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बालों में डैंड्रफ, टूटना, और झड़ना एक कॉमन समस्या है। लेकिन इन सभी समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए आप कुछ अच्छे हेयर मास्क का इस्तेमाल कर सकते हैं। वैसे तो आपको अपनी समस्या से छुटकारा पाने के लिए बाजार में कई तरह के हेयर मास्क मिलेंगे। लेकिन इनमें कुछ केमिकल आपके बालों को बूरी तरह खराब कर सकते हैं। यहां केले से बनने वाले कुछ हेयर मास्क बनाने के तरीकों के बारे में आपको बता रहे हैं।
केले से कैसे बनाएं हेयर मास्क--
1) केले और पपीता
बेजान बालों के लिए ये हेयर मास्क बेहतरीन है। इसे लगाने से बालों की शाइन वापिस आ जाएगी। प्रोटीन से भरपूर ये मास्क बालों के लिए काफी अच्छा है। इसे बनाने के लिए शहद, केला और पपीक को अच्छे से मिक्स करें और फिर साफ बालों पर इसे लगाएं। इसे लगाने के बाद कैप से कवर करें और फिर गुनगुने पानी से इसे धोएं।
2) केला और नारियल दूध
केला और नारियल दूध आपके बालों को हेयर कंडिशन करने में मदद करते हैं। इसे लगाने से बाल पहले से ज्यादा मुलायम और चिकना दिखता है। इसे बनाने के लिए दोनों चीजों को अच्छे से मिक्स करें। फिर साफ बालों पर इसे लगाएं। ध्यान रखें कि इसे लगाते समय बालों को हल्का गीला रखें।
3) केला, दही और शहद
बेजान बालों में नमी से छुटकारा पाने के लिए ये पैक बेहतरीन है। ये हेयर मास्क डैंड्रफ से छुटकारा दिलाने में मदद करते हैं। हेयर मास्क बनाने के लिए पके केले को मैश करें और दही व शहद को मिक्स करें। इस पैक को 20 से 25 मिनट के लिए बालों पर लगाएं। -
कढ़ी में खट्टापन लाने के लिए अपनाएं ये आसान तरीके, मिलेगा रेस्त्रां जैसा स्वाद
कढ़ी चावल के शौकीन लोग हर वीकेंड बस यही रेसिपी खाने की डिमांड करते हैं। पंजाबी परिवारों में तो यह डिश बेहद शौक से बनाई जाती है। लेकिन थाली में परोसी गई कढ़ी अगर स्वाद में खट्टी नहीं होती तो इसका टेस्ट अच्छा नहीं लगता। यही वजह है कि कढ़ी बनाने के लिए हमेशा खट्टी दही का इस्तेमाल किया जाता है। लेकिन हमेशा घर में कढ़ी बनाने के लिए खट्टी दही मौजूद हो यह जरूरी नहीं होता है। ऐसे में क्या आप जानते हैं बिना खट्टी दही इस्तेमाल किए भी आप कढ़ी में खटास बनाए रख सकते हैं। आइए जानते हैं कैसे।कढ़ी को ऐसे बनाएं खट्टा-इमली का पानी-कढ़ी में खट्टापन लाने के लिए कढ़ी बनाते समय उसमें इमली के पानी का इस्तेमाल करें। इसके लिए सबसे पहले एक कप पानी में इमली भिगोकर रख दें। जब कढ़ी पक कर हल्की गाढ़ी होने लगे तो उसमें इमली का पानी मिक्स कर दें। ऐसा करने से कढ़ी में खट्टापन आ जाएगा।नींबू का रस-कढ़ी बनाते समय अगर उसमें कुछ बूंदे नींबू के रस की डाल दी जाएं तो कढ़ी खट्टी बनती है। इसके लिए सबसे पहले आप अपनी रेसिपी के अनुसार कढ़ी बना लें। जब कढ़ी पक कर तैयार हो जाए तो गैस बंद करने से कुछ मिनट पहले नींबू का रस कढ़ी में मिला दें। ऐसा करते समय गैस का फ्लेम लो ही रखें वर्ना कढ़ी फट सकती है।टमाटर का गूदा-कढ़ी को पकाने के लिए जब आप उसे गैस पर रखेंगे तो आप उसमें 2 से 3 टमाटर कद्दूकस करके उसका गूदा कढ़ी में मिक्स कर दें।10 से 15 मिनट तक कढ़ी को अच्छी तरह पकाने के बाद आप जिस तरह कढ़ी में छौंका लगाते हैं लगा दें। ऐसा करने से ना सिर्फ कढ़ी में खट्टापन आएगा बल्कि यह बेहद टेस्टी भी बनेगी। - करवा चौथ आने में अब बहुत कम दिन रह गए हैं। ऐसे में महिलाएं अपनी तैयारियों में जुट गयी हैं। ब्यूटी पार्लर और मेहंदी से लेकर ज्वेलरी शॉप तक करवा चौथ के लिए महिलाएं कई बार बाजार के चक्कर लगाती हैं। इन सब तैयारियों के बीच स्किन का हालत पूरी तरह से खराब हो जाती है। करवा चौथ पर सबसे सुंदर दिखना चाहती हैं तो आपको घर पर आज से ही अपनी स्किन का ख्याल रखना शुरू कर देना चाहिए। हम आपको शहद से बनने वाले कुछ घरेलू फेस पैक बता रहे हैं जो स्किन को निखारने में आपकी मदद कर सकते हैं।1) शहद और दूधस्किन के लिए दूध और शहद का फेस पैक सबसे अच्छा है। त्वचा को हेल्दी और चमकदार बनाए रखने में मदद करता है। इसे फेस पैक को बनाने के लिए1 बड़ा चम्मच कच्चा दूध और शहद लें और अच्छी तरह मिलाएं। इसे अपनी स्किन पर सर्कुलर मोशन में लगाएं। अब 15-20 मिनट में इसे धोएं।2) शहद और ओट्सस्किन को स्क्रब करने के लिए ये अच्छा है। इसे अपने चेहरे पर लगाएं और सूखने दें। एक बार जब यह पूरी तरह से सूख जाए तो इसे फिर से गीला करें और अपनी उंगलियों को सर्कुलर मोशन में घुमाएं। हालांकि इसे हल्के हाथों से करें।3) शहद और पपीतादाग-धब्बों को चेहरे से हटाने के लिए पपीते के रस में 1 चम्मच शहद मिलाकर 20 मिनट के लिए अपने चेहरे पर लगाएं। इसे पानी से धोएं। इस पैक में एंटी-टेनिंग एजेंट होते हैं जो त्वचा को टैनिंग, झाईयों और सुस्ती से बचाते हैं।
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एक हेल्दी आसान और फाइबर से भरपूर देसी स्नैक रेसिपी की तलाश है? फिर इस आसान मखाना चाट को ट्राई करें, जिसे नवरात्रि व्रत में भी खाया जा सकता है। यह साधारण चाट रेसिपी उन दिनों के लिए बहुत अच्छी है, जो लोग 9 दिनों नवरात्रि व्रत रख रहे हों। इस हेल्दी स्नैक रेसिपी में आप अपने हिसाब से चीजें एड और स्किप भी कर सकते हैं।
आइए, जानते हैं कैसे बनाएं मखाना चाट-
मखाना चाट बनाने के लिए सामग्री-
2 टमाटर
2 मध्यम उबले आलू
2 कप मखाना
1 छोटा चम्मच जीरा पाउडर
2 मुट्ठी हरा धनिया
2 मुट्ठी भुनी हुई मूंगफली
3 हरी मिर्च
2 1/2 चम्मच नींबू का रस
सेंधा नमक
1 छोटा चम्मच लाल मिर्च पाउडर
आवश्यकता अनुसार सेव
2 चम्मच घी
मखाना चाट बनाने की विधि-
इस आसान रेसिपी के लिए सबसे पहले एक पैन गरम करें और उसमें घी डालें। घी के गर्म होने पर इसमें मखाना डालें। इन्हें अच्छी तरह से तब तक टॉस करें, जब तक ये ब्राउन कलर के न हो जाएं। इस बीच, सभी सब्जियां लें और उन्हें अच्छी तरह धो लें। इन्हें अच्छी तरह से काट कर काट लें। सभी सामग्री को एक बाउल में इकट्ठा कर लें। इसके बाद, एक कटोरा लें और उसमें नींबू का रस, लाल मिर्च, सेंधा नमक और बाकी सामग्री डालें। सभी चीजों को अच्छी तरह मिला लें और मखाना, ताजा हरा धनिया, हरी मिर्च और नमक डालकर मिला दें। मूंगफली से सजाएं और सर्व करें। आप इस रेसिपी के साथ कोकोनट वॉटर भी ले सकते हैं। आप अगर व्रत में नींबू का सेवन नहीं करते, तो इसे रेसिपी में इस्तेमाल न करें। -
