैंड, दुबई7 अक्टूबर, सोमवार, इंग्लैंड बनाम दक्षिण अफ्रीका, शारजाह8 अक्टूबर, मंगलवार, आस्ट्रेलिया बनाम न्यूजीलैंड, शारजाह9 अक्टूबर, बुधवार, दक्षिण अफ्रीका बनाम स्कॉटलैंड, दुबई9 अक्टूबर, बुधवार, भारत बनाम श्रीलंका, दुबई10 अक्टूबर, गुरुवार, बांग्लादेश बनाम वेस्टइंडीज, शारजाह11 अक्टूबर, शुक्रवार, आस्ट्रेलिया बनाम पाकिस्तान, दुबई12 अक्टूबर, शनिवार, न्यूजीलैंड बनाम श्रीलंका, शारजाह12 अक्टूबर, शनिवार, बांग्लादेश बनाम दक्षिण अफ्रीका, दुबई13 अक्टूबर, रविवार, इंग्लैंड बनाम स्कॉटलैंड, शारजाह13 अक्टूबर, रविवार, भारत बनाम आस्ट्रेलिया, शारजाह14 अक्टूबर, सोमवार, पाकिस्तान बनाम न्यूजीलैंड, दुबई15 अक्टूबर, मंगलवार, इंग्लैंड बनाम वेस्टइंडीज, दुबई17 अक्टूबर, गुरुवार, पहला सेमीफाइनल , दुबई18 अक्टूबर, शुक्रवार, दूसरा सेमीफाइनल , शारजाह20 अक्टूबर, रविवार, फाइनल, दुबई।
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पुणे। भारतीय खिलाड़ी अभिषेक कनपाला और प्रकृति भरत मंगलवार से यहां शुरू हो रहे योनेक्स सनराइज इंडिया जूनियर इंटरनेशनल ग्रां प्री बैडमिंटन टूर्नामेंट में क्रमश: भारतीय लड़कों और लड़कियों की अगुआई करेंगे। इस टूर्नामेंट में 13 देशों के कुल 280 खिलाड़ी हिस्सा लेंगे जिसका आयोजन भारतीय बैडमिंटन संघ (बीएआई) के तत्वावधान में पूना जिला महानगर बैडमिंटन संघ द्वारा किया जायेगा। यह टूर्नामेंट स्वर्गीय सुशांत चिपलकट्टी की स्मृति में आयोजित किया जाता है जो अब अंतरराष्ट्रीय जूनियर बैडमिंटन कैलेंडर का अहम हिस्सा बन गया है। मेजबान भारत के अलावा अमेरिका, संयुक्त अरब अमीरात (यूएई), आस्ट्रेलिया, इंडोनेशिया, थाईलैंड, नेपाल, मलेशिया, स्विट्जरलैंड, इंग्लैंड, ताइपे, ईरान के खिलाड़ी टूर्नामेंट में शिरकत करेंगे। इसके पिछले चरणों में साइना नेहवाल, पीवी सिंधू, किदांबी श्रीकांत, सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी, प्रियांशु राजावत और चिराग शेट्टी जैसे स्टार खिलाड़ी भी खेल चुके हैं। इसमें अंडर-19 लड़के और लड़कियों के एकल, युगल और मिश्रित युगल स्पर्धा खेली जायेंगी।
यह टूर्नामेंट बैडमिंटन विश्व महासंघ (बीडब्ल्यूएफ) सर्किट के अंतर्गत खिलाड़ियों को रैंकिंग अंक हासिल करने और अंतरराष्ट्रीय अनुभव प्राप्त करने का मौका प्रदान करता है। -
सेंट लुई (अमेरिका) । भारतीय ग्रैंडमास्टर आर प्रज्ञाननंदा ने ग्रैंड शतरंज टूर के अंतिम टूर्नामेंट सिंकफील्ड कप के छठे दौर में मौजूदा विश्व चैंपियन डिंग लिरेन के खिलाफ अपनी बाजी ड्रॉ खेली। विश्व चैंपियनशिप के चैलेंजर डी गुकेश ने फ्रांस के मैक्सिम वाचिएर लाग्रेव के साथ एक और दिलचस्प ड्रॉ खेला, लेकिन रूस के इयान नेपोम्नियाचची को हार का सामना करना पड़ा। वह अमेरिका के फैबियानो कारुआना से केवल 25 चाल में हार गए। छठे दौर