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- क्या आप जानते हैं कि कपड़ों को ठीक से न धोना, कपड़ों को धूप में न सुखाना, नहाने के बाद शरीर को सूखे कपड़े से न पोछना, कपड़े धोने के लिए कई दिन पहले ढेर लगा देना या कपड़े धोने के बाद हाथ न धोना आदि कारण आपको बीमार कर सकते हैं? इसलिए कपड़ा दोते और सूखाते समय सावधानियां बरतें....कपड़ों को धोने और सुखाने को लेकर की जाने वाली ये गलतियां1. संक्रमित व्यक्ति के कपड़ों को स्वस्थ व्यक्ति के कपड़ों के साथ धोनाघर में अगर कोई व्यक्ति संक्रमित है तो उसके कपड़ों को बाकी कपड़ों से अलग रखना चाहिए। इससे वायरस अन्य के कपड़ों में नहीं फैलता। कपड़ों पर कोरोना का इंफेक्शन कितने समय तक रहता है इस पर अभी स्पष्टता नहीं है, लेकिन विशेषज्ञों की राय है कि कोविड मरीजों के कपड़े बाकी लोगों के कपड़ों से अलग धोने चाहिए और इन्हें डिसइंफेक्ट करके धोना चाहिए।2. कपड़ों को धोने के लिए कई दिनों तक जमा करते रहनाअक्सर घरों में आदत होती है कि कपड़े धोने के लिए कई दिन पहले ही कपड़ों का ढेर जमा कर दिया जाता है। डॉक्टर का कहना है कि वायरस या फंगल तो कुछ दिन मर जाएगा लेकिन डायरिया पैदा करने वाले बैक्टिरिया जिंदा रहते हैं। अगर कपड़ों में नमी रहती है तो जम्र्स उन पर लंबे समय तक रह सकते हैं। जब हम कपड़ों को धोने के लिए एक साथ जमा करते हैं तो उसमें अंडरववियर्स भी होते हैं, जिनसे यीस्ट जैसे जेनिटल इंफेक्शन फैलना का खतरा रहता है। बच्चे का एक्सपोजर बाकी लोगों से ज्यादा होता है, इस वजह से उनके कपड़ों में जम्र्स ज्यादा होते हैं। अगर आप सभी के कपड़े लॉन्ड्री के लिए एक साथ डालते हैं तो किटाणुओं के फैलने का खतरा ज्यादा बढ़ जाता है।3. ज्यादा डिटरजेंट का इस्तेमाल करनाकपड़ों में ज्यादा डिटरजेंट का प्रयोग करने से स्किन एलर्जी, ड्राइनेस, जलन होने लगती है। इसके लिए आप मॉश्चराइज का प्रयोग करें। साथ ही कपड़ों के लिए तो ज्यादा डिटरजेंट का प्रयोग करने से कपड़़ों का रंग फेड हो जाता है।4. घर के अंदर कपड़े सुखानाघर के अंदर कपड़े सुखाने से कपडो़ं में नमी रह जाती है जिस वजह से कमरे के अंदर भी नमी रहती है और वह फंगल का कारण बनती है। घर के अंदर कपड़ो को सुखाने से कमरे के एनवायरमेंट में 30 फीसद तक मॉश्चर बढ़ जाता है। यह फंगल आंखों को प्रभावित करता है।क्यों जरूरी है कपड़ों को ठीक से धोना और सुखाना?कपड़ों को ठीक से न धोने या सुखाने के कारण कपड़ों में नमी और बैक्टीरिया रह जाते हैं जिसकी वजह से कई गंभीर बीमारियां हो सकती हैं।स्किन डर्मेटाइटिसयह त्वचा पर एक तरह की एलर्जी ही होती है। यह कपड़ों को ठीक तरह से नहीं सुखाने की वजह से होती है। क्योंकि कपड़ों में नमी रह जाती है। जिस वजह से त्वचा पर एलर्जी होती है।फंगल इंफेक्शनदाद आदि का कारण फंगल इंफेक्शन है। कपडो़ं को जब ठीक तरीके से सुखाते नहीं हैं, तो यह परेशानी होती है। जो लोग नहाने के बाद भी शरीर को सुखाते नहीं हैं। कपड़े पहनते हैं और त्वचा पर नमी बनी रहती है। जिस वजह से फंगल इंफेक्शन की परेशानियां बढ़ती हैं। आपको कपड़ों की वजह से स्किन डिजिज हुई है तो वह दवा खाने से ठीक हो जाएगी पर वापस ठीक से न सुखाए हुए कपड़ों को पहनेंगे तो फिर फंगल की परेशानी हो सकती है।कपड़ों को धूप में सुखाएँकपड़ों को धूप में सुखाना बहुत जरूरी है। अगर हम ऐसा नहीं करते हैं तो कपड़ों में नमी की वजह से अस्थमा व अन्य रेस्पाइरेटी प्रॉबल्म्स के लक्षण पैदा हो सकते हैं। इन परेशानियों की वजह से इम्युन सिस्टम कमजोर होता है। इसलिए कपडो़ं को धूप में सुखाना जरूरी है।
- पूजा-पाठ में कपूर का इस्तेमाल काफी किया जाता है। यह कपूर के पेड़ की छाल से प्राप्त होता है। जिसमें प्राकृतिक रूप से औषधीय गुण पाए जाते हैं। यह पेड़ मूल रूप से भारत व चीन से संबंध रखता है। कपूर का पेड़ सदाबहार होता है, जिसका विकास काफी तेजी से होता है। कपूर का तेल भी कई समस्याओं के इलाज में इस्तेमाल किया जाता है। इसका साइंटिफिक नाम सिनामोमस कैफोरा होता है, जो कि लॉरेसी कुल से ताल्लुक रखता है। इसकी गंध काफी तेज होती है। कपूर में टरपीन होता है, जिसके इस्तेमाल से स्वास्थ्य को काफी फायदे मिलते हैं। आइए इन कपूर के फायदों के बारे में जानते हैं।कपूर के फायदेदेश के जाने-माने आयुर्वेदिक एक्सपर्ट व ‘‘इंक्रेडिबल आयुर्वेदा’’ के संस्थापक डॉ. अबरार मुल्तानी का कहना है कि चेहरे के दागों को कम करने के लिए भीमसेनी कपूर का प्रयोग किया जाता है। इसके अलावा, त्वचा में अधिक रूखापन होने की वजह से त्वचा शुष्क और दाग-धब्बों वाली हो जाती है। मगर कपूर को नारियल तेल में मिलाकर लगाने से त्वचा का रूखापन दूर हो जाता है। कपूर के चूर्ण को बरगद के दूध में पीसकर आंखों में काजल की तरह लगाने से आंखों के रोगों में लाभ होता है। कपूर के घरेलू इस्तेमाल से निम्नलिखित अन्य फायदे भी प्राप्त हो सकते हैं। जैसे-त्वचा की खुजली व जलनकपूर में एसेंशियल ऑयल मौजूद होता है, जो कि त्वचा की खुजली व जलन से राहत दिलाने में फायदेमंद होता है। इस एसेंशियल ऑयल को त्वचा आसानी से सोख लेती है और स्किन को ठंडक मिलती है। त्वचा की खुजली व जलन के लिए नारियल तेल के एक कप में एक चम्मच पिसा हुआ कपूर मिक्स कर लें। इस मिश्रण को प्रभावित त्वचा पर लगाएं।बालों के लिए फायदेमंदकई शोधों के अनुसार कपूर को बालों के लिए फायदेमंद माना जाता है। बाल झड़ने, बालों को मजबूत बनाने और रूसी का इलाज करने के लिए कपूर का इस्तेमाल किया जा सकता है। इस घरेलू उपाय के लिए नारियल तेल के साथ कपूर को मिलाएं। इस मिश्रण से सिर की मसाज करने पर आपको रूसी से निजात मिल सकती है और बाल मजबूत हो जाते हैं।जोड़ों के दर्द से राहतजो लोग अपने जोड़ों के दर्द से परेशान रहते हैं, वह घरेलू उपचार के रूप में कपूर का इस्तेमाल कर सकते हैं। कुछ शोध के मुताबिक, कपूर के तेल में गर्माहट पहुंचाने वाले तत्व मौजूद होते हैं, जो नसों की संवेदनशीलता को कम करने में मदद कर सकते हैं और आपको दर्द से राहत मिलती है। जोड़ों के दर्द से राहत पाने के लिए तिल का तेल गर्म करके उसमें कपूर मिक्स कर लें और इस मिश्रण से जोड़ों पर मालिश करें।कपूर के फायदे- मुंहासों से राहतकपूर में एंटी-बैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं। जो त्वचा पर मुंहासों से राहत दिला सकते हैं। कुछ रिसर्च के मुताबिक जिन लोगों की त्वचा ऑयली होती है, उनके लिए कपूर ज्यादा फायदेमंद होता है। इस घरेलू उपाय के लिए एक कप नारियल के तेल में कपूर की दो छोटी टिक्की मिलाएं और इसकी थोड़ी-सी मात्रा प्रभावित त्वचा पर लगाएं।दरार वाली व कटी एड़ियांअगर आपकी एड़ियों में कट या दरार है, तो आप कपूर का इस्तेमाल कर सकते हैं। इस समस्या के घरेलू इलाज के लिए पानी से भरी हुई बाल्टी में 10 से 12 कपूर की टिक्की डाल लें। अब इस पानी में अपनी एड़ियों को 10 से 15 मिनट तक डालकर रखें। इस घरेलू उपाय से आपकी एड़ियां मुलायम हो जाएंगी और दरार भर जाएंगी।कपूर के इस्तेमाल से जुड़ी सावधानियांघरेलू उपाय के लिए कपूर का इस्तेमाल करने से पहले आपको इन सावधानियों का जरूर ध्यान रखना होगा। जैसे-कपूर से कुछ लोग संवेदनशील हो सकते हैं। इसलिए इसका इस्तेमाल करने से पहले पैच टेस्ट जरूर कर लें।सिर्फ कपूर के ऑयल को सीधा त्वचा पर न लगाएं, यह हानिकारक हो सकता है।कम उम्र के बच्चों या गर्भवती व स्तनपान कराने वाली महिलाओं को इसका इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।कपूर का मुंह से सेवन नहीं करना चाहिए।कपूर का इस्तेमाल करने से पहले अपने डॉक्टर से इस बारे में चर्चा जरूर कर लें।