खजूर सिर्फ मिठाइयों या स्वीट डिशेज में ही इस्तेमाल नहीं होता बल्कि इसे डाइट में भी शामिल किया जाता है क्योंकि इससे कई हेल्थ बेनिफिट्स हैं। एक खजूर में (8 ग्राम) 23 कैलोरी, 0.2 ग्राम प्रोटीन, 6 ग्राम कार्बोहाइड्रेट और 0 ग्राम फैट होता है। खजूर पोटेशियम, मैग्नीशियम और आयरन का अच्छा स्रोत है। एक खजूर में 6 ग्राम कार्बोहाइड्रेट होता है, जिसमें चीनी भी काफी मात्रा में होती है। इसके अलावा, खजूर का स्वाद इतना मीठा होता है क्योंकि उनमें फ्रुक्टोज की मात्रा अधिक होती है, जो ग्लूकोज से दोगुना मीठा होता है। एक औसत खजूर में सिर्फ आधा ग्राम फाइबर होता है। जैसे-जैसे फल पकते हैं, चीनी की मात्रा बढ़ जाती है और फाइबर कम हो जाता है। खजूर का ग्लाइसेमिक इंडेक्स 43 से 55 के बीच हो सकता है। आपको जानकर हैरानी होगी कि इतना मीठा होने के बाद भी इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है।
कैंसर से बचाव
खजूर में एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो कैंसर की रोकथाम से जुड़े हैं। इस कारण से आपको खाना खाने के बाद स्वीट डिश में आइसक्रीम या मिठाई खाने की जगह एक खजूर खाना चाहिए।
हाई ब्लड प्रेशर कंट्रोल
खजूर पोटेशियम का भी अच्छा स्त्रोत है, जो हृदय प्रणाली के लिए एक जरूरी इलेक्ट्रोलाइट है। हाई ब्लड प्रेशर को कम करने पर पोटेशियम काफी कारगर होता है। खजूर में सोडियम भी बहुत कम होता है और कुछ फाइबर प्रदान करता है। दिल की बीमारियों से बचाव के लिए भी खजूर खाना बहुत जरूरी है।
हड्डियां मजबूत करता है
खजूर में मैग्नीशियम होता है, जो हड्डियों के निर्माण में महत्वपूर्ण होता है। मैग्नीशियम की कमी ऑस्टियोपोरोसिस के रिस्क से जुड़ी है। इसके अलावा इसमें कैल्शियम और आयरन की मात्रा भी पाई जाती है।
मेनोपॉज की प्रॉब्लम्स को ठीक करने में असरदार
खजूर में आइसोफ्लेवोन्स की मात्रा सबसे अधिक होती है। इस कारण से मेनोपॉज (रजोनिवृत्ति) के लक्षणों जैसे पेट दर्द, हाथ-पैरों में सूजन से राहत दिलाने में खजूर बहुत फायदेमंद हैं।
शुगर लेवल कंट्रोल करता है
शुगर लेवल कंट्रोल करने के लिए आप चीनी छोड़ना चाहते हैं या फिर आपको मीठा खाने की क्रेविंग होती है, तो आप डाइट में खजूर का इस्तेमाल कर सकते हैं। खजूर एक पोर्टेबल स्नैक भी है, जिसे आप मिठाई या स्नैक्स की क्रेविंग को शांत करने के लिए खा सकते हैं लेकिन याद रखें कि डायबिटीज के मरीजों को 2-3 से ज्यादा खजूर नहीं खाने चाहिए। -
सभी माता-पिता अपने बच्चों से यह उम्मीद करते हैं कि उनका बच्चा स्मार्ट और तेज दिमाग वाला बने। ताकि वह अपने जीवन के हर क्षेत्र में सफलता पाए। अपने इस सपने को पूरा करने के लिए माता-पिता बच्चे के खाने पीने से लेकर उसके लिए अच्छा स्कूल खोजने और अच्छा माहौल तक देने की पूरी कोशिश करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं बच्चों का स्मार्ट होना और बच्चों में आइक्यू लेवल (IQ Level) अच्छा होना, दोनों में बड़ा अंतर है। आई क्यू मतलब इंटेलिजेंट कोशिएंट। यह एक बच्चे को दूसरे बच्चों से अलग बनाता है। कई शोधों में ये पाया गया है कि अगर बचपन से कुछ बातों का ध्यान रखा जाए, तो बच्चों का आईक्यू लेवल बढ़ाया जा सकता है। आइए जानते हैं आखिर कैसे।
बचपन से रखें इन बातों का ध्यान-
-बच्चों को प्यार और सम्मान दें। उनके सामने कभी भी अभद्र भाषा का इस्तेमाल न करें और न ही उन्हें मारें-पीटें।
-बच्चों को प्राकृतिक चीजों और नियमों के बारे में बताएं और उन्हें ज्यादा से ज्यादा प्रकृति के बीच समय बिताने दें।
-बच्चा जब सवाल पूछना शुरू कर दे, तब उसके हर सवाल का सही और वैज्ञानिक जवाब दें।
-बच्चे को कभी भी भूत, जानवर, रहस्मयी व्यक्ति या किसी अन्य चीज से न डराएं
-हमेशा बच्चों की आंखों में देखकर उनसे बात करें और कोशिश करें कि वो जब आपसे बात करे, तो वो भी आपकी आंखों में देख रहा हो।
इंस्ट्रूमेंट बजाना सिखाएं-
बच्चे के दिमागी विकास के लिए यह एक बढ़िया एक्टिविटी हो सकती है। इस एक्टिविटी से ना सिर्फ बच्चे का आइक्यू लेवल बढ़ता है, बल्कि मैथमेटिकल स्किल भी डेवलप होती है।इसके लिए आप अपने बच्चे को गिटार, सितार, हारमोनियम जैसे कोई भी वाद्ययंत्र बजाना सिखा सकते हैं।
खेल सिखाएं-
बच्चों के मानसिक और शारीरिक विकास के लिए उनका खेलना भी जरूरी है। कई बार बच्चे खेल-खेल में ही कई तरह की चीजें सीख जाते हैं। तो अगली बार अपने बच्चे की एक्साइटमेंट और आइक्यू लेवल बढ़ाने के लिए आप भी उसके साथ जरूर खेलें।
गणित के सवाल करवाएं हल-
बच्चे से खेल-खेल में टेबल, या जोड़-घटा वाले सवाल करवाएं। रोजाना ऐसा 10 से 15 मिनट तक करने से बच्चे का आईक्यू लेवल काफी बढ़ जाएगा। इसके अलावा आजकल माता-पिता अपने बच्चे का आईक्यू लेवल बढ़ाने के लिए अबेकस का भी सहारा ले रहे हैं।
डीप ब्रीदिंग-
डीप ब्रीदिंग सबसे अच्छे ब्रेन हैक्स में से एक है। गहरी सांस लेने से मन में अच्छे विचार पैदा होते हैं। इसके अलावा बच्चे की हर चीज में फोकस करने की शक्ति बढ़ने के साथ तनाव से भी मुक्ति मिलती है। इसके लिए नियमित रूप से रोजाना सुबह या शाम 10 से 15 मिनट बच्चे के साथ गहरी सांस लेने का अभ्यास जरूर करें।
माइंड गेम्स का लें सहारा-
बच्चों का आईक्यू लेवल बढ़ाने के लिए उनके साथ दिमाग तेज करने वाले खेल जैसे चैस खेलें। ऐसे गेम्स बच्चों का मानसिक विकास करने में मदद करते हैं।
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आपने प्याज, आलू, पालक और पनीर के पकौड़े तो कई बार ट्राई किए होंगे लेकिन क्या आपने कभी केले के पकौड़े खाए हैं?। अगर नहीं, तो यह रेसिपी सबसे अच्छा ऑप्शन है। जो बारिश के मौसम के लिए कॉम्बो को एकदम सही बनाता है। कच्चे केले, बेसन, चावल का आटा, लाल मिर्च पाउडर, हल्दी, बेकिंग सोडा, नमक और पानी जैसी कुछ चीजें हैं, जो इस डिश को बनाने के लिए काफी है। हमने यहां पकौड़े तलने के लिए सरसों के तेल का इस्तेमाल किया है, लेकिन आप नारियल के तेल का इस्तेमाल कर सकते हैं। साउथ इंडियन रेसिपी में कोकोनट ऑयल का इस्तेमाल किया जा सकता है। अगर आप पकौड़े को डीप फ्राई नहीं करना चाहते हैं, तो आप उन्हें नॉन-स्टिक तवे पर 2-4 टेबल-स्पून तेल में हल्का सा फ्राई कर सकते हैं। बनाना फ्रिटर्स थोड़े मीठे और नमकीन स्वादों का मिश्रण है, जो आपको बहुत स्वादिष्ट लगेगा।
आइए, जानते हैं कैसे बनाएं केले के पकौड़े-
केले के पकौड़े बनाने के लिए सामग्री- ---
1 बड़ा हरा कच्चा केला
2 बड़े चम्मच चावल का आटा
1/4 छोटा चम्मच हल्दी
आवश्यकता अनुसार नमक
1 कप सरसों का तेल
3/4 कप बेसन
1/2 छोटा चम्मच बेकिंग सोडा
1/2 छोटा चम्मच लाल मिर्च पाउडर
1/4 कप पानी
केले के पकौड़े बनाने की विधि- ---