अन्य मैचों में नीदरलैंड के अनीश गिरी और उज्बेकिस्तान के नोदिरबेक अब्दुसात्तोरोव तथा फ्रांस के अलीरेज़ा फ़िरोज़ा और स्थानीय खिलाड़ी वेस्ली सो ने अंक बांटे। अब जबकि तीन दौर की बाजियां खेली जानी बाकी हैं तब फिरोजा चार अंक लेकर शीर्ष बने हुए हैं। उनके बाद कारूआना और वेस्ली सो का नंबर आता है जिनमें से प्रत्येक 3.5 अंक हैं। प्रज्ञाननंदा, गुकेश, वाचिएर लाग्रेव और लिरेन तीन-तीन अंकों के साथ संयुक्त रूप से चौथे स्थान पर हैं, जबकि नेपोम्नियाचची और अब्दुसात्तोरोव उनसे आधा अंक पीछे हैं। अनीश गिरी दो अंकों के साथ अंतिम स्थान पर हैं।
- नयी दिल्ली. ओडिशा की रहने वाली तेरह वर्षीय तन्वी पत्री ने चीन के चेंग्दू में बैडमिंटन एशिया अंडर-17 एवं अंडर-15 प्रतियोगिता में अंडर-15 वर्ग में लड़कियों का एकल खिताब जीतकर भारत की सबसे होनहार बैडमिंटन प्रतिभाओं में से एक के रूप में अपनी स्थिति मजबूत कर ली है। तन्वी ने इस टूर्नामेंट में पूरे सप्ताह अच्छा प्रदर्शन किया तथा 34 मिनट तक चले फाइनल में वियतनाम की दूसरी वरीयता प्राप्त थी थू हुयेन गुयेन को 22-20, 21-11 से हराया। तन्वी ने कहा, ‘‘खिताब जीतने के बाद मैं अच्छा महसूस कर रही हूं। मुझे जीत की उम्मीद थी और मुझे खुशी है कि मैं ऐसा करने में सफल रही। मैं पिछले दो वर्षों से बेंगलुरु में प्रकाश पदुकोण बैडमिंटन अकादमी (पीपीबीए) में प्रशिक्षण ले रही हूं।'' उनके माता-पिता, रबीनारायण पत्री और शैलबाला पांडा, सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं। वे पहले चीन में काम करते थे जहां तन्वी ने बैडमिंटन खेलना शुरू किया था। कोविड महामारी के कारण यह परिवार 2020 में भारत लौट आया था। पीपीबीए के निदेशक विमल कुमार तन्वी में बहुत संभावनाएं देखते हैं, यहां तक कि उनकी तुलना भारत की सबसे प्रसिद्ध बैडमिंटन खिलाड़ियों में से एक पी वी सिंधू के शुरुआती दिनों से भी की जाती है। विमल ने कहा, ‘‘वह लगभग आठ या नौ साल की थी जब वह भारत आई और 2022 में अकादमी से जुड़ी। वह मुझे सिंधू की याद दिलाती है जब वह जूनियर वर्ग में खेला करती थी। कम उम्र में मैच जीतने की क्षमता अच्छा संकेत है। उसे अभी लंबा सफर तय करना है लेकिन जिस तरह से वह खेलती है उसे देखते हुए उसमें काफी संभावनाएं हैं।'' उन्होंने कहा,‘‘वह अपने आयु वर्ग के खिलाड़ियों से काफी आगे हैं। पिछले छह महीनों में उसने अंडर-17 टूर्नामेंट जीते हैं और कई सीनियर खिलाड़ियों को हराया है, जिसमें वर्तमान राष्ट्रीय चैंपियनशिप फाइनलिस्ट तन्वी शर्मा भी शामिल हैं।