- लोग घंटों तक टॉयलेट में बैठे रहते हैं, मगर फिर भी पेट साफ नहीं हो पाता। कब्ज के रोगी को ऐसी स्थिति का कई बार सामना करना पड़ता है। पेट साफ न होने के कारण न सिर्फ आपका मूड खराब रहता है, बल्कि आपका ध्यान पूरे दिन अपने पेट की अकड़ाहट पर ही लगा रहता है। कब्ज की समस्या सिर्फ असहजता या मूड खराब करने का कारण ही नहीं बनती। बल्कि इसकी वजह से आपको बवासीर, फिस्टुला आदि जैसी गंभीर समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है। कब्ज की परेशानी को दूर करने के लिए आपको कुछ चीजों से दूरी तुरंत बना लेनी चाहिए। आइए, इन खास चीजों के बारे में जानते हैं।आलस और शारीरिक असक्रियतालोग आलस के कारण बेड, सोफे, कुर्सी, गाड़ी आदि पर बैठे हुए ही पूरा दिन निकाल देते हैं और इसी कारण उन्हें सुबह-सुबह कमोड पर भी बैठे रहना पड़ सकता है। क्योंकि, आलस के कारण उत्पन्न हुई शारीरिक असक्रियता से आपका पाचन तंत्र कमजोर हो जाता है और ढंग से कार्य नहीं करता है। इसके बाद खाना अच्छी तरह पच नहीं पाता और पेट की मांसपेशी उसे आसानी से बाहर भी नहीं निकाल पाती हैं।शराब के साथ चाय-कॉफी भी नहीं है फायदेमंदभारत में यह मान्यता काफी प्रचलित है कि चाय-कॉफी का सेवन करने से पेट साफ करने में मदद मिलती है। दरअसल, आप किसी भी गर्म तरल पदार्थ से यह फायदा प्राप्त कर सकते हैं। जिससे आपकी मसल्स बेहतर तरीके से काम करने लगती हैं। मगर चाय-कॉफी के साथ दिक्कत यह है कि इनमें मौजूद कैफीन का ज्यादा मात्रा में सेवन करने पर शरीर में गलत नतीजे भी दिख सकते हैं और कब्ज की समस्या और गंभीर हो सकती है। शराब भी अत्यधिक कैफीन की तरह शरीर में डिहाइड्रेशन की स्थिति बनाती है और कब्ज की दिक्कत को बढ़ाती है।प्रोसेस्ड फूड से बचेंप्रोसेस्ड फूड के सेवन से कब्ज के रोगी को दूर रहना चाहिए। क्योंकि यह स्वस्थ लोगों में भी पेट की समस्या पैदा कर सकता है। प्रोसेस्ड व जंक फूड में फैट की मात्रा बहुतायत में होती है। जो कि हमारा पाचन तंत्र सही तरीके पचा नहीं पाता और उसपर दबाव आने लगता है। इससे पाचन की प्रक्रिया धीमी हो जाती है और पेट साफ नहीं हो पाता।डेयरी उत्पाद से भी बना लें दूरीडेयरी उत्पाद आपकी कब्ज के पीछे का बड़ा कारण हो सकता है। क्योंकि कुछ लोगों में दूध व इससे बने अन्य उत्पादों में मौजूद प्रोटीन के प्रति संवेदनशीलता होती है। जिसे उनका पाचन तंत्र उसे ठीक तरीके से पचा नहीं पाता और कब्ज की दिक्कत हो सकती है।कुछ निश्चित दवाओं का सेवनहार्वर्ड हेल्थ पब्लिशिंग की रिपोर्ट के मुताबिक एंटी-डिप्रेसेंट (अवसाद का इलाज करने वाली दवाएं), ब्लड प्रेशर कम करने वाली दवाएं, यूरिनरी इनकॉन्टिजेंस का इलाज करने वाली दवाएं आदि आपकी कब्ज के पीछे का कारण बन सकती हैं। अगर आप भी ऐसी ही किसी दवा का सेवन कर रहे हैं और कब्ज की समस्या झेल रहे हैं, तो अपने डॉक्टर से बात करें।
- हर कोई खूबसूरत दिखना चाहता है, इसके लिए लिए वह महंगे प्रोडक्ट खरीदता है. अगर आप भी चमकती और दमकती त्वचा चाहते हैं तो आपको अपने खान पान पर ज्यादा फोकस करना होगा. क्योंकि कई कई विटामिन्स ऐसे होते हैं, जिनकी मात्रा अगर हमारे शरीर में कम हो जाए तो स्किन की चमक चली जाती है.यही वजह है कि स्किन एक्सपर्ट्स भी मानते हैं कि चेहरे के दाग धब्बों को मेकअप से छुपाने के बजाय उसके कारणों को जानकर सही उपाय करना चाहिए. इस खबर में हम आपके लिए हेल्दी स्किन के लिए जरूरी विटामिन्स के बारे में जानकारी दे हैं.विटामिन एविटामिन-ए त्वचा को जवां रखने के लिए बेहद जरूरी है, क्योंकि ये स्किन सेल्स को रीजेनरेट करता है, जो लोग ड्राय स्किन और मुंहासों से परेशान हैं, उन्हें इस विटामिन युक्त फूड्स का सेवन जरूर करना चाहिए. विटामिन ए त्वचा को मुलायम और कोमल बनाने में मदद करता है.इन चीजों से मिलेगा विटामिन एआम, तरबूज, गाजर, पपीता और मछलीविटामिन बी कॉम्प्लेक्सबी कॉम्प्लेक्स विटामिन्स स्किन को बेहतर करने में मदद करता है. ये सेरामाइड और फैटी एसिड के उत्पादन को बढ़ावा देता है, जो स्किन बैरियर को बेहतर करने में मदद करते हैं. साथ ही, पिग्मेंटेशन की परेशानी को कम करता है. जो लोग ऑयली स्किन से परेशान रहते हैं, उनके लिए ये विटामिन जरूरी है क्योंकि ये सीबम के प्रोडक्शन को कम करता है, जिससे स्किन पर ऑयल कम नजर आता है।इन चीजों से मिलेगा विटामिन बी कॉम्प्लेक्ससाबुत अनाज, फल, सब्जियों और दहीविटामिन सीस्किन एक्सपर्ट्स बताते हैं कि विटामिन सी की कमी से चेहरे पर लाल रंग के दाने निकल आते हैं, इसके बाद वह चेहरा बेजान दिखने लगता है और असमय ही चेहरे पर झुर्रियां आ जाती है.इन चीजों से मिलेगा विटामिन-सीखट्टे फल जैसे नींबू, संतरा, पालक , फूलगोभी, ब्रोकोली आलू, शकरकंदविटामिन डीविटामिन डी जिसे सनशाइन विटामिन भी कहते हैं, ये स्किन के लिए बहुत जरूरी और फायदेमंद है. इसकी कमी से चेहरे पर पिंपल्स और मुंहासे ज्यादा निकलने लगते हैं.इन चीजों से मिलेगा विटामिन डीअंडे, दूध, दही, मशरूम, पनीर, मक्खन, चीज और मछली
- भारत में चावल का इस्तेमाल घर-घर में होता है. क्योंकि चावल लगभग सभी लोगों को बहुत पसंद होता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि चावल का पानी भी बहुत काम की चीज होता है. चावल का पानी जिसे भारत के कई हिस्सों में मांड भी कहा जाता है, इसका इस्तेमाल करना बहुत फायदेमंद होता है. शरीर को हाइड्रेटेड रखने के लिए चावल का पानी बहुत अच्छा माना जाता है, दरअसल, चावल में कई प्रकार के पौषक तत्व पाए जाते हैं. जब हम चावल को धोते हैं तो यह पौषक तत्व उस पानी में निकलते हैं. ऐसे में ऐसे में चावल का पानी पीने से शरीर हाइड्रेटेड रहता है और कमजोरी नहीं होती है.कंट्रोल रहता है ब्लड प्रेशरचावल का पानी ब्लड प्रेशर को भी कंट्रोल करने में सहायक माना जाता है. दरअसल, चावल के पानी में सोडियम पर्याप्त मात्रा में पाई जाती है. इसलिए जिन लोगों को ब्लड प्रेशर की समस्या रहती है उन लोगों को चावल का पानी पीने की सलाह दी जाती है. ऐसे में जिन लोगों को यह समस्या होती है वह चावल के पानी का इस्तेमाल कर सकते हैं.पेट रखता है साफचावल का पानी पीने से पेट साफ रहता है. जिससे डाइजेशन सिस्टम भी ठीक रहता है. अगर आप चावल के पानी का इस्तेमाल करते हैं तो इससे आपको गैस और कब्ज जैसी समस्या होती है, तो यह चावल के पानी से दूर हो जाती है. इसलिए पेट साफ रखने के लिए चावल के पानी का इस्तेमाल किया जाता है.चावल का पानी त्वचा के लिए होता है फायदेमंदचावल के पानी में खनिज, विटामिन्स, अमीनो एसिड और एंटी ऑक्सडेंट्स फेरुलिक एसिड पाया जाता है. ये सभी पोषण हमारी स्किन और बालों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है. त्वचा की चमक बढ़ाने के लिए चावल का पानी अच्छा रहता है. इसके अलावा सूखी त्वचा, खुले छिद्र और मुँहासे जैसी समस्याओं से निपटने के लिए चावल के पानी का उपयोग करने की सलाह दी जाती है. ऐसे में मुलायम त्वचा बनाए रखने के लिए चावल के पानी का इस्तेमाल किया जा सकता है.एनर्जी रहती है शरीर मेंचावल के पानी से शरीर में एनर्जी बनी रहती है. चावल का पानी में शरीर के ऊर्जा का बेहतरीन स्त्रोत है जो कार्बोहइड्रेट से भरपूर है. सुबह के समय इस पानी को पीना एनर्जी बूस्ट करने के बढ़िया तरीका है. अगर आप हर दिन एक गिलास चावल के पानी का सेवन करते हैं तो इससे आपके शरीर को भरपूर एनर्जी मिलेगी और दिनभर आप मजबूत रहेंगे. इसलिए स्वस्थ शरीर के लिए चावल के पानी का इस्तेमाल किया जा सकता है.