कच्चे केले को छीलकर लंबे और पतले स्लाइस में काट लें। इसे 5 मिनट के लिए पानी में भिगो दें और इसी बीच घोल तैयार कर लें। एक बाउल में बेसन, चावल का आटा, लाल मिर्च पाउडर, नमक और हल्दी के साथ 1/2 कप पानी डालें। गाढ़ा घोल बनाने के लिए एक अच्छा मिश्रण दें। बैटर को फूला हुआ बनाने के लिए उसमें बेकिंग सोडा और फेंटें। केले के स्लाइस को पानी से निकाल लें और किचन टॉवल से थपथपा कर सुखा लें। अब इन्हें बेसन के घोल में डुबोकर चारों तरफ से अच्छी तरह कोट कर लें। एक कढ़ाई में तेल डालकर तेज आंच पर रखें। जब तेल से धुआं उठने लगे, तो गैस को मीडियम कर दें। यदि आप सरसों के तेल का उपयोग कर रहे हैं तो यह कदम महत्वपूर्ण है। अब केले के कटे हुए टुकड़ों को हल्के गरम तेल में डालिये. दोनों तरफ से गोल्डन होने तक डीप फ्राई करें। तले हुए टुकड़ों को किचन पेपर पर निकाल लें। केले के पकौड़े अब परोसने के लिए तैयार हैं। अपनी पसंद की चटनी के साथ सर्व करें। - किचन की सिंक में कॉकरोच से लेकर ड्रेन फ्लाइस स्प्रिंगटेल्स जैसे कीड़े-मकौड़े पनपते हैं। ऐसे में ये कीड़े सिंक से बाहर आकर कभी खाने की प्लेटों पर तो कभी सिंक की दीवार पर नजर आते हैं। अगर समय रहते इनसे निपटने के बारे में न सोचा जाए तो इनकी संख्या दिन पर दिन बढ़ जाती है। यहां कुछ आसान तरीके दिए हुए हैं जिन्हें अपनाकर आप भी किचन में मौजूद कीड़ों से छुटकारा पा सकती हैं।किचन सिंक से कीड़ों को भगाने के तरीके--1) गर्म पानी और विनेगर- इसके लिए बस थोड़ा गर्म पानी लें, सफेद सिरका का 1 भाग मिलाएं और अच्छी तरह से मिक्स करें। इससे स्लैब को पोंछें और इस घोल से कुक टॉप को साफ करें और इस घोल को रात में रसोई की नालियों में डालें, इससे पाइप और नालियां कीटाणुरहित हो जाएंगी।2) गर्म पानी, नींबू और बेकिंग सोडा- 1 लीटर गर्म पानी में 1 नींबू, 2 बड़ा चम्मच बेकिंग सोडा मिलाकर, इसे अच्छी तरह से हिलाएं और नाली के आउटलेट में डालें। सिंक या स्लैब के नीचे के एरिया को इससे धोएं।3) नीम एक्सट्रक्ट- नीम के पत्तों से लेकर नीम के तेल तक, ये आपके किचन से कीड़ों को दूर रखने का चमत्कारी काम करते हैं। किचन में बस नीम की कुछ पत्तियां रखें और सिर्फ 3 दिनों में आपको बदलाव दिखेगा। किचन में कीड़ों को पनपने से रोकने के लिए आप गर्म पानी में नीम के तेल का छिड़काव भी कर सकते हैं।4) बोरिक एसिड और शक्कर- सदियों पुराना उपाय है, जो बेहतरीन तरीके से काम करता है। इसके लिए बस कुछ बोरिक एसिड और चीनी मिलाएं, फिर इसे उन जगहों पर फैलाएं जहां किड़ें हैं।
- आपने कटहल बिरयानी को कई बार ट्राई की होंंगी लेकिन क्या आपने कभी कटहल भरवां मसाला पराठा खाया है? अगर नहीं, तो देर किस बात की है? आप इस पराठे को घर में आसानी से बना सकते हैं। यह तैयार करने में बहुत आसान है और इसे दोस्तों और परिवार खास मौकों पर बनाया जा सकता है।कटहल का पराठा बनाने की सामग्री- ---2 कप गेहूं का आटा1 कप पानी4 बड़े चम्मच रिफाइंड तेलभरण के लिए250 ग्राम कटहल3 बड़े चम्मच धनिया पत्ती2 हरी मिर्च1/2 छोटा चम्मच जीरा पाउडर1/3 छोटा चम्मच हल्दीआवश्यकता अनुसार नमक2 बड़े चम्मच चने का आटा1 छोटा चम्मच अदरक का पेस्ट1/4 छोटा चम्मच गरम मसाला पाउडर1 छोटा चम्मच धनिया पाउडर1/3 छोटा चम्मच सूखे आम का पाउडरकटहल का पराठा बनाने की विधि- ---इस यम्मी परांठे को बनाने के लिए हाथों में थोड़ा-सा तेल लगाकर कटहल को छीलकर बड़े टुकड़ों में काट लें। अब कटहल के टुकड़ों को मध्यम आंच पर 1/4 कप पानी से भरे प्रेशर कुकर में डालें। ढक्कन बंद करें और एक सीटी आने तक पकने दें। जब इसमें सीटी आने लगे तो आंच धीमी कर दें और इसे 3 से 4 मिनट तक और पकाएं। इस बीच, पराठों के लिए आटा गूंद लें। आटे को गीले कपड़े से ढंककर 10 मिनट के लिए अलग रख दें। कटहल के टुकडों को कुकर से चलनी में निकाल लीजिए और उनका पानी निकाल दीजिए। टुकड़ों को एक बाउल में निकाल लें और अच्छी तरह मैश कर लें। एक कड़ाही गरम करें और उसमें बचा हुआ तेल डालें। इसमें बेसन डालकर लगातार चलाते हुए रंग बदलने और महक आने तक भून लीजिए। बेसन भुनने के बाद इसमें जीरा पाउडर डालकर अच्छी तरह मिला लें। मसाले को ब्राउन होने से बचाने के लिए आंच धीमी कर दें। लगातार चलाते हुए कटी हुई हरी मिर्च, धनिया पाउडर, हल्दी पाउडर और अदरक का पेस्ट डालें। मसाले को चलाते हुए भून लें। अब पैन में मैश किया हुआ कटहल, नमक, गरम मसाला और अमचूर पाउडर डालें। कटहल में सभी चीजों को अच्छी तरह मिला लें मध्यम आंच पर भून लें। इसमें हरा धनिया डालकर अच्छी तरह मिला लें। स्टफिंग बनकर तैयार है, इसे प्याले में निकाल लीजिए और थोड़ा ठंडा होने दीजिए। हाथ पर थोड़ा- तेल लगाकर चिकना कर लीजिए।अब आटे की लोई में इस मसाले को भरकर पराठे बनाएं। पराठे को धीमी आंच पर दोनों तरफ से गोल्डन ब्राउन चित्ती आने तक चमचे से दबाते हुए सेक लीजिये। लीजिए स्वादिष्ट कटहल के भरवां पराठे बनकर तैयार हैं। इन्हें हरे धनिये की चटनी, दही या अपने स्वादानुसार किसी भी सब्जी के साथ गरमा गरम खाइए।
- धूल, मिट्टी, प्रदूषण, पसीना आदि कई कारण हैं, जिनकी वजह से हमारे बाल रूखे और बेजान हो जाते हैं। वे बहुत अधिक टूटने-झड़ने लगते हैं। उनकी ग्रोथ भी अच्छी तरह से नहीं हो पाती है। जब भी हेयर ग्रोथ (hair growth tips) की बात होती है, तो सभी के मन में यह पहला सवाल होता है। क्या बालों को नेचुरल तरीके से बढ़ाया जा सकता है? क्या किसी तरह की प्रोडक्ट या ट्रीटमेंट सचमुच हेयर ग्रोथ को सही दिशा दे सकते हैं? बालों की अच्छी तरह देखभाल के लिए रात में कंघी करना बेहद जरूरी है।1 नियमित रूप से ट्रिम कराएंक्या आप बालों की नियमित रूप से ट्रिमिंग कराती हैं या प्रॉपर हेयर कट कराती हैं? वास्तव में माइक्रो हेयर ट्रिमिंग बेहद जरूरी है। इससे बालों की ब्रेकेज जिस वजह से हो रही है, वह खत्म हो जाती है। सुनिश्चित करें कि बालों की सही ग्रोथ के लिए हर महीने या आठ सप्ताह में एक बार किसी बढ़िया सैलून में हेयर एक्सपर्ट से जरूर मिलें।2. लें प्रोफेशनल ट्रीटमेंटहम अक्सर अपने बालों की टेक्सचर को समझे बिना कई तरह के नुस्खे घर पर आजमा लेते हैं। इससे बालों को नुकसान भी पहुंच सकता है। ऐसे कई प्रोफेशनल ट्रीटमेंट हैं, जो बालों की सही डेवलपमेंट में मदद करते हैं। बालों की डीप रूट ट्रीटमेंट उनमें से एक है। यह प्राकृतिक रूप से बालों के विकास में सुधार करने के लिए सबसे सुरक्षित और सर्वोत्तम उपचारों में से एक है।इस उपचार के एक्टिव इनग्रीडिएंट्स नेचुरल और वीगन होते हैं। इसका कोई साइड इफेक्ट भी नहीं होता है। प्लांट बेस्ड ऑयल और प्लांट बेस्ड प्रोटीन सेल प्रोसेस में सुधार करते हैं। बालों को जड़ से मजबूत बनाते हैं। इससे बालों का झड़ना कम हो जाता है। इस उपचार के रिजल्ट जल्दी मिलते हैं, लेकिन लॉन्ग लास्टिंग होते हैं।3. सोने से पहले बालों में कंघी करेंसोने से पहले बालों को कंघी करना और एक-दूसरे से अलग करना भी जरूरी होता है। इससे बालों की जड़ों में ब्लड फ्लो बढ़ता है। ब्रेकेज को कम करने के लिए चौड़े दांतों वाली लकड़ी की कंघी का इस्तेमाल करें।4. नियमित तेल मालिशहेल्दी स्कैल्प बालों के डेवलपमेंट के लिए जरूरी है। इसे तेल मालिश से मेंटेन किया जा सकता है। स्कैल्प और बालों में नियमित तेल मालिश ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाती है। तनाव से राहत देती है और पोर्स को नमी देती है। इससे बालों का विकास बेहतर होता है। स्कैल्प की मालिश के लिए नारियल तेल, बादाम तेल और जैतून के तेल का उपयोग करना चाहिए।