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नयी दिल्ली. भारत की शीर्ष जूनियर शटलर तनवी पत्री ने शनिवार को चीन के चेंग्दू में ‘बैडमिंटन एशिया अंडर-17 और अंडर-15 जूनियर चैंपियनशिप' में अंडर-15 लड़कियों के एकल वर्ग में थाईलैंड की कुंगकेव काकानिक पर शानदार जीत के साथ फाइनल में अपनी जगह पक्की की। शीर्ष वरीयता प्राप्त तनवी को शुरुआती गेम में कड़ी टक्कर मिली लेकिन उन्होंने दूसरे गेम में अपनी प्रतिद्वंद्वी को कोई मौका नहीं दिया और 31 मिनट में 21-19, 21-10 से जीत दर्ज की। फाइनल में उनका मुकाबला दूसरी वरीयता प्राप्त वियतनाम की गुयेन थी थू हुइगेन से होगा, जिन्होंने दूसरे सेमीफाइनल में चीन की लियू यू टोंग को 21-18, 17-21, 21-19 से हराया। इससे पहले सामिया इमाद फारूकी ने 2017 में अंडर-15 लड़कियों के एकल वर्ग का खिताब अपने नाम करने में सफल रही थी और तस्नीम मीर 2019 में उसी वर्ग में विजयी रही थीं। लड़कों के अंडर-17 वर्ग में हालांकि जी दत्तू को सेमीफाइनल में इंडोनेशिया का रादिथ्या बायु वर्धन से हार का सामना करना पड़ा। वह कांस्य पदक के साथ देश लौटेंगे। इंडोनेशिया के खिलाड़ी ने पहले गेम को गंवाने के बाद शानदार वापसी करते हुए 9-21, 21-13, 21-13 से जीत दर्ज कर फाइनल का टिकट पक्का किया।
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नयी दिल्ली. दिग्गज पैरा एथलीट देवेंद्र झाझड़िया को लगता है कि स्टार भाला फेंक एथलीट नीरज चोपड़ा के लिए 90 मीटर दूर भाला फेंकना बस समय की बात है और उन्होंने भविष्यवाणी की कि वह एक या दो साल में 93 मीटर दूर भाला फेंक सकते हैं। चोपड़ा ने इस महीने की शुरुआत में पेरिस ओलंपिक में 89.45 मीटर भाला फेंककर रजत पदक जीता था। उन्होंने गुरुवार को फिर से लुसाने डायमंड लीग में 89.49 मीटर के थ्रो के साथ दूसरा स्थान हासिल किया। झाझड़िया खुद पैरा भाला फेंक के दिग्गज हैं और जिन्होंने एफ46 श्रेणी में दो पैरालंपिक स्वर्ण पदक जीते हैं। उन्होंने कहा कि जब चोपड़ा 90 मीटर की बाधा को पार करेंगे तो वह इसे बड़े अंतर से पार करेंगे जिसमें वह तीन से चार मीटर से आगे होंगे। झाझड़िया (43 वर्ष) ने पीटीआई से कहा, ‘‘अगर मैं भाला फेंक की भाषा में कहूं तो 89 से अधिक मीटर इस वक्त नीरज के लिए एक ‘बैरियर' बन गया है। मैंने अपने 20 साल के खेल करियर में देखा है कि जब कोई ‘बैरियर' टूटता है तो वह महज एक मीटर या उससे कम से नहीं बल्कि तीन से चार मीटर से टूटता है। '' उन्होंने कहा, ‘‘जब नीरज ऐसा करेंगे तो वह सिर्फ 90 मीटर से नहीं बल्कि तीन से चार मीटर दूर तक भाला फेंकेगे। मेरे शब्दों को याद रखना।'' मार्च में भारतीय पैरालंपिक समिति के अध्यक्ष चुने गए झाझड़िया ने कहा, ‘‘उम्र उनके पक्ष में है, 26 साल कोई उम्र नहीं है और मुझे उम्मीद है कि जब वह 28 या 29 साल के होंगे तब वह अपने शिखर पर होंगे। तब तक वह अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करेंगे। '' उन्होंने कहा, ‘‘वह बहुत अनुशासित और बहुत समर्पित हैं। मैंने यह तब देखा है जब हमने 2022 में फिनलैंड में साथ में ट्रेनिंग की थी। ''