- लंबे और घने बालों की चाह किसे नहीं होती है, लेकिन कुछ लोगों के बाल कम उम्र से ही झडऩे और टूटने लगते हैं। दिन में कुछ बालों का टूटना प्राकृतिक रूप से नुकसानदेह नहीं है। आमतौर पर दिनभर में कुछ बाल टूटते व गिरते हैं। लेकिन अगर आपके सिर से रोजाना अधिक बाल टूटते हैं तो यह निश्चित तौर पर चिंता का विषय हो सकता है। कई घरेलू नुस्खे आजमाने के बाद भी अगर आपके बालों का टूटना नहीं रुक रहा है तो हम आपको ऐसा नुस्खा बताएंगे, जिसकी मदद से बाल मजबूत और चमकदार बनेंगे। बालों पर आम की पत्तियां लगाने से बालों से जुड़ी तमाम समस्याएं खत्म हो सकती हैं। यही नहीं, इससे बालों के सफेद होने की समस्या को भी कम करते हैं। आम की पत्तियां विटामिन ए और विटामिन सी का अच्छा स्त्रोत होती हैं। जो आपके कोलेजन के उत्पादन को बढ़ाती हैं और बालों को घना और चमकदार बनाने में मदद करती हैं। चलिए जानते हैं इससे होने वाले फायदों के बारे में।1. बालों के विकास में मददगारआम की पत्तियां बालों के विकास में काफी मददगार साबित होती हैं। इन पत्तियों में विटामिन सी और विटामिन ए के साथ एंटीऑक्सीडेंट्स की भी मात्रा पाई जाती है, जो बालों के विकास में मदद करती हैं। यह आपके स्कैल्प में मौजूद रक्त वाहिकाओं को भी क्षति पहुंचने से बचाती हैं। यही नहीं आम की पत्तियों में नैचुरल ऑयल मौजूद होता है, जो प्राकृतिक तरह से बालों की देखभाल करता है। इसमें पाए जाने वाले एंटी ऑक्सीडेंट्स आपके बालों को समय से पहले बूढ़ा या सफेद होने से बचाता है। इसलिए अगर आपके बालों का विकास भी रुक गया है तो स्कैल्प पर आम की पत्तियों का प्रयोग कर सकते हैं। इसके लिए बालों में आम की पत्तियों का पेस्ट लगाएं।2. बालों को सफेद होने से रोकेआम की पत्तियों में पोटैशियम , मैग्नीशियम के साथ ही फ्लेवोनॉइड्स मौजूद होते हैं, जो बालों की ग्रोथ के साथ ही बालों को उम्र से पहले सफेद होने से बचाते हैं। इसमें मौजूद विटामिन सी और विटामिन ए आपके कोलेजन के उत्पादन को बढ़ाते हैं, जिससे बाल बढऩे के साथ ही सफेद होना भी कम होते हैं।3. बालों को घना और चमकदार बनाएबालों को बिना किसी साइड इफेक्ट के काला और घना बनाने के लिए आम की पत्तियों का इस्तेमाल करना कारगर विकल्प माना जाता है। इसमें पाए जाने वाले फ्लेवोनॉइड की मात्रा आपके बालों को प्राकृतिक रूप से काला, घना और चमकदार बनाने में मदद करता है। इसके लिए आम की पत्तियों से बना हेयर मास्क का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। या फिर इसका पेस्ट बनाकर स्कैल्प पर लगा सकते हैं।4. डायबिटीज में मददगारआम की पत्तियों में एंटी-डायबिटिक गुण मौजूद होते हैं, जो डायबिटीज के खतरे को कम करते हैं। इसका सेवन डायबिटीज के मरीजों को ब्लड शुगर लेवल से निजात दिलाता है। इसमें पेक्टिन नामक तत्व पाए जाने के साथ ही विटामिन सी और फाइबर की भी प्रचुरता होती है, जो डायबिटीज के रोगियों के लिए काफी मददगार होती हैं। इसके लिए इसके पत्तों का सेवन करने की जरूरत नहीं है। इसलिए लिए पानी में आम की कुछ पत्तियां डालनी हैं और कुछ देर बाद पत्तियां निकालकर केवल पानी का सेवन करना है। इससे ब्लड शुगर लेवल नियंत्रित रहेगा।5. वजन घटाने में मददगारआम की पत्तियां वजन घटाने में भी काफी मददगार मानी जाती हैं। आम की पत्तियां शरीर में लेप्टिन हार्मोन को बढ़ाने में सहायक होती हैं, जिससे वजन नियंत्रित होता है। इसके लिए भी आम की पत्तियों का पानी पीने की जरूरत है। इससे आपका पाचन तंत्र भी दुरुस्त रहता है।6. . पोषक तत्वों से भरपूरआम के साथ ही इसकी पत्तियां भी पोषक तत्वों से भरपूर होती हैं। आम की पत्तियों में एंटी ऑक्सीडेंट्स, फ्लेवोनॉइड्स, विटामिन सी, विटामिन ए, एंटी डायबिटिक प्रॉपर्टीज, एंटी कैंसर प्रॉपर्टीज, पेप्टिन्, पॉलीफेनॉल्स, मैगनीशियम, तांबा और पोटैशियम आदि जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर में हो रही तमाम परेशानियों से लडऩे में काम आते हैं।
- पपीता न सिर्फ त्वचा में निखार लाता है, बल्कि हमें कई गंभीर बीमारियों से बचाता है। पपीता में विटामिन ए की मात्रा अधिक होती है, जो आंखों की रोशनी के लिए सबसे अच्छा माना जाता है। इसके अलावा इसमें पाए जाने वाला विटामिन सी हड्डियों के लिए अच्छा होता है, जो आर्थराइटिस जैसी गंभीर बीमारी से भी बचाता है।आयुर्वेदिक विशेषज्ञों के मुताबिक पपीता में फाइबर, पोटेशियम और विटामिन होता है। इसके सेवन से ह्दय से जुड़ी समस्याओं से छुकारा मिल सकता ह। नियमित तौर पर अगर आप इसे डाइट में पपीता शामिल करने से आपको कई जबरदस्त फायदे होते हैं।डाइजेशन में मददपपीता कब्ज की समस्या से छुटकारा दिलाता है. इससे पेट साफ रहता है। ये आंखों के लिए लाभकारी माना जाता है। इस फल में विटामिन सी, फोलेट और विटामिन ई होता है, जो पेट में टॉनिक बनाता है और गति बीमारी को कम करता है।गठिया की बीमारी से दिलाएगा राहतपपीता गठिया की बीमारी के खिलाफ इस्तेमाल करना चाहिए. इसे खाने से गठिया की बीमारी से छुटकारा मिल सकता है, क्योंकि इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी एंजाइम अच्छी मात्रा में पायी जाती है, जो गांठ के चलते होने वाले दर्द में अपना खास असर दिखाती है।हाई ब्लड प्रेशर की समस्या को कम करता हैहाई ब्लड प्रेशर की समस्या होने पर डाइट में पपीता को जरूर शामिल करें। ये ब्लड प्रेशर को सही बनाये रखने में मदद करता है। इसमें पोटैशियम काफी मात्रा में होता है.त्वचा के लिए फायदेमंदपपीता आपकी त्वचा को युवा और हेल्दी बनाता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सिडेंट अत्यधिक मुक्त कणों को बेअसर करने के लिए जिम्मेदार होते हैं, जो त्वचा को नुकसान, सैगिंग और झुर्रियों का कारण बनते हैं। लाइकोपीन और विटामिन सी से भरपूर, पपीता उम्र बढऩे के संकेतों को कम करने में भी मदद करता है।इम्युनिटी मजबूत करता है पपीतापपीता में विटामिन ए, विटामिन सी, फाइबर, एनर्जी जैसे पौष्टिक तत्व होते हैं, जो शरीर को कई बीमारियों के खतरे से बचाते हैं। इसके साथ ही पपीता खाने से इम्यूनिटी बढ़ती है, क्योंकि पपीता शरीर के लिए आवश्यक विटामिन सी और कई जरूरी पोषक तत्वों की कमी को पूरा करने में मदद कर सकता है।
- कभी मौसम बदलने पर या कुछ स्पेशल खाने का मन होता है तो सबसे पहले पकोड़ों की याद आती है। पकौड़े जल्दी से बन जाते हैं। अरबी के पत्ते आपने जरुर देखे होंगे और इस से बनने वाली अरबी की सब्जी भी जरूर खाई होगी, लेकिन क्या आपने कभी अरबी के पकौड़े खाए हैं. इसकी सब्जी भी बनती है और पकौड़े भी। इसके पकौड़े बहुत स्वादिष्ट होते हैं पर इनको बनाने का तरीका आम पकौड़े से जरा हटकर होता है। अरबी के पकौड़े देखने में तो नार्मल पकौड़ों की तरह ही लगते हैं यहां आज हम आपको बताएंगे इसकी स्पेशल रेसिपी..इसको बनाने में थोड़ा समय ज्यादा लगता है क्योंकि ये अलग तरह से बनाए जाते हैं।सामग्री4-5 अरबी के पत्ते2 कप बेसनस्लाइस में कटा हुआ प्याज7-8 लहसुन की कलियां3 से 4 हरी मिर्चआधा चम्मच लाल मिर्च1/2 चम्मच हल्दी पाउडर1/2 चम्मच धनिया पाउडरनमक स्वादानुसार और तेल फ्राई करने के लिएविधि-आप सबसे पहले प्याज, लहसुन और हरी मिर्च का पीसकर पेस्ट तैयार कर लें। इसके बाद अरबी के पत्तों को अच्छी तरह से धोएं और सूखने दें। फिर एक बर्तन में बेसन निकालें और इसमें लाल मिर्च पाउडर, धनिया पाउडर, हल्दी पाउडर और नमक डाल लें। पानी डालकर गाढ़ा सा पेस्ट बना लें। इस गाढ़े घोल को अरबी के पत्तों पर लगाएं उसके बाद पत्ते को रोल कर दें। बेसन लगा होने के कारण ये आसानी से रोल होकर चिपक जाएगा। आप चाहें तो पत्तों को गोल मोड़ते हुए रोल बना लें और एक धागे से बांध दें। अब एक बड़े बर्तन या कड़ाही में पानी गर्म होने के लिए रख दें। जब ये पानी गर्म हो जाए तो उसके ऊपर स्टील की छलनी रख दें। उस छलनी के ऊपर हल्का सा ऑयल लगा लें जिससे रोल उस पर चिपके नहीं।छलनी पर रोल किए हुए सारे पत्ते रख दें और छलनी को प्लेट से ढंक दें और स्टीम दें। दो से तीन मिनट बाद प्लेट हटाकर रोल को दूसरी साइड में घुमा दें, जिससे की वो आसानी से दूसरी तरफ भी पक जाए। भाप में पकने के बाद ये सख्त से हो जाते हैं। अब स्टीम्ड पत्तों को प्लेट में निकालकर टुकड़ों में काट लें।फिर एक कढ़ाई में तेल गर्म करें और इन टुकड़ों को डालकर फ्राई कर लें. तो लीजिए तैयार है आपके अरबी के पत्तों के गरमागरम पकौड़े। इन्हें आप अपनी मनपंसद चटनी के साथ सर्व कर सकते हैं। आप पत्तों में बेसन के स्थान पर उड़द की दाल या फिर मूंग दाल भी डाल सकती हैं। इसके लिए पहले से दाल को भिगोकर रखें और फिर इसी महीन पीस लें। उसके बाद बेसन की तरह ही इसे इस्तेमाल कर पकोड़े बना लें।---
- शारीरिक कमजोरी के शिकार लोग अगर अपने शरीर को मजबूत बनाना चाहते हैं तो भीगे हुए चने खाएं। ये सेहत के लिए काफी फायदेमंद होते हैं। इससे आपके शरीर में खून की वृद्धि होती है और आप फिट भी रहते हैं। भीगे चने में प्रोटीन, कार्बोहायड्रेट, फैट्स, फाइबर, कैल्शियम, आयरन, विटामिन्स पाए जाते हैं, जो शरीर को स्वस्थ्य रखने में अहम रोल अदा करते हैं। भीगे चने खाने से दिमाग तेज़ होने के साथ खून भी साफ होता है। इसमें कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन, फाइबर, कैल्शियम, मैग्नीशियम और दूसरे मिनरल्स होते हैं, जो आपके शरीर को भरपूर प्रोटीन देते रहते हैं।खाली पेट भीगे चने का खाने के फायदे...वजन कम करने में मददगारचना खाने से आप बढ़ते हुए वजन को कंट्रोल कर सकते हैं। चने में ग्लाइसेमिक इंडेक्स नाम का एक तत्व पाया जाता है, जो भूख को कम करता है।खून की कमी से छुटकाराभीगा हुआ चना खाने से आयरन मिलता है, जो शरीर में खून की मात्रा बनाए रखने में मदद करेगा। अगर आप भी खून कमी से छुटकारा पाना चाहते हैं तो अपनी डाइट में भीगे हुए चने शामिल कर सकते हैं।कैंसर से बचाने में मददगारचने में ब्यूटिरेट नाम का फैटी एसिड पाया जाता है, जो कैंसर को जन्म देने वाली कोशिकाओं का समाप्त करने में मदद करता है। यही वजह है कि सुबह खाली पेट भीगे हुए चने खाने से कैंसर का खतरा भी कम हो जाता है।डायबिटीज में हेल्पफुल25 ग्राम काले चने रात में भिगोकर सुबह खाली पेट सेवन करने से डायबिटीज को कम करने में मदद मिलती है।पुरुषों के लिए फायदेमंदभीगा हुए चने का लगातार सेवन करने से वीर्य में बढ़ोतरी होती है व पुरुषों की कमजोरी से जुड़ी समस्याएं खत्म हो जाती हैं। भीगे हुए चने खाकर दूध पीते रहने से वीर्य का पतलापन भी दूर हो जाता है।किस समय करें सेवनआप सुबह खाली पेट भीगे चने का सेवन कर सकते हैं। इसके लिए सोने से पहले एक बर्तन में एक मु_ी चने भिगो दें। इसके बाद सुबह उठकर खली पेट उनका सेवन करें। लगातार ऐसा करने से आप खुद को ज्यादा फिट और ताकतवर महसूस करेंगे।