इसे सप्ताह में कम से कम दो बार करना चाहिए। आप रिजुवेनेटिंग हेड मसाज का प्रयोग कर सकती हैं। विटामिन ई से भरपूर मोरक्कोनोइल हेड मसाज और फैटी एसिड से भरपूर आर्गन ऑयल मसाज लिया जा सकता है। ओलिक एसिड और लिनोलिक एसिड बालों और स्कैल्प को फैटी लेयर प्रदान करता है, जो सूखापन को रोकने में मदद करता है। यह फ्रिज्ज को कम करता है और शाइन बढ़ाता है।5 अच्छी नींद लेंबालों के विकास में भी साउंड स्लीप महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। यदि आप कम से कम छह घंटे की नींद लेती हैं, तो इस दौरान आपका शरीर फॉलिकल्स और टिश्यूज की मरम्मत करता है। इससे बालों का विकास होता है।6 बालों को नियमित तौर पर बढ़िया शैंपू से साफ करेंस्कैल्प पर जमी गंदगी भी बालों के विकास को रोकती है। आप अपने हेयर टेक्सचर के अनुकूल शैंपू का उपयोग करें। शैंपू करते समय स्कैल्प की अच्छी तरह से मसाज करें। इससे बालों की जड़ों में ब्लड सर्कुलेशन और ऑक्सीजन बढ़ाने में मदद मिलती है।7 हेल्दी और बैलेंस डाइट लेंबाल प्रोटीन से बने होते हैं। इसलिए सुनिश्चित करें कि आप बैलेंस डाइट लेती हैं। अपने बालों के विकास को बेहतर बनाने के लिए अपने आहार में मछली, अंडे, डेयरी उत्पाद, नट्स और फ्लैक्स सीड्स को शामिल करें। इनके अलावा, डेली डाइट में प्रोटीन युक्त भोजन, विटामिन ए, बी, ई, ओमेगा -3 फैटी एसिड और बायोटिन को भी शामिल किया जा सकता है। .8 योग और अन्य शारीरिक गतिविधियां करेंअपनी दिनचर्या में हल्का व्यायाम, ध्यान, योग और अन्य गतिविधियों को शामिल करना सुनिश्चित करें। ये ब्लड फ्लो बढ़ाने और बालों की जड़ों तक ऑक्सीजन पहुंचाने में मदद करते हैं। नियमित व्यायाम तनाव के स्तर को भी कम करता है। इम्यून सिस्टम में सुधार करता है, जिससे बालों के विकास को भी बढ़ावा मिलता है।
- ख़ुशी का सीधा संबंध मन-मस्तिष्क एवं भावनाओं से होता है। जब हम अपनी पसंद का कोई काम करते हैं या हमारी कोई इच्छा पूरी हो जाती है तो हमें ख़ुशी की अनुभूति होती है और ये ख़ुशियों की अनुभूति हमारे मस्तिष्क में हैप्पी हॉर्मोन से नियंत्रित होती हैं। हैप्पी हॉर्मोन चार प्रकार के होते हैं, डोपामाइन, सेरोटोनिन, ऑक्सीटोसिन और एंडोर्फिंस। इन चारों हॉर्मोन की अलग-अलग जि़म्मेदारी है, जिनके नियमित और संतुलित स्राव से आप खुश रहते हैं, जो मानसिक स्वास्थ्य के लिए बहुत ज़रूर है। इन हॉर्मोन को कैसे बढ़ा सकते हैं, जानिए।डोपामाइन हॉर्मोनइस हॉर्मोन का स्राव तब होता है जब हमारे मस्तिष्क को यह संकेत मिलता है कि हमें पुरस्कार या सराहना मिली है। यदि हमने कोई लक्ष्य स्थापित किया है और वह पूरा हो रहा है या हो गया है, तब डोपामाइन हॉर्मोन का स्राव होता है। इसके घटने पर हम कम प्रेरणा महसूस करते हैं, किसी काम को करने या आनंद लेने में रुचि कम हो जाती है।इसे ऐसे बढ़ाएं...नए छोटे-छोटे लक्ष्य बनाएं और धीरे-धीरे उन्हें पूरा करने की कोशिश करें। उद्देश्य पढ़ाई, नौकरी या किसी प्रकार की सफलता हासिल करने से संबंधित हो सकते हैं। ऐसे काम करें जिससे तारीफ़ मिले। छोटी-छोटी जीत या सफलता का उत्सव मनाने से भी डोपामाइन हॉर्मोन बढ़ता है। इसके अलावा किसी कार्य में असफलता मिली है तो निराश होने के बजाय दोबारा कोशिश करें। ख़ुद पर ध्यान दें, सेहत का ख्याल रखें और पसंद का भोजन करें।सेरोटोनिन हॉर्मोनये हॉर्मोन मूड को स्थिर रखने का कार्य करता है। आपके पाचन, नींद की क्रिया और हड्डी की सेहत भी नियंत्रित करता है। इतना ही नहीं, यह तनाव, अवसाद और चिंता को दूर करने का भी काम करता है। आप रोज़ाना कैसा महसूस करते हैं, इसमें सेरोटोनिन हॉर्मोन की अहम भूमिका होती है। लिहाज़ा जब भी मन उदास लगे तो सेरोटोनिन हॉर्मोन बढ़ाने की कोशिश करें।इसे ऐसे बढ़ाएं....रोज़ नियम से व्यायाम करें, जिससे आपका आत्मविश्वास बढ़ेगा। हमेशा सकारात्मक पहलुओं पर ध्यान केंद्रित करें। यदि आप किसी काम में विफल होते हैं और उसके बारे में ही सोचते रहेंगे तो सेरोटोनिन हॉर्मोन का स्तर कम होता जाएगा। आपने जो खोया है उस पर ध्यान न देते हुए जो हासिल किया है उस पर ध्यान देंगे तो हॉर्मोन का स्राव बढ़ेगा। इसके अलावा रोज़ कुछ नया करने की कोशिश करने के लिए ख़ुद को चुनौती दें।ऑक्सीटोसिन हॉर्मोनये लव हॉर्मोन के नाम से भी जाना जाता है, जिसके बढऩे से रिश्तों में विश्वास और प्रेम बढ़ता है। अभिभावकों और बच्चों के रिश्तों को मज़बूत करने में भी इसका महत्व है। स्पर्श, जैसे बच्चे को स्तनपान कराते वक़्त, किसी को गले लगाने से या पालतू के साथ खेलने से भी इस हॉर्मोन का स्राव बढ़ता है।इसे ऐसे बढ़ाएं...दोस्तों और परिवार के साथ समय बिताएं और हो सके तो उन्हें गले लगाकर प्रेम ज़ाहिर करें। घर में बच्चे हैं तो उनके साथ खेलें। योग या व्यायाम करने से भी ऑक्सीटोसिन हॉर्मोन बढ़ता है। अपनों के लिए कुछ अच्छा कर सकते हैं, जैसे कि उपहार दें या किसी की मदद भी कर सकते हैं। इसके अलावा खाने की ख़ुशबू और स्वाद से भी हॉर्मोन का स्तर बढ़ाया जा सकता है।एंडोर्फिंस हॉर्मोन...यह तनाव और दर्द के स्तर को कम करने के लिए जाना जाता है। ये मन को ख़ुशी देने का काम करता है। जब शरीर में इसका स्राव कम होने लगता है तो अच्छा महसूस नहीं होता और मन उदास रहने लगता है। यह हॉर्मोन तनाव, अवसाद और चिंता को दूर करने के लिए बहुत ज़रूरी है।इसे ऐसे बढ़ाएं...हंसने के बहाने ढूंढें। ऐसे लोगों का साथ चुनें जो आपको हंसाएं और ख़ुश महसूस कराएं। जब आप हंसते हैं तो एंडोर्फिंस हॉर्मोन का स्राव तेज़ी से होता है। संगीत सुनें और उसके साथ-साथ थिरकें। जोक्स पढ़ें या कॉमेडी शो देखें। पसंद का भोजन खाएं, पसंद के काम करें और घूमना पसंद है तो उसके लिए समय निकालें। व्यायाम डोपामाइन, सेरोटोनिन और ऑक्सीटोसिन हॉर्मोन के साथ-साथ एंडोर्फिंस भी बढ़ाता है।
- ब्रेड उत्तपम एक हेल्दी और टेस्टी रेसिपी है, जिसे आप आसानी से तैयार कर सकते हैं। सूजी से बनने वाली ये डिश काफी सारी सब्जियों से भरपूर होती है। आप बच्चों के टिफिन के लिए भी इस डिश को बना सकते हैं। इसके अलावा अगर आप डायटिंग पर हैं तो आप इसे ब्राउन ब्रेड के साथ बना सकते हैं। यहां सीखें इसे बनाने की आसान रेसिपी। नाश्ते में टेस्टी और हेल्थ कुछ खाने का मन करें तो आप ब्रेड उत्तपम बना सकते हैं।ब्रेड उत्तपमसामग्री-2 ब्रेड स्लाइस, आधा कप सूजी, आधा कप दही, 1 बड़ा चम्मच कद्दूकस किया अदरक ,एक छोटी बारीक कटी प्याज, एक छोटी बारीक कटी शिमला मिर्च , बारीक कटी हरी मिर्च, एक छोटा बारीक कटा टमाटर, नमक स्वादानुसार,घी।विधिसबसे पहले ब्रेड के किनारे काटकर उसके सफेद हिस्से पर थोड़ा सा पानी लगाकर उसे सॉफ्ट कर लें। अब सूजी और दही एक साथ मिलाकर उसका पेस्ट बना तैयार कर लें। अब इस पेस्ट में सब्जियां मिलाएं और नमक भी डाल दें। अब ब्रेड पर पेस्ट लगाएं और फिर तवा गर्म करके उस पर थोड़ा सा तेल डालकर ब्रेड उत्तपम बनाएं। इसे दोनों तरफ से अच्छे से सेकने के बाद फौरन दूसरी तरफ पलट दें। ब्रेड उत्तपम तैयार है, इसे सॉस या चटनी के साथ गर्म-गर्म सर्व करें।