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नयी दिल्ली. भारतीय पुरुष अंडर-17 फुटबॉल टीम रविवार और अगले मंगलवार को बाली में इंडोनेशिया के खिलाफ दो मैत्री मैच खेलने के लिए तैयारी में जुटी है। शुक्रवार की रात को टीम ने स्थानीय टीम बाली यूनाइटेड एफसी अंडर-20 के खिलाफ अभ्यास मैच खेला जो 2-2 से ड्रा रहा। भारत के लिए मोहम्मद समी और मोहम्मद अरबाश ने गोल किए। कोच इश्फाक अहमद की भारतीय अंडर-17 टीम अगले महीने भूटान में होने वाली सैफ अंडर-17 चैम्पियनशिप और उसके बाद अक्टूबर में थाईलैंड में होने वाले एएफसी अंडर-17 एशियाई कप क्वालीफायर की तैयारी में जुटी है। इंडोनेशिया जाने से पहले खिलाड़ी डेढ़ महीने से अधिक समय से श्रीनगर में ट्रेनिंग कर रहे थे। अहमद ने कहा, ‘‘हमने कल के अभ्यास मैच में अपनी पूरी टीम को आजमाया और परखा।
- नई दिल्ली. टीम इंडिया के स्टार बल्लेबाज शिखर धवन ने इंटरनेशनल क्रिकेट और घरेलू क्रिकेट से संन्यास का ऐलान कर दिया है. शिखर पिछले डेढ़ साल से टीम इंडिया से बाहर चल रहे थे. शिखर धवन ने अपने एक्स अकाउंट से एक वीडियो पोस्ट कर इसकी जानकारी दी. शिखर ने लिखा, मैं अपने क्रिकेट के सफ़र का यह अध्याय समाप्त कर रहा हूं. तो मैं अपने साथ अनगिनत यादें लेकर जा रहा हूं. प्यार और समर्थन के लिए धन्यवाद! जय हिंद!शिखर ने वीडियो पोस्ट कर कहा,” नमस्कार आज मैं एक ऐसे मोड़ पर खड़ा हूं जहां से पीछे देखने पर सिर्फ यादें नजर आती है. मेरी हमेशा से एक ही मंजिल थी कि मैं इंडिया के लिए खेलूं. जो कि हुआ भी. जिसके लिए मैं कई लोगों का शुक्रगुजार हूं. सबसे पहले मेरी फैमिली, मेरे बचपन के कोच. जिनके अंडर मैंने क्रिकेट सीखी. मैं इंटरनेशनल क्रिकेट और घरेलू क्रिकेट को अलविदा कह रहा हूं. मैं बीसीसीआई का भी बहुत शुक्रगुजार हूं. जिन्होंने मुझे मौका दिया.2010 में धवन को भारत की तरफ से ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वनडे से इंटरनेशनल डेब्यू करने का मौका मिला. साल 2011 में उन्होंने टी20 जबकि 2013 में टेस्ट क्रिकेट मे डेब्यू किया. धवन के करियर में सबसे अच्छा साल 2013 रहा. जब उन्होंने 26 वनडे मैचों में 1162 रन ठोक डाले. इसी साल धवन ने चैंपियंस ट्रॉफी में 5 मैच में 363 ठोके थे. भारत इस साल तीसरी बार आईसीसी इवेंट का चैंपियन बना था. इसके बाद धवन को टीम में लगातार मौके मिलते रहे.धवन ने भारत की तरफ से 167 वनडे, 68 टी20 और 34 टेस्ट मैच खेले हैं. टेस्ट में 7 शतक के साथ उनके नाम 2315 हैं जबकि वनडे में 17 शतकीय पारी की बदौलत 6782 रन बनाए हैं. टी20 में धवन ने 11 हाफ सेंचुरी जड़ते हुए 1759 रन बनाए हैं. धवन ने अपना आखिरी इंटरनेशनल मैच 10 दिसंबर 2022 को बांग्लादेश के खिलाफ ही खेला था. इसके बाद से उन्हें टीम इंडिया में कभी मौका नहीं मिला.