- अगर आप भी तेजी से बढ़ते वजन को लेकर परेशान हैं और वजन कम करना चाहते हैं तो पत्तागोभी आपके लिए बेस्ट विकल्प हो सकता है। ये न सिर्फ वजन कम करने में आपकी मदद करेगा, बल्कि इसमें मौजूद पोषक तत्व आपकी सेहत को कई तरह के फायदे पहुंचाएंगे।पत्तागोभी में आयरन, फास्फोरस, जि़ंक, सोडियम, कोलिन, नियासिन, राइबोफ्लेविन, विटामिन के, विटामिन सी, विटामिन ई, विटामिन बी6, फोलेट के साथ पोटेशियम, कैल्शियम, मैग्नीशियम, थायमिन और मैंगनीज जैसे तत्व पाए जाते हैं। ये एंटी-ऑक्सीडेंट से भरपूर होती है, यह सभी तत्व स्वस्थ्य शरीर के लिए लाभकारी माने जाते हैं।देश के मशहूर आयुर्वेदिक विशेषज्ञ डॉ. अबरार मुल्तानी के मुताबिक वजन कम करने के लिए अगर पत्तागोभी का इस्तेमाल सूप के तौर किया जाए तो बेहतर होता है। इसके सेवन से पेट जल्दी भरता है। बार-बार भूख का एहसास नहीं होता है। लिहाजा काफी हद तक आप डाइटिंग कर पाते हैं।सामग्री -एक पत्ता गोभीदो बड़े प्याज़दो-तीन हरी मिर्चएक बड़ा टमाटरहरा धनियानमक और काली मिर्चविधि-एक कढ़ाही में एक छोटा चम्मच तेल डालकर गर्म कर लें। इसके गर्म हो जाने के बाद इसमें कटा हुआ प्याज़ डाल दें। अब जब तक ये गोल्डन ब्राउन नहीं हो जाते तब तक फ्राई करें। फिर कढ़ाही में कद्दूकस की हुई पत्तागोभी डालें और नमक भी डाल दें। इसके बाद चार-पांच कप पानी डालकर कढ़ाही को ढक्कन या प्लेट से ढंक दें। इसको मीडियम फ्लेम पर तकरीबन दस मिनट तक पकने दें। इसके बाद इसमें टमाटर और कालीमिर्च एड कर दें.। इसके बाद पांच मिनट तक और पकने दें। अब आप इसको छान कर इसमें हरी धनिया की पत्ती डालें और इसका सेवन करें।
- तुलसी एक ऐसा पौधा होता है, जो भारत के घर-घर में पाया जाता है। धार्मिक लिहाज से तुलसी को पवित्र माना जाता है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि तुलसी एक औषधि के रूप में भी काम करती है, जो सेहत के लिए बहुत फायदेमंद मानी जाती है। आर्युर्वेद के हिसाब से तुलसी औषधीय गुणों से भरपूर होती है। ऐसे में तुलसी का पानी शरीर के लिए फायदेमंद माना जाता है। अगर आप सुबह से उठकर एक गिलास तुलसी के पानी का सेवन करते हैं. तो यह आपके शरीर के लिए अच्छा रहता है।तुलसी के पानी से शरीर में बनी रहती है ऊर्जातुलसी में पर्याप्त मात्रा में एंटी इंफलामेटरी प्रॉपर्टीज और एंटी ऑक्सीडेंट्स पोषक तत्व पाए जाते हैं। जो शरीर में खराब तत्व बाहर निकालने में मदद करते हैं। अगर आप तुलसी का पानी पीते हैं तो इससे आपका शरीर बूस्ट होता है और एनर्जी बनी रहती है। तुलसी को घर-घर में एक औषधि के रूप में इस्तेमाल किया जाता है। इसलिए हर दिन सुबह से उठकर तुलसी का पानी पीने से दिनभर आप में ऊर्जा बनी रहती है, क्योंकि तुलसी में ऐसे कई पोषक तत्व रहते हैं, जिससे आलस्य, तनाव और कमजोरी नहीं होती है। यही वजह है कि आपके शरीर में ऊर्जा बनी रहती है। ऐसे में सुबह से उठकर एक गिलास तुलसी के पानी का सेवन जरूर करना चाहिए।तुलसी के पानी से तनाव होता है दूरतुलसी का पानी रोज सुबह से पीने से आप खुद को तनाव मुक्त रख सकते हैं, क्योंकि तुलसी में कोर्टिसोल हार्मोन पाए जाते हैं जिससे तनाव कम होता है। तुलसी का पानी पीने से चिंता और अवसाद कम होता है। इसलिए तनाव से बचे रहने के लिए तुलसी का पानी पीने की सलाह दी जाती है।तुलसी से ब्लड शुगर रहता है नियंत्रिततुलसी का पानी ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित रखने में मदद करता है, जबकि शरीर में मौजूद शुगर को ऊर्जा में परिवर्तित करता है। यानि ब्लड शुगर के मरीजों को तुलसी का पानी पीना बहुत फायदेमंद रहता है। इसलिए जिन लोगों को ब्लड शुगर की परेशानी होती है, उन्हें सुबह से तुलसी का पानी पीने की सलाह दी जाती है।पाचन की समस्या को करता है दूरअगर आप हर दिन तुलसी के पानी का सेवन करते हैं तो इससे आपके शरीर में गैस और कब्ज की समस्या नहीं होती है। जिससे पाचन क्रिया ठीक रहती है। तुलसी के पानी में एसिड रिफ्लक्स पाया जाता है जिससे पेट साफ रहता है और खाना भी अच्छे से पचता है। इसलिए सुबह से उठकर एक गिलास तुलसी का पानी पीना चाहिए।वजन घटाने में सहायक तुलसी का पानीबढ़ता वजन आजकल के लोगों की एक बड़ी समस्या बनता जा रहा है। वजन कम करने के लिए हम कई चीजों का इस्तेमाल करते हैं फिर भी फायदा नहीं मिलता, लेकिन तुलसी एक ऐसी औषधि है जो वजन कम करने में भी सहायक मानी जाती है। तुलसी में प्राकृतिक कैमिकल्स पाए जाते हैं जिससे अगर आप नियमित रूप से तुलसी का पानी पीना शुरू करेंगे तो इससे आपका वजन भी कम होगा।अस्थमा की बीमारी में कारगर तुलसी पानीअस्थमा, सांस की तकलीफ और सर्दी-जुकाम जैसी बीमारियों के लिए तुलसी का पानी रामबाण माना जाता है। तुलसी में एक्सपेक्टोरेंट, एंटीट्यूसिव और इम्युनोमोड्यूलेटरी के गुण पाए जाते हैं। जिससे अस्थमा जैसी बीमारी को रोकने में भी मदद मिलती है।
- आम तौर पर लौकी को सब्जी के रूप में खाया जाता है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि इसका जूस शरीर के लिए बेहद फायदेमंद होता है? लौकी ब्लड शुगर घटाने में बहुत असरदार होती है। इसमें प्रचुर मात्रा में एंटी-ऑक्सीडेंट होते हैं, जिससे शरीर ठीक से काम कर पाता है और बीमारियों से बचाव होता है। विशेषज्ञों के अनुसार जूस में फाइबर के साथ-साथ विटामिन, पोटैशियम और आयरन भारी मात्रा में पाया जाता है, जो एक स्वस्थ्य शरीर के लिए जरूरी तत्व माने जाते हैं। जानते हैं लौकी जूस के फायदे....ब्लड प्रेशर से राहतअगर आपको ब्लड प्रेशर की समस्या है तो आपको अपनी डाइट में लौकी का जूस जरूर शामिल करना चाहिए। नियमित रूप से एक गिलास लौकी का जूस पीते हैं तो यह काफी हद तक हाई बीपी की समस्या को कम कर सकता है.।वजन कमअगर आप वजन कम करना चाहते हैं तो लौकी के जूस का सेवन करें। अगर आप रोजाना इसका सेवन करते हैं तो तेजी से वजन घटा सकते हैं, क्योंकि इसे पीने के बाद पेट घंटों तक भरा-भरा रहता है और जल्दी भूख नहीं लगती है, जिससे मोटापा भी कम होता है। खासकर खाली पेट इसका सेवन ज्यादा फायदेमंद होता है।चेहरे पर निखारलौकी में नेचुरल वॉटर होता है. ऐसे में इसके नियमित इस्तेमाल से प्राकृतिक रूप से चेहरे की रंगत निखरती है। इसके अलावा लौकी की एक स्लाइस को काटकर चेहरे पर मसाज करने से भी चेहरे पर निखार आता है।हृदय को स्वस्थ बनाए रखता हैलौकी के जूस में विटामिन-सी, विटामिन-के और कैल्शियम प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं. लौकी का जूस कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है। यही वजह है कि हृदय रोग का खतरा कम करने में भी लौकी का जूस अहम रोल निभाता है।कब्ज की समस्या से निजातपाचन संबंधी समस्याओं में भी लौकी का जूस फायदेमंद होता है। इसमें फाइबर मौजूद रहा है जो पाचन तंत्र को सही करता है। इसके साथ ही ये कब्ज से राहत प्रदान कर पूरे पाचन तंत्र में सुधार करता है।
- दूध एक ऐसा पदार्थ है जिसका इस्तेमाल सबसे ज्यादा किया जाता है। क्योंकि दूध का सेवन करना शरीर के लिए बहुत फायेदमंद माना जाता है। रात को सोने से पहले एक गिलास हल्दी वाला दूध पीने से सेहत तो अच्छी रहेगी ही बल्कि कई बीमारियों से भी बचाव होता है।हल्दी वाले दूध से शरीर को मिलती है एनर्जीहल्दी वाला दूध पीने शरीर को भरपूर एनर्जी मिलती है, क्योंकि हल्दी वाले दूध में कैल्शियम भरपूर मात्रा में पाया जाता है। अगर आप हर दिन एक गिलास हल्दी वाले दूध का सेवन करते हैं तो इससे आपको कैल्शियम की कमी महसूस नहीं होती है। इसके अलावा काम करने के लिए अगर सबसे ज्यादा किसी चीज की जरूरत हो तो वो एनर्जी। अगर शरीर में एनर्जी पर्याप्त मात्रा में रहेगी तो इंसान थकता नहीं है। इसलिए एक स्वस्थ्य शरीर के लिए एनर्जी का होना बहुत जरूरी होता है। इसलिए खुद को दिन भर एनर्जेटिक बनाए रखने के लिए हल्दी वाले दूध का सेवन करने की सलाह दी जाती है।तनाव और थकावटतनाव बदलते वक्त में एक आम समस्या हो गई है। आप ऑफिस से काम करके वापस आते हैं और अक्सर आपको थकान महसूस होने लगती है। जबकि तनाव होना भी एक बड़ी बीमारी बन गई है, लेकिन तनाव और थकावट से खुद को दूर रखने का एक अच्छा उपाय हल्दी वाला दूध है। अगर आप हर दिन रात को सोने से पहले एक गिलास हल्का गुनगुना हल्दी वाला दूध पीते हैं तो इससे आपको तनाव और थकावट में राहत मिलती है।रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाता है हल्दी वाले दूधरोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में हल्दी वाला दूध बहुत फायदेमंद माना जाता है। अगर आप रात को सोने से पहले एक गिलास दूध में थोड़ी सी हल्दी मिलाकर पीते हैं तो यह आपको बीमारियों से बचाता और आपकी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। इसलिए रात को सोने से पहले एक गिलास गुनगुना हल्दी वाला दूध पीने की सलाह दी जाती है।नींद अच्छी आती हैहर दिन अच्छी नींद लेना स्वस्थ शरीर की पहली निशानी मानी जाती है। यही वजह है सोने से पहले एक गिलास हल्दी वाले दूध का सेवन करने की सलाह दी जाती है। अगर आप रात को सोने से पहले एक गिलास हल्दी वाले दूध का सेवन करते हैं तो इससे आपका दिमाग शांत रहता है जिससे आपको अच्छी नींद आती है।दूर होगी कब्ज और गैस की समस्याकब्ज और गैस की समस्या से खुद को बचाए रखने के लिए हल्दी वाला दूध एक अच्छा विकल्प है, क्योंकि दूध पाचन के लिए बेहतर विकल्प माना जाता है। जबकि हल्दी से पेट साफ रहता है। ऐसे में अगर किसी को कब्ज और गैस की परेशानी है तो वह रात को सोने से पहले एक गिलास हल्दी वाले दूध का सेवन दवाई के तौर पर भी कर सकता है।हल्दी वाल दूध पुरुषों की सेहत के लिए फायदेमंदपुरुषों की सेहत के लिए हल्दी वाला दूध बहुत फायदेमंद माना जाता है। अगर पुरुष एक गिलास दूध में थोड़ी सी हल्दी मिलाकर उसका सेवन रोज करता है तो इससे फर्टिलिटी बढ़ती है, जबकि शरीर में कमजोरी भी नहीं होती है। इसलिए रात को सोने से पहले पुरुषों को हल्दी वाला दूध पीने की सलाह दी जाती है।सर्दी जुकाम से मिलता है छुटकाराएक गिलास गुनगुने दूध में थोड़ी सी हल्दी मिलाकर सेवन करने से सर्दी जुकाम दूर होता है। इसके अलावा दूध से गला भी साफ रहता, अगर आपको गले में परेशानी है तो आप एक गिलास दूध में थोड़ी सी काली मिर्च मिलाकर भी पी सकते हैं, जिससे गले के दर्द में आराम मिलता है।