- नाखून हाथों की खूबसूरती बढ़ाते हैं , लेकिन कई लोगों को इन्हें चबाने की आदत होती हैं। जिससे हाथ भद्दे तो दिखते ही हैं, साथ ही ये स्वास्थ्य को भी नुकसान पहुंचा सकते हैं। नाखून चबाना काफी सामान्य है और कुछ लोगों को यह मामूली लग सकता है, लेकिन इससे कई समस्याएं हो सकती हैं। अक्सर लोग सवाल करते हैं कि आखिर नाखून चबाने के पीछे कोई खास वजह होती है, तो बता दें कि कुछ गंभीर समस्याओं के कारण लोगों को ये आदत लग सकती हैं। यहां जानिए इससे जुड़ी सभी डिटेल्स-इस समस्याओं के कारण लोग खाते हैं नाखून1) एनजायटी और स्ट्रेसकिसी भी बात को लेकर लोग तुरंत स्ट्रेस फील करने लगते हैं। एक्सपर्ट की मानें तो यह नाखून बाइटिंग की वजह भी बन सकता है। बच्चे बहुत कम उम्र में ऐसा करना शुरू कर देते हैं और फिर बड़े होने तक उनमें यह आदत बनी रहती है।2) परफेक्शनिज्मजो लोग किसी भी चीज को परफेक्ट करने के आदि होते हैं, उनमें किसी भी स्थिति के विकसित होने की संभावना ज्यादा होती है। एक्सपर्ट कहते हैं कि परफेक्शनिज्म नेल बाइटिंग की आदत से जुड़ा हुआ है क्योंकि इससे तनाव और चिंता होती है। दूसरे लोगों की तुलना में परफेक्शनिज्म वाले लोग अपने नाखून ज्यादा चबाते हैं।3) ओसीडीकुछ मामलों में, पुरानी नाखून काटना ओसीडी का लक्षण हो सकता है। इतना ही नहीं, कभी-कभी यह एडीएचडी, सेपरेशन चिंता, टॉरेट सिंड्रोम, डिप्रेशन और मानसिक विकारों से जुड़ा होता है।4) फ्रस्टेशनफ्रस्टेशन या फिर वह किसी ऐसी स्थिति में हों कि वे इसे संभाल नहीं सकते हैं वह लोग कभी कभार नाखून चबाते हैं। जर्नल ऑफ बिहेवियर थेरेपी एंड एक्सपेरिमेंटल साइकियाट्री के एक अध्ययन के मुताबिक फ्रस्टेशन उन फिलिंग्स में से एक है जो नाखून चबाने का कारण बन सकती है।कैसे पाएं नेल बाइटिंग से छुटकारा ----1) तनाव से बचेंरिपोर्ट के मुताबिक, तनाव और चिंता जैसे शारीरिक असंतुलन नेल बाइटिंग का कारण बनते हैं। ऐसे में स्ट्रेस लेवल को कम करना जरूरी है, तभी आपको नाखून काटने की आदतों से छुटकारा पाने में मदद मिल सकती है। इसके लिए योग, ध्यान और विश्राम तकनीकों को अपनी लाइफस्टाइल का हिस्सा बनाएं।2) कड़वे टेस्ट वाली नेल पॉलिश लगाएंआज कल सभी चीजें फ्लेवर वाली मिलने लगी हैं। लेकिन अगर आपको नेल बाइटिंग की आदत है तो आप कड़वे स्वाद वाली नेल पॉलिश का इस्तेमाल करें। चाहें को सिरका भी लगा सकते हैं क्योंकि इसका स्वाद कड़वा होता है और यह आपको नाखून चबाने से बचाने में मदद कर सकता है।
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दूध का इस्तेमाल हर घर में होता है। दूध से निकलने वाली मलाई का इस्तेमाल खाने के साथ-साथ स्किन पर भी किया जाता है। महिलाएं अक्सर दूध से मोटी मलाई न निकलने की शिकायत करती हैं। हालांकि इस बात के लिए परेशान होने की जरुरत नहीं है, क्योंकि आप दूध से मोटी मलाई निकालने के लिए कुछ चीजों को ट्राई कर सकते हैं। दूध को उबालने के तरीके में कुछ बदलाव के बाद आप दूध से बेहद मोटी मलाई निकाल सकती हैं। \
जानिए दूध से मोटी मलाई निकालने वाले और दूध फटने से बचाने वाले हैक्स-
दूध को फटने से कैसे बचाएं---
- इस मौसम में दूध ज्यादा खराब होता है। ऐसे में दूध के फटने की शिकायत बढ़ जाती हैं। दूध को कई घंटे बाहर गर्मी में छोड़ने या बाहर रखकर भूल जाने पर ऐसा होता है।
- ऐसे में दूध को सही रखने के लिए दूध को उबालने से पहले उसमें चुटकी भर बेकिंग सोडा मिलाएं। इसके बाद दूध को उबालें।
- ऐसा करने से दूध के फटने की उम्मींद कम हो जाती है। लेकिन ऐसा करते समय ध्यान रखें कि इस दूध को आपको एक ही दिन में यूज करना होगा।
दूध से मोटी मलाई कैसे निकालें --
1) अगर दूध फ्रिज में रखा था तो इसे बाहर निकाल कर कुछ देर के लिए रूम के मुताबिक तापमान पर आने दें तभी उबालें।
2) दूध से मोटी मलाई निकालने के लिए दूध को मीडियम आंच पर कुछ देर के लिए उबालें और फिर उबाल आ जाने के बाद आंच को धीमा करें और फिर कुछ देर के लिए इसे अच्छे से पकने दें।
3) जब दूध पक जाए तो ढक्कन हटा कर इसे थोड़ी देर के लिए खुला छोड़ दें। चाहें तो छलनी से ढक दें। फिर जब दूध कमरे के तापमान जितना हो जाए तो इसे फ्रिज में रखें।
4) अगर घर पर मिट्टी के बर्तन का इस्तेमाल करती हैं तो आप दूध को इसी बर्तन में स्टोर करें। इससे मलाई काफी मोटी जमेगी। इसमें भी जब दूध से भाप निकल रही हो तो पूरी तरह से न ढके। - बच्चों की स्कूल ड्रेस से लेकर हस्बैंड की वाइट शर्ट एक समय पर आकर पीली दिखने लगती हैं। इस पीलेपन से छुटकारा पाने के लिए कपड़े को सही तरह से धोना काफी जरूरी होता है। जब आप सही तरह से सफेद रंग के कपड़ों को धोते हैं तो इन्हें पीले रंग से बचाया जा सकता है और साथ ही इसकी चमक भी बनी रहती है। अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर सफेद रंग के कपड़े धोने का सही तरीका क्या हो सकता है? ऐसे में हम आपको कुछ ट्रिक्स के बारे में बता रहे हैं जो सफेद रंग को चमकदार बना देगी।सफेद कपड़े कैसे धोएं ----1) सफेद कपड़े को अलग से साफ करें- कई लोग अक्सर ये गलती कर जाते हैं। वह हल्के रंग के कपड़ों के साथ सपेद रंग के कपड़ों को मिक्स कर देते हैं और ऐसे में ये दूसरे रंगों के साथ मिल सकता है।2) कम गर्म पानी में भिगोएं- कपड़ों के लेबल पर हमेशा उन्हें धोने के तरीकों के बारे में लिखा होता है। आप अपने सफेद कपड़ों को साफ करने के लिए उन निर्देशों को पढ़ें। इसके अलावा ड्रायर से अपने हल्के गीले कपड़ों को बाहर निकालें।सफेद रखने के उपाय1) ब्लीचिंग पाउडर का करें इस्तेमाल- सफेद रंग के कपड़े को साफ करने के लिए ब्लीचिंग पाउडर का इस्तेमाल किया जाता है। हालांकि कॉटन के कपड़ों को साफ करने के लिए बहुत ज्यादा ब्लीच का इस्तेमाल ना करें। ऐसा करने से भी सफेद कपड़े पीले पड़ सकते हैं।2) नींबू का करें इस्तेमाल- नींबू का रस एक नैचुरल ब्लीचिंग एजेंट है और सफेद कपड़ों पर बहुत अच्छा काम करता है। इसका इस्तेमाल करने के लिए गर्म पानी का इस्तेमाल करें और इसमें आधा कप नींबू के रस में मिलाएं। फिर कपड़ों को एक घंटे या रात भर के लिए भिगो दें, और अगले दिन धो लें। चाहें तो आप दाग पर डायरेक्ट नींबू को रगड़ सकते हैं।3) सिरका को करें यूज- आप सफेद सिरका का इस्तेमाल भी कर सकते हैं, ये काफी हद तक नींबू के रस की तरह काम करता है। इसे यूज करने के लिए 1/2 कप सफेद सिरका को पानी में मिलाकर कपड़ों को भिगोएं और फिर हमेशा की तरह धोएं।इन बातों का रखें ख्याल--- सफेद कपड़ों को धूप में सुखाने से उनकी रंगत बनी रहती है। इसके अलावा कपड़ों से बदबू भी निकल जाएगी।- किसी भी चीज का ज्यादा इस्तेमाल करने से कपड़े की क्वालिटी खराब हो सकती हैं। इसलिए सभी चीजों का सीमित इस्तेमाल करें।