- चेन्नई ।पूर्व कप्तान वासुदेवन भास्करन ने गुरुवार को कहा कि भारत ने पेरिस ओलंपिक में सर्वश्रेष्ठ हॉकी खेली और टीम का कांस्य पदक जीतना स्वर्ण पदक से ज्यादा चमकदार था। भारत ने स्पेन को 2-1 से हराकर ओलंपिक में लगातार कांस्य पदक जीता।भास्करन ने कहा, ‘‘यह सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है। हम रजत या स्वर्ण पदक से चूक गए, लेकिन ऐसा होता है। भारत ने सर्वश्रेष्ठ हॉकी खेली।'' उन्होंने कहा, ‘‘मैं इस टीम के प्रदर्शन को स्वर्ण से बेहतर आंकूंगा। अगर प्लैटिनम पदक (स्वर्ण पदक से भी बेहतर) है तो टीम इसकी हकदार है। भारतीय टीम ने शुरुआती मैच से ही अच्छा प्रदर्शन किया और लगातार बेहतरीन हॉकी खेली।'' मास्को ओलंपिक (1980) के स्वर्ण पदक विजेता खिलाड़ी ने कहा कि वह टीम के दबाव झेलने की क्षमता से बेहद प्रभावित है। उन्होंने कहा, ‘‘हमने एक मैच (ब्रिटेन के खिलाफ) 10 खिलाड़ियों के साथ भी खेला था। ऐसे हमें इन परिस्थितियों से निपटने में निश्चित रूप से टीम और प्रबंधन को श्रेय देना चाहिए।'' भास्करन ने मुख्य कोच क्रेग फुल्टन की रक्षात्मक रणनीति की सराहना की। उन्होंने कहा, ‘‘वह (फुल्टन) पिछले दो वर्षों से सफलतापूर्वक टीम की कमान संभाल रहे हैं। उनकी रक्षात्मक प्रणाली अच्छी रही है। यह आक्रामक रणनीति की तरह दिखता है।'' भास्करन ने कहा, ‘‘कोच से अधिक खिलाड़ियों को श्रेय देना चाहिये। कोच योजना बनाता है, जबकि क्रियान्वयन खिलाड़ियों को करना होता है।'' अनुभवी भारतीय गोलकीपर पीआर श्रीजेश ओलंपिक के बाद संन्यास ले लिया। भास्करन ने विश्वास जताते हुए कहा कि युवा खिलाड़ी उनकी जगह की भरपाई कर सकते हैं। उन्होंने कहा, ‘‘एक दिन सभी को खेल को अलविदा कहना है। किसी को उसकी जगह लेनी है। क्या एमएस धोनी के संन्यास के बाद भारतीय टीम विश्व कप नहीं जीता?'' उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए खेल में संन्यास के बारे में सोचना व्यर्थ है, लेकिन हमें भविष्य के बारे में सोचना चाहिए। हमें सोचना चाहिए कि उन्हें (युवा खिलाड़ियों को) कैसे आगे बढ़ाया जाए, क्योंकि खेल में कोई भी अपराजेय नहीं है।''
- मुंबई। भारतीय क्रिकेट कप्तान रोहित शर्मा को बुधवार को यहां आयोजित ‘सिएट क्रिकेट रेटिंग अवार्ड्स 2023-24' में ‘मेन्स इंटरनेशनल क्रिकेटर ऑफ द ईयर' चुना गया, वहीं पूर्व हैड कोच राहुल द्रविड़ को ‘लाइफटाइम अचीवमेंट सम्मान' से नवाजा गया। भारतीय बल्लेबाज विराट कोहली को इस समारोह में ‘मेन्स ओडीआई बैटर ऑफ द ईयर' चुना गया, वहीं 2023 के क्रिकेट विश्वकप में सर्वाधिक विकेट लेने वाले मोहम्मद शमी को ‘ओडीआई बॉलर ऑफ द ईयर' घोषित किया गया। इस समारोह में यशस्वी जायसवाल को ‘मेन्स टेस्ट बैटर ऑफ द ईयर' और आर अश्विन को ‘मेन्स टेस्ट बॉलर ऑफ द ईयर' घोषित किया गया। खेल प्रशासन में उत्कृष्टता के लिए सम्मानित किए गए बीसीसीआई सचिव जय शाह ने कहा कि भारतीय टीम भविष्य में और ट्रॉफी प्राप्त करने पर ध्यान केंद्रित करेगी।