- केला एक स्वास्थ्यवर्धक फल है, जिसके स्वाद की पूरी दुनिया दीवानी है। यह मूल रूप से साउथ-ईस्ट एशिया से संबंध रखता है, मगर अब दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में उगाया जाता है। केला विभिन्न रंग, लंबाई व आकार में उपलब्ध हो सकता है। कच्चे केले का रंग हरा होता है और यह जैसे-जैसे पकता रहता है, वैसे-वैसे इसका रंग पीला होता चला जाता है। पके केले के साथ ही कच्चा केला भी खाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। इसके सेवन से शरीर को कई स्वास्थ्य लाभ प्राप्त होते हैं। आइए केले के फायदों के बारे में जानते हैं।केले में मौजूद पोषणएक मध्यम आकार के केले (करीब 118 ग्राम) में निम्नलिखित पोषण मौजूद हो सकता है। जैसे-विटामिन बी6 - दैनिक जरूरत का 33 प्रतिशतविटामिन सी- दैनिक जरूरत का 11 प्रतिशतपोटैशियम- दैनिक जरूरत का 9 प्रतिशतमैग्नीशियम- दैनिक जरूरत का 8 प्रतिशतमैंगनीज- दैनिक जरूरत का 14 प्रतिशतकॉपर- दैनिक जरूरत का 10 प्रतिशतकुल कार्ब्स- 24 ग्रामफाइबर- 3.1 ग्रामप्रोटीन- 1.3 ग्रामफैट- 0.4 ग्रामकैलोरी- 105केला खाने के फायदेपके हुए केले में पेक्टिन नामक फाइबर होता है और कच्चे केले में रेजिस्टेंट स्टार्च होता है। दोनों ही प्रकार के केले ब्लड शुगर के स्तर को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं। इसके साथ ही यह पेट को देर तक भरा रखने में भी मदद कर सकता है, जिससे आपके अनहेल्दी फूड्स खाने की संभावना कम हो जाती है।केले का सेवन पाचन तंत्र के लिए भी फायदेमंद है। इसमें पेक्टिन और रेजिस्टेंट स्टार्च फाइबर की अच्छी मात्रा होती है। रेजिस्टेंट स्टार्च बड़ी आंतों में मौजूद हेल्दी बैक्टीरिया के खाने का स्त्रोत बनता है।केले में भारी मात्रा में पोटैशियम होता है। जो कि दिल के स्वास्थ्य के लिए अत्यंत जरूरी है। मुख्य रूप से यह ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में मदद करता है। इसके साथ ही इसमें मैग्नीशियम की भी अच्छी मात्रा होती है और यह मिनरल भी हार्ट हेल्थ को बेहतर बनाता है।इसमें पोटैशियम की भरपूर मात्रा होने की वजह से यह किडनी के लिए भी स्वास्थ्यवर्धक खाद्य पदार्थ बन जाता है। महिलाओं पर 13 साल तक की गई एक स्टडी ने सकारात्मक परिणाम दिया। स्टडी के मुताबिक, जो महिलाएं रोजाना 2 से 3 बार केले का सेवन कर रही थीं, उनमें किडनी रोग होने का खतरा 33 प्रतिशत तक कम देखा गया।एथलीट या एक्सरसाइज करने वाले लोगों के लिए केला एक परफेक्ट फूड है। इसका सेवन करने से एक्सरसाइज के दौरान होने वाले मसल्स क्रैंप और सूजन की समस्या काफी कम हो सकती है। इसके अलावा इसमें मौजूद पोषण एक्सरसाइज से मिलने वाले फायदे को बढ़ाता है।
- स्वस्थ रहने के लिए सब्जियों का सेवन करते रहना बेहद जरूरी है। बैंगन का तो सेवन आप सभी ने किया होगा, लेकिन क्या सफेद बैंगन और उसकी पत्तियों का सेवन कभी किया है। क्या आप जानते हैं सफेद बैंगन की पत्तियों में कई सारे छिपे हुए गुण मौजूद होते हैं। बैंगन एक साधारण सी सब्जी है, जिसके गुणों को अक्सर लोग नजरअंदाज कर देते हैं। लेकिन सफेद बैंगन की पत्तियां सेहत के लिहाज से काफी फायदेमंद होती हैं। इसके सेवन से शरीर में होने वाली डायबिटीज का भी खतरा काफी हद तक कम हो जाता है। सफेद बैंगन को भी सामान्य बैंगन की तरह ही गुणों से भरपूर होता है। इसकी पत्तियों के सेवन से बढ़ते हुए वजन को भी नियंत्रित किया जा सकता है।1. गर्भवती स्त्रियों के लिए फायदेमंदगर्भावस्था में महिलाओं को अपनी सेहत के साथ साथ शिशु की सेहत का भी खास ध्यान देना होता है। इसलिए गर्भवती महिलओं के लिए सफेद बैंगन एक न्यूट्रिएंट्स का पिटारा कहलाता है। यह न्यूट्रिएंट्स जैसे कि विटामिन्स और मिनरल्स से भरी होती है। इससे बर्थ डिफेक्ट से बचाव होता है। इसके सेवन से महिलाओं एवं शिशि के विकास के लिए जरूरी तकरीबन सभी पोषण पाए जाते हैं। गर्भवस्था में इसके सेवन से शरीर तक तत्वों का अवशोषण आसानी से हो सकता है।2. किडनी डिटॉक्सिफायरगार्डन एग लीफ यानि सफेद बैंगन की पत्तियां एक किडनी डिटॉक्सिफायर का काम करती हैं। यह किडनी में खून को साफ कर पथरी से आपका बचाव करती हैं। इसके लिए सफेद बैंगन की पत्तियों को कच्चा चबाया जा सकता है या फिर इसे उबाल कर या छानकर भी पीया जा सकता है। इसके सेवन से किडनी से जुड़ी कोई भी समस्या नहीं होती है। किडनी स्टोन के मरीजों के लिए तो इसका सेवन बेहद कारगर माना जाता है।3. वजऩ घटाएसफेद बैंगन की पत्तियों का सेवन मोटापे से भी बचाता है। अगर आप वजन कम करना चाहते हैं तो यह आपके लिए एक कारगर नुस्खा साबित हो सकता है। इसकी पत्तियों को पानी में उबालकर पीने से चर्बी घटती है। ये मोटापे को काम करती है। इसके पीछे वजह यह है कि इसके मौजूद माइक्रोन्यूट्रींस रक्त में कोलेस्ट्रॉल लेवल कम करते हैं और वजऩ के साथ साथ पाचन क्रिया भी दुरुस्त रखते है। साथ ही इसमें पाए जाने वाले फाइबर की मात्रा पेट को भरा भरा महसूस कराते हैं, जिससे और खाना खाने की इच्छा नहीं होती है। वजन घटाने के लिए इसकी 1 से 2 पत्तियों का नियमित सेवन कर सकते हैं।4. खून बढ़ाने मे मददगारसफेद बैंगन के पत्तों को खाने से खून के स्तर बढ़ता है। जिन लोगों के शरीर में खून की कमी है उनको इसका सेवन जरूर करना चाहिए। खासकर जो लोग एनेमिया से जूझ रहे हैं उन्हे तो बैंगन की पत्तियों को कच्चा चबा जाना चाहिए। शरीर में घटे हुए खून को बढ़ाने के लिए यह बेहद कामगर चीज है। नियमित रूप से इनकी पत्तियां खाने से घटा हुआ खून अपनी सामान्य मात्रा में पहुंच जाता है।5. पाचनतंत्र को रखे स्वस्थसफेद बैगन की पत्तियों में इन सभी गुणों के साथ साथ पाचन तंत्र को सुचारू रखने की भी क्षमता मौजूद होती है। इसमें फाइबर की मात्रा पाई जाती है, जो पाचन तंत्र को सुचारू रूप से कार्य करने में मदद करता है। साथ ही इसमें मौजूद फाइबर मल को भारी बनाते हैं। सफेद बैंगन का रस निकालकर पीने से एसिडिटी की समस्या से भी राहत दिलाता है। इसलिए पाचन तंत्र को दुरुस्त रखना चाहते हैं तो इन पत्तियों का सेवन जरूर करें।6. डायबिटीज के मरीजों के लिए लाभदायकपत्ते व जड़ी बूटियां हमेशा से ही डायबिटीज का खात्मा करने के लिए कारगर मानी जाती है। बैंगन के पत्तों के सेवन से खून में शुगर का स्तर नियंत्रित रहता है। इन पत्तों में फाइबर और मैग्नेशियम मौजूद होने की वजह से बढ़े हुए शुगर लेवल को भी घटाने मे मदद करता है।(नोट- ये उपाय पूरी तरह से प्राकृतिक है, लेकिन इसके सेवन से पहले चिकित्सक की सलाह अवश्य लें। )
- सेहत के लिए पालक का जूस कितना फायदेमंद है? इस खबर में हम आपके लिए इसी सवाल का जवाब लेकर आए हैं, क्योंकि पालक का जूस शरीर के विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मददगार है. इसके अलावा अगर आपको कब्ज की समस्या है तो भी पालक का जूस आपके लिए फायदेमंद रहेगा. हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार आप सुबह टाइम पालक के जूस का सेवन कर सकते हैं.पालक में पाए जाने वाले तत्वों पर नजर डालें तो इसमें पर्याप्त मात्रा में एंटी-ऑक्सीडेंट्स होते हैं, जो शरीर को स्वस्थ रखते हैं. इसमें विटामिन A, विटामिन C, विटामिन K, मैग्नीशियम, मैगनीज और आयरन पर्याप्त मात्रा में होता हैं, जो आंखों की रोशनी बढ़ाने, तनाव को कम करने और ब्लड प्रेशर को सही बनाए रखने के लिए फायदेमंद हैं.वायरल संक्रमण के खतरे को कम करने में मददगारहेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो कोरोना काल में पालक को डाइट में शामिल कर हम कई शारीरिक बीमारियों से बच सकते हैं. पालक में मुख्य रूप से कैल्शियम, सोडियम, क्लोरीन, फॉस्फोरस, लोहा, खनिज लवण, प्रोटीन, आयरन, विटामिन ए और विटामिन सी भरपूर मात्रा में मौजूद होता है. पालक के जूस का सेवन करने से वायरल संक्रमण के खतरे को कम किया जा सकता है.पालक के जूस के फायदे1. इम्यूनिटी बूस्ट करने में मददगारइम्यूनिटी बढ़ाने के लिए पालक का जूस बेहतर विकल्प है. इसमें मौजूद मैग्नीशियम शरीर को एनर्जी देने का काम करता है. यह हमें कई तरह के वायरल इंफेक्शन से बचाने में मददगार.2. पाचन क्रिया रहेगी ठीकपालक में पाए जाने वाले तत्व शरीर से खराब पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करते हैं. इतना ही नहीं ये कब्ज की समस्या को दूर करने में भी मदद करता है.3. हड्डियां बनेंगी मजबूतपालक में कैल्शियम और एंटी-ऑक्सीडेंट के गुण पाए जाते हैं, जो हड्डियों को मजबूत बनाने में मददगार होते हैं.4. वजन घटाने में मददगारमोटापे की समस्या से आप परेशान हैं तो पालक के जूस को डाइट में जरूर शामिल करें. इसमें फाइबर की मात्रा अधिक होती है और वहीं कैलोरी की मात्रा बहुत कम पाई जाती है, जो वजन को कम करने में मददगार होती है.