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पालक पत्ता चाट शाम की चाय के लिए एक बढ़िया नाश्ता है। पालक के पत्तों को बेसन के घोल से लपेटा जाता है, डीप फ्राई किया जाता है और फिर दही, चटनी और मसालों के इसे सर्व किया जाता है। आप अगर कुछ डिफरेंट रेसिपी चखना चाहते हैं, तो आपके लिए आपको यह रेसिपी जरूर ट्राई करनी चाहिए। ज्यादातर बच्चे पालक नहीं खाना चाहते हैं, ऐसे में आप इस डिश को बनाकर उन्हें खिला सकते हैं। आइए, जानते हैं कैसे बनाएं पालक पत्ता चाट की रेसिपी-
पालक पत्ता चाट की सामग्री ---
1 कप बेसन
1 छोटा चम्मच नमक
1/2 छोटा चम्मच अजवायन
2 कप पानी
एक चुटकी हल्दी
7-8 पालक के पत्ते
4 बड़े चम्मच दही
एक चुटकी काला नमक
एक चुटकी जीरा
एक चुटकी लाल मिर्च पाउडर
2 चम्मच प्याज, कटा हुआ
2 छोटा चम्मच टमाटर कटा हुआ
1 हरी मिर्च 2 चम्मच
इमली की चटनी
2 चम्मच पुदीने की चटनी
1 छोटा चम्मच बूंदी
1 छोटा चम्मच अनार का
1 छोटा चम्मच सेव
पालक पत्ता चाट बनाने की विधि----
एक कटोरी में एक कप बेसन लें और उसमें नमक, अजवायन और पानी डालें। चिकना घोल बनाने के लिए इसे फेंट लें। यदि जरूरत हो तो और पानी डालें। इसमें एक चुटकी हल्दी डालें और फिर से मिलाएं। अब ताजा और साफ किए हुए पालक के पत्ते लें, उन्हें भिगोकर बेसन के मिश्रण से पूरी तरह से कोट करें और एक पैन में डीप फ्राई करने के लिए रख दें। तली हुई, कुरकुरी पालक की पत्तियों को एक प्लेट में रखें और उन पर थोडा़-सा दही डाल दें। सारे मसाले और चटनी ले लें और डिश को इनसे गार्निश करना शुरू कर दें। एक बार में एक मसाला डालें। शुरुआत में काला नमक, जीरा और लाल मिर्च पाउडर, उसके बाद कटा हुआ प्याज, टमाटर, हरी मिर्च, इमली की चटनी और पुदीने की चटनी। आप अपने स्वाद के अनुसार मसाले की मात्रा का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। -
आपको सूजी की खीर बनानी ट्राई करनी चाहिए। यह खीर 20 मिनट में बनकर तैयार हो जाती है। उत्तर भारत में इसे सूजी खीर और दक्षिण में इसे सूजी पायसम के नाम से जाना जाता है। आपको बस सूजी, दूध, चीनी, घी, इलायची पाउडर, बादाम, काजू, पिस्ता और किशमिश का इस्तेमाल करना है। सफेद चीनी की जगह आप ब्राउन शुगर या गुड़ के पाउडर का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। रेसिपी का स्वाद बढ़ाने के लिए आप इसमें केसर भी डाल सकते हैं। भारतीय त्योहार मिठाइयों के बिना अधूरे हैं, और अगर आप कम टाइम में कुछ स्पेशल बनाना चाहते हैं, तो इस खीर रेसिपी को जरूर ट्राई करें।
सूजी खीर बनाने की विधि---
4 बड़े चम्मच सूजी
4 बड़े चम्मच चीनी
1 बड़ा चम्मच काजू
1 बड़ा चम्मच किशमिश
2 बड़े चम्मच घी
2 कप दूध
1 बड़ा चम्मच बादाम
1 बड़ा चम्मच पिस्ता
1 डैश पिसी हुई हरी इलायची
सूजी की खीर बनाने की विधि- --
एक पैन में 1 टेबल स्पून घी गरम करें। कटे हुए बादाम, पिस्ता, काजू और किशमिश डालें। 2-3 मिनट तक भूनें। अब भुने हुए मेवे को प्याले में निकाल लीजिए।
उसी पैन में 1 टेबल स्पून घी डालें। सूजी डालें, मिलाएँ और मध्यम आँच पर कुछ मिनट तक भूनें, जब तक कि सूजी गोल्डन न हो जाए। अब पैन में दूध और चीनी डालें। दूध में उबाल आने दें। अब मिक्स करें और मध्यम आंच पर 5-6 मिनट तक पकाएं। भुने हुए मेवों के साथ एक चुटकी इलायची पाउडर मिलाएं। आखिरी दो मिनट तक पकाएं और आंच बंद कर दें। अब आपकी सूजी खीर परोसने के लिए तैयार है। -
योग आपको मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ रखने में मदद करते हैं. बढ़ती उम्र में स्वास्थ्य संबंधित कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है. ऐसे में नियमित रूप से योगासन आपको स्वास्थ्य संबंधित समस्याओं से छुटकारा दिला सकता है.
त्रिकोणासन - बुजुर्गों को नियमित रूप से त्रिकोणासन करना चाहिए. इस आसन को बुजुर्ग आसानी से कर सकते हैं. इसे करने से ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करने में मदद मिलती है. इससे पीठ के दर्द में आराम मिलता है. ये एसिडिटी से छुटकारा दिलाने का काम करता है.
शिशुआसन - शिशुआसन कमर की मसल्स को आराम देता है. ये आसन कब्ज की समस्या से राहत दिलाता है. ये पीठ के दर्द से राहत दिलाने का काम करता है. इसे करने से गर्दन की मांसपेशियों को आराम मिलता है.
भुजंगासन - इस आसन को करने से ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है. इसे करने से कमर और कंधों की मसल्स मजबूत होती है. ये आपको ऊर्जावान बनाए रखने में मदद करता है. ये आसन हृदय को स्वस्थ रखता है.
ताड़ासन - ये आसन बहुत ही आसान और प्रभावी है. ये आसान पीठ दर्द की समस्या से राहत दिलाने का काम करता है. ये घुटनों के दर्द में आराम पहुंचाता है. इससे आपका पोस्चर भी बेहतर होता है। -
बहुत से लोगों की स्किन ड्राई होती है. ऐसे में त्वचा को मॉइस्चराइज रखना बहुत ही जरूरी हो जाता है. रूखी त्वचा को मॉइस्चराइज करने के लिए आप होममेड फेस पैक का इस्तेमाल भी कर सकते हैं. आप दूध का इस्तेमाल करके कई तरह के फेस पैक बना सकते हैं. दूध में विटामिन और मिनरल होते हैं. ये त्वचा को गहराई से पोषण देने का काम करते हैं. दूध हमारी त्वचा के लिए एक बेहतरीन प्राकृतिक मॉइस्चराइजर के रूप में काम करता है.
दूध का इस्तेमाल करके आप किस तरह फेस पैक बना सकते हैं आइए जानें-
त्वचा की देखभाल के लिए दूध
एक बाउल में ठंडा दूध लें. इसमें एक कॉटन बॉल भिगोएं. इसे पूरे चेहरे के साथ-साथ गर्दन पर लगाएं. इसे 10 से 15 मिनट के लिए लगा रहने दें. इसके बाद त्वचा को सादे पानी से धो लें. ये रूखी त्वचा को मॉइस्चराइज करता है.
दूध और पपीते का फेस पैक
पपीते के क्यूब्स काटकर ब्लेंडर में डालें. इसमें थोड़ा दूध डालें. इसे ब्लेंड करके फेस पैक तैयार करें. इसे एक बाउल में निकाल लें. इसे चेहरे और गर्दन पर लगाएं. इसे 10 से 15 मिनट के लिए लगा रहने दें. इससे कुछ देर तक त्वचा की मसाज करें. इसके बाद चेहरे को धो लें. आप सप्ताह में 2 से 3 बार इस फेस पैक का इस्तेमाल कर सकते हैं.
दूध और केले का फेस पैक
एक केले को टुकड़ों में काट कर ब्लेंडर में डालें. इसे ब्लेंड करें. अब इस पेस्ट को बाउल में निकाल लें. इसमें 1 से 2 चम्मच दूध मिलाएं. इस मिश्रण को अच्छे से मिलाएं. इसे पैक को चेहरे और गर्दन पर लगाएं. इससे कुछ देर तक त्वचा की मसाज करें. इसे त्वचा पर 20 से 30 मिनट के लिए लगा रहने दें. इसके बाद त्वचा को सादे पानी से धो लें. आप इस फेस पैक का इस्तेमाल हफ्ते में 2 से 3 बार कर सकते हैं.