- मुंबई। भारत की स्टार ऑलराउंडर दीप्ति शर्मा आगामी महिला टी20 विश्व कप में अपनी टीम के लिए सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने पर ध्यान केंद्रित कर रही हैं और उन्हें लगता है कि आयोजन स्थल में अचानक परिवर्तन से उनकी टीम की तैयारियों पर कोई असर नहीं पड़ेगा। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने मंगलवार को बांग्लादेश में अशांति के बाद टी20 विश्व कप को यूएई में स्थानांतरित कर दिया। तीन से 20 अक्टूबर तक होने वाला यह टूर्नामेंट अब दुबई और शारजाह में होगा जिसमें बांग्लादेश मेजबानी के अधिकार को बरकरार रखेगा। इससे यह सुनिश्चित होगा कि उसे राजस्व का अपना हिस्सा मिले।दीप्ति ने कहा, ‘‘इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि विश्व कप कहां हो रहा है, मैं सिर्फ इस बात पर ध्यान केंद्रित करती हूं कि एक ऑलराउंडर के रूप में मैं टीम की सफलता में कैसे योगदान दे सकती हूं।'' उन्होंने कहा, ‘‘मैं बस अपना सब कुछ देना चाहती हूं और पिछले चार-पांच महीने हमारे लिए अच्छे रहे हैं। उम्मीद करते हैं कि अच्छा प्रदर्शन जारी रहेगा और इस बार हम ट्रॉफी के इंतजार को खत्म करेंगे। हमें थोड़ी जानकारी है कि यूएई के विकेट कैसे होंगे।'' इस ऑलराउंडर ने हाल के महीनों में बल्ले और गेंद दोनों से शानदार प्रदर्शन किया है और इस समय वह अपने क्रिकेट का लुत्फ उठा रही हैं। दीप्ति ने कहा, ‘‘मैं इस समय अपने क्रिकेट का लुत्फ उठा रही हूं और इससे मुझे अपने ऊपर से दबाव हटाने में मदद मिली है। मैंने अन्य अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटरों से सीखा है कि जब आप खेल का आनंद लेना शुरू करते हैं, तो आप मैदान पर बेहतर प्रदर्शन करते हैं।'' दीप्ति ने लंदन स्पिरिट वुमेन के लिए द हंड्रेड 2024 टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन किया और अपनी टीम को विजयी छक्का लगाकर उसका पहला खिताब दिलाया। उन्होंने कहा, ‘‘वह क्षण (लॉर्ड्स में हंड्रेड फाइनल में विजयी रन मारना) अद्भुत था, यही वह चीज है जिसकी मुझे कमी खल रही थी। यह हमेशा बहुत अच्छा होता है कि आप अपनी टीम के लिए मैच जीतें। मैंने भगवान को उनके आशीर्वाद के लिए धन्यवाद दिया क्योंकि ऐसी परिस्थितियों में आपको खुद पर विश्वास करने की जरूरत होती है। अगर आप ऐसा करते हैं, तो आप सफल होते हैं।''
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लुसाने. पेरिस ओलंपिक में ऐतिहासिक रजत पदक जीतने के दो हफ्ते बाद स्टार भारतीय भाला फेंक खिलाड़ी नीरज चोपड़ा गुरुवार को लुसाने डाइमंड लीग मीट में फिर भाग लेंगे और अगले महीने सत्रांत डाइमंड लीग ट्रॉफी को फिर से हासिल करने की कोशिश करेंगे। लंबे समय से ग्रोइन की चोट से जूझ रहे नीरज ने आठ अगस्त को पेरिस ओलंपिक में 89.45 मीटर के थ्रो के साथ रजत पदक जीता था। उन्होंने तीन साल पहले तोक्यो ओलंपिक में ऐतिहासिक स्वर्ण पदक अपने नाम किया था। दो बार के ओलंपिक पदक विजेता 26 साल के