- शरीर की इम्यूनिटी बढ़ाने पर जोर दिया जा रहा है. ऐसे में अगर आप थकान, कमजोरी, खून की कमी और कमजोर इम्यूनिटी की समस्या से परेशान हैं तो ये खबर आपके काम की है. आज हम आपको ऐसी सब्जी के बारे में बता रहे हैं, जिसका सेवन करने से न सिर्फ शरीर को मजबूती मिलती है, बल्कि कई गंभीर बीमारियों से बचा जा सकता है. ककोड़ा एक ऐसी सब्जी है, जो औषधि भी मानी जाती है. इसमें मौजूद पौष्टिक तत्व पाए जाते हैं. इसका सेवन करने से मोटापे को कम किया जा सकता है. इसका सेवन कर कैंसर, डायबिटीज जैसी खतरनाक बीमारियों से बचा जा सकता है. इसके और भी कई गजब के फायदे हैं. इसे कंटोला (Kantola), केकरोल, काकरोल, भाट, करेला, कोरोला और करटोली, पड़ोरा जैसे कई नामों से जाना जाता है.क्या है ककोड़ा की खासियत?ककोड़ा खून बढ़ाने की मशीन भी कहलाता है. इसका सेवन करने पर कुछ ही दिनों में आपके शरीर में बदलाव दिखने लगता है. इसकी खासियत ये है कि इसमें चिकन से 50 प्रतिशत ज्यादा प्रोटीन रहता है. इसमें पाए जाने वाले प्रोटीन्स, विटामिन्स और मिनरल्स पूरे दिन एनर्जेटिक रखते हैं. यही वजह है कि मार्केट में इसकी डिमांड खूब रहती है. सर्दी-खांसी में इसका सेवन लाभदायक माना जाता है.ककोड़ा के 5 फायदेएंटी-एलर्जन और एनाल्जेसिक मौजूद होने की वजह से यह सर्दी खांसी से राहत प्रदान करती है.ककोड़ा का सेवन त्वचा के लिए लाभकारी माना जाता है.इसमें बीटा कैरोटीन, अल्फा कैरोटीन और जेक्सैंथिन्स जैसे प्लेवोनाइड्स पाए जाते हैं, ये सभी यौगिक और बढ़ती उम्र के लक्षणों को कम करने में मददगार साबित होते हैं.ककोड़ा की सब्जी कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी से बचाती है.पुरुषों की सेहत के लिए है वरदानअगर आप शाकाहारी हैं तो ककोड़ा (Kakoda) की सब्जी आपके लिए किसी वरदान से कम नहीं है. इसमें मीट से कहीं ज्यादा प्रोटीन पाया जाता है. इसका सेवन शरीर की कमजोरी को दूर करता है और मजबूती प्रदान करता है. हेल्थ एक्सपर्ट मानते हैं कि इस सब्जी का सेक्स से जुड़ी समस्याओं की ठीक करता है और यौन जीवन को भी सही बनाता है.
- गर्मियों का मौसम है और इन दिनों में आम खूब मिलता है. आम को फलों का राजा कहा जाता है, इसके खास स्वाद के कारण अधिकतर लोग आम खाना पसंद करते हैं. आम का सेवन करने के कई फायदे हैं लेकिन क्या आप जानते हैं कि आम खाने के बाद कुछ चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए, वरना इसके भारी नुकसान हो सकते हैं. तो आइए जानते हैं कि आम का सेवन करने के बाद किन चीजों को नहीं खाना चाहिए-पानी नहीं पीना चाहिएआम खाने के तुरंत बाद पानी नहीं पीना चाहिए. दरअसल आम खाने के तुरंत बाद पानी पीने से पेट में दर्द, गैस और एसिड बनने की समस्या पैदा हो जाती है. बार बार ऐसा करने से आंतों में इंफेक्शन का खतरा भी बढ़ जाता है, जो काफी गंभीर हो सकता है. आम खाने के आधे या एक घंटे बाद पानी पिया जा सकता है.कोल्ड ड्रिंक नहीं पीनी चाहिएआम खाने के तुरंत बाद कोल्ड ड्रिंक पीना भी नुकसानदायक साबित हो सकता है. बता दें कि आम में भी काफी शुगर पाई जाती है और कोल्ड ड्रिंक में भी काफी ज्यादा शुगर होती है. ऐसे में अगर कोई व्यक्ति डायबिटीज का शिकार है तो उसके लिए आम और कोल्ड ड्रिंक का कॉम्बिनेशन काफी खतरनाक साबित हो सकता है.दहीआम खाने के तुरंत बाद दही खाना भी गलत है. दरअसल आम और दही को एक साथ खाने से हमारे शरीर में अधिक कार्बन डाइ ऑक्साइड बनने लगती है. जिससे शरीर में कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं.करेलाआम के बाद करेले का सेवन करना भी सही नहीं है. दरअसल आम खाने के तुरंत बाद अगर आप करेला खाते हैं तो जी मिचलाना, उल्टी और सांस लेने में परेशानी की समस्या हो सकती हैं.तीखी मिर्ची और मसाले वाली चीजेंतीखी मिर्चे और मसाले वाली चीजें खाना बनाने में इस्तेमाल होती हैं लेकिन अगर आपने आम खाया है और तुरंत ही आप मसाले वाली चीजें या मिर्ची वाली चीजें खाएंगे तो इससे आपको पेट और त्वचा के रोग उत्पन्न हो सकते हैं. इसलिए आगे से अगर आप आम खाते हैं तो उक्त चीजों का सेवन ना करें.
- बार-बार कहा जा रहा है कि जितना हो सके अपने शरीर की इम्युनिटी को मजबूत करें.अब सवाल उठता है कि इम्युनिटी कैसे मजबूत की जाए? इसके लिए आपके पास कई विकल्प हैं, जिनमें से एक करेला भी है. यही वजह है कि आज हम आपके लिए लेकर आए हैं करेला के फायदे.करेला एंटीवायरल और एंटीबायोटिक गुणों से भरपूर होता है. इसमें विटामिन-सी और विटामिन-ए भी मिलता है, विटामिन-सी हमारे बॉडी के रोग प्रतिरोधक क्षमता यानी की इम्यूनिटी बढ़ाने में मददगार है. इसके अलावा करेले का सेवन कई तरह की बीमारियों से बचाता है.करेला के 5 फायदेसिरदर्द से राहतअगर आप भी सिरदर्द की समस्या से परेशान रहते हैं तो करेले को अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं, जो लोग अपने भोजन में करेले का उचित मात्रा में उपयोग करते हैं, उन्हें सिरदर्द जैसी समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ता है.आंखों के लिए फायदेमंदकरेला ऐंटिबायॉटिक और ऐंटिवायरल गुणों से भरपूर होता है. इसमें विटमिन-सी और विटमिन-ए भी पाया जाता है. विटमिन-सी हमारे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है जबकि विटमिन-ए आंखों की रोशनी को बनाए रखने का काम करता है.जोड़ों के दर्द से राहतकरेला जोड़ों के दर्द और खासतौर से घुटने के दर्द में राहत देने का काम करता है. इसलिए डॉक्टर भी इसका सेवन करने की सलाह देते हैं.पेट की समस्याएं दूरनियमित करेला खाने से बार-बार पेट खराब होना, पेट में गैस बनना, बदहजमी होगा, खट्टी डकार आना और पेट में कीड़े होना जैसी कई समस्याओं से निजात पा सकते हैं.दिल को रखता है स्वस्थ्यकरेला एक ऐसी सब्जी है, जिसे ज्यादातर लोग पसंद नहीं करते, क्योंकि इसका स्वाद कड़वा होता है, लेकिन क्या आपको मालूम है कि करेला पेट से लेकर दिमाग तक शरीर के हर ऑर्गन को फिट रखने में मदद करता है. हेल्थ एक्सपर्ट्स का मानना है कि इसका सेवन दिल की धड़कनों को ठीक रखता है.ऐसे करें करेला का इस्तेमालआप सामान्य तरीके से करेले की सब्जी बनाकर खा सकते हैं. इसके अलावा करेला का जूस भी पी सकते हैं. करेले का जूस बनाने के लिए एक सबसे पहले आप करेला लें और उस छील लें. अब इस पर नमक और नींबू लगाकर आधे घंटे के लिए धूप में रख दें. साफ पानी से धोकर करेले को 1 संतरे और 1 नींबू के जूस के साथ मिक्सी में पीस लें. अब इसे छान लें और ऊपर से जीरा, काला नमक और हींग का तड़का लगाएं और फिर बर्फ डालकर सर्व करें.