दूध और शहद का फेस पैक
एक बाउल में एक चम्मच ठंडा दूध लें. इसमें एक चम्मच शहद मिलाएं. इन दोनों को एक साथ मिलाएं. इस मिश्रण को चेहरे के साथ-साथ गर्दन पर लगाएं. इससे कुछ देर तक त्वचा की मसाज करें. इसे 15 से 20 मिनट के लिए त्वचा पर लगा रहने दें. इसके बाद त्वचा को सादे पानी से धो लें. आप हफ्ते में 2 से 3 बार इस फेस पैक का इस्तेमाल कर सकते हैं. - अरबाज मलाइका हो या सोहेल खान और सीमा, आजकल कई शादीशुदा कपल्स लंबे समय तक साथ रहने के बाद भी एक दूसरे से अलग होने का फैसला ले लेते हैं। शुरुआत में ज्यादातर हर शादीशुदा जोड़ा अपने रिश्ते में एक नयापन और एक्साइटमेंट फील करता है लेकिन समय के साथ ये नयापन और एक दूसरे के लिए प्यार कम होने लगता है। रिश्ते की ये यही बोरियत उनके जीवन को नीरस बनाती है। जिसकी वजह से वो कभी-कभी इस बोरियत की वजह से एक-दूसरे को धोखा तक दे देते हैं। लेकिन इसके पीछे की वजह क्या है? क्यों कुछ समय बाद लोगों की लव लाइफ बोरिंग हो जाती हैं? आइए जाने इसके पीछे का कारण।दरअसल, रिश्ते की शुरुआत में तो सभी कपल्स एक दूसरे की फीलिंग का पूरा ध्यान रखते हैं, लेकिन समय के साथ यह इमोशन्स कम या खत्म होने लगते हैं। एक उम्र के बाद दोनों सिर्फ घर से जुड़ी जिम्मेदारियां ही निभा रहे होते हैं। अगर आपके साथ भी कुछ ऐसा ही हो रहा है तो अपनी शादीशुदा जिंदगी में दोबारा पहले जैसे रंग भरने के लिए अपनाएं ये 6 टिप्स।रिश्ते में पहले दिन जैसा प्यार प्रेशनेस बनाए रखने के लिए अपनाएं ये तरीके-रोमांटिक यादों को फिर से टटोलें-अपनी बोरिंग शादीशुदा लाइफ में रंग भरने के लिए सबसे पहले अपनी लाइफ के रोमांटिक सुनहरे पलों को याद करते हुए उन बातों को अपने पार्टनर के साथ शेयर करें। इन बाातों में आपकी पहली मुलाकात से लेकर आपकी रोमांटिक डेट भी शामिल हो सकती है। अपने पार्टनर को बताएं कि वो सभी प्यार भरे पल आपके दिल में आज भी एक खास जगह बनाए हुए हैं।पार्टनर से न करें शर्म -घर के फैसलों से लेकर रोमांस से जुड़ी हर बात अपने पार्टनर से खुलकर करें। अपनी फैंटेसीज और फीलिंग को एक दूसरे के साथ शेयर करते हुए बिल्कुल न शर्माएं।छोटी-छोटी बातों से न करें मूड खराब -खुशहाल शादीशुदा जिंदगी के लिए यह बहुत अहम चीज है कि कपल एक दूसरे को उनकी अच्छी और बुरी दोनों आदतों के साथ स्वीकार करें। आप अगर किसी एक चीज में अच्छे हैं तो आपके पार्टनर किसी और चीज में होंगे। पार्टनर से गलती होने पर चिल्लाने या गुस्सा दिखाने के बजाय प्यार से और आराम से समझाने की कोशिश करें। खुद गलती करने पर उनसे मांफी मांग लें। जीवन की गाड़ी चलाने के लिए आप दोनों को एकदूसरे की खूबियों की जरूरत है।समय-समय पर पार्टनर की तारीफ-कभी-कभी पार्टनर की बातों, लुक्स और बनाए हुए खाने की तारीफ करें। इससे रिश्ते में मजबूती आने के साथ प्यार भी बढ़ेगा।प्लान करें हॉलीडे -लाइफ में पहले जैसे रंग भरने के लिए बीच-बीच में पार्टनर के साथ हॉली डे भी प्लान कर सकते हैं। अगर आप काम की वजह से अपने पार्टनर को समय नहीं दे पाते हैं, तो ऐसे में काम से कुछ दिनों के लिए छुट्टियां लेकर हॉली डे पर जाएं। इससे आप मेंटली रिफ्रेश होने के साथ रिलेशनशिप को भी मजबूत कर पायेगें।काउंसलर की लें मदद-कई बार हम खुद अपनी मैरिड लाइफ की समस्याओं को दूर नहीं कर पाते हैं या फिर मैरिड लाइफ की बोरियत को दूर नहीं कर पाते हैं। अगर आपको भी ऐसा लगता है कि आप खुद अपनी समस्या का समाधान नहीं खोज पा रहे हैं, तो ऐसे में किसी रिलेशनशिप काउंसलर की मदद लेना एक अच्छा विचार हो सकता है।
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सुकून भरी नींद सुलाने में हेल्प करेंगे ये इनडोर प्लांट्स
कहते हैं कि आज की भागती-दौड़ती जिंदगी में असली लग्जरी उसी के पास जिसके पास सुकून भरी नींद है। नींद पूरी न होना आज आधुनिक युग की हेल्थ प्रॉब्लम बनती जा रही है। कई लोग तो ऐसे हैं जो नींद लाने के लिए स्लीपिंग पिल्स तक ले लेते हैं लेकिन फिर भी उनकी नींद डिस्टर्ब रहती है बल्कि लगातार स्पीलिंग पिल्स लेने से उन्हें कई तरह की हेल्थ प्रॉब्लम्स होनी भी शुरू हो जाती है। ऐसे में पिल्स लेने की बजाय हमें अपने लाइफ स्टाइल में बदलाव करके देखना चाहिए। सबसे पहले पॉजिटिव जगह पर रहना बहुत जरूरी है। पॉजिटिव वाइव्स और आपकी नींद का ख्याल रखने के लिए कुछ प्लांट्स आपके घर में होने ही चाहिए। आइए, जानते हैं कौन-से प्लांट्स हो सकते हैं हेल्पफुल-स्नेक प्लांटएयर क्वालिटी वजह है, जो आपके आसानी से और रात में सोने की क्षमता को प्रभावित कर सकती है। हम अपने बेडरूम को आमतौर पर ठंडा रखने के लिए एसी और कूलर का बहुत ज्यादा इस्तेमाल करते हैं। इससे दरवाजा बहुत देर तक बंद रखने से आपके घर के आसपास हवा का संचार कम हो जाता है। आपके आसपास की हवा को फ्रेश रखने के लिए स्नेक प्लांट अच्छा उपाय है।पीस लिलीबहुत ज्यादा नम हवा से कई सारे हेल्थ इश्यू हो सकते हैं, वहीं ड्रायनेस भी आपके कमरे के लिए सही नहीं है। ऐसे में बैलेंस करने के लिए पीस लिली बहुत ही अच्छा उपाय है। पीस लिली नमी को 5% तक बढ़ा सकती हैं, इससे आपको काफी अच्छा लगता है। पीस लिली को ज्यादा पानी या सूरज की रोशनी की जरूरत नहीं होगी, इसलिए आप इसे अपने बिस्तर के ठीक बगल में रख सकते हैं।एलोवेराएलोवेरा सबसे पॉप्युलर पौधा है। हेल्थ, हेयर और स्किन केयर के लिए इस पौधे को घर में लगाया जाता है। एलोवेरा रात के समय ऑक्सीजन बनाता है, जो आपके बेडरूम के वातावरण के लिए बहुत अच्छा है। एलोवेरा को दिन में एक बार सूरज की रोशनी जरूर दिखाएं।अरेका पामअरेका पाम सबसे अच्छे एयर प्यूरीफायर में से एक है। स्नेक प्लांट की तरह इसमें हवा से विषाक्त पदार्थों को निकालने की बड़ी क्षमता होती है। अरेका पाम भी एक नेचुरल एयर ह्यूमिडिफायर है। इस पौधे को ज्यादा लाइट/सूरज की रोशनी की जरूरत नहीं होती है। बहुत तेज धूप में इसकी पत्तियां पीली हो जाएंगी। वसंत और गर्मियों के दौरान मिट्टी को नम रखें और सर्दियों में ज्यादा पानी न दें।इंग्लिश आइवीइंग्लिश आइवी एक ऐसा प्लांट है, जो आपकी आसपास की हवा को साफ करता है। यह फैला हुआ, पत्तेदार पौधा आपकी नींद का ख्याल रखता है। सबसे अच्छी बात यह है कि इनडोर प्लांट होने के नाते इसे ज्यादा देखभाल की जरूरत नहीं होती। आपको हफ्ते में एक दिन इसे पानी देना होता है। -
तंबाकू का किसी भी रूप में सेवन करने से सेहत को नुकसान ही पहुंचाता है। यह एक तरह का जहर है जो सेवन करने वाले को धीरे-धीरे मारता है। लोग इसे शौक के रूप में शुरू तो करते हैं, लेकिन धीरे-धीरे यह उनके लिए लत बन जाता है। जिससे पीछा छुड़ाना उनके लिए काफी मुश्किल होता है। ऐसे में अगर आपके घर में भी कोई गुटखा या तंबाकू का किसी भी रूप में सेवन करता है तो उसकी ये लत छुड़वाने के लिए आप ये उपाय आजमा सकती हैं।
तंबाकू की लत छोड़ने के लिए ऐसे तैयार करें नींबू और सौंफ का ये नुस्खा-