नीरज ने शनिवार को लुसाने में डायमंड लीग प्रतियोगिता में हिस्सा लेने की पुष्टि की थी जिसके कारण अब उनकी सर्जरी पर फैसला सत्र की समाप्ति के बाद होगा। नीरज 2022 में डाइमंड लीग चैंपियन थे और पिछले साल अमेरिका के यूजीन में ‘विनर-टेक-ऑल' डाइमंड लीग फाइनल में चेक गणराज्य के याकूब वाडलेच के बाद दूसरे स्थान पर रहे थे। मौजूदा सत्र का डाइमंड लीग फाइनल 14 सितंबर को ब्रुसेल्स में होगा। फाइनल के लिए क्वालीफाई करने के लिए उन्हें डाइमंड लीग मीटिंग सीरीज तालिका में शीर्ष छह में रहना होगा। पांच सितंबर को ज्यूरिख में एक और डाइमंड लीग प्रतियोगिता होनी है जिसमें पुरुषों की भाला फेंक स्पर्धा भी शामिल है। दस मई को दोहा डाइमंड लीग में वाडलेच के बाद दूसरे स्थान पर रहने से वह सात अंक के साथ चौथे स्थान पर हैं। आठ अगस्त को ओलंपिक फाइनल के बाद नीरज ने स्विट्जरलैंड में प्रशिक्षण शुरू कर दिया और चोट की समस्या के बावजूद इस सत्र को शानदार तरीके से समाप्त करने के लिए दृढ़ संकल्पित हैं। नीरज ने पिछले सप्ताह कहा था, ‘‘मैं डाइमंड लीग से पहले प्रशिक्षण के लिए स्विट्जरलैंड आया। सौभाग्य से मेरी चोट गंभीर नहीं हुई क्योंकि मैंने उसका अतिरिक्त ध्यान रखा।'' उन्होंने कहा, ‘‘मैंने अधिकतर अन्य एथलीटों की तरह अपना सत्र जारी रखने के बारे में सोचा। सत्र समाप्त होने में अभी एक महीना बाकी है। मैं अपने खाली समय में डॉक्टरों के पास जाऊंगा।'' नीरज का मुकाबला लुसाने में शीर्ष खिलाड़ियों से होगा जिसमें पेरिस ओलंपिक फाइनल में शीर्ष छह में जगह बनाने वाले पांच खिलाड़ी भी शामिल हैं। केवल पाकिस्तान के अरशद नदीम ही इस प्रतियोगिता में भाग नहीं ले रहे जिन्होंने 92.97 मीटर के ओलंपिक रिकॉर्ड थ्रो के साथ स्वर्ण पदक जीतकर एथलेटिक्स जगत को चौंका दिया था। नदीम सात जुलाई को पेरिस डाइमंड लीग में 84.21 मीटर के थ्रो के साथ चौथे स्थान पर रहे थे। यह एकमात्र डाइमंड लीग प्रतियोगिता और साथ ही ओलंपिक के अलावा एकमात्र टूर्नामेंट था जिसमें नदीम ने इस सत्र में हिस्सा लिया था। वह तालिका में पांच अंक के साथ छठे स्थान पर हैं। तोक्यो में रजत पदक जीतने के बाद पेरिस में 88.50 मीटर के थ्रो के साथ चौथे स्थान पर रहने वाले वाडलेच डाइमंड लीग खिताब को बचाने के लिए बेहतर प्रदर्शन करना चाहेंगे। दो बार के विश्व चैंपियन ग्रेनेडा के एंडरसन पीटर्स ने पिछले सत्र के खराब प्रदर्शन के बाद अच्छा प्रदर्शन किया है और वह लंबे थ्रो करने में सक्षम हैं। उन्होंने पेरिस ओलंपिक में 88.54 मीटर के साथ कांस्य पदक जीता था और वह अपने करियर में पहले ही 90 मीटर का आंकड़ा पार कर चुके हैं। - दुबई. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने मंगलवार को कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के सत्ता से बाहर होने के बाद बांग्लादेश में व्याप्त अशांति के कारण महिला टी20 विश्व कप को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में स्थानांतरित किया जाएगा। इस खेल के वैश्विक संचालक ने कहा कि इस टूर्नामेंट में भाग लेने वाले देशों की सरकारों द्वारा बांग्लादेश की यात्रा न करने की सलाह के बाद इस टूर्नामेंट का वहां आयोजन करना ‘संभव नहीं' था। इस विश्व कप को तीन से 20 अक्टूबर तक दुबई और शारजाह में आयोजित किया जाएगा। इसकी मेजबानी का अधिकार हालांकि बांग्लादेश के पास ही रहेगा जिससे यह सुनिश्चित होगा कि वह राजस्व का अपना हिस्सा प्राप्त कर सके।आईसीसी के मुख्य कार्यकारी ज्योफ एलार्डिस ने दक्षिण एशिया के इस देश में अशांति का जिक्र किये बिना कहा, ‘‘बांग्लादेश के लिए महिला टी20 विश्व कप की मेजबानी नहीं करना निराशाजनक है क्योंकि हम जानते हैं कि बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड (बीसीबी) ने एक यादगार आयोजन की तैयारी की थी।'' एलार्डिस ने कहा कि बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड ने ‘इसके आयोजन के लिए सभी विकल्प तलाशे हैं'। उन्होंने यहां जारी बयान में कहा, ...लेकिन कई भाग लेने वाली टीमों की सरकारों से यात्रा संबंधी सलाह का मतलब है कि वहां इसका आयोजन संभव नहीं था। बांग्लादेश हालांकि मेजबानी के अधिकार बरकरार रखंगा। हम निकट भविष्य में बांग्लादेश में एक आईसीसी वैश्विक टूर्नामेंट आयोजित करने की कोशिश करेंगे।'' शेख हसीना के नेतृत्व वाली अवामी लीग सरकार के पतन के बाद देश भर में भड़की हिंसा की घटनाओं में 230 से अधिक लोग मारे गए हैं। देश में एक अंतरिम सरकार का गठन किया गया है और 84 वर्षीय नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस को इसका मुख्य सलाहकार नामित किया गया है। पूर्व प्रधानमंत्री के करीबी माने जाने वाले बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड के अध्यक्ष नजमुल हसन पापोन भी देश छोड़कर भाग गए हैं। आईसीसी का यह फैसला ऑस्ट्रेलिया की टी20 कप्तान एलिसा हीली द्वारा सोमवार को वहां खेलने को लेकर आशंका व्यक्त करने के बाद आया है। ‘एएपी' के अनुसार एलिसा ने क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया से कहा, ‘‘मुझे इस समय वहां खेलने के बारे में सोचना मुश्किल लग रहा है, एक इंसान के तौर पर मुझे लगता है कि ऐसा करना गलत होगा।'' उन्होंने कहा, ‘‘यह ऐसे देश से संसाधन छीनना होगा जो काफी संघर्ष कर रहा है। उन्हें उन सभी लोगों की जरूरत है जो मर रहे लोगों की मदद के लिए वहां पहुंच सकें।'' एलार्डिस ने कहा कि आयोजन स्थल को बदलने का निर्णय लेने से पहले सभी उपलब्ध विकल्पों का पता लगाया गया था। उन्होंने कहा, ‘‘मैं एमिरेट्स क्रिकेट बोर्ड (ईसीबी) को बीसीबी की ओर से मेजबानी करने के लिएए श्रीलंका और जिम्बाब्वे को उनके प्रस्तावों के लिए धन्यवाद देना चाहता हूं। हम 2026 में उन दोनों देशों में आईसीसी वैश्विक आयोजन देखने के लिए उत्सुक हैं।'' यूएई एक व्यवहार्य स्थल था क्योंकि दुबई और शारजाह दोनों एक-दूसरे के करीब स्थित हैं और वहां टूर्नामेंट आयोजित करने की लागत में भारी वृद्धि नहीं होगी।