- लंबे और घने बालों की चाह किसे नहीं होती है, लेकिन कुछ लोगों के बाल कम उम्र से ही झडऩे और टूटने लगते हैं। दिन में कुछ बालों का टूटना प्राकृतिक रूप से नुकसानदेह नहीं है। आमतौर पर दिनभर में कुछ बाल टूटते व गिरते हैं। लेकिन अगर आपके सिर से रोजाना अधिक बाल टूटते हैं तो यह निश्चित तौर पर चिंता का विषय हो सकता है। कई घरेलू नुस्खे आजमाने के बाद भी अगर आपके बालों का टूटना नहीं रुक रहा है तो हम आपको ऐसा नुस्खा बताएंगे, जिसकी मदद से बाल मजबूत और चमकदार बनेंगे। बालों पर आम की पत्तियां लगाने से बालों से जुड़ी तमाम समस्याएं खत्म हो सकती हैं। यही नहीं, इससे बालों के सफेद होने की समस्या को भी कम करते हैं। आम की पत्तियां विटामिन ए और विटामिन सी का अच्छा स्त्रोत होती हैं। जो आपके कोलेजन के उत्पादन को बढ़ाती हैं और बालों को घना और चमकदार बनाने में मदद करती हैं। चलिए जानते हैं इससे होने वाले फायदों के बारे में।1. बालों के विकास में मददगारआम की पत्तियां बालों के विकास में काफी मददगार साबित होती हैं। इन पत्तियों में विटामिन सी और विटामिन ए के साथ एंटीऑक्सीडेंट्स की भी मात्रा पाई जाती है, जो बालों के विकास में मदद करती हैं। यह आपके स्कैल्प में मौजूद रक्त वाहिकाओं को भी क्षति पहुंचने से बचाती हैं। यही नहीं आम की पत्तियों में नैचुरल ऑयल मौजूद होता है, जो प्राकृतिक तरह से बालों की देखभाल करता है। इसमें पाए जाने वाले एंटी ऑक्सीडेंट्स आपके बालों को समय से पहले बूढ़ा या सफेद होने से बचाता है। इसलिए अगर आपके बालों का विकास भी रुक गया है तो स्कैल्प पर आम की पत्तियों का प्रयोग कर सकते हैं। इसके लिए बालों में आम की पत्तियों का पेस्ट लगाएं।2. बालों को सफेद होने से रोकेआम की पत्तियों में पोटैशियम , मैग्नीशियम के साथ ही फ्लेवोनॉइड्स मौजूद होते हैं, जो बालों की ग्रोथ के साथ ही बालों को उम्र से पहले सफेद होने से बचाते हैं। इसमें मौजूद विटामिन सी और विटामिन ए आपके कोलेजन के उत्पादन को बढ़ाते हैं, जिससे बाल बढऩे के साथ ही सफेद होना भी कम होते हैं।3. बालों को घना और चमकदार बनाएबालों को बिना किसी साइड इफेक्ट के काला और घना बनाने के लिए आम की पत्तियों का इस्तेमाल करना कारगर विकल्प माना जाता है। इसमें पाए जाने वाले फ्लेवोनॉइड की मात्रा आपके बालों को प्राकृतिक रूप से काला, घना और चमकदार बनाने में मदद करता है। इसके लिए आम की पत्तियों से बना हेयर मास्क का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। या फिर इसका पेस्ट बनाकर स्कैल्प पर लगा सकते हैं।4. डायबिटीज में मददगारआम की पत्तियों में एंटी-डायबिटिक गुण मौजूद होते हैं, जो डायबिटीज के खतरे को कम करते हैं। इसका सेवन डायबिटीज के मरीजों को ब्लड शुगर लेवल से निजात दिलाता है। इसमें पेक्टिन नामक तत्व पाए जाने के साथ ही विटामिन सी और फाइबर की भी प्रचुरता होती है, जो डायबिटीज के रोगियों के लिए काफी मददगार होती हैं। इसके लिए इसके पत्तों का सेवन करने की जरूरत नहीं है। इसलिए लिए पानी में आम की कुछ पत्तियां डालनी हैं और कुछ देर बाद पत्तियां निकालकर केवल पानी का सेवन करना है। इससे ब्लड शुगर लेवल नियंत्रित रहेगा।5. वजन घटाने में मददगारआम की पत्तियां वजन घटाने में भी काफी मददगार मानी जाती हैं। आम की पत्तियां शरीर में लेप्टिन हार्मोन को बढ़ाने में सहायक होती हैं, जिससे वजन नियंत्रित होता है। इसके लिए भी आम की पत्तियों का पानी पीने की जरूरत है। इससे आपका पाचन तंत्र भी दुरुस्त रहता है।6. . पोषक तत्वों से भरपूरआम के साथ ही इसकी पत्तियां भी पोषक तत्वों से भरपूर होती हैं। आम की पत्तियों में एंटी ऑक्सीडेंट्स, फ्लेवोनॉइड्स, विटामिन सी, विटामिन ए, एंटी डायबिटिक प्रॉपर्टीज, एंटी कैंसर प्रॉपर्टीज, पेप्टिन्, पॉलीफेनॉल्स, मैगनीशियम, तांबा और पोटैशियम आदि जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो शरीर में हो रही तमाम परेशानियों से लडऩे में काम आते हैं।
- खुद को सेहतमंद बनाए रखने के लिए हम कई चीजों का इस्तेमाल करते हैं. खास बात यह है कि कई चीजों पर हम पैसा भी बहुत खर्च करते हैं. लेकिन क्या आप जानते है कि लोगों के घर में रखी कुछ चीजें ऐसी होती है, जिनके इस्तेमाल से उन्हें इन बीमारियों से निजात मिल सकती है. जी हां आज हम आपको ऐसी ही एक चीज के बारे में बताने जा रहे हैं. बात कर रहे है अजवाइन की, जो घर-घर में पाई जाती है. अजवाइन के इस्तेमाल से आप कई बीमारियों से खुद को दूर रख सकते हैं. हम आपको अजवाइन के ऐसे ही कई फायदे बताने जा रहे हैं.अजवाइन से दूर होता है मोटापामोटापा आज के वक्त में एक बड़ी समस्या बनती जा रही हैं. लेकिन मोटापा दूर करने में अजवाइन एक अच्छा पदार्थ माना जाता है. अजवाइन का सेवन करने से मोटापा नहीं बढ़ता है. एक चम्मच अजवाइन पानी में भिगो कर रातभर के लिए रख दीजिए. सुबह उठकर इस पानी को उबालकर उसमें थोड़ी सी शहद मिलाकर पीना से शरीर को फायदा मिलता है.अजवाइन से दूर होता है पेट दर्दअगर किसी का पेट दर्द कर रहा है तो अजवाइन इसके लिए रामबाण इलाज है. गैस, अपच और कब्ज बनने की स्थिति में अजवाइन को काले नमक में मिलाकर खाने से तुरंत आराम मिलता है. ऐसा इसलिए क्योंकि अजवाइन में एंटीस्पास्मोडिक और कार्मिनेटिव के साथ थाइमोल नामक कंपाउंड पाया जाता है. जो शरीर में बनी गैस, अपच और कब्ज दूर करने में मदद करता है जिससे इंसान को तुरंत राहत मिलती है. इसलिए जिन लोगों का पेट दर्द ठीक नहीं होता है उन्हें हर दिन एक चुटकी अजवाइन खाने की सलाह दी जाती है.अस्थमा की बीमारी में सहायक अजवाइनआपको शायद ही इस बात की जानकारी होगी की आपके घर में रखी अजवाइन अस्थमा की बीमारी की बेहद कारकर दवा मानी जाती है. जिन लोगों को अस्थमा है उन्हें हर दिन कम से कम एक चम्मच अजवाइन जरूर खाना चाहिए. क्योंकि अजवाइन में एंटी-इन्फ्लेमेशन का गुण भरपूर मात्रा में पाया जाता है, जो अस्थमा दूर करने में असरदार माना जाता है. ऐसे में अस्थमा के मरीजों को अजवाइन का सेवन करने की सलाह दी जाती है. तो अगर किसी को अस्थमा की परेशानी है तो वह डॉक्टर की सलाह पर अजवाइन का सेवन कर सकता है.मुंहासे दूर करने में सहायक अजवाइनअगर आपके मुंह में भी मुंहासे हैं और कई चीजों का इस्तेमाल करने के बाद भी आपको फायदा नहीं मिल रहा है, तो आप अजवाइन का इस्तेमाल करिए. मुंहासे दूर करने के लिए अजवाइन के पाऊडर से पेस्ट बनाएं और मुंह में जहां-जहां भी मुंहासे वहां यह पेस्ट लगाए. कुछ देर के बाद मुंह को ठंडे पानी से थो ले. क्योंकि अजवाइन का पेस्ट लगाने से मुंहासे में तुरंत आराम मिलता है.अजवाइन से गाठिया के दर्द में मिलता है आरामगठिया की बीमारी भी एक बड़ी परेशानी बनती जा रही है. लेकिन अजवाइन का इस्तेमाल करना चाहिए गठिया के दर्द में सहायक माना जाता है. इसके लिए एक उपाय बताया जाता है पहले एक कप पानी को उबाले और फिर उसमें एक चम्मच सोंठ मिक्स कर दें, इसके बाद अजवाइन को एक कपड़े में बांधकर इस पानी में भिगो ले. इसके बाद शरीर में जिस जगह पर गाठियां वहां सिंकाई करने से आराम मिलता है. तो जिन लोगों को गाठिया बीमारी की शिकायत होती है वह अजवाइन का सेवन कर सकते हैं.अजवाइन के ये भी फायदेइसके अलावा भी अजवाइन कई बीमारियों को दूर रखने में सहायक होती है. तो दोस्तों देखा आपके किचन में खाना बनाने में काम आने वाली अजवाइन कई समस्याओं को दूर करने में भी सहायक होती है. यह जितना आपने खाने का स्वाद बढ़ाती है उतना ही आपको बीमारियों से भी दूर रखती है.
- लौंग एक असरदार जड़ी-बूटी है, जो मूल रूप से अपने पेड़ के फूल की कली होती है। इसका साइंटिफिक नाम Syzygium aromaticum होता है। लौंग आसानी से देश की हर रसोई में मिल जाएगा, जो कि फूड व ड्रिंक्स में फ्लेवर व एरोमा डालने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। मगर लौंग का इस्तेमाल सिर्फ खाने-पीने तक ही सीमित नहीं है। इसमें औषधीय गुण भी पाए जाते हैं, जिस कारण इससे कई हेल्थ बेनिफिट्स मिलते हैं। लौंग के फायदे जानने से पहले हम इसमें मौजूद पोषण व गुण की बात कर लेते हैं।लौंग में मौजूद पोषक तत्वएक चम्मच लौंग यानी करीब 2 ग्राम में निम्नलिखित पोषक तत्व मौजूद होते हैं। जैसे-6 कैलोरी1 ग्राम कार्ब्स1 ग्राम फाइबरदैनिक जरूरत का 55 प्रतिशत मैंगनीजदैनिक जरूरत का 2 प्रतिशत विटामिन-केलौंग खाने के फायदेदिमाग और हड्डियों की मजबूतीजैसा कि अभी हमने ऊपर बताया कि लौंग में मैंगनीज होता है। इंसान को दिन में जितने मैंगनीज की जरूरत होती है, 2 ग्राम लौंग उसका तकरीबन 55 प्रतिशत प्रदान करता है। मैंगनीज एक आवश्यक पोषक तत्व है, जो दिमागी क्षमता को बढ़ाने और हड्डियों को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाता है।संक्रमण से बचावलौंग में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-माइक्रोबियल गुण होते हैं। जिसका मतलब है कि यह बैक्टीरिया या अन्य सूक्ष्मजीवों से होने वाले संक्रमण से बचाव प्रदान कर सकता है और उसके इलाज में मदद कर सकता है। इसके अलावा लौंग मुंह के संक्रमण को दूर रखकर ओरल हेल्थ को भी सुधारता है।लिवर के लिए फायदेमंदजानवरों पर हुए शोध में खुलासा हुआ है कि लौंग में मौजूद यूजेनॉल कंपाउंड खासतौर से लिवर को फायदा पहुंचाता है। यह लिवर की सूजन और ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को कम करके उसकी कार्यक्षमता बढ़ाने में मदद कर सकता है। हालांकि, इंसानों पर इस बात के पर्याप्त शोध होने बाकी हैं।ब्लड शुगर का नियंत्रणरिसर्च में पाया गया है कि लौंग ब्लड शुगर को नियंत्रण में रखने के लिए फायदेमंद होता है। यह शुगर को ब्लड से सेल्स में ;ट्रांसफर होने में मदद करता है और इंसुलिन उत्पादित करने वाली सेल्स का फंक्शन सुधाकर इंसुलिन का उत्पादन बढ़ाता है। शरीर में ब्लड शुगर के उचित स्तर के लिए इंसुलिन हॉर्मोन की भूमिका अहम होती है।पेट के अल्सर के इलाज में मददगारकई रिसर्च में यह साबित हुआ है कि पेट के अल्सर के इलाज में लौंग काफी मदद कर सकता है। यह अल्सर आमतौर पर पेट की सेफ्टी लेयर के कम हो जाने के कारण हो जाते हैं। जिसके पीछे स्ट्रेस, इंफेक्शन या जेनेटिक कारण हो सकते हैं।हालांकि, लौंग के फायदों के अलावा इसके कुछ नुकसान भी हो सकते हैं। इसलिए इसका सेवन डॉक्टर या न्यूट्रिशनिस्ट की सलाह के बिना न करें। यहां दी गई जानकारी किसी भी चिकित्सीय सलाह का विकल्प नहीं है।
- आम के फायदों के बारे में सुना होगा, लेकिन क्या आपको पता है कि फलों के राजा कहे जाने वाले आम की पत्तियां भी सेहत के लिए बहुत उपयोगी हैं? हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो आम की पत्तियां यह मधुमेह, रक्तचाप और खसरा आदि बीमारियों के उपचार में मदद करती हैं.आम की पत्तियों में विटामिन ए, बी, सी, तांबा, पोटेशियम और मैग्नीशियम जैसे खनिज पदार्थ भरपूर मात्रा में होते हैं. आम के पत्तों में एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं क्योंकि इन फ्लेवोनॉयड्स और फिनोल की उच्च मात्रा होती है. आम के पत्तों में एंटीमिक्राबियल गुण भी होते हैं जो विभिन्न बीमारियों के उपचार में मदद कर सकते हैं.पित्त की पथरी का इलाज करने में मददगारआम के पत्ते गुर्दे की पथरी और पित्त की पथरी का इलाज करने में मदद करते हैं. इन पत्तों के पाउडर का दैनिक सेवन (जो कि छाया में सूखाएं गए हो) करें. रात में एक गिलास पानी में पाउडर मिलकर रखें, इससे स्टोन्स को तोड़ने और उन्हें बाहर निकालने में मदद करता है.पेट के लिए लाभकारीपेट को स्वस्थ्य रखने के आम के पत्तों को उबालें और फिर इसे किसी बर्तन में रात भर के लिए ढ़क कर रख दें. अगली सुबह इस पानी को छाने और खाली पेट इसका सेवन करें. ऐसा नियमित करने से पेट से संबंधित समस्याएं दूर होती हैं.रक्तचाप को कम कर करने में मददगारआम के पत्ते रक्तचाप को कम कर सकते हैं, क्योंकि इनमें हाइपोटेंसिव गुण होते हैं, जो रक्त वाहिकाओं को मजबूत करने और वैरिकाज – वेंस की समस्या को भी दूर करने में मदद करता है.कान के दर्द से राहतअगर आपक कान के दर्द से परेसान हैं तो आम के पत्तों का रस कान में डालें. इसके लिए उसे गुनगुना कर लें. ऐसा करने से तुरंत राहत मिलती है.कैसे करें आम की पत्तियों का उपयोगआम की पत्तियां चिकनी और चमकदार होती हैं. इन पत्तियों का उपयोग दो प्रकार से किया जा सकता है. पहला इन्हें सुखाकर पाउडर बना सकते हैं और दूसरा इन पत्तियों को उबाल कर काढ़ा बनाया जा सकता है. इनमें औषधीय गुण होने के कारण बहुत सी आयुर्वेदिक दवा बनाने में आम के पत्तों का उपयोग किया जाता है.