अगर आपको गुटखा खाने के साथ शराब और सिगरेट पीने की भी लत है तो आप नींबू और सौंफ से तैयार इस मिश्रण की मदद ले सकते हैं। इसे बनाने के लिए आपको जरूरत है 100 ग्राम सौंफ, 10 ग्राम अजवाइन और थोड़ा-सा सेंधा नमक। इन सभी चीजों को मिक्स करके इसमें दो नींबू का रस मिलाएं। अब इस मिश्रण को तवे पर सेक लें। इस मिक्सचर को आप हमेशा अपनी जेब में रखें। जब भी आपको गुटखा खाने का मन करे तो थोड़ा सा ये मिश्रण जेब से निकालकर खा लें। इस मिश्रण को खाने से न सिर्फ आपकी गुटका खाने की लत छूट जाएगी, साथ ही आपका पाचनतंत्र ठीक होने के साथ शरीर में खून भी साफ होगा।
सलाह- हालांकि इस मिश्रण का कोई भी साइड इफेक्ट नहीं है, लेकिन फिर भी इसका उपयोग करने से पहले एक बार आयुर्वेदिक विशेषज्ञ की सलाह ले लें। -
एंटी एजिंग प्रॉपर्टी
मेहंदी में एंटी ऑक्सीडेंट पाए जाते हैं। इसके साथ ही इसमें मौजूद एस्ट्रिजेंट एजिंग और रिंकल्स होने से रोकते हैं। यह त्वचा पर होने वाले दाग-धब्बों को भी कम करती है। इसके साथ ही इसमें मौजूद एंटी वायरल और एंटी बैक्टीरियल इफेक्ट त्वचा के लिए काफी फायदेमंद होते हैं।
स्किन इंफेक्शन को रोके
आयुर्वेद की मानें तो मेहंदी में मौजूद एंटीमाइक्रोबॉयल और एंटी इन्फ्लेमेटरी प्रॉपर्टी त्वचा से जुड़ी समस्याएं जैसे कि खुजली, एलर्जी और स्किन रैशेज में फायदेमंद हो सकती हैं। यह त्वचा की हेल्थ को बनाए रखने में मदद करती है।
स्कैल्प स्किन हेल्थ को बनाये रखे
आयुर्वेद के अनुसार मेहंदी में मौजूद प्रॉपर्टी और इसकी शीतलता स्किन के लिए मेडिसिन की तरह काम करती है। स्कैल्प से एक्सेस ऑयल को रिमूव करती है और ईसमय मौजूद एस्ट्रिजेंट स्कैल्प को ड्राई रखती है। यह स्कैल्प पर डेंड्रफ को जमा नही होने देता। इसके साथ ही स्कैल्प को इनफेक्शन और एलर्जी से बचाता है।
घाव भरने में मदद करे
मेहंदी त्वचा पर हुए घाव को भरने और सूजन कम करने में मदद करती है। इसकी तासीर ठंडी होती है तो स्किन बर्न में भी इसका इस्तेमाल कर सकती हैं। आयुर्वेद के अनुसार यह त्वचा पर होने वाले जलन को कम करने के लिए प्राकृतिक रूप से प्रयोग में लाइ जाती है।
यह भी ध्यान रखें
आयुर्वेद के अनुसार मेहंदी में कई औषधीय गुण होते हैं। जो बरसात के मौसम में होने वाली त्वचा संबंधी समस्याओं से निजात दिलाते हैं। पर ये लाभ आपको तभी मिल पाएंगे जब आप शुद्ध मेहंदी का प्रयोग करें। मिलावटी और केमिकल युक्त हिना कोन आपको लाभ की बजाए नुकसान दे सकते हैं। -
हमारे कपड़ों पर खाते-पीते समय या किसी अन्य वजह से दाग लग जाते हैं और कई बार ये दाग इतने जिद्दी होते हैं कि डिटर्जेंट पाउडर भी इन्हें नहीं छुड़ा पाता है. काफी मेहनत के बाद भी कपड़ों से दाग (Stain) नहीं जाते हैं और कई बार जाते भी हैं तो अपना निशान जरूर छोड़ जाते हैं. फिर जब कपड़ा पहनने लायक नहीं बचता तो मजबूरन हमें उसको पोछा बनाना पड़ता है या अन्य कामों में इस्तेमाल करना पड़ता है. ऐसे में हमारे पास कुछ ऐसे कमाल के ट्रिक्स हैं जिनकी मदद से आप जिद्दी से जिद्दी दाग अपने कपड़ों से निकाल सकते हैं. कपड़ों पर दाग का नामोनिशान नहीं रहेगा. दाग की वजह से आपके कपड़ों का लुक खराब नहीं होगा.
कैसे हटाएं जिद्दी दाग?
अगर आपके कपड़ों पर भी जिद्दी दाग लग गए हैं तो आप इन धांसू ट्रिक्स की मदद से अपने कपड़ों से दाग हटा सकते हैं. बता दें कि कपड़ों पर लगे जिद्दी दागों को हटाने के लिए आप किचन में रखे नींबू का इस्तेमाल कर सकते हैं. इसका अम्लीय गुण आपके कपड़ों से दाग हटाने में मदद करेगा. जान लें कि नींबू को एक अच्छे क्लीनिंग एजेंट के रूप में जाना जाता है. अगर आपके कपड़ों पर सब्जी या किसी अन्य तरह का दाग लग गया है तो आप नींबू की मदद से उसको हटा सकते हैं. सबसे पहले कपड़ों पर जहां दाग लगा है वहां नींबू का रस लगा दें. इसके बाद हल्के हाथों से ब्रश की मदद से दाग को साफ करें. नींबू से कपड़ों पर लगे जिद्दी से जिद्दी दाग भी हट जाएंगे.
जिद्दी से जिद्दी दाग मिनटों में जाएगा
गौरतलब है कि आप जिस टूथपेस्ट से अपने दांत साफ करते हैं उसकी मदद से कपड़ों पर लगे दाग-धब्बे भी हटा सकते हैं. अगर आपके कपड़ों पर किसी तरह का दाग लग गया है तो आप टूथपेस्ट लगाकर 5 मिनट के लिए उसको छोड़ दें. इसके बाद ब्रश की मदद से दाग को साफ करें. ऐसा करने से आपके कपड़ों पर लगा दाग आसानी से हट जाएगा.
बेकिंग सोडा की ट्रिक दिखाएगी कमाल
जान लें कि कपड़ों से जिद्दी दाग हटाने के लिए आप बेकिंग सोडा का इस्तेमाल भी कर सकते हैं. अगर आप अपने कपड़ों से जिद्दी दाग हटाना चाहते हैं तो 2 चम्मच बेकिंग सोडा में 1 चम्मच पानी मिलाएं और एक पेस्ट तैयार कर लें. इसके बाद बेकिंग सोडा के इस पेस्ट को उस जगह लगा दें जहां कपड़े पर दाग लगा है. फिर एक ब्रश लेकर उसको रगड़ना शुरू करें. ऐसा करने से दाग आसानी से छूट जाएगा. -
वर्क कल्चर को फॉलो करना हम सभी की मजबूरी है, लेकिन इनकी वजह से हेल्थ प्रॉब्लम्स होने लगे, तो ये एक चिंता की बात है। बिजी लाइफ के बीच अधिकतर ऑफिस जाने वाले लोगों को 9 घंटे की शिफ्ट करनी होती है और ये वर्किंग अवर्स ज्यादा भी हो सकते हैं। इस रूटीन से आप अच्छा कमा पाते हैं, लेकिन अपने शरीर को नुकसान भी पहुंचा रहे होते हैं। कई बार लगातार घंटों एक ही जगह बैठे रहने से लोगों के पैरों में सूजन में आ जाती है। स्वैलिंग के बढऩे पर चलना-फिरना मुश्किल हो जाता है और इसका असर काम पर भी नजर आने लगता है।
क्या आप भी ऑफिस में घंटों एक ही जगह बैठे रहने की भूल करते हैं. क्या आपको पैरों में सूजन की दिक्कत रहती है. हम आपको कुछ बेस्ट होम रेमेडीज बताने जा रहे हैं, जो पैरों में सूजन जैसी दिक्कत को काफी हद तक दूर कर सकती है.
सेंधा नमक
पुराने समय से सेंधा नमक को स्वास्थ्य के लिए बहुत लाभकारी माना गया है. शरीर को अंदर से हेल्दी बनाकर रखने वाला ये नमक बॉडी को बाहर से भी ठीक रखने में बहुत कारगर होता है. किसी बड़ी चीज में थोड़ा गुनगुना पानी लें और इसमें दो चम्मच सेंधा नमक डाल दें. अब इस पानी में पैरों को डुबोएं और रिलैक्स फील करें. कुछ दिनों तक लगातार ये नुस्खा अपनाएं और आपको फर्क नजर आने लगेगा.
वर्जिन कोकोनट ऑयल
पैरों की मालिश का नुस्खा, तो पुराने समय से बढिय़ा माना गया है. आप सरसों या किसी अन्य तेल से मालिश करते हैं, तो इस तरीके में आपको बदलाव करने की जरूरत है. मालिश के लिए वर्जिन कोकोनट ऑयल लें और इसे थोड़ा सा गर्म करें. आप चाहे, तो इसमें लहसुन की कलियों में भून सकते हैं. लहसुन से तैयार हुए इस ऑयल को पैरों पर लगाएं और करीब 5 मिनट के लिए मसाज करें. कुछ दिनों में सूजन कम हो जाएगी.
बेकिंग सोडा
क्या आप जानते हैं कि बेकिंग सोडा भी, पैरों की सूजन को कम करने में कारगर होता है। एक बर्तन में थोड़ा पानी लें और इसमें चावल डालें। उबाल आने पर इसमें बेकिंग सोडा ऐड करें। अच्छे से उबाल लेने के बाद इस पानी में बेकिंग सोडा मिलाकर गाढ़ा पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को दर्द या सूजन वाले हिस्से पर लगाएं और हो सके तो पट्टी बांध लें। हफ्ते में तीन बार ऐसा करें और आप फर्क देख पाएंगे।
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