- हर घर में दूध से मलाई निकाली जाती है। मलाई वाला दूध पीना हो , या फिर चाय में डालनी हो या ब्रेड मलाई का सेवन करना हो, मलाई स्वाद बढ़ाने के साथ-साथ स्वास्थ्य के लिए भी किसी अमृत से कम नहीं है। वहीं मलाई का प्रयोग कुछ सब्जियों में भी किया जाता है। बता दें कि मिलाई के अंदर फैट, प्रोटीन, कैलोरी, कार्बोहाइड्रेट, अन्य विटामिन आदि मौजूद होते हैं। वहीं इसके अंदर विटामिन ए, फास्फोरस, कैल्शियम, विटामिन बी 12, मिनरल्स, आयरन आदि पाए जाते हैं, जो सेहत को कई समस्याओं से दूर रख सकते हैं। आज हम बताएंगे कि मलाई खाने से क्या-क्या फायदे होते हैं और क्या नुकसान होता है।1 - लाल रक्त कोशिकाओं के लिए मलाईरेड सेल्स में मौजूद हीमोग्लोबिन रक्त कोशिकाओं को न केवल ऑक्सीजन देता है बल्कि पोषक तत्व भी प्रदान करता है। ऐसे में लाल रक्त कोशिकाओं के लिए आयरन, ,मिनरल्स जरूरी पोषक तत्वों में से एक है। बता दें कि मलाई के अंदर आयरन और मिनरल्स दोनों भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं। ऐसे में मिलाई के सेवन से लाल रक्त कोशिकाओं को बढऩे में मदद मिलती है।2 - शारीरिक विकास के लिए मलाई (शारीरिक विकास के लिए जरूरी विटामिंस में से जरूरी विटामिन बी12 है जो न केवल शारीरिक विकास करता है बल्कि इसके माध्यम से आंखें, बाल आदि को भी बढऩे में मदद मिलती है। यह नाखून के स्वास्थ्य के लिए भी बेहद जरूरी विटामिन है। बता दें कि मलाई के अंदर विटामिन बी 12 मौजूद होता है। ऐसे में हम कह सकते हैं शारीरिक विकास के लिए मलाई का सेवन एक अच्छा विकल्प है।3 - किडनी स्टोन के लिए मलाईमलाई के सेवन से किडनी संबंधित समस्याएं दूर हो सकती हैं। जो लोग पथरी की समस्या से परेशान है वे मलाई का सेवन कर सकते हैं। लेकिन उससे पहले इसकी सीमित मात्रा का पता होना जरूरी है। क्योंकि अधिक मलाई का सेवन किडनी स्टोन की समस्या को बढ़ा भी सकता है। ऐसे में डॉक्टर की सलाह और उनके द्वारा बताई गई मात्रा के अनुसार ही मलाई का सेवन करें।4 - आंखों के लिए मलाईआंखों को स्वस्थ बनाने में विटामिन ए महत्वपूर्ण तत्व होता है। बता दें कि मिलाई के अंदर विटामिन ए मौजूद होता है। ऐसे में उसके माध्यम से आंखों में नमी बरकरार रहती है और व्यक्ति को रात में देखने में परेशानी नहीं होती। मलाई के सेवन से आंखों के अंदर की परत यानि रेटिना स्वस्थ बना रहता है और जो लोग रात को नहीं देख पाते वे मलाई के सेवन से इस समस्या को दूर कर सकते हैं। इसके अलावा आंखों की अन्य समस्याएं जैसे मैकुलर डिजनरेशन, मोतियाबिंद, ग्लूकोमा आदि समस्याओं के जोखिम को लोग मलाई के सेवन से कम कर सकते हैं।5 - इम्यून सिस्टम के लिए मलाईमलाई के सेवन से इम्यूनिटी सिस्टम में वृद्धि होती है। ऐसा इसलिए क्योंकि मलाई के अंदर विटामिन ए पाया जाता है जो रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है और संक्रमण को शरीर से दूर रखता है।6 - मानसिक समस्या के लिए मलाईमलाई के अंदर विटामिन बी 5 पाया जाता है जो न केवल डिप्रेशन, चिंता, तनाव आदि को दूर रखता है बल्कि दिमाग को तंदुरुस्त रखने वाले हार्मोन के काम को सुचारु रुप से करने में मदद करता है।मलाई के अन्य फायदे7 - मलाई के सेवन से हड्डियों को मजबूती मिलती है।8 - मलाई के अंदर फास्फोरस पाया जाता है जो दांतों के लिए बेहद जरूरी तत्व है।9 - मसूड़ों के स्वास्थ्य के लिए मलाई का सेवन एक अच्छा विकल्प है।10 - मलाई के अंदर पाए जाने वाला फास्फोरस हृदय रोग से भी बचाता है।11 - मलाई के सेवन से अल्जाइमर का खतरा भी कम हो जाता है।मलाई के नुकसानकहते हैं किसी भी चीज की अति सेहत के लिए नुकसानदेह हो सकती है। ऐसा ही कुछ मलाई के साथ भी है। क्योंकि मलाई के अंदर अधिक मात्रा में सैच्युरेटेड फैट मौजूद होता है ऐसे में इसका अधिक सेवन उच्च रक्तचाप के साथ-साथ मोटापे की समस्या आदि को भी बढ़ा सकता है। इसलिए इसे डाइट में जोडऩे से पहले सबसे पहले इसकी मात्रा का ज्ञान होना जरूरी है। जानते हैं इसके अन्य नुकसान-1 - मलाई के अधिक सेवन से जी मिचलाना, उल्टी आने की समस्या पैदा हो जाती है।2 - मलाई की सेवन से दस्त या बार बार मल आना शुरू हो सकता है।3 - मलाई के सेवन करने से भूख में कमी आनी शुरू हो जाती है।4 - मलाई के सेवन से कभी-कभी पेट में ऐठन की समस्या भी हो जाती है।5 - पेट फूलने की समस्या मलाई के अधिक सेवन से हो सकती है।6 - मलाई के सेवन से व्यक्ति को ज्यादा प्यास लगती है।---
- देश में कोविड-19 से ठीक हो चुके लोगों में ब्लैक और वाइट फंगस के मामलों ने चिंताएं तो बढ़ाई ही थीं, अब यलो फंगस का मामला भी सामने आया है। इसे म्यूकर सेप्टिकस भी कहते हैं।यलो फंगस के लक्षणविशेषज्ञों के मुताबिक यलो फंगस पीडि़त मरीजों में निम्न लक्षण दिख सकते हैं।सुस्ती महसूस होना, काफी ज्यादा थकावट, भूख न लगना, वजन तेजी से कम होना, वायरस फैलने पर घाव होना, घाव से मवाद निकलना, कुपोषण और अंग विफलता होना, आंखें धंसी होना।यलो फंगस का कारण-साफ-सफाई में कमी की वजह से यलो फंगस फैलने का खतरा ज्यादा रहता है। इसलिए इस दौरान साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें।-पुराना या फिर बासी खाना खाने वालों को यलो फंगस होने का खतरा ज्यादा रहा है।-इसके अलावा जिनको घरों में वेंटिलेटर नहीं होता है और जहां नमी ज्यादा होती है वहां यलो फंगस फैलने का खतरा ज्यादा रहता है।-इम्यूनिटी का काफी ज्यादा कमजोर होना।-मौसम में बदलाव की वजह से नमी का बढऩा।शरीर में कैसे ग्रो करता है यलो फंगस?यलो फंगस शरीर के अलग-अलग अंगों को प्रभावित करता है। जैसे- लिवर, किडनी, लंग्स इत्यादि । फंगस अगर पूरी बॉडी में फैल जाए, तो ऑर्गन्स फेल होने की संभावना बढ़ सकती है। यलो फंगस चोट के हीलिंग की पावर को कम कर देता है। आंखे अंदर की ओर धंस जाती हैं। शरीर के विभिन्न अंगों में पस की थैली बनाना शुरू कर देता है। इसकी वजह से मरीज कुपोषण का शिकार हो सकता है।यलो फंगस का इलाजयलो फंगस के लक्षण दिखने पर तुरंत डॉक्टर की सलाह दें। ताकि बीमारी गंभीर होने से पहले इसका इलाज किया जा सके। यलो फंगस होने पर मरीज को एंटीफंगल की इंजेक्शन दी जाती है, ताकि शरीर में फंगस को फैलने से रोका जा सके। इसके अलावा सर्जरी के द्वारा भी यलो फंगस का इलाज किया जाता है। सर्जरी ऐसे मामलों में की जाती है, जहां पर शरीर के किसी अंगों में पस की थैली बन जाए।यलो फंगस का बचाव-घर में मौजूद नमी के कारण भी यलो फंगस फैलने का खतरा हो सकता है। इसलिए घर में नमी न होने दें। जहां नमी ज्यादा होती है, वहां बैक्टीरिया और फंगस फैलने का खतरा ज्यादा रहता है।-30 प्रतिशत से 40 प्रतिशत सही आद्र्रता मानी जाती है, इसलिए अपने घर में बहुत अधिक नमी न होने दें।-इम्यूनिटी को विकसित करने की कोशिश करें।-वेंटिलर को अच्छा करें।-टॉयलेट की साफ-सफाई का ध्यान